Overview
यह वीडियो कक्षा 9 की इतिहास की किताब के पहले अध्याय 'द फ्रेंच रेवोल्यूशन' का विस्तृत परिचय, मुख्य घटनाएं, विचारधाराएं, प्रभाव और थीम आधारित टॉपिक्स (जैसे स्त्रियों और दासता की स्थिति) कवर करता है।
अध्याय का परिचय और फ्रेंच क्रांति का प्रारंभ
- फ्रेंच क्रांति 14 जुलाई 1789 को बास्टील जेल पर जनता के आक्रमण से शुरू हुई।
- उस समय फ्रांस की जनता महंगाई, बेरोज़गारी, और शोषण से त्रस्त थी।
- राजा लुई-16 ने टैक्स बढ़ाने की योजना बनाई, जिससे ज नता में असंतोष बढ़ा।
फ्रेंच समाज, आर्थिक संकट और मध्यवर्ग का उदय
- फ्रांसीसी समाज तीन भागों (स्टेट्स) में बंटा था: पादरी (फर्स्ट), कुलीन (सेकंड), और आम जनता (थर्ड)।
- थर्ड स्टेट पर ही सभी टैक्स का बोझ था; मध्यवर्ग (मर्चेंट्स, लॉयर्स) का उभरना व्यवस्था के खिलाफ आवाज उठाने का आधार बना।
- सब्सिस्टेंस क्राइसिस यानी जीवन-निर्वाह के साधनों की कमी, महंगाई और अकाल/सुखा बढ़ने के कारण स्थिति बिगड़ी।
क्रांति की शुरुआत और नई राजनीतिक व्यवस्था
- लुई-16 ने 1789 में स्टेट्स जनरल की मीटिंग बुलाई; थर्ड स्टेट ने समान वोटिंग की मांग की।
- जब मांगें नहीं मानी गईं, थर्ड स्टेट नेशनल असेंबली बनी और नए संविधान का संकल्प लिया।
- सेना और जनता के टकराव के बाद बास्टील पर धावा बोला गया, जिससे क्रांति तेज़ हो गई।
संविधान, प्रतीक और मताधिकार
- 1791 में संविधान बना, जिससे राजा की शक्तियाँ सीमित हुईं और फ्रांस संवैधानिक राजशाही बना।
- नागरिक दो वर्गों में थे: सक्रिय (25 वर्ष के टैक्स देने वाले पुरुषों को वोट का अधिकार) और निष्क्रिय।
- क्रांति के दौरान कई प्रतीकों (ब्रोकन चेन, कैप, रंग आदि) का उपयोग लोगों के बीच संदेश पहुँचाने के लिए किया गया।
राजशाही का अंत, गणराज्य की स्थापना और आतंक का शासन
- 1792 में राजशाही खत्म, फ्रांस गणराज्य बना, लुई-16 व उनकी रानी को फांसी दी गई।
- जैकोबिन क्लब के नेता रॉब्सपियर ने आतंक का शासन चलाया (1793-94), विरोधियों को गिलोटिन से मारा गया।
- शासन के बाद डायरेक्टरी बनी (5 सदस्यीय कार्यपालिका), पर राजनीतिक अस्थिरता का दौर रहा।
स्त्रियाँ, दासता और प्रभाव
- महिलाओं ने क्रांति में सक्रिय सहभागिता की, क्लब, न्यूज़पेपर शुरु किए, समान अधिकार की मांग की।
- कुछ सुधार (शिक्षा, तलाक आदि) मिले, पर मताधिकार 1946 में मिला।
- फ्रांसीसी उपनिवेशों में श्रमिकों को जबरन गुलाम बनाया जाता था; जैकोबिन शासन ने दासता खत्म की, लेकिन नेपोलियन ने फिर लागू किया।
क्रांति और आम जीवन
- सेंसरशिप समाप्त; प्रेस, किताबें, नाटक, विचारों की स्वतंत्रता बढ़ी।
- व्यक्ति की आवाज़, अभिव्यक्ति और अधिकारों को महत्व मिला।
नेपो लियन एवं निष्कर्ष
- डायरेक्टरी के पतन के बाद नेपोलियन ने सत्ता संभाली, यूरोप को आधुनिक बनाने के कई कानून लाए।
- उसकी हार (1815) के बाद भी क्रांति के विचार दुनिया भर में फैल गए (स्वतंत्रता, समानता, लोकतंत्र)।
Key Terms & Definitions
- नेशनल असेंबली — थर्ड स्टेट द्वारा गठित सभा, जिसने संविधान बनाया।
- सब्सिस्टेंस क्राइसिस — जब जीवन-निर्वाह के साधनों की गंभीर कमी हो जाए।
- गिलोटिन — सिर कलम करने वाली मशीन, आतंक के शासन में इस्तेमाल।
- जैकोबिन क्लब — क्रांतिकारी पॉलिटिकल पार्टी, रोब्सपियर के नेतृत्व में।
- एक्टिव/पैसिव सिटीज़न — वोटिंग राइट्स के अनुसार नागरिकों के वर्ग।
- डायरेक्टरी — पाँच सदस्यों वाली कार्यकारिणी, जैकोबिन शासन के बाद।
- सेंसरशिप — विचारों, प्रेस आदि पर सरकारी प्रतिबंध।
Action Items / Next Steps
- एनसीईआरटी की बुक का रिवीजन करें और मुख्य घटनाओं की टाइमलाइन बनाएं।
- पड़े गए प्रतीकों और उनकी व्याख्या को नोट करें।
- आगामी चैप्टर पढ़ने हेतु तैयारी करें।