What's up everyone, welcome back to the channel Guys, as per the flow Welcome to our 100 days commerce masterclass और आज हम इंडियनी को चाप्टर नमबर 3 वन शॉट में ही कवर करेंगे जैसे कि मैंने आपको बताया था कि इस week में हम लोग चाप्टर 1, 2, 3, 1 शॉट अच्छे तरीके से कवर करेंगे और उसी तरीके से हम करते भी जा रहे हैं कल आप लोगों के पास dissolution का question आएगा और इस week का काम समाप ता अगले week में मैं आप लोग को 3 chapter शौर करा दूँगा chapter number 4, 5, 6 बस 2 चाप्टर बचेंगे 7 and 8 और आपका पूरा इंडिया नीको one shot में ही समाप्त हो जाएगा I hope you guys are liking it I hope this is helping you all a lot और अब शुरू करते हैं चाप्टर को chapter 1 से थोड़ा सा बड़ा वीडियो रहेगा बट chapter 2 से थोड़ा सा छोटा वीडियो रहेगा क्योंकि chapter थोड़ा mediocre sort of है और समझते हैं आज आगे का कारकरम Let's begin तो मैंने आप लोग को बताया था कि इंडियनी को एक कहानी है कहानी हमारे देश की, कहानी हमारे हिस्ट्री के बारे में कहानी हमारे इकनॉमी के बारे में कि कैसे हम लोग कॉलोनियल पीरियड से बाहर निकलें कैसे हम लोगों ने हमारे कंट्री का क्या हिस्ट्री रहा है किस तरीके से एग्रीकल्चरल इकॉनोमी से हम लोगों ने अपनी कि हमने चाप्टर नंबर टू में पढ़ा अब चाप्टर नंबर थ्री है कि 1991 में ऐसा क्या हुआ अ कि हमारी इकनॉमी का पूरा structure ही change हो गया, पूरा pattern ही change हो गया तो actual में हुआ क्या दोस्तों? कि 1991 में हमने देखा कि जो public sector ने पिछले 40 साल में काम किया है it was not at all satisfactory प्रक्रम बहुत ज़्यादा इतना प्रयास करने के बाद भी, इंपोर्ट सब्स्रिटूशन वगैरा करने के बाद भी, काफी सारा इंपोर्ट करते हैं, और चल हमारी हालात बहुत खराब हो चुकी है, तो उस टाइम पे हमारे फाइनांच मिनिस्टर थे, तो उन्होंने सोचा कि, के पास वह गए एमफ के पास एमफ इंटरनेशनल मोनिटरी फंड कि भाईया थोड़ा सा पैसा दे दो प्लीज वी नीड फंड्स टू रिवाइव अवर इकोनॉमी हमारे देश को वह रिवाइव करना पड़ेगा पैसा चाहिए तो जब हम वहां पर गए पैसा बिला कि पैसा तो दे देंगे लेकिन आपको अपने इकनॉमिक सिस्टम को चेंज करना पड़ेगा आपको अपनी इकनॉमिक को ओपन करना पड़ेगा तुम सब कुछ तो close किया है small scale industries के लिए reservations करेवे है import substitution आप लोग follow कर रहे हो आप किसी बाहर के देश को आने नहीं देते हो business करने के लिए import export के restrictions है private sector के उपर बहुत साइड restrictions है government का सब जगह control है तो ये सब हटाना पड़ेगा economy के अंदर से ये licenses हटाओ freedom दो लोगों को काम करने की तो licenses हटाना freedom देना इसको बोलते है liberalization economy के अंदर से ये public sector का role हटाओ ये जो आपने fix करावा है कि public sector की 17 industry, 12 industry ये सब हटाओ private sector को मौका दो आगे आने का तो ये जो quotas थे quotas हटाना और private sector को मौका देना प्राइवेटाइजेशन आपने जो एकनॉमिक लोग करी हुई है कि हम लोग अपने देश के अंदर काम करेंगे आपने जो देश के अंदर इस तरीके की पॉलिसीज बनाई है इन्हें खत्म करो देश को ओपन करो बॉर्डरलेस करो इसको बोलते है ग्लोबलाइजेशन तो 1991 में बच्चों लाइसेंस की जगह लिबरलाइजेशन आया कोटाज की जगह प्राइवेटाइजेशन आया परमिट्स की जगह परमिशन की जगह ग्लोबलाइजेशन आया तो एल क्यों पी की जगह एल पी जी आया जिसको बोलते हैं New Economic Policy 1991 हम अपनी इच्छा से नहीं चाहते थे इन policies को लाना बट हमें मजबूरी में लानी पड़ी बच्चो और ये policies हमारे लिए अच्छा ही काम कर रही है तो 1991 के बाद बच्चो हमारे चाप्टर में क्या होने वाला है New Economic Policy आने वाली है जो हम इसमें डीटेल में पढ़ने वाले हैं अगले 30-40 मिनट जो किताबों में लिखा है वो मैं आपको पढ़ाता चला जाऊँगा बहुत शानदार तरीके वच्चों क्या है? सिंस इंडिपेंडेंस, इंडिया ने मिक्स इकनॉमिक सिस्टम को फॉलो करा है, जिससे हमें कैपिटलिस्ट और सोचलिस्ट दोनों के ही क्या मिल सके, बेनिफिट्स मिल सके.
40 साल तक काम करने के बाद, 1950 से 1990 तक काम करने के बाद, हमें रिल हुआ कि बहुत सारी कमिया है, बहुत सारी issues हैं जिनको हमें sort करना पड़ेगा, तो सर क्या-क्या problems हैं, क्या-क्या issues हैं, पहले हम वो पढ़ेंगे, तो कई बार ये question आपको पता होना चाहिए कि economic reforms क्यूं लाने पड़े थे, या world bank, IMF, एमएफ ने क्यों इतना ज़दा जोड़ दिया कि आप चेंजेस करो सबसे पहला पूर परफॉर्मेंस अफ द पबलिक सेक्टर पबलिक सेक्टर का जो ओवर आल परफॉर्मेंस था एक्रॉज आल द सेक्टर्स अफ द एकनॉमी वो काफी पूर रहा बचो उतना आगे नहीं बढ़ पाया डेफिसिट का मतलब मतलब होता है funds की कमी होना, देखो funds जब ज़ादा होते हैं, बच्चों उसको बोलते हैं surplus, funds जब कम होते हैं, उसको बोलते हैं deficit, तो BOP में हम लोग mainly बच्चों, export और import के बारे में लिखते हैं, तो जब भी import ज़ादा हो जाए, M stands for import, X stands for export, जब भी import ज़ादा हो जाए, हम लोग import, import कर रहे हैं, तो जब हम ऐसा कर रहे हैं, बहुत सारा पैसा बाहर चला जाता है उसको बोलते हैं बीओपी में डेफिसिट होना कि हम बाहर वाले नेशन्स के ऊपर डिपेंडेंट हैं कमा नहीं रहे खर्च जादा कर रहे हैं बाहर तो बीओपी हमारा डेफिसिट में चला गया जा रही थी अब देखो जिस देश में बच्चों इतनी सारी जन संक्या होती है वहाँ inflation permanent रहता है आप देखते हो आज भी inflation है क्यों क्योंकि demand जादा रहेगी इतनी सारे लोग है demand करते रहेगे और supply कभी पूरी नहीं हो पाएगी तो shortage तो रहेगी shortage होगी तो prices तो बढ़ेगे तो एक level तक तो inflation रहेगा बढ़ एक problem है तो उस time पे inflation बहुत जादा बढ़ रहा था तो ये भी एक कारण था कि हम हमें changes लाने पड़े, चौथा