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डेटा लिंक परत की जिम्मेदारियाँ
Aug 31, 2024
डेटा लिंक लेयर
परिचय
डेटा लिंक लेयर, OSI मॉडल की दूसरी लेयर है।
यह नेटवर्क लेयर और फिजिकल लेयर के बीच स्थित है।
यह नेटवर्क लेयर से डेटा लेती है और फिजिकल लेयर को डेटा प्रदान करती है।
डेटा लिंक लेयर की जिम्मेदारियाँ
1. होप-टू-होप डिलीवरी (Node to Node Delivery)
डेटा लिंक लेयर की पहली जिम्मेदारी है होप-टू-होप डिलीवरी।
यह डेटा को एक नोड से दूसरे नोड तक पहुँचाने का कार्य करती है।
उदाहरण: यदि A4 डेटा भेजता है B1 को, तो डेटा सबसे पहले R1 पर पहुंचेगा।
डेटा लिंक लेयर का कार्य है कि यह सुनिश्चित करे कि संदेश सही नोड पर पहुँचे।
2. फ्लो कंट्रोल
फ्लो कंट्रोल का मतलब है डेटा के प्रवाह को नियंत्रित करना।
यदि डेटा बहुत तेज़ी से भेजा जाता है, तो रिसीविं ग नोड भर सकता है।
फ्लो कंट्रोल के लिए तीन प्रमुख विधियाँ:
स्टॉप एंड वेट
गो बैक N
सिलेक्टिव रिपीट
यह नोड-टू-नोड स्तर पर कार्य करता है।
3. एरर कंट्रोल
एरर कंट्रोल का मतलब है उन त्रुटियों को पहचानना और ठीक करना जो डेटा ट्रांसफर के दौरान हो सकती हैं।
एरर डिटेक्शन के लिए मुख्य विधियाँ:
CRC (Cyclic Redundancy Check)
चेकसम
एरर डिटेक्शन डेटा लिंक लेयर पर होप-टू-होप स्तर पर होता है।
4. एक्सेस कंट्रोल
एक्सेस कंट्रोल का मतलब है कि एक ही चैनल पर कई उपकरणों के बीच डेटा ट्रांसफर का प्रबंधन करना।
CSMA/CD (Carrier Sense Multiple Access with Collision Detection) का उपयोग होता है।
5. MAC एड्रेस और फ्रेमिंग
डेटा लिंक लेयर में MAC एड्रेस का उपयोग होता है, जो कि 48-बिट स्थायी पता होता है।
डेटा को पैकेट से फ्रेम में विभाजित किया जाता है ताकि ट्रांसमिशन अधिक विश्वसनीय हो सके।
6. फ्रेमिंग
डेटा लिंक लेयर पैकेट को फ़िक्स साइज या विशेष फ्रेम में विभाजित करती है।
यह प्रक्रिया डेटा को हेडर और ट्रेलर के साथ संलग्न करती है।
निष्कर्ष
डेटा लिंक लेयर की सभी जिम्मेदारियाँ होप-टू-होप होती हैं।
इन जिम्मेदारियों का उद्देश्य डेटा को एक नोड से दूसरे नोड तक सही ढंग से और प्रभावी तरीके से पहुँचाना है।
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