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Business, Trade, Commerce - Class 11 Commerce Chapter 1

हाय गाइज वेलकम बैक टू अनदर वीडियो बालको कक्षा 11वीं कॉमर्स में आपका बहुत-बहुत स्वागत है आज हम चैप्टर नंबर वन बिजनेस ट्रेड एंड कॉमर्स या जिसको कुछ किताबों में नेचर एंड पर्पस ऑफ बिजनेस कहा जाता है उसको स्टार्टिंग से लेकर एंड तक पूरी तरीके से समाप्त करेंगे और अगर आपको इस चैप्टर के इसके आगे वाले चैप्टर के अकाउंट्स के इको के किसी के भी नोट्स चाहिए तो टेंशन ना को डिस्क्रिप्शन में उन सबका लिंक है बट उससे पहले जरा कुर्सी की बेटी को टाइट करो क्योंकि आज ये चैप्टर पूरी तरीके से खत्म हो जाएगा तो चलिए शुरुआत करते हैं शुरू करने से पहले आपको अपने दिमाग में एक चीज बिठा है वो यह है कि बिजनेस स्टडीज बहुत आसान है 11वीं के बिजनेस स्टडीज से आसान चीज इस दुनिया में कुछ नहीं बनी है क्योंकि हम बिजनेस समझ रहे हैं इसलिए तो हमने कॉमर्स ली है तो आज इस बिजनेस के इंट्रोडक्टरी चैप्टर को देखो कितने आसानी से मजे के फॉर्मेट में खत्म करते हैं चलिए शुरुआत करते हैं सबसे पहले इसी की किसकी बिजनेस की हम सब बोलते हैं भाई बिजनेस करना है बिजनेस करना है भाई बिजनेस है क्या लोग करते हैं हम पहले पढ़ेंगे फिर करेंगे तो सादा भाषा में अगर बिजनेस की डेफिनेशन बोली जाए बिजनेस रेफर्स टू एन ऑक्यूपेशन ये एक ऐसा ऑक्यूपेशन है जिसके अंदर लोग लगातार लगे हुए आप देख रहे होंगे सारे बिजनेसमैन लगातार लगे रहते लगे रहते ल रते दिन भर काम करते रहते बिजनेस एक ऐसा ऑक्यूपेशन है जिसमें लोग लगातार काम करते रहते हैं कौन सा काम इकोनॉमिक एक्टिविटी करते रहते हैं इकोनॉमिक एक्टिविटी मतलब एक्टिविटी रिलेटेड टू प्रोडक्शन कर रहे हैं प्रोक्योरमेंट कर रहे हैं प्रोक्योरमेंट का मतलब क्या है कहीं से सामान मंगा रहे हैं सेल कर रहे हैं एक्सचेंज कर रहे हैं सामान को एक के बदले दूसरा दे रहे हैं ठीक है तो बिजनेस एक ऐसी एक्टिविटी है जिसके अंदर लोग लगातार लगे हुए हैं इकोनॉमिक एक्टिविटी करने में ताकि वो क्या कर पाए विद द मेन ऑब्जेक्टिव ऑफ अर्निंग प्रॉफिट पैसा कमा पाए देखो बिजनेस का मेन ऑब्जेक्टिव जो है ना वो है पैसा कोई भी दंडा बिना पैसे के नहीं चल सकता तो बिजनेस की डेफिनेशन ही बोलेगी कि भैया हमारा मेन ऑब्जेक्टिव तो अर्निंग प्रॉफिट है अब आपने यहां पर एक इकोनॉमिक एक्टिविटी शब्द सुन देखो एक्टिविटी दो प्रकार की होती है एक होती है इकोनॉमिक एक होती है नॉन इकोनॉमिक पहले बात करते हैं इकोनॉमिक की तो इकोनॉमिक एक्टिविटी वो एक्टिविटी होती है जिससे आप पैसे कमाते हो जिसको करने के पीछे आपका मेन उद्देश्य होता है कि भैया पैसा बनाना जैसे सेलिंग करना परचेसिंग करना ठीक है प्रोक्योरमेंट कहीं से सामान लाना एक्सचेंज करना ठीक है जैसे मैं आपको पढ़ा रहा अब भाई 11वीं तो अपन ने फ्री कर रखी 12वीं में आपके लिए एक सारथी बैच है मात्र 3100 में पूरे साल हम पढ़ाते तो वो क्या है वो एक इकोनॉमिक एक्टिविटी है समझ रहे हो तो इकोनॉमिक एक्टिविटी जिसको पैसे कमाने के लिए किया जाता है नॉन इकोनॉमिक मतलब ये वो एक्टिविटी है जो आउट ऑफ लव प्रेम में करी जाती सिंपैथी में करी जाती ठीक है फॉर एग्जांपल मान लो कि एक कोई बूढ़ा व्यक्ति है ठीक है उसको आपने रोड क्रॉस करा दी अब ऐसा तो नहीं रोड क्रॉस करा के ला बाजी 20 दो ऐसा तो अपन बोलेंगे नहीं ना अपन ने बोले वा ठीक है चलो करा देते हैं अब 26 जनवरी आता है हम सब क्या करते हैं किया जाता पैसा बनाया जाता है रेगुलरली काम करके ठीक है चलिए अबर बिजनेस की डेफिनेशन आपके दिमाग में क्लियर हो गई है तो चलिए हम इकोनॉमिक एक्टिविटी अभी अपने पढ़ी कि भैया सेल है प्रोडक्शन कर रहे हो सेल कर रहे एक्सचेंज कर इसको कटेरा करते तो इकोनॉमिक एक्टिविटी को बेसिकली तीन कैटेगरी में बांटा गया है पहली कैटेगरी तो अपन ने पढ़ली भाई बिजनेस इकोनॉमिक एक्टिविटी है दूसरी इकोनॉमिक एक्टिविटी होती है प्रोफेशन पहले समझ लो फिर बता प्रोफेशन प्रो फेशन और तीसरी होती है एंप्लॉयमेंट तीनों का मतलब समझेंगे देखो बिजनेस हम समझ चुके प्रोफेशन का मतलब क्या है एक ऐसी ऑक्यूपेशन जिसके अंदर स्पेशल नॉलेज और स्किल सेट चाहिए होता है फॉर एग्जांपल डॉक्टरी एक प्रोफेशन है अगर आप एक डॉक्टर हो तो डॉक्टर क्या है एक प्रोफेशनल डिग्री है मतलब एमबीबीएस एक प्रोफेशनल डिग्री है ठीक है आप एक सीओ चार्टर्ड