हमारे foreign exchange reserves खतम होते जा रहे थे, पहले आप इसका screenshot ले लो, हमारे पास जो foreign exchange reserves थे बच्चो, हमारे पास कहां काम आते हैं, हमारे foreign bills का payment करने में, बाहर से कुछ import करना है उसका payment करने में, कुछ लोग अगर बाहर से हमारे यहां काम करते हैं उनकी salaries देने में, हमारे पास 2 weeks के reserves बचे थे कि बस हम 14 दिन survive कर पाएंगे, से survive नहीं कर पाएंगे तो हम तो उलच चुके थे बुरे तरीके से तो क्या लिखा है देखो in 1991 foreign exchange reserves fell to the lowest level और हमें बहुत जादा उसके अंदर उस time problems जेलनी पड़ी reserves लाने के लिए हमने खुद को devalue भी करा devalue क्या होता है वो भी आगे मैं आपको liberalization, privatization, globalization में सिखाऊँगा तो आपको एकदम clarity आ जाएगी ठीक है जी उसके बाद बच्चो करजा बहुत जादा था सरकार already बहुत जादा करजे में थी और हमें in fact अब और करजा भी लेना पड़ रहा था इकनॉमी को revive करने के लिए तो क्या करें करजे पे करजा लेते गा लेते गा इस देश को रिवाइब करने के लिए और बर्डन आज भी आप देखो हम सब के ऊपर अगर हम इंडिया का टोटल लोन डिवाइडिट बाई टोटल नंबर आफ पॉपुलेशन कर देते हैं तो फिर पर परसन लोन आ जाएगा जो कि कहीं न कहीं समवेर के एक लाख रुपए का आएगा कि हर परसन एक लाख रुपए के लोन के नीचे है तो कितनी ज्यादा समस्या है हमारे देश में आज भी इतना कर्जा है तो देज आफ यूज बर्डन ऑफ डेट्स जो हमारे कंट्री पर उस टाइम पर था उसके बाद इन पीछेंट मैनेजमेंट जितनी भी एंटरप्राइस इसे उनके अंदर मैनेजमेंट अच्छा नहीं था सब जगह कर अप्शन सब जगह प्रिलेइन वर्किंग सब जगह प्रफॉर्मेंस यह हमें देखने को मिल रहा था जिस वजह से हमें चेंजेस लाने पड़े तो इन efficient management सबसे बड़ी problem है जल्दी से screenshot लो उसके साथ बच्चो और भी बहुत सारी problems थी जैसे बेरोजगारी, जैसे गरीबी जैसे population explosion तो सरकार इतना generation नहीं कर पा रहा था जिससे इन सब के साथ deal किया जा सके तो कुछ ना कुछ तो बदलाओ करना था तो बदलाओ के नाम पे क्या आया? LPG, Liberalization, Privatization and Globalization, ये मैं आपको बता चुका हूँ already, this is just a read only topic, हम लोग World Bank के बास, IMF के बास गए, 7 Billion Dollars का loan लेने के लिए, ताकि हम काम कर पाएं, survive कर पाएं, और उन्होंने बोला कि यह restriction है, रेस्ट्रिक्शन सटाओ लोगमेंट का रोल कम करो प्राइवेट सेक्टर से रेस्ट्रिक्शन सटाओ ट्रेड रेस्ट्रिक्शन सटाओ तो ही हम आपको लोन दे पाएंगे तो जब ये सब हो गया बच्चो तो हमें देखने को मिली एक नई पॉलिसी जिसको बोलते हैं द न् समझे, देखो क्या लिखा है, the new economic policy was announced in July 1991, the main aim of the policy was to create a more competitive environment in the economy and remove the barriers to entry and growth of the firms, तो new economic policy है, हम उसको classify करते हैं, बच्चों, दो majors में, यह आपको पता होने चाहिए, महत सिंपल है, एक को हम short term के लिए लेने गए majors बोलते हैं, एक को हम long term में लिए गए majors बोलते हैं, जो आपको short term benefit देंगे, उसको हम लोग बोलते हैं stabilization measures. जो अभी economy को एक बार stable करने के लिए गए हैं, और जो long term में economy को grow करने में help करेंगे, उसको बोलते हैं structural reforms measures.
तो दो प्रगार के measures हैं बच्चो, एक है stabilization measures, एक है structural reform measures. तो stabilization में क्या होता है, these refers to the short term measures, इनको हम short term measures बोलते हैं, which aims at, जिनका aim क्या होता है, correcting the weakness of the balance of payments, एक तो BOP में जो भी weakness है, जो भी कमिया है, जो भी हमें पैसे की जुरत है फिलाल, export बराना है किसी तरीके से, ठीक है, वो, उसके साथ कंट्रोल करना inflation, महंगाई को कंट्रोल करना, ये quick फटा फट करना पड़ेगा, फिलहाल इसकी जरूरत है, तो ऐसे majors को क्या बोला जाता है, stabilization majors, और structural reform majors किसको बोलते हैं बच्चो, long term majors को, long term में overall efficiency बेटर करना, international competitiveness डेवलप करना, तो ये हमारा main structural और stabilization majors में आ जल्दी से इसका भी स्क्रीन चॉट लो, फिर LPG की तरफ चलते हैं डन हो गया बच्चो अब आ रहा है बाबू हमारे पास The Liberalization The Privatization The Globalization बनाओ जल्ली से एक चार्ट बनाओ अपनी कॉपी में फटा फट से New Economic Policy 1991 इसको तीन पार्ट्स में डिवाइड कर देना Liberalization Privatization Privatization और ग्लोबलाइजेशन बचो अब माइंड में रखना लिबरलाइजेशन में आपको पाँच रिफॉर्म्स पढ़ने हैं डबल एफ आई डबल टी प्राइविटाइजेशन और ग्लोबलाइजेशन में ऐसा कुछ खास नहीं है इंडिया सवाल है जो most important सवाल है वो है liberalization ठीक है liberalization में पांच reforms हैं जिनको हम fit के नाम से जानते हैं double f i double t ठीक है liberalization का मतलब ही क्या होता है freedom देना restrictions को खतम करना licenses को खतम करना ठीक है privatization का क्या मतलब होता है public sector के role को कम करना और प्राइवेट सेक्टर के रोल को बढ़ाना, और ग्लोबलाइजेशन का क्या मतलब होता है, क्लोज्ड इकॉनमी से ओपन इकनॉमी बनाना, क्लोज्ड इकनॉमी से ओपन इकनॉमी बनाना, ओपन इकनॉमी का क्या मतलब होता है, ओपन इकनॉमी का मतलब है, ओपन इकनॉमी का क्या मतलब होता है, लाइविटाइशन और ग्लोबलाइजेशन में पढ़ने वाले हैं डन बच्चों अब देखो क्या है सर सबसे पहले लिबरलाइजेशन देखो जितने भी रेस्ट्रिक्शन्स हैं लाइसेंस इसे उन्हें हटाना है तो लिबरलाइजेशन मीन्स रिमूवल आफ एंड entry