सॉल्वेंट एक्सट्रैक्शन और क्रोमेटोग्राफी पर लेक्चर नोट्स
परिचय
- अभिषेक का स्वागत बच्चों को
- जेआर कॉलेज के प्लेटफार्म पर लेक्चर
- केमिस्ट्री का लास्ट लेक्चर: डिस्टिलेशन
- आज का लेक्चर: सॉल्वेंट एक्सट्रैक्शन और क्रोमेटोग्राफी
सॉल्वेंट एक्सट्रैक्शन
- सॉल्वेंट एक्सट्रैक्शन एक प्रक्रिया है जिससे सॉल्वेंट से कुछ पदार्थों को बाहर निकाला जाता है।
- मुख्य बिंदु:
- सॉल्वेंट प्रकार:
- ऑर्गेनिक सॉल्वेंट:
- तेल, पेट्रोल, डीजल
- एसीटोन, क्लोरोफॉर्म
- एक्वास सॉल्वेंट:
- पानी या पानी में घुलनशील अन्य पदार्थ
- दोनों सॉल्वेंट्स की डेंसिटी अलग होती है:
- एक्वास सॉल्वेंट की डेंसिटी अधिक होती है।
- ऑर्गेनिक सॉल्वेंट की डेंसिटी कम होती है।
प्रक्रिया
- अगर ऑर्गेनिक सॉल्ट एक्वास सॉल्वेंट में नहीं घुलता है, तो सॉल्वेंट एक्सट्रैक्शन का उपयोग किया जाता है।
- सेपरेटिंग फनल:
- सॉल्यूशन को सॉल्वेंट के साथ मिलाने के लिए उपयोग किया जाता है।
- ऑर्गेनिक सॉल्ट और एक्वास सॉल्वेंट के बीच अलगाव करता है।
- कंटीन्यूअस एक्सट्रैक्शन:
- जब सॉल्यूट कम घुलनशील होता है, तो इसे कई बार एक्सट्रैक्ट किया जाता है।
- इस प्रक्रिया में एक्वास सॉल्वेंट को बार-बार बदलते हैं।
क्रोमेटोग्राफी
- क्रोमेटोग्राफी एक महत्वपूर्ण प्रक्रिया है जो पदार्थों को अलग करने और शुद्ध करने में प्रयोग होती है।
- मुख्य बिंदु:
- स्टेशनरी फेज:
- जो फिक्स रहता है और कभी नहीं बदलता।
- मोबाइल फेज:
- क्रोमेटोग्राफी के प्रकार:
- एड्जॉर्प्शन क्रोमेटोग्राफी:
- स्टेशनारी फेज सॉलिड होता है।
- पार्टीशन क्रोमेटोग्राफी:
- स्टेशनारी फेज लिक्विड होता है।
निष्कर्ष
- लेक्चर में सॉल्वेंट एक्सट्रैक्शन और क्रोमेटोग्राफी के मूलभूत सिद्धांत समझाए गए।
- अगली कक्षा में विस्तार से चर्चा की जाएगी।
- छात्रों को वीडियो को लाइक और चैनल को सब्सक्राइब करने के लिए कहा गया।
- स्वास्थ्य का ध्यान रखने और अध्ययन जारी रखने की सलाह।
यह नोट्स आगे के अध्ययन के लिए सहायक होंगे।