अकाउंटेंट बनना चाहते हैं तो सीए भी क्या है एक प्रोफेशन है आप एक लॉयर हो तो भी क्या है आप एक प्रोफेशन के अंदर हो तो प्रोफेशन बेसिकली एक ऐसी ऑक्यूपेशन जिसके अंदर आपको काफी दिमाग चाहिए एक स्पेसिफिक स्किल सेट चाहिए स्किल सेट का मतलब एक स्पेसिफिक फील्ड के अंदर नॉलेज चाहिए और प्रोफेशन को प्रो बनाने के लिए सबसे जरूरी होता है एक फादर फादर का मतलब हेड बॉडी यानी कि जैसे अपने घर में होता ना भाई कुछ भी गलती करी तो पिताजी चिल्लाए मारेंगे या समझाएंगे उसी तरीके से हर एक प्रोफेशन के ऊपर एक प्रोफेशनल बॉडी होती है एक ऐसी ऑर्गेनाइजेशन होती है जो उस पर्टिकुलर प्रोफेशन को संभालती है जैसे अगर आप एक सीए बन गए हो तो आप आईसीए आई इंस्टिट्यूट ऑफ चा अकाउंटेंसी ऑफ इंडिया के अंदर आते हो ये बॉडी कानून बनाएगी कि सीए क्या कर सकते हैं क्या नहीं कर सकते हैं और आप सीए बन गए मतलब उस पर्टिकुलर ऑर्गेनाइजेशन के एक मेंबर बन गए अब आपकी ये जिम्मेदारी है कि उन्होंने जो कोड कोड ऑफ कंडक्ट बनाए हैं रूल्स और रेगुलेशन बनाए हैं उसके दायरे में रहकर ही आपको अपना कार्य करना है अगर आप एक लॉयर हो तो यहां पर बार काउंसिल ऑफ इंडिया है आपने कुछ पिक्चर देखी होंगी जैसे जोली एल में था कि भाई अगर गलत गवाह पेश कर दिया अपने अक्षय कुमार ने पेश कर दिया था गलत गवाह तो बोले आपका लाइसेंस कैंसिल कर दिया जाएगा ये लाइसेंस कौन कैंसिल करता है ये बार काउंसिल ऑफ इंडिया कैंसिल करती है तो बार काउंसिल ऑफ इंडिया वो हेड बॉडी है वो पिताजी है जो सारे लॉयर्स को ध्यान में रखती है और सारे लॉयर के ऊपर निगरानी रखती है कोई भी गलत कार्य ना करे कोई गलत कार्य करते हुए पकड़ा गया तो भैया फिर लाइसेंस कैंसिल अब आप वकालत नहीं कर सकते ठीक है तो ये प्रोफेशन में ही होता है कि एक बॉडी है और उसके अंदर सारे के सारे कार्य हो रहे हैं तीसरा होता है एंप्लॉयमेंट अब एंप्लॉयमेंट तो किसी के नौकरी करना ठीक है एंप्लॉयमेंट में दो टर्म्स आती है एक होता है एंप्लॉई एक होता है एंप्लॉयर एंप्लॉई का मतलब तो वह व्यक्ति जो नौकरी कर रहा है जो नौकरी कर रहा है ठीक है इसको मतलब सैलरी मिल रही है वेजेस मिल रहा है तनखा मिल रही है एंप्लॉयर मतलब जो नौकरी दे रहा है ठीक है जैसे मान लो कि मैंने 10 लोग काम पे रख रखे हैं जो मेरा बैक एंड का पूरा काम संभालते हैं तो मैं हो गया उन 10 लोगों का एंप्लॉयर और वो 10 लोग मेरे क्या हो गए एंप्लॉई हो गए इसमें क्या है रिस्क नहीं है इन एंप्लॉई का तो कोई रिस्क नहीं है भाई साहब काम करना तनखा मिलेगी मस्त जबकि बिजनेस में रिस्क होता है प्रोफेशन में बहुत ज्यादा नॉलेज लगती है पैसा भी लगता है भाई पढ़ाई करने के लिए पैसा लगता है इसमें कोई पैसा नहीं है बड़ा मजे में काम चल रहा है अपना समझ में आ गया तो ये तीन प्रकार की इकोनॉमिक एक्टिविटी होती है आपका मेन जो फोकस रहेगा वो हमारा बिजनेस के ऊपर ही रहने वाला है ठीक है तो चलिए बिजनेस एक्टिविटी को ही थोड़ा डिटेल में चलते हैं और समझते हैं कि जो बिजनेस की जितने भी गतिविधियां हम लोग करते हैं उनके फीचर्स क्या होते हैं अब देखो बिजनेस स्टडी जब आप पढ़ रहे हो ना तो 11वीं हो 12वीं हो या आगे भी पढ़ो फीचर इंपॉर्टेंस मेरिट डीमेट ये हर एक चीज क्या तो आपको पहले डिफरेंस पता होना चाहिए कि भाई फीचर का मतलब क्या होता है फॉर एग्जांपल ये पेन है इस पेन के फीचर बताओ साहब ये काला है साहब इसमें इंक नहीं लगती है ये डिजिटल है ये इतने रुपए का आता है ठीक है इसका साइज यह है तो ये क्या है इस पेन के फीचर है मैं बोलूं घड़ी का फीचर बताओ तो सर ये भी ब्लैक कलर की है डिजिटल वॉच है एल की वॉच है ठीक है टीशर्ट के बताओ भाई साहब ये भी ब्लैक कलर की है ये डिजिटल बोर्ड है फीचर का मतलब वो कैसा दिखता है कैसा नहीं दिखता है उसके लुक कैसे हैं उसके फायदे नुकसान ठीक है तो अगर बिजनेस एक्टिविटी के फीचर की बात करें तो बिजनेस एक्टिविटी सबसे पहले क्या है एक इकोनॉमिक एक्टिविटी यानी कि बिजनेस एक्टिविटी के अंदर इकोनॉमिक कार्य किए जाते हैं प्रोडक्शन परचेस सेल ये सारे काम करते हैं और इसका जो मेन मोटिव है वो क्या है प्रॉफिट प्रॉफिट के लिए कार्य होता है बिजनेस एक्टिविटी में क्या होता है प्रोडक्शन होता है या प्रोक्योरमेंट होता है प्रोडक्शन का मतलब सामान बनाना ठीक है कोई आप कोई चीज बना रहे हो कमेंट मतलब कहीं से लेकर आना कहीं से आप सामान लेके आ रहे हो