and growth restrictions on the private sector, it involves deregulation, regulation का मतलब होता है rules regulations बनाना deregulation का मतलब उनको हटाना, so deregulation and reduction in the government controls and greater freedom of private investment ठीक है, purpose क्या होता है liberalization का, liberalization का purpose होता है बच्चो, economic के potential को आगे लेके आना ताकि public sector भी, private sector भी मिलके काम करें, कौन भी कंपेटीशन की फीलिंग हो जनता का फायदा हो तो यह बेसिकली इसका परपर्स होता है टो इंटरड्यूज मच और कंपेटीशन टू अनलॉग दाइक नॉमिक पोटेंशियल ठीक है अब रिफॉर्म बच्चों मैंने आपको पांच बताए पीछे मैंने आपको लिखवाए डबल एफ आई डबल टी है ना इसके अंदर हम वन बाई वन सारे के सारे पढ़ने वाले हैं सबसे पहले आई से आ रहा है इंडस्ट्रियल सेक्टर रिफॉर्म्स सब पहले बच्चों इसमें I से आ रहा है Industrial Sector Reforms तो सर Industrial Sector Reforms में क्या हुआ था देखो बच्चों Industry से related जितने भी restrictions थे सरकार ने जो IPR 1956 बनाया था, सरकार ने जो small scale industries के लिए reservations करे वे थे, सरकार ने और भी जो restrictions, चाहे आपको industry setup करनी हो, चाहे expansion करना हो, चाहे diversification करना हो, हर जीस के लिए license यह था, वो सब हटाया गया, वो सब हम industrial sector में पढ़ते हैं, देखो सबसे पहले क्या आता है, reduction in industrial licensing, industrial licensing में reduction करा गया, तो जो new policy है, उसने industrial licensing, लाइसेंसिंग हटा दिया कि आपको लाइसेंस लेने की कोई जरूरत नहीं है सिर्फ पांच चीजों को छोड़कर पांच चीजें कौन-कौन सी डिस्टिलेशन एंड ब्रूइंग ऑफ एलकोहॉलिक ड्रिंक्स एलकोहॉल का बिजनेस करना है तो लाइसेंस चाहिए लाइसेंस चाहिए या कोई डेंजरस केमिकल्स बनाने है तो लाइसेंस चाहिए तो हर जगह से लाइसेंस लाइसेंस हटाया गया पांच चीजें छोड़कर ठीक है उसके साथ लाइसेंस नहीं चाहिए न्यू यूनिट सेट अप करने के पर इस पैंचन के लिए डाइवर्सिफिकेशन के लिए आपको हर चीज के लिए नहीं है ठीक हो गया बच्चो तो सबसे पहले तो जो industrial licensing था उसको easy करा गया उसके बाद public sector के role को कहीं न कहीं कम करा गया पूरे के पूरे industries में IPR ने 17 industries बिल्कुल exclusively सरकार ने अपने बास रखी थी 17 industries रखी थी न schedule 1 में A में 17 industries तो वो बहुत कम कर दी गई 17 से 8 कर दी और 8 से फिर 3 कर दी सरकार ने अपने लिए बस 3 industries reserve कर ली तो देखो क्या लिखा हुआ है One of the striking feature was substantive reduction in the role of public sector in the future industrial development of the nation Under the new economic policy, the number of industry reserved was reduced from 17 to 8 और बाद में तीन छोड़ दी गई सिर्फ जो public sector के हाथ में रहेंगी जिसमें railway आ जाता है, जिसमें defense आ जाता है, जिसमें atomic energy आ जाता है तो सबसे पहले industrial sector में क्या बोलोगे? Industrial reforms में क्या बोलोगे? कि एक तो licensing easy करा गई गया लाइसेंसिंग हटाया गया दूसरा जो पब्लिक सेक्टर का रोल था वह कम कर दिया गया तीसरी चीज क्या लिखी है बच्चों डी रिजरेवेशन ऑफ स्माल स्केल इंडॉस्ट्रीज जो आपने स्माल स्केल इंडॉस्ट्रीज को रिजरेवेशन दी थी वह रिजरेवेशन भी हटा दी गई ताकि इकनॉमी में कंपेटिटिव ने साइड स्माल इंडॉस्ट्रीज भी लाज इंडॉस्ट्रीज से कंपीट करें और सीखें और एक फीलिंग ऑफ कंपेटिटिव नेस बड़े और ज्यादा ग्रोथ हमें दी गई थी यह तीसरा पॉइंट आ जाता है चौथा आता है बच्चों MRTP Act, MRTP Act क्या करता था आपको ट्रेड नहीं करने देता था आसानी से इस एक्ट में आपके ऊपर ट्रेड बैरियर्स लगे वे थे कि आपको एक्सपांशन करना है आपको ग्रो करना है आपको कुछ भी इस तरीके का अपना धन्दा बढ़ाना है तो आपको license लेना पड़ता था permission लेना पड़ता था तो वो MRTP act भी खतम कर दिया गया तो वो license लेने की जरूरत भी खतम हो गई तो क्या लिखा है with the introduction of liberalization and expansion schemes the requirement for large companies to seek, यानि to take prior permission या prior approval जो पहले लेना पड़ता था expansion के लिए, establishment के लिए, merger के लिए merger का मतलब होता है जो दो companies merge करके मिलके कोई business करती हैं वो सब अब हटा दिया गया था तो ये सारा बच्चों हमारे पास fit में IE वाला part आता है industrial sector reforms में इसके बाद हमारे पास आ जाता है financial sector reforms financial sector में अगर हम बात करते हैं बच्चों तो financial sector में बड़ा simple सी चीज़ है एक्जाम में भी आपको वो ही लिखकर आनी है कि मेजर फाइनांस सेक्टर की जब बात होती है तो बैंकिंग सेक्टर की बात होती है तो यहाँ पे जो चेंज आया वो RBI के रोल में आया RBI को बोला गया बेटा बस हो गया बहुत रेगुलेटर बहुत रेगुलेट कर लिया तुमने चीजों को अब रेगुलेटर का रोल छोड़ो और फैसिलिटेटर का रोल निभाओ सभी बैंक्स को फैसिलिटीज प्रो पर बाइड करो सभी बैंक्स को आगे बढ़ने में हेल्प करो नई ब्रांच लगवाओ बैंकिंग को घर तक लेकर जाओ तो नाइन टीवन के बाद आर इस रोल शिफ्ट करा गया, चेंज करा गया, फ्रॉम अ रेगुलेटर टू अ फैसिलिटेटर, देखो क्या लिखा है, फानेंचल सेक्टर इंक्लूड्स, फानेंचल इंस्टिटूशन्स जैसे बैंक्स, इन्वेस्ट्मेंट बैंक्स, स्टॉक एक्स्चेंज ओपरेशन्स, फ आज आरबीआई एस नोन एस दो सुप्रीम बॉडी सब कुछ यही करता है और फिनांशियल सेक्टर रिफॉर्म्स में सबसे बड़ा रिफॉर्म आया जो आरबीआई का रोल चेंज करा गया दोलों आरबीआई वर्ड रिड्यूज फ्रॉम रेगुलेटर टू आ facilitator, RBI को बहुत clearly बोल दिया गया भाईया जी, आपका role regulate करना नहीं है, आपका role facilities provide करना है, आगे क्या लिखा है, as a result financial sector was allowed to take decisions on many matters without consulting with RBI दूसरा लिखा है private banks का बहुत ज़ादा origin हो गया जब opening up हो गया economic का, 1991 के बाद सब खुल गया तो फिर private sector banks भी आ गया आज हम देखते हैं HDFC, ICICI कितना इतना शानदार काम कर रहे हैं, बैंकिंग सेक्टर को इकदम समझल लिया, अदरवाईज PNB, SBI, इतने सारे पब्लिक सेक्टर के बैंक्स हैं, ये तो बहुत ही स्लो मूविंग बैंक्स हैं, धीरे धीरे, धीमे धीमे, हाँ, expensive हैं, महंगे हैं, वही आप अगर government banks में जाओ, नहीं आ रहा, issues ही issues है, तो origin of private banks ने banking को easy करा, accessible करा और बहुत दूर तक ले गए, ठीक है जी, तीसरा जो सबसे बड़ा role आया बच्चो, यह सबसे बड़ा change आया, वो यह था foreign investment बढ़ा दी गई, अब जो banking sector में foreign investment पहले तो होती ही नहीं थी, investment क्योंकि हम allow नहीं कर रहे थे, लेकिन अब यह investment भी बढ़ा दी गई और 74% तक कर दी गई, कि बाहर से आओ, हमारे banking sector में invest करो, और आप profit कफिट कमाओ हमारा बैंकिंग सेक्टर ग्रो होगा तो लिखा है द लिमिट आफ फर्ट इनवेस्टमेंट इन बैंक्स वाज़ रेस्ट वराउंड पर सेंट फॉर एन इंस्ट्रीट्यूशन इनवेस्टर जैसे मर्चेंट बैंकर्ट म्यूच्वल फांड पेंशन फांड वह आकर इनवेस्ट कर सकते हैं उसके साथ बैंक्स को अगर एक्सपैंशन करना है अगर वह करना है प्रांच बढ़ानी है तो अब इजी कर दिया गया था एक्सपैंशन वॉज इजीयर एक्सपैंशन वॉज वे मोर इजीयर देने बिफोर और आज हम देखिए हैं उसका रिजल्ट कितने मिल जाते हैं तो ये सारा का सारा काम बच्चो financial sector में हुआ तो fit में F पढ़ लिया एक एक F और है वो आगे आएगा देखो लेकिन पहले tax reforms है तो आपको tax reforms समझा देता हूँ tax reforms में बच्चो ह��ारे देश में दो प्रकार के taxes है direct taxes और indirect taxes direct taxes कौन से होते हैं जो आपकी income पे लगते हैं आपकी property पे लगते हैं और directly आप ही सरकार को भरते हो तीन चीज़े याद रखना direct taxes कौन से होते हैं आपकी प्रॉपर्टी पर लगते हैं और आप ही सरकार को भरते हो इन डारेक्ट टैक्स कौन से होते हैं जो गुड्स पर लगते हैं जो सर्विसेस पर लगते हैं और वह डायरेक्टली आप नहीं भरते आप इन डायरेक्टली भरते हो इसका क्या मतलब हुआ था आपकी इनकम के लगा आपकी प्रॉपर्टी पर टैक्स लगा वह गया इनकम टैक्स वेल्थ टैक्स आप ही भरोगे सरकार को लेकिन जो तुमने गुड्स खरीदे उस पर भी तो जीएसटी भरा हर सामान पर लिखा होता है इनक्लूजिव ऑफ ऑल टैक्सेस लगा सेलर तो वह इंडारेक्ट टैक्स है तो एक टैक्स जो डारेक्टली कंजूमर सरकार को देता है वह डारेक्ट टैक्स हो गए जो इंडारेक्टली देता है वह इंडारेक्ट टैक्स हो गए एस सिंपल एस डाइट अब टैक्स रिफॉर्म्स पर युवा कि टैक्स से रिलेटेड जो भी चीजें मुश्किल थी जो भी चीजें जिसका प्रोसेस कॉंप्लेक्स था वह सारे प्रोसेस सिंपलीफाइड करेगा इनकम टैक्स रिटर्न भरना आसान करा गया पेपर से हटाकर ऑनलाइन करी गई चीजें तो टाक्स रिफॉर्म में हम जीएसटी भी बोल सकते हैं कितना बड़ा चेंज है वन नेशन वन टाक्स बहुत सारे इंडारेक्ट टाक्स हुआ करते थे वो सब खतम करके एक ही टाक्स कर दिया दाट इस जीएसटी ये सारी चीज़े बच्चो टाक्स रिफॉर्म में आ जाती हैं सबसे पहले rationalization of direct taxes, जो direct tax हैं, वो काफी जादा high थे, 1991 से पहले, उनको rationalize करा गया, काफी हद तक सुधरने की कोशिश करी गई, उनको easy करा गया consumers के लिए, उसके बाद reforms in indirect taxes, indirect taxes में भी हमें reforms देखने को मिले, indirect taxes यानि कि, उस टाइम पे sales tax, value added tax, service tax, और consumer friendly करा गया, simplification of the process, प्रोसेस जो हमारे टैक्सपेयर्स है उनको रिटर्न भरनी है उनको अपनी डिटेल्स बनी है सरकार को तो वह सारा प्रोसेस सिंप्लीफाइड करा गया ठीक है तो फिनांचियल सेक्टर पढ़ लिया अ tax reforms पढ़ लिया, industrial sector reforms पढ़ लिये, अब हमारे पास एक F और एक T और बचा, सबसे पहला F है foreign exchange reforms, foreign exchange में क्या था बच्चो, foreign exchange में मैंने आपको बताया था कि हमारे पास foreign exchange बिलकुल समाप्त हो गया था, हमारे पास 14 days के foreign exchange के reserves बचे थे तब ही हम कुछ व्यापार वगेरा कर सकते थे otherwise हम bank corrupt हो जाते तो इसी लिए सरकार ने foreign exchange को बढ़ाने के लिए ताकि हमारे पास ज़ादा से ज़ादा foreign exchange आए रुपे को devalue करा डी वैल्यू करना किसको बोलते हैं सर डी वैल्यूएशन बच्चो वैसे मैं आपको फर्न एक्स्चेंज चाप्टर है पूरा मैकरो में उसमें पढ़ा चुका हूँ अगर आप पुरानी प्लेलिस्ट से कर रहे हो नई प्लेलिस्ट से कर रहे हो अपनी वैल्यू को कम करना अपनी वैल्यू को कम करना उसको बोलते हैं डी वैल्यूएशन इसका क्या मतलब है इसका मतलब यह है लेट सपोज हम एक डॉलर के बदले में आज अस्सी रुपे देते हैं वाला हमें एक डॉलर दे, तो हम उसको कितने रखते हैं, अस्सी रुपे, कि आप एक डॉलर में अस्सी रुपे तक की चीज खरीच सकते हो, लेकिन क्योंकि हमें उस टाइम पे जादा डॉलर की जुरत थी, तो हमने अपनी वैल्यू और कम कर दी, हमने बोला एक डॉलर दो, तो फाइदे की बात है, यहां तो बहुत समान सस्ता है, तो जादा वो लोग demand करने लगे, तो हमारे पास थोड़े से dollars आ गए, और हमारी condition सुधरी, हमारे foreign exchange reserves थोड़े से बढ़े, तो कभी भी सरकार को, अगर foreign exchange reserves बढ़ाने होते हैं, तो रुपे को devalue करती थी government, आजकल तो यह system नहीं चलता है, लेकिन उस time पे किया गया था, तो सबसे पहली जीज़ क्या है, devaluation of rupee, devaluation refers to deliberate reduction in the value of domestic currency, currency को कम कर, करना विज़ अविज एनी