जैसे फॉर एग्जांपल मान लो कि मेरी एक है ना इलेक्ट्रॉनिक्स की दुकान है तो भाई मैं टीवी ख थोड़ना बनाऊंगा मैं तो कहीं और से लेके आऊंगा तो बिजनेस के अंदर सामान या तो बनाया जाता है या फिर कहीं से लेकर आया जाता है गुड्स भी होते हैं गुड्स मतलब अपने अकाउंटेंसी में पढ़ा होगा गुड्स मतलब जो सामान बेचने के लिए लाया जाता है या सर्विसेस जैसे आपने पिक्चर ऑल खोल लिया तो वो भी एक बिजनेस है अब लाए है तो अगला जो फीचर आता है वो क्या होता है या तो आप उस सामान को बेचो या फिर एक्सचेंज करो या तो हम सामान को बेचेंगे भाई ये पेन है ₹ का है 20 दीजिए पेन ले लीजिए बिजनेस एक्टिविटी या एक्सचेंज करेंगे यह पेन ले लीजिए और बदले में अपना पेन मुझे दे दीजिए ये क्या हुआ यह हो गया एक्सचेंज अब एक इंपोर्टेंट चीज ध्यान रखना बिजनेस हम तभी बोलेंगे जब वह रेगुलर बेसिस पर इरेगुलर बेसिस पर किया गया कार्य एक बार किया गया कार्य बिजनेस नहीं है फॉर एग्जांपल मान लेते हैं ठीक है कि मेरे पास ये फोन पड़ा है ठीक हैय एक फोन है जो मैंने 15000 का लिया था कितने का लिया था 15000 मेरे को कोई मिल गया बेहतरीन सा आदमी जिसको इसी कलर का यही मॉडल का फोन चाहिए उसको कहीं नहीं मिल रहा मैंने कहा ठीक है मैं दे दूंगा बोली ा दे दे पर मैंने कहा 177000 का दूंगा कितने का 17 का अब उसको जरूरत थी और वो थोड़ा शौकी आदमी होता है ना यही कलर चाहिए यही मॉडल चाहिए उसने कहा ठीक है तो 177000 में उसने मुझे मुझसे ये फोन ले लिया मैंने खरीदा था परचेस किया था 15 का बेचा उसको 17 का सो सिंपल सी बात है 000 का प्रॉफिट अब हम क्या बोलेंगे आई एम अ बिजनेसमैन नो आई एम नॉट अ बिजनेसमैन मैं बिजनेसमैन नहीं कहला हंगा भले ही एक बार किए गए कार्य से मुझे प्रॉफिट हो रहा है वो बिजनेस नहीं कहलाएगा बिजनेस तभी कहलाता है जब इस कार्य को आप रेगुलर बेसिस पर कर रहे हो लगातार करोगे तो ही बिजनेस है एक बार किया गया कार्य या कभी-कभी किया गया कार्य बिजनेस नहीं कहलाता नेक्स्ट बिजनेस हमेशा प्रॉफिट मोटिव के लिए किया जाता है बिना प्रॉफिट कोई बोल दे ना भाई मैं तो दान धर्म करने के लिए बिजनेस कर रहा हूं बेवकूफ किसी और को बनाइए बिजनेस किया जाता है प्रॉफिट के मोटिव से अब प्रॉफिट आना या नहीं आना वो अलग बात है पर हम बिजनेस करते हैं प्रॉफिट कमाने लास्ट और सबसे इंपोर्टेंट फीचर बिजनेस अनसर्टेनटीज लो अनसर्टेन अन पता नहीं ऐसे याद रखना मैं ऐसे ही करता सर्टेन क्या होगा अनसर्टेन पता नहीं क्या होगा तो बिजनेस हमेशा अनसर्टेनटीज भी हम बिजनेस करते हैं कोई भी नई चीज का बिजनेस करा मैंने फॉर एग्जांपल मान लो अभी थोड़े दिनों में हम आपकी माइक्रो इकोनॉमिक्स की बुक लंच कर रहे हैं नेक्स्ट वीक प्रोबेबली लंच हो जाएगी अब हम तो प्रॉफिट कमाने के लिए करेंगे हम कहेंगे भाई पूरी दुनिया खरीद ले पर मुझे पता तो नहीं ना है कि कोई खरीदेगा नहीं खरीदेगा हो सकता है डिमांड हो ही ना हो सकता है मेरे लच करने के अगले दिन बोर्ड आ जाए और बोले कि भाई नहीं सिलेबस चेंज कुछ भी हो सकता है तो तो आई डोंट नो कि क्या होने वाला है भविष्य में कोसी को भी नहीं पता तो बिजनेस का एक सबसे इंपोर्टेंट फीचर यही है कि हमें पता नहीं है कि क्या होने वाला है और इस अनसर्टेनटीज से बिजनेस में आता है रिस्क अब रिस्क के तो आपने सबने सुनी है अरे रिस्क है तो इस्क है यही वो रिस्क है तो बिजनेस के अंदर हमें पता नहीं है क्या होने वाला है इसी वजह से बिजनेस में होते हैं रिस्क रिस्क मतलब पॉसिबिलिटी ऑफ लॉस लॉस होने की संभावनाएं अब जब आपको पता ही नहीं है कि आगे क्या होने वाला तो हो सकता है लस हो जाए ठीक है तो ये हो गए बिजनेस के फीचर अब आगे समझते हैं बिजनेस को क्लासिफाई करते हैं ठीक है धंधा कर रहे हैं तो बिजनेस को बेसिकली डिस्ट्रीब्यूटर हैं तो बिजनेस को हम दो कैटेगरी में डिस्ट्रीब्यूटर हैं एक होती है इंडस्ट्री एक होती है कॉमर्स इंडस्ट्री का मतलब वो सारी चीजें जो रिलेटेड है प्रोडक्शन से प्रोसेसिंग के ऑ गुड्स एंड मटेरियल यानी कि कुछ बना रहे हैं कुछ आगे बढ़ा रहे हैं कुछ बेच रहे हैं इनसे रिलेट करता है उसको बोलते हैं इंडस्ट्री सेक्टर ठीक है इंडस्ट्री का मतलब देखो जैसे मैंने बोला कि भाई शुगर इंडस्ट्री शुगर की इंडस्ट्री तो शुगर की इंडस्ट्री का मतलब यह नहीं है कि कोई एक शुगर की मिल लगी हु इंडस्ट्री का मतलब होता है ग्रुप ऑफ फर्म ग्रुप ऑफ फर्म यानी की जितनी भी भारत में चीनी की फर्म है जो चीनी बनाती हैं उन सबको इकट्ठा करके हम इंडस्ट्री बोलते हैं मैंने बोला कॉटन की इंडस्ट्री तो इसका मतलब कॉटन बनाने वाली जितनी भी फैक्ट्रीज है उन सबको इकट्ठा करके हम इंडस्ट्री बोलते हैं समझ में आ गया फर्म होती है इंडिविजुअल इंडस्ट्री होती है ग्रुप ऑफ इंडिविजुअल ठीक है चलिए दूसरा होता है कॉमर्स ये अभी अपन पढ़ते हैं सिंपल भाषा में ये समझ लो वो सारी चीजें जो मदद करती है वो आती है कॉमर्स ठीक है तो पहले अपन पढ़ते हैं इंडस्ट्री क्या होती है और कितने प्रकार की होती है बेसिकली इंडस्ट्री इट रेफर्स टू द इकोनॉमिक एक्टिविटीज च आर कंसर्न या कनेक्टेड विथ बहुत इंपोर्टेंट पॉइंट है लिखना कन्वर्जन ऑफ रिसोर्सेस इनटू यूजफुल गुड रिसोर्सेस को चीजों को आपके यूज करने लायक सामान में कन्वर्ट करना उसको बोलते हैं इंडस्ट्री वो सारी जगह जो किसी भी सामान को फॉर एग्जांपल क्या बोलू चलो ये पहन लो यह पेन है प्लास्टिक को इस पेन के फॉर्मेट में कन्वर्ट करना यह भी किसी इंडस्ट्री के थ्रू ही हुआ है तो इंडस्ट्री क्या है जो रिसोर्सेस को आपके लिए कामर यूजफुल चीजों में कन्वर्ट कर दे वो कहलाती है इंडस्ट्री देखो इंडस्ट्री है ना बेसिकली तीन प्रकार की होती है यह अपन ने ना आठवी नवी में भी पढ़ा है वापस दिलाता हूं पहली होती है प्राइमरी जो कनेक्टेड होती है नेचुरल चीजों से या सिंपल बोले तो तो जिसके अंदर नेचुरल रिसोर्सेस की मदद से सामान बनाया जाता है दूसरी होती है सेकेंडरी जो यहां से जो सामान आया उसको कन्वर्ट करती है इनटू यूजफुल प्रोडक्ट जो आपको चाहिए उसके अंदर तीसरी होती है टर्श जिसको हम सपोर्टिव इंडस्ट्री भी बोलते हैं यानी कि जो मदद करती है इन दोनों एक-एक करके दोनों तीनों को समझेंगे सबसे पहले पकड़ते हैं प्राइमरी तो प्राइमरी इंडस्ट्री वो इंडस्ट्री होती है जो नेचुरल रिसोर्सेस की मदद से कुछ बनाती है या एक्सट्रैक्ट करती है इसके अंदर दो प्रकार की होती है एक होती है एक्स्टेक्स्ट एक होती है जेनेटिक एक्स्टेक्स्ट का मतलब ये वो इंडस्ट्री है जो जमीन से सामान निकाल रही है ये वो इंडस्ट्री है जो जमीन से सामान निकाल जैसे जमीन में खुदाई करके आयरन और निकाला जिससे अब बहुत सारे सामान बन रहे हैं तो जमीन से नेचुरल रिसोर्सेस को उठाकर कुछ बना रहे हैं ठीक है उनको एक्सट्रैक्ट कर रहे हैं जमीन में से वो कहलाती है एक्स्टेक्स्ट इंडस्ट्री ठीक है एक्सक्स ऑफ आयरन ओर ठीक है आयरन ओर मतलब जैसे आयरन निकलता है ना अपना ऐसा ऐसा तो है नहीं कि लोहे के पत्थर निकलते हैं जमीन में से ठीक है आयरन का पूरा का पूरा रॉ फॉर्म निकलता ता है जिसको फिर अलग-अलग चीजों में कन्वर्ट किया जाता है स्टील हो गया या किसी और चीज में कुछ और सामान में बनाया जाता है दूसरी होती है जेनेटिक एक शब्द में समझ जाओगे एनिमल हस्बैंड फिशिंग ये वो इंडस्ट्री है जो बेसिकली जीनस में कुछ भी बदलाव होता है जैसे फॉर एग्जांपल मान लो पशु पक्षियों को संभालने वाली ठीक है और उनसे कुछ आगे प्रोडक्शन कराने वाली ठीक है जैसे एनिमल हसबेंडरी हो गई पोल्ट्री फार्म हो गए ये सब आपके प्राइमरी इंडस्ट्री में आते हैं जिनका काम क्या है कि जो पशु पक्षी है उनकी मदद से कुछ बिजनेस बनाया जाए या उनको यूज में लेकर हम कुछ प्रोडक्ट बना ले समझ में आ गया क्लियर हो गया तो एक्सट और जेनेटिक आगे बढ़े सेकंड इंडस्ट्री अब देखो यहां पर आ आयरन और बन गया यानी कि आयरन का पूरा का पूरा गुा हमारे पास आ गया अब हम तो आयरन को ऐसे इस्तेमाल नहीं करते हम तो से कुछ बनाते हैं और फिर उससे इस्तेमाल करते हैं ठीक है तो वो काम होता है आपकी सेकेंडरी इंडस्ट्री में जो प्राइमरी से निकले हुए सामान को अलग-अलग टुकड़ों में बांट देती है ठीक है इसके अंदर भी दो आती है एक होती है तुम्हारी मैन्युफैक्चरिंग यानी सामान बनाने की एक होती है कंस्ट्रक्शन अब कंस्ट्रक्शन तो आप सब जानते हैं ठीक है रोड डैम ये सब बनाने वाली इंडस्ट्री ठीक है मैन्युफैक्चरिंग इंडस्ट्री जो मशीन और फैक्ट्री की जो अपन सोचते हैं अब फैक्ट्री भी कई अलग-अलग तरीके की हो सकती है चार हैं आपके कोर्स में मैं चारों को समझाता हूं सबसे पहले होती है एनालिटिकल मतलब समझो बहुत आसान है एनालिटिकल का मतलब ऐसी इंडस्ट्री जिसके अंदर हम एक सामान से कई सामान बना देते हैं एक सामान से कई सामान बनाते हैं जैसे जमीन से जो पेट्रोलियम आता है उस पेट्रोलियम की