फॉरेंड करंसी किसके एक्सचेंज में किसकी अगेंस्ट किसी फॉरेंड करंसी के अगेंस्ट में टू ओवरकम बीओपी क्राइसिस मैंने बताया ना बीओपी में समस्या थी उसको सुधारने के लिए किसी तरीके से एक्सचेंज रेट उसके बाद यह बोला गया बस अब डी वैल्यू कर दिया अब जो हमारा एक्सचेंज रेट डिटर्मिन होगा यानि कि रुपया किस rate पे बदला जाएगा dollar से ये market forces से decide करेंगे सरकार नहीं करेगी demand supply से करेंगे भाईया आप ये देख लो कि जो foreign exchange rate है वो market forces से define करा जाएगा जैसे खुल जा यार जैसे की बच्चो ये हमारे पास demand होगी, ये हमारे पास supply होगी, तो demand और supply जहां intersect करेंगे, इसके सामने जो rate आएगा, इसी को हम foreign exchange rate बोलेंगे, तो demand supply जहां intersect करेंगे, इसके सामने जो rate आएगा, इसको foreign exchange rate बोलेंगे, तो अब foreign exchange rate market forces से, demand supply से चलेगा, let's suppose foreign exchange की demand बहुत ज़्यादा बढ़ रही है, रेट भी बढ़ जाएगा, रेट भी आगे बढ़ जा महंगा होता चला जाएगा और demand कम हो जाती है किसी भी चीज की demand left में लियाओ तो अब देखो rate भी कम हो जाएगा rate भी reduce हो गया तो आपको ये चीज दिमाग में रखनी है कि अब जो foreign exchange rate determine करा जाएगा it will be only through market forces ये सारा का सारा change आया बच्चो कौन से reforms में हमारे foreign exchange reforms में तो double F में एक तो हमारा financial sector हो गया एक foreign exchange रिफॉर्म हो गए आई में इंडॉस्ट्रियल सेक्टर रिफॉर्म हो गए टीमेट टैक्स रिफॉर्म हो गए लास्ट बचा ट्रेड एंड इंवेस्टमेंट पॉलिसी वह और पढ़लो क्या लिखा है द ट्रेड एंड इंवेस्टमेंट पॉलिसी रिफॉर्म्स ट्रेड एं foreign countries के साथ धन्दा कर पाएं तो देखो क्या लिखा हुआ है ये जो reforms आए trade और investment policy में इनका purpose था international competitiveness बढ़ाना कि हम international companies के साथ international industries के साथ compete करें उनकी technology को देखें वो हमारी technology को देखें और हम आगे बढ़ें हम compete करें to promote foreign investments हमारे पास ज़ाज़ा से ज़ाज़ा foreign investments आए technology आए आज हम देखें देखते है बड़ी foreign companies हमारे देश में invest करती हैं तो ये सब possible है liberalization के बाद ही इसके बाद क्या है to promote efficiency of local industries अब देखो जब बाहर से companies आती हैं तो हम देख पाते हैं कि वो क्या product बना रहे हैं कौन सी technology यूज़ कर रहे हैं लेवर कैसे यूज़ करते हैं तो हम उनसे सीख सकते हैं, आगे बढ़ सकते हैं, उनको compete कर सकते हैं, उनको पीछे भी छोड़ सकते हैं, है ना, तो ये सारे purpose बच्चो थे, अब इसको करने के लिए क्या करा, सबसे पहले तो import और export पे जो restrictions थे, वो हटा दिये गए, जितने भी restrictions थे, import पे, export पे, quantitative restrictions, कि आप सब अटा दी गई, जितना export करना चाहो उतना करो, export तो अच्छा है ना यार, बाहर से हमारे पास foreign exchange आएगा, तो export तो अच्छी चीज है, तो export duties अटाई गई, import duties कम करी गई, कि अगर हम बाहर से कुछ import करना चाहते हैं, तो हमारा पैसा जाता है, ठीक है, भले ही जाता है, ठीक ये थोड़ी नहीं है कि सिर्फ export, import हो ही ना, दोनों चीज़े होनी चाहिए, तो export, import दोनों पे ध्यान दिया गया, export duty बिलकुल खतम कर दिया है, कि जितना चाहे उतना बाहर माल बेचो, जितना चाहे उतना विदेश में माल बेचो, तो import duties कम करी गई, reduce करी गई, zero नहीं करी गई, ठीक है, relaxation in import licensing, अगर आपको import करने के लिए license चाहिए, as compared to earlier days, अभी license, एक सेंस आसानी से मिल जाता है तो यह कुछ फैक्टर्स है बच्चों यह कुछ पॉइंटर्स है जो हमें ट्रेड और इन्वेस्टमेंट वॉलिसी में लिख जाने है एंड इस वॉज ऑल अबाउट लिबरलाइजेशन अब हमारा टॉपिक चालू होगा प्राइवेटाइजेशन सर क्या होता है प्राइवेटाइजेशन तो बच्चों प्राइवेटाइजेशन बड़ा सिंपल सी बात है कि एजूम कर लो पहले कोई कंपनी सरकार चला रही है लेट सपोज एयर इंडिया एक एयरलाइन कंपनी है सरकारी कंपनी है और सरकार को ऐसा लगा कि भीया ये airline जो है, Air India जो है, ये लगातार घटे में जा रही है, लगातार loss में जा रही है, कोई फायदा नहीं है इसका, तो सरकार ने अपनी ownership sell कर दी किसी private sector को, कि भीया हम नहीं इसको चला सकते, आप चला. सरकार ने वो चिंटू को सेल कर दी चिंटू हमारा एकदम पैसे वाला आदमी है चिंटू को सेल कर दी कि चिंटू भाई क्या आप Air India खरीदना चाहोगे चिंटू ने कहा रहे तो बहुत बड़ी investment है मैं अकेला नहीं कर सकता मुझे चिंटी का सहयोग चाहिए होगा उसने चिंटी को उसने फिर आप में से चार पाएं लोगों को बुलाया Air India खरीद लिया अब मुझे बताओ क्या सरकार ने अपना ownership shift कर दिया from public sector यानि सरकारी sector to private sector इसी को प्राइवेटाइजेशन बोलते हैं बच्चों क्या है प्राइवेटाइजेशन इसे प्राइवेटाइजेशन करा है ठीक है बच्चों प्राइवेटाइजेशन दो तरीके से किया जा सकता है दो तरीके से कैसे किया जा सकता है सकता है number one transfer of ownership and management from the government to private sector number two disinvestment disinvestment का मतलब होता है अपने shares को sell कर देना तो बच्चों दो तरीके है एक तो है कि पूरा का पूरा body ही बेच दो जैसे कोई land है कोई building है पूरी की पूरी बेच दो एक तो वो है दूसरा है अपना share sell कर दो उसमें से तो share sell कर दोगे तो हिस्सा sell कर दोगे बात एक ही है ठीक है जी perfect उसको disinvestment बोल देते हैं अच्छा सर सर, purpose क्या था privatization का?
privatization का purpose यही है वच्चो, कि जो government की loss making companies हैं, जो अच्छे से काम नहीं कर पारी, एक तो उससे government free हो जाएगी, दूसरा, private sector को मौका मिलेगा, आगे बढ़के काम करने का, market में और competition बढ़ेगा, public और private sector में, आप आज देखो, private sector हर जगा compete करता है, जब Jio ने internet सस्ता करा, तो फिर BSNL को भी करना पड़ा, तो जब भी private sector कुछ बदलाव करेगा, तो public sector को, को भी करना पड़ेगा वहीं अगर public sector कुछ अच्छा करेगा तो private sector को भी उसके साथ में कुछ ना कुछ बदलना पड़ेगा तो ये competitiveness भी बहुत important है ठीक हो गया महारतना, नवरतना, मिनिरतना अब देखो इसके अंदर क्या है ये हमारे पास कुछ हमारी पुरानी industries हैं जिनको हम महारतनास बोलते थे, मिनिरतनास बोलते थे, नवरतनास बोलते थे इनके बारे में आपको NCIT में एक box मिलेगा आप बस उसको एक बार read कर लेना कि क्या हो आ रही है लेकिन उस time बड़ी इंडॉस्ट्रीज मानी जाती थी इसलिए इनको महारत्न बोलते थे या नवरत्न बोलते थे इसके अंदर कौन-कौन सी इंडॉस्ट्रीज होती है पूरी लिस्ट है रटने की जुरत नहीं है बस महारत्ना नवरत्ना में दो-दो-तीन-तीन इंडॉस्ट्रीज आप अच्छा जी देखो क्या लिखा हुआ है Some public sector enterprises have given special status जैसे उनको हम नवरतनाज या फिर मिनीरतनाज बोलते थे अब क्यों बोलते थे बच्चो क्योंकि ये बहुत अच्छे तरीके से काम कर पाते थे अच्छी मेन नेजीरियल और ओपरेशनल ऑटोनॉमी थी इनके पास अलग-अलग डिसीजन मेकिंग अच्छी थी इनकी और इस स्टेटस से स्टेटस से भी उनको मोटिवेशन मिलता था कि हां यार हम नवरतनाज है हम महरतनाज है मिनिरतनाज है हमें अच्छे काम करना है तो वह उनको और मोटिवेट करती थी और पुष्ट करती थी स्पिरिट हाई रखती थी उनकी अच्छा काम करने के लिए ठीक हो गया बच्चों इसके बाद क्या लिखा हुआ है यह पूरी देखो एज ऑन सप्टेंबर 23 देरा 13 मिनिरतनाज 14 नवरतनाज और सिक्स मिनी रतनाज ठीक हो गया बच्चो तो तेरा महारतन कौन से है महारतन होते हैं जो सबसे बड़े हैं जैसे इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया नवरतन में कौन-कौन से आ जाएंगे भारत एलेक्ट्रोनिक्स कंटेनर कॉर्पोरेशन और मिनी रतनाज थी चोटे लेवल पर काम कर रही हैं सीपी एसीएस कैटेग्री ऑफ सेंट्रल पब्लिक एक्टर एंटरप्राइजेस एयरपॉर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया एंट्रिक्स कॉर्पोरेशन 11 मिनी रतनाज टू एक्स अमिरतनाज वन है एक मिनी रतनाज टू है जिसमें भारत पंप्स वगर आ जाएंगे, सिव रीड ओनली टॉपिक है बच्चो, आपको बस पता होना चाहिए, तो इस वाज़ अबाउट प्राइविटाइजेशन, लिबरलाइजेशन हमने कवर करा, लिबरलाइजेशन से ही क्वेश्चन बनता है, उस देखा, अब हमारे पास आ रहा है globalization sir, what is this globalization? globalization नाम में ही है you have to make yourself global, across the globe एक जगा नहीं पूरे world में फैलना है तो जब आप business को allow करते हो कि वो अपनी country से दूसरी country में, तीसरी country में जितने देशों में चाहे वहाँ फैल जाए across the globe फैल जाए बच्चो उसको बोलते है globalization global होना बहुत जादा फैल के business करना एक borderless world बनाना there shall be no border आराम से money, capital money, capital, people goods and services, business, ideas सब अच्छे तरीके से freely circulate हो पाए इसको ही हम globalization बोलते हैं globalization means integrating the national economy with the world economy integration का मतलब होता है एक साथ लेकर आना match वाला integration नहीं है integrating the national economy with the world economy through removal of barriers सारे barriers हटा दो सारे के सारे जो चीज़ें business को रोकती थी, restrict करती थी वो सब हटा दो और धन्दा बड़ा होने दो इसको globalization बोलते हैं बच्चों आप देखो क्या फाइदे होंगे globalization के और क्या नुकसान होंगे globalization ग्लोबलाइजेशन के, तो कुछ लोग ग्लोबलाइजेशन के फेवर में हैं, कुछ लोग ग्लोबलाइजेशन के अगेंस्ट हैं, जो फेवर में हैं, वो लोग क्या बोलते हैं ग्लोबलाइजेशन के बारे में, कि भाईया एक तो हम ग्लोबल मार्केट्स तक पहुँच पा हम बहुत अच्छी टेक्नोलॉजीज देख पाएंगे देखो अगर आप कहीं वर्ल्ड में घूमने के लिए भी जाते हो कितना कुछ सीखने को मिलता है कितना कुछ देखने को मिलता है कि वो लोग कैसे रहते हैं कैसे घर होते हैं कैसे कल्चर्स होते हैं कैसे ट्रे� तो और chance है अच्छा बनने का, बहतर बनने का, उसके साथ अच्छे लोग मिलते हैं, skilled people मिलते हैं, तो you have a lot of scope to grow with globalization, अब कुछ लोगों का मानना है, कि वह या globalization से कोई फाइदे नहीं है, क्यों, क्योंकि जादा फाइदा तो developed donation ले जाती है, अब जैसे हम globalization के चक्कर में, बाहर वाली countries को, US को, UK को, China को, globalization है, बनाया हुआ है हमारा सारा डेटा यह YouTube पर फेसबुक पर इंस्टाग्राम पर हमारा सारा डेटा हम क्या सोच रहे हैं क्या कर रहे हैं सारा डेटा इनके पास इंडिया कैसे चल रहा है सब पता है यह नुकसान है ग्लोबलाइशन के ज्यादा फायदा डेवलप्ट इंडियाशन को है उसके साथ लोगों का वेलफेयर पर फोकस नहीं होता लोगों के वेलफेयर के बारे में लोगों मैंने तो बिजनस करना है बस और तो बच्चो डेवलप्ड डिनेशन्स में फाइदे जादा होंगे वेलफेर लोगों का ये लोग कॉंप्रोमाइस करते हैं उसके साथ बहुत जादा इकनॉमिक डिस्पारिटीज क्रियेट हो जाती हैं रिच और पूर में डिफरेंसिज आ जाते हैं बच्चो और वह हमारे यहां से और पैसा ले जाएंगे तो वह तो और रिच होते चले जाएंगे हम गरीब के गरीब रह जाएंगे हमें काफी समय लगेगा सीखने में क्योंकि ज्यादा बेनिफिट इनको मिलेगा हमें भी मिलेगा ऐसा नहीं होता कि भी यह एड भी आपका आपका टेल्स भी आपका एक चीज तो हमारी होगी फॉर शॉर्ट हमें भी फायदा होगा लेकिन ज्यादा फायदा उनको होगा तो इस परिटीज थोड़ी बढ़ेंगी रिच और पूर के बीच का गैप थोड़ा सा बढ़ेगा बच्चों उसके साथ लिखा है कि जब भी ग्लोबलाइजेशन होता है तो हमारे देश की जो डोमेस्टिक चोटे-चोटे बिजनसेस होते हैं उनको बहुत कॉंपेटीशन एवेंसीज की गाड़ियां बहुत सारी देखने को मिलेंगी आपको हाँचकल हम लोग देखने हैं लगजरी कार्स का ट्रेंड है तो लगजरी कार्स कितनी जादा हमें रोड पे देखने को मिलती है मर्सीडीज हैं, बीमडब्ल्यू है तो कमपीटीशन बहुत जादा कई बार नुकसान देता है ठीक है अब हमारे पास बच जाते हैं कुछ चोटे-चोटे topics outsourcing हमारे syllabus में नहीं है according to my knowledge क्योंकि as per latest CBSE syllabus एक बार मैं check कर लूँ हमारे syllabus में क्या-क्या चीज़ें दी वी हैं syllabus for 24-25 yes Indian Economic Development chapter 3 में लिखा है Features and Appraisals of LPG Features हमने पढ़े हैं Liberalization, Globalization, Privatization के Demonetization and GST हमें पढ़ना है Outsourcing हमें नहीं पढ़ना हमारे Syllabus में Demonetization and GST लिखा है बच्चो Outsourcing फिर भी होता क्या है मैं आपको वैसी थोड़ा साथ जैसे हम लोग बहुत सारे बाहर की कंट्रीज के लिए काम करते हैं यूएस, यूके, इन कंट्रीज को ऐसा लगता है कि बहुत सारी अक्टिविटीज हैं जो इनके लिए नोन कोर है नोन कोर का मतलब कि इनके लिए बहुत इंपोर्टेंट नहीं है तो हम लोग बहुत सारा काम करते हैं जैसे बैंकिंग का, सेल्स का, मार्किटिंग का हम बहुत सारा काम इन कंट्रीज के लिए करते हैं तो जब कोई country अपना कुछ काम किसी और country को देता है करने के लिए उसको बोलते हैं काम को outsource कर देना outsourcing ये outsourcing है बच्चो basically तो आपको पता चल गया outsourcing इंडिया बहुत favorable country है outsourcing के लिए ये सब basic चीज़े है हमें mainly पढ़ना है demonetization और GST demonetization का क्या मतलब होता है बच्चो demonetization का मतलब होता है बेटा जी note बंदी note का बंद हो जाना रातो रात आज वो note legal है कल से वो legal tender नहीं रहेगा कल से वो note market में नहीं चलेगा इसको बोलते है demonetization तो जो current हमने latest या recent demonetization देखा वो देखा 8 नवंबर 2016 जिसमें हमने देखा कि 500 और 1000 के जो note थे पुराने वाले वो सरकार ने बंद कर दिये सरकार ने बोला कि ये note आज से legal tender नहीं रहेंगे The government of India made an announcement with profound implications for for the Indian economy, it was decided to demonetize high value notes of पानसो and एकजार with immediate effect ceases to be legal tender, demonetization is the act, क्या होता है demonetization act होता है, of removing a currency of its status as legal tender उस currency को फिर हम legal tender नहीं मानते क्या feature होते हैं बच्चो demonetization के demonetization basically tax administration measure माना जाता है tax को better बनाने के लिए taxation system को सुधारने के लिए अच्छा system के लिए ये चीज़े करी जाती है क्यूं क्योंकि 500,000 के note बंद हो गए तो हमें जब change कराने दे तो हमें वो सारे अपनी currency bank में जमा करनी थी तो government के knowledge में आया कि किसके पास कितना cash है कि इसके पास कितना पैसा रखा हुआ है तो उससे जब लोगों ने बैंक में जमा करे तो पता लगा तो लोगों को taxes भी भड़ने पड़े तो tax administration better होता है दूसरा, दूसरा क्या लिखा हुआ है demonetization is also interpreted as a shift on part of government indicating that tax evasion will no longer be tolerated tax की चोरी अब नहीं चलेगी ये भी सरकार का एक सीधा इसके अंदर thought process होता है कि जो लोग cash में deal करके tax नहीं pay करते हैं तो वो tax evasion नहीं चलेगा उसके बाद तीसरा क्या लिखा हुआ है इट ऑल्सो लेड टू चैनलाइजिंग ऑफ द सेविंग्स अब देखो बच्चों अब घर में पड़ा-पड़ा कैस की वैल्यू कम हो रही है साथ-साथ खर्च भी हो जाता है तो आपके बैंक में अगर पैसा है तो वह वैल्यू बढ़ती भी तो है आप उसको सेविंग की हैबिट भी तो डाल रहे हो तो यह भी एक सरकार का थ� अंदर एक habit of thrift, habit of saving and investment develop होगा number 4, demonetization also aims to create a cashless or cash light economy एक purpose है कि हम cash कम use करने वाली economy बने बहुत ज़ादा cash हमारी economy में ना चले तो हमारा जो purpose है demonetization के tax administration है tax evasion को रोकना है, cash light economy बनाना है और लोगों में saving और thrift की habit develop करना है तो इस वाज़ ऑल अबाउट दीमोनेटिजेशन जल्दी से स्क्रीनशॉट ले लो अब बच्चों इंपैक्ट ऑफ दीमोन इंपैक्ट आफ डी मोनेटाइजेशन में आप लोग देख सकते हो कि कुछ चीज़े लिखी हैं यहाँ पर सबसे पहले मनी इंटरस्ट रेट्स कम होंगे डिक्लाइन हो गई कैस्ट ट्रांजेक्शन्स बैंक डिपॉजिट्स बढ़ गए फिनांचियल सेविंग्स बढ़ ग� थी लोगों की, वो comparatively कम हुई, public sector wealth पे कोई impact नहीं आया, digital transactions हम लोग देखते हैं, UPI वगैरा बढ़ी है, तो digital economy बढ़ी है, real estate के prices कहीं ना कहीं decline हुए, और वो वापिस से अब बढ़ चुके हैं, तो उस time पे गिरे थे, लेकिन अब वापिस से वहीं आ गए हैं, tax collection जो था सरकार का, वो बढ़ गया, काफी जादा tax collection हुआ था, क्योंकि लोगों ने disclose करी अपनी income की, इतना पैसा हमारे पास है, तो tax collection भी बढ़ा, ठीक हो गया बच्चो? इसके बाद we have last topic जिसको बोलते हैं GST the goods and services tax मैंने आपको बताई दिया पीछे कि हमारे पास दो प्रकार के taxes होते हैं direct और indirect GST एक indirect tax है बच्चो जो कि आप भरते हो लेकिन आपको पता नहीं चलता कि आप भर रहे हो तो उस बिल में आपसे समान का पैसा भी लिया जाता है और tax का पैसा भी लिया जाता है तो वो एक indirect tax होता है बच्चो indirect taxes आप indirectly भरते हो अब पहले हमारे देश में बहुत सारे indirect taxes चलते थे sales tax, service tax, value added tax, excise duty, multiple taxes चला करते थे लेकिन GST जब आया 2017 में, date याद रखना 16 में demonetization हुआ 17 में GST आया इसने one nation, one tax के agenda को follow करा और सारे वो indirect taxes खतम कर दिया हमारे देश में एक indirect tax है that is GST GST Goods and Services Tax is a comprehensive indirect tax which has replaced many indirect taxes in India. ये 2017 में Bill पास हुआ था, Act आया था 1st July 2017 से, comprehensive multi-stage ये tax है, और इसको बहुत important tax reform consider किया जाता है मैंने बोला था tax reforms में GST is one of the biggest tax reforms we have in our nation screenshot ले लो बच्चो उसके बाद कौन-कौन से taxes GST में होते हैं देखो बच्चो ये भी थोड़ा सा मैं आपको बता दू तीन प्रकार के taxes हैं CGST, SGST, IGST ये कैसे distribute कर जाते हैं अगर आप कोई भी माल same state में बिचते हो within the same state जैसे मैं UP में हूँ तो UP से UP अगर मैं कोई भी transaction करूँगा तो मेरे उपर सबोज 18% tax लग रहा है तो 9% central government ले जाएगी 9% state government को मिलेगा यानि 9% हमारे योगी जी के पास जाएगा 9% मोदी जी के पास जाएगा central government state government में आदा बटेगा अगर same state है तो जो center को गया उसको CGST बोलते हैं, जो state को गया उसको SGST बोलते हैं, तो अगर same state में transaction हो रही है तो जो tax लगेगा उसको CGST और SGST बोला जाता है, अगर state change हो जाए, भाईया UP से पंजाब तो अब tax कौन रखेगा, पंजाब के CM रखेगे या UP के CM रखेगे, कौन सी government के पास ज CGST और SGST, total tax का आदा-दा division होता है, तब चलता है, अगर same state में sale हो, अगर other state में sale हो रही है, यानि, दो states involved हैं, तो वहाँ पर एक ही tax लेगा, सीधा 18% IGST, सीधा central government को जाएगा, तो आप देखना, कभी भी, अगर, दो state के बीच में dealing हो रही है, तो IGST लगता है, same state में transaction हो रही है, तो CGST, SGST लग रहा है, CGST center को जाता है, SGST state को जाता है, IGST भी center को जाता है, तो देखो यहां लिखा है, intra state, intra state यानि within the same state, यहां लिखा है, inter state, यानि जब दो states involved होती है, ओके, इसके बाद GST क्या है? Single Tax Structure है बच्चो प्राइज़ेज कम होंगे इससे Consumption Based Tax है और Invoice Matching होती है Invoice Matching का मतलब Seller और Buyer की Invoice Tally करी जाती है नहीं हो सकती इसकी ठीक है बेनेफिट्स क्या होंगे जीस्टी के बच्चों ओवर ऑल टैक्स बर्डन कम हुआ है क्योंकि पहले मल्टी स्टेज पर टैक्स लगता था जितने भी लोग बीच में इनवॉल्व होते थे वह सब अपना टैक्स भरते थे वैल्यू एडिट टैक्स जितनी बार वैल्यू ऐड होगा उतनी ब वहाँ पे ज़्यादा cost पड़ जाती थी, अभी ये नीचे आया है, ओके, तो जो burden है वो कम हुआ, hidden taxes नहीं है, कोई भी छुपेवे taxes नहीं है, जो है transparent है, सामने है, एक development हुआ है, harmonized national market का, इसका मतलब है कि वन नेशन वन टैक्स है बहुत ज्यादा ऊपर नीचे नहीं है सारी चीजें बहुत क्लियर एंड ट्रांसपेरेंट है तो इजी हो गया है हाई एडिस्पोजेबल इंकम इन हैंड एडुकेशन एंड इसेंशल नीड्स डिस्पोजेबल इंकम हमारे पास बेटर आएगी क्योंकि आपको मल्टिपल टैक्स नहीं भरने एकी टैक्स भरना है तो आपकी इंकम जो है टैक्स का बटन कम हो गया तो इंकम बढ़ गई सीधी लोग अच्छे से कर पाएंगे, economic activities properly, अब हो सकती है, क्योंकि tax का process simplified है, tax का process आसान करा गया है, उसके बाद more employment opportunities, ये तो देखो, थोड़ा सा contradictory है, employment opportunities, government बोलती है कि है, बट उतनी ही ज़ादा बेरोजगारी भी हमें देखने को मिलती है, हम unit number 2 में ही पढ़ेंगे कि unemployment की problem है, तो इसको मैं personally, नहीं इसके साथ link कर सकता, अगर एक perspective, से सोचू तो ठीक है एंप्लाइमेंट जनरेशन हुआ है बट वहीं दूसरे परस्पेक्टिव से सोचू तो अनेंप्लाइमेंट भी प्रिवेल कर रहा है तो आप ये 6 पॉइंट जरूर लिख देना सातवा वाला मत लिखना इसके अंदर अच्छा जी की फीचर्स आप GST क जीस्टी इंपोर्ट्स पर जीस्टी के रेट्स क्या है जीस्टी के रेट्स बचो यह बिल्कुल नेसेसिटीज पर जीरो है फिर जब थोड़े से महंगे समान है तो 5 परसेंट उसके बाद 12 परसेंट 18 परसेंट 28 परसेंट यह जीस्टी के रेट्स है जीरो 512 1828 यही स्लाब्स है जीस्टी आपको इन्हीं परसेंटेज उस पर लगावा दिखेगा ठीक है तो अगर सेम स्टेट होगा तो आदा-आदा हो जाएगा इनका डिफरेंट स्टेट्स होंगे तो पूरा आई जीस्टी लग जाएगा ओके पेमेंट आफ जीस्टी जो है वो आप अलग-अलग मोड से कर सकते हो वो तो आपके बाद सिंपल है यार आप अपना नेट बैंकिंग से, आटी जीस्टी से, एनी एफ्टी से आलग-अलग मोड से आप पेमेंट आफ जीस्टी कर सकते हो तो ये डी मॉनिटाइशन और जीस्टी ये मेंली रीड ओनली टॉपिक्स हैं और हमने चाप्टर को किया समात तो बच्चो, main LPG पढ़ना, उस पे ध्यान देना, बाकि demonetization, GST आप कई जगा वैसे भी पढ़ते हो, तो आपको पता ही है, और इसी के साथ chapter समाप्त, अगले हफ्ते में हम unit 2 चालू करेंगे, unit 1 भी हमारा समाप्त है, जल्दी हमें कोई नहीं है, pre-board से पहले सब समाप्त कर देंगे, ठीक है, thank you so much everyone for joining in, I am gonna see you all super soon, till then see ya, take care, bye bye.
keep growing, keep glowing and keep smiling