मदद से डीजल भी बनता है पेट्रोल भी बनता है केरोसीन भी बन गया ठीक है तो ये क्या करा हमने एक सामान लिया जिससे दो तीन चीजें अलग-अलग कर दी उसको हम बोलते हैं एनालिटिकल इंडस्ट्री एक को तोड़ के कई बना दिए फॉर्म ही चेंज कर दिया जैसे एक हमारे पास कोई सामान है हमने इससे ऐसा कुछ बना दिया ऐसा कुछ बना दिया ऐसा कुछ बना दिया ठीक है तो एक सामान से कई सामान बनाने वाली इंडस्ट्री को बोलते हैं एनालिटिकल दूसरी होती है सिंथेटिकल सिंथेटिकल उल्टा सिंथेटिकल मतलब कई सारे सामानों को लेकर एक सामान में कन्वर्ट कर देना जैसे सीमेंट की इंडस्ट्री सीमेंट की इंडस्ट्री में क्या होता है सीमेंट कैसे बनता है पानी आया मिट्टी आई और चूना आया दो चार चीज और आई उन सबको जोड़ा जोड़ के सीमेंट बना दिया एक नया फॉर्म जनरेट हो गया ठीक है छोटे-छोटे रिसोर्सेस के इस्तेमाल करके एक नया प्रोडक्ट डेवलप करना उसको बोलते हैं सिंथेटिकल इंडस्ट्री तीसरे प्रकार की इंडस्ट्री बेटा आती है की कहां लिखे यही लिखते यहां लिख दे चलो प्रोसेसिंग इंडस्ट्री प्रोसेसिंग मतलब स्टेजेस ऑफ प्रोडक्शन स्टेजेस ऑफ प्रोडक्शन जिसके अंदर प्रोडक्शन करने में कई सारे स्टेजेस आते हैं स्टेप वन स्टेप टू स्टेप थ्री स्टेप फोर ठीक है जैसे फॉर एग्जांपल मान लो गन्ने से चीनी बनाने का प्रोसेस ये बड़ा इंटरेस्टिंग प्रोसेस है इसमें तीन चार स्टेप इंक्लूड होते है गन्ना लिया पहले उसको क्या पीसा पीस के फिर कुछ और निकला फिर उसको अलग जगह ले गए ऐसे तीन चार स्टेप होते हैं जिसके बाद एक शुगर रेडी होती है सिमिलरली पेपर की इंडस्ट्री भी इसी में काउंट होती है ठीक है अलग-अलग तीन चार स्टेप है जिनकी मदद से आप एक नया प्रोडक्ट डेवलप कर रहे हो चौथी और आखरी आती है आपकी असेंबलिंग असेंबलिंग इंडस्ट्री आजकल बहुत ज्यादा ट्रेंड में यहां पर ना तो सामान मैन्युफैक्चर होता है और ही कहीं कुछ और होता है इसके अंदर बस दो चार छह जगह से सामान लाया जाता है और इकट्ठा करके एक डब्बे के अंदर दे दिया जाता फॉर एग्जांपल आपका फोन इस फोन में कैमरा है मदरबोर्ड है और दो चार चिप विप है स्क्रीन है ऐसी कई सारी चीज है अब आपको क्या लगता है य सारी चीज एक फैक्ट में बनती होंगी नहीं इधर से कुछ लिया लगाया उधर से कुछ लिया लगाया इधर से कुछ लिया लगाया इकट्ठा करा ब्रांडिंग करी लो भाई ये क्या हो गया यह हो गई आपकी असेंबलिंग इंडस्ट्री जहां पर असेंबल किया जा रहा है इंपोर्टेंट समझ लेना सिंथेटिकल में जो सीमेंट बना ना अपना वो एक रॉ फॉर्म है नई चीज है आप सीमेंट से वापस मिट्टी नहीं बना सकते सीमेंट से पानी अलग नहीं कर सकते पर ये वाली है ना सेलिंग इसके अंदर अगर मदर बोर्ड लगा है तो मदर बोर्ड ही है इसके अंदर कैमरा लगा तो वो कैमरा ही है ऐसा नहीं लगने के बाद बदल गया वैसा का वैसा ही है समझ में आ गया स्क्रीन लग तो स्क्रीन ही है पहले भी ऐसी थी अभी भी ऐसी है बस चिपक गई है इसके साथ अलग भी कर सकते हो आप इसको तो ये क्या हो गया ये हो गई आपकी असेंबलिंग इंडस्ट्री समझ गए कंस्ट्रक्शन इंडस्ट्री समझ गए टरी इंडस्ट्री ये होती सर्विस सेक्टर देखो समझना प्राइमरी में सामान बना निकला रॉ मटेरियल के फॉर्मेट में जमीन से सेकेंडरी में उस सामान से कोई प्रोडक्ट बनाया जो हम यूज करेंगे पर यहां से यहां तक जो सपोर्ट देने का काम है वह करता है आपका टर्श सेक्टर या फिर सर्विस सेक्टर इसके अंदर आता है जैसे ट्रांसपोर्टेशन सामान एक जगह से दूसरे जगह ले जाना बैंकिंग सेक्टर ठीक है इंश्योरेंस सेक्टर ये सब किसके अंदर आ गए सर्विस सेक्टर के अंदर काउंट किए जाते है इसके अंदर अलग-अलग डिफरेंशिएबल व्हाट इज कॉमर्स कॉमर्स सिंपल लिंक बिटवीन प्रोड्यूसर एंड कंज्यूमर सामान बना रहा हूं मैं अपनी फैक्ट्री में राजस्थान में खरीद रहे हो तुम कहां पर कहां पर मान लो आसा दिल्ली में यूपी में कहीं भी तो यह जो पूरा प्रोसेस है ना जिसके थ्रू मैं अपने सामान को आप तक पहुंचा पा रहा हूं या फिर आप मेरा सामान खरीद भी पा रहे हो यह सब कुछ कॉमर्स के अंदर आता है कॉमर्स के अंदर दो अलग अलग टाइप की एक्टिविटी आती है एक आता है ट्रेड और एक आता है ऑक्सल टू ट्रेड एक आता है ट्रेड और एक आता है ऑक्सल टू ट्रेड समझो ट्रेड का मतलब क्या होता है हिंदी में बोले तो ी या ठीक है हिंदी में से व्यापार बिजनेस करना इधर से सामान उधर लेना ठीक है ट्रेड का मतलब परचेसिंग और सेलिंग ऑफ गुड्स परचेसिंग और सेलिंग ऑफ गुड्स और सर्विसेस सामान बेचना या खरीदना यह भी क्या है यह व्यापार है बिजनेस नहीं ये व्यापार है बिजनेस का एक पार्ट है व्यापार ट्रेड ठीक है अब आप मेरा सामान खरीद रहे हो फॉर एग्जांपल अरी माइक्रो की किताब आ रही है वो आपने खरीदी तो यह क्या है य मैं सेल कर रहा हूं आपको तो ट्रेडिंग हो रही है मैं आपको अपना सामान बेच र ेड दो प्रकार के होते हैं एक होता है भैया इंटरनल ट्रेड इंटरनल ट्रेड यानी कि एक कंट्री के अंदर ही व्यापार हो रहा है जैसे आप भाई भारत के हो इंडिया के हो हम भी भारत के इंडिया के मैंने आपको सामान बेचा आपने मुझे सामान बेचा तो य इंटल भारत के अंदर होने वाला ड एक होता है एक्सटर्नल ट्रेड एक्सटर्नल ट्रेड जिसमें टू और मोर कंट्री इवॉल्व टू और मोर कंट्री इवॉल्व ठीक है देश के बाहर जैसे मैंने यहां से मान लो चाइना सामान भेजा मंगाना नहीं भेज देंगे ठीक है और जापान सामान भेज दिया यूएस सामान भेज ये क्या है एक्सटर्नल ट्रेड अब इंटरनल ट्रेड भी दो प्रकार के होते है आपस पोस की दुकाने देखो दो तरीके की होती है एक होती है होलसेल की दुकान एक होती है रिटेल की दुकान होलसेल का मतलब ऐसी दुकान जहां पर लार्ज क्वांटिटी के अंदर सामान मिलता है बहुत बड़ी क्वांटिटी एक ही तरीके का मिलेगा जैसे अगर स्टेशनरी का होलसेलर है तो उसके पास स्टेशनरी की हर वैरायटी बहुत बड़ी क्वांटिटी में मिलेगी पर मिलेगी सिर्फ और सिर्फ स्टेशनरी की समझ में आ गया तो होलसेल बड़ी क्वांटिटी में रिटेल तो भैया अपने अड़ोस पड़ोस की दुकान देख लो जनरल स्टोर किराना स्टोर ये सब क्या है ये रिटेल ट्रेड है जो डायरेक्टली कंज्यूमर तक अपना सामान पहुंचाती है होलसेलर रिटेलर को बेचते हैं रिटेलर आपको बेचते हैं रिटेलर छोटी क्वांटिटी में काम करते हैं होलसेलर बड़ी क्वांटिटी में काम करते है इससे होलसेलर का प्राइस कम होता है रिटेलर का थोड़ा ज्यादा होता है ठीक है ये तो हो गया इंटरनल अब एक्सटर्नल अपन ने बचपन में पढ़ा है इंपोर्ट एंड एक्सपोर्ट इंपोर्ट का मतलब सामान इन मंगाना भारत के अंदर मंगाना भाई जापान से सामान भारत के अंदर आया यह हुआ इंपोर्ट चाइना से सामान भारत के अंदर आया इंपोर्ट यूएस सामान भारत के अंदर आया इंपोर्ट एक्सपोर्ट मतलब बाहर भेजना एक्सपोर्ट मत मतलब बाहर भेजना एक होता है इंटरपोर्ट क्या होता है एंटर पोर्ट एंटर पोर्ट का मतलब क्या होता है हमने सामान मंगाया खुद नहीं यूज किया पर किसी और को बेच डाला मतलब बिचोली वाला काम ठीक है यानी कि इंटरपोर्ट का मतलब होता है इंपोर्ट करा ताकि हम उसको एक्सपोर्ट कर सके सामान मंगाया ताकि हम उसको बाहर बेच सके फॉर एग्जांपल मान लो कि हमें जो है ना जापान को कोई सामान बेचना है पर हमारे पास वो सामान है ही नहीं हमारे पास तो नहीं है पर यूएस के पास है तो हमने यूएस वाले को फोन करा भैया तेरा ये सामान चाहिए उसने कहा ठीक है मंगा दो तो यूएस से सामान भारत में आया ये हो गया इंपोर्ट हम खुद इस्तेमाल नहीं कर रहे हमने बाहर जापान को बेच दिया ये क्या हो गया एक्सपोर्ट हमने इंपोर्ट किया एक्सपोर्ट करने के लिए अब आप बोलोगे साहब वो आपस में डीलिंग नहीं कर सकते अरे कर सकते तो कर लेते भाई हमसे क्यों पूछ रहे हो कर सकते तो कर लो ठीक है ये बेसिकली तब होता है जब वाइट लेवलिंग का कार्य होता है नहीं भैया हमें तो मेड इन इंडिया है ठीक है या फिर प्रोडक्शन इन इंडिया है या फिर इंडिया के थ्रू ही मंगाना है हम यूएस से डायरेक्टली बात नहीं करते तो इस रूट के थ्रू सामान आ गया ठीक है ना जैसे होता है ना कभी-कभी आपस में ममी पापा बात नहीं कर रहे हो तुम बिचोली बन जाते हो मम्मी बोलते पापा को बोल दे ऐसा करना पापा बोलते मम्मी को बोल दे ऐसा करना तो आप एंटर पोर्ट का काम कर रहे हो मंगा रहे हो इंफॉर्मेशन ताकि बाहर बेचो आपका कोई काम नहीं है समझ गए तो ये हो गया ट्रेड अगला आता है ऑक्सी टू ट्रेड देखो ऑक्सल टू ट्रेड अगर सिंपल भाषा में बोले तो ऑक्सल टू ट्रेड मतलब ट्रेड यानी व्यापार में आने वाली समस्याओं समस वाय याओ को हटाना ऑक्सल टू ट्रेड या सर्विस मतलब व्यापार में आने वाली समस्याओं को हटाने वाली चीजों को बोलते हैं ऑक्सल टू ट्रेड ठीक है ये बेसिकली ड्रेंस को हटाते ड्रेंस मतलब प्रॉब्लम्स प्रॉब्लम मान लो इसको या परेशानी मान लो इसको परेशानी यह व्यापार में आने वाले हर एक प्रकार के ड्रेंस को हर एक प्रकार की परेशानी को हटाती है उनको कहते री कैसे हटाती है कौन सी होती है देखो जैसे द ्र ऑफ पर्सन जैसे फर एपल मैंने सामान बना लिया अब भाई मैंने तो बना लिया पर बेच किसको तो इस पर्सन के ंड को खत्म करने के लिए आता है व्यापार ट्रेड ड्रेंस ऑफ प्लेस भाई मैं अजमेर बैठा हूं तुम यूपी में हो कैसे बेचूंगा सामान ट्रेड करूंगा कैसे तो यह प्लेस की जो परेशानी है इसको हटाया जाता है ट्रांसपोर्टेशन की मदद से ठीक है ट्रांसपोर्टेशन तो परेशानी जगह की हटा देता है ट्रांसपोर्टेशन यह है ऑक्सल टू ट्रेड परेशानी समय की भैया आज सामान बना बिकेगा चार दिन बाद फॉर एग्जांपल मान लो कि मैगी है ठीक है आप सभी के घर के आसपास है कैसे है भैया बनरी कभी और है तुम्हें चाहिए यहां पर अपने शहर में अपने घर पर कैसे होगा तो इस परेशानी को हटाने का काम करते हैं स्टोरेज एंड वेयर हाउसिंग गोदाम ठीक है समय की परेशानी को हटा देते हैं समय आज बना बिकेगा 10 दिन बाद कोई बात नहीं गोदाम पड़ा हुआ है ठीक है हिडेंस ऑफ रिस्क नुकसान हो जाएगा कैसे बचाए इंश्योरेंस करा लो तो ये हो गया ऑक्सल टू ट्रेड इंश्योरेंस हिस ऑफ कैपिटल पैसा नहीं है कैपिटल मतलब मनी पैसा नहीं है क्या आएगा यहां पर मदद करने के लिए बैंकिंग सेक्टर आएगा सा ड्रेंस ऑफ इंफॉर्मेशन कस्टमर को पता ही नहीं है आपने सामान बनाया उसम क्या फायदा नुकसान है हम माइक्रो बना रहे आपको पता ही नहीं साब अरे माइक्रो बना रहे अच्छा होगी फायदे क्या है नुकसान क्या है कैसे पता लगेगा जब हम क्या करेंगे एडवरटाइजमेंट तो ये क्या कहलाता है ये कहलाते है ऑक्सल टू ट्रेड या सर्विस यानी व्यापार और सर्विस सर्विस मतलब कोई भी फैसिलिटी देना जैसे रेस्टोरेंट रेस्टोरेंट में आप खाना खा रहे हो तो सर्विस ले रहे हो ठीक है पिक्चर वा पिक्चर देख रहे हो तो वो भी एक सर्विस है तो इनमें जो भी परेशानी ह आती है उनको हटाने वाली चीज है ठीक है परेशानी यह रही इनको हटाया हमने इन सब चीजों की मदद से समझ में आ गया चलिए अब बात करते हैं मेन मुद्दे की बिजनेस क्यों किया जाता है आप बोलोगे साहब बिजनेस जो किया जाता है उसका मेन मुद्दा तो एक ही है प्रॉफिट बिल्कुल सही बात है तो व्हाट इज द ऑब्जेक्टिव ऑफ बिजनेस ऑब्जेक्टिव का मतलब होता है एंड रिजल्ट ऑब्जेक्टिव का मतलब होता है एंड रिजल्ट किसी भी काम को आप यहां पढ़ रहे हो आपका ऑब्जेक्टिव क्या है भाई 11थ क्लास में मुझे 90 पर मार्क्स लाने है ये मेरा ऑब्जेक्टिव हो गया या यूटी में मेरे को इतने नंबर लाने है ये मेरा ऑब्जेक्टिव हो गया तो ऑब्जेक्टिव ऑफ बिजनेस मतलब बिजनेस करने के पीछे आपका उद्देश्य क्या है एंड में आप क्या चाहते हो तो हम एंड में चाहते हैं बेसिकली मेन ऑब्जेक्टिव जो होता है वो होता है हमारा प्रॉफिट मैं पूछता हूं सबब प्रॉफिट मेन क्यों होता है क्योंकि देखो प्रॉफिट आने से सब कुछ सही रहता है अगर आपकी कंपनी को प्रॉफिट हो रहा है तो ये माना जाएगा कि आपकी कंपनी ग्रोथ कर सकती है प्रॉफिट में है अभी आप अगर आपकी कंपनी को प्रॉफिट हो रहा है तो माना जाएगा आपकी लिक्विडिटी अच्छी है लिक्विडिटी का मतलब होता है बेटा इसको ऐसे समझो कैश कन्वर्ट करना भाई पैसे की जरूरत पड़ गई अगर मेरे को प्रॉफिट हुआ है है मेरे पास तो मैं कभी भी बैंक में से पैसा निकाल के दे दूंगा जरूरत पड़ने प अगर मेरे को लॉस हो रहा है तो पैसे कहां से लाऊंगा तो प्रॉफिट होने का मतलब आपको बढ़िया काम हो रहा है आपके पास पैसा अवेलेबल है तो आपके पास लिक्विडिटी अवेलेबल है ठीक है अगर आपको प्रॉफिट हो रहा है ब्राइट फ्यूचर है आपका ब्राइट फ्यूचर है आपका प्रॉफिट है तो सब कुछ सही है प्रॉफिट है तो आपकी गुडविल है गुडविल मतलब आपका नाम है तो प्रॉफिट मेन ऑब्जेक्टिव इसलिए क्योंकि अगर प्रॉफिट है तो सब कुछ सॉलिड स्मूथ चल रहा है पर एक बात बताओ क्या सिर्फ प्रॉफिट ही बिजनेस का ऑब्जेक्टिव होता है क्या बिजनेस को कुछ और नहीं करना पड़ता बेसिकली बिजनेस के तीन कैटेगरी के अलग-अलग ऑब्जेक्टिव होते हैं कौन-कौन से होते हैं देखो पहला होता है ऑर्गेनाइजेशनल जो ऑर्गेनाइजेशन के अंदर रहने वाले चलाने वाले लोगों का होता है एक होता है सोशल भाई आज आप टाटा ग्रुप से क्या उम्मीद करते हो कि वह जो दान धर्म का काम कर रहे हैं जो दान दे रहे हैं वो देते रहे तो आप भी तो बिजनेस से को चाह रहे हो ना तो ये होता है सोशल कि सोसाइटी क्या चाहती है एक होते है पर्सनल ऑब्जेक्टिव पर्सनल मतलब जो एंप्लॉई काम कर रहे हैं आप नहीं पर्सनल मतलब जो एंप्लॉई काम कर रहे हैं वह क्या चाहते हैं देखो हर व्यक्ति कुछ ना कुछ चाहता है बिजनेस बिजनेस किसी का भी हो चाहते सब है जैसे पहला आता ऑर्गेनाइजेशनल अगर मेरी ऑर्गेनाइजेशन है तो बेसिक ऑर्गेनाइजेशन के क्या ऑब्जेक्टिव है तो ना का पहला ऑब्जेक्टिव होता सर्वाइवल अगर एक नया बिजनेस शुरू हुआ है तो वो पहले दिन से प्रॉफिट नहीं सोचेगा वो पहले दिन से सरवाइव करने की सोचेगा फॉर एग्जांपल जैसे आया तो j ने आते ही क्या किया फ्री में सबको सिम बांटी फ्री में सबको इंटरनेट बांटे क्यों बांटे भाई क्योंकि वो जब आया था उसको इन तीन चार सिमों की कैटेगरी में अपनी जगह अपनी इंपोर्टेंस बनानी थी तो इसलिए इसने क्या किया सबसे पहले लॉस खाके भी सरवाइव किया कि भाई कोई भी बोले कि भाई सिमों का या अपने को नई सिम खरीदनी है तो उसके दिमाग में क्या आएगा यार airtelhellotunes.in पले आके क्या करती है सरवाइव करने की कोशिश करती है एक बार सरवाइव हो गया उसके बाद वो ढूंढती है प्रॉफिट आप देख रहे हैं jio9apps j सिनेमा आ गया ठीक है और भी j के बहुत सारे अलाइन सर्विसेस आ गए तो जब भी कोई ऑर्गेनाइजेशन आती है नहीं तो पहला उसका ये होता है दूसरा ये होता है तीसरा ही होता है य सीक्वेंस में ही चलता है पहले सरवाइव करेगी एक बार सरवाइव कर लिया फिर प्रॉफिट ढूंढे गी प्रॉफिट ढूंढ लिया फिर ग्रोथ ढूढेगी ये तो है ऑर्गेनाइजेशन खुद क्या चाहती है अब हम बात करते हैं सोसाइटी क्या चाहती है आप क्या चाहते हो एक कोई भी कंपनी अगर आपके एरिया में खुले तो आप उससे क्या चाहोगे हम चाहेंगे साहब एंप्लॉयमेंट प्रोवाइड करें एंप्लॉयमेंट रोजगार प्रोवाइड करें हमारे लोगों को ठीक है क्वालिटी प्रोडक्ट दे क्वालिटी ऑफ गुड्स या सर्विसेस जो भी दे रही है अच्छी क्वालिटी का दे ठीक है लेस पोल्यूशन करें और क्या चाहोगे थोड़ा सा दान धर्म भी कर दे सोशल सर्विस भी कर ले ठीक है और किसी प्रकार के किसी गलत काम में ना पड़े नो फ्रॉड ठीक है किसी प्रकार का कोई फ्रॉड ना करे किसी अनफेयर ट्रेड प्रैक्टिस में ना आए ये हम चाहते हैं कि हमारे एरिया में अगर कोई ऑर्गेनाइजेशन खुल रही है हमारे देश में खुल रही है तो व ऐसा काम करनी चाहिए अब मानते कि एंप्लॉई जो उसके अंदर काम कर रहे वो क्या चाहते हैं वो चाहते हैं गुड सैलरी अच्छी सैलरी मिले ठीक है फेयर कंपनसेशन फेयर ट्रीटमेंट हो अच्छा ट्रीटमेंट हो अच्छा वर्किंग एनवायरमेंट मिले ठीक है हेल्दी वर्किंग एनवायरमेंट जिसको बोलते हैं हेल्दी एच एल टी एच वा हेल्दी वर्किंग एनवायरमेंट मतलब लड़ाई दंगे ना हो ठीक है और बोलो और भी बहुत सारी चीज जैसे एग्जांपल मान लो हमारा इंश्योरेंस करा दो हमारे बच्चों को पढ़ा दो ठीक है और चाहते हैं कि भैया पीयर रिकॉग्निशन मिले पीयर रिकॉग्निशन का मतलब होता है कि यार अगर हमने कुछ अच्छा किया तो तालियां बजा दो यार थोड़ा तो हमने मेहनत करी है तो ये सब क्या कौन चाहते हैं वहां के एंप्लॉई चाहते हैं तो ये ऑर्गेनाइजेशन से हर एक बंदा चाहता है तो ये ऑर्गेनाइजेशन के ऑब्जेक्टिव है कि ये भी पूरा हो ये भी पूरा हो और ये भी पूरा हो तो जो भी ऑर्गेनाइजेशन इन सबको पूरा करती है सिर्फ वही ऑर्गेनाइजेशन लॉन्ग टर्म में चल पाती है आज टाटा ग्रुप को देख लो टा प्रॉफिट भी है ग्रोथ भी कर रहा है सोसाइटी में भी उसका नाम अच्छा है किसी प्रकार के नुकसान गलत चीजों में नहीं पढ़ते और साथ-साथ में एंप्लॉई के लिए भी अच्छे हैं टाटा के एंप्लॉई को हर साल इंक्रीमेंट मिल रहा है टाटा के प्रोडक्ट पर डिस्काउंट मिल रहा है सब चीजें हो रही है टाटा के थ्रू क्यों क्योंकि वो उनके एंप्लॉयज हैं एंप्लॉई चाहते हैं कि ऐसा हो तो वो हो रहा है तो ऑर्गेनाइजेशन अगर लंबी चलानी है तो इन सब चीजों को ध्यान में रखना पड़ेगा ये हो गए ऑब्जेक्टिव अब बात करते हैं आखरी टॉपिक की जो कि है रिस्क यानी कि नुकसान होने की प्रोबेबिलिटी या पॉसिबिलिटी देखो रिस्का सिंपल वाचा में मतलब होता है पॉसिबिलिटी ऑफ इक्वेट प्रॉफिट और इवन लॉसेस रिस्क सिर्फ तब नहीं है जब लॉस हो मैंने सोचा हज यूनिट बिकनी चाहिए 400 ही बिक तो यह भी रिस्क है यह भी मेरे लिए एक तरीके का लॉस है इन एडिक्ट प्रॉफिट हैय क्योंकि मैंने हज के हिसाब से सारा काम कर लिया ब चा तो 600 खराब हो गई तो ये क्या है इन एडिक्ट प्रॉफिट है तो रिस्क का मतलब जितना सोचा था उतना नहीं हुआ या फिर हो सकता है लॉस भी हो गया रिस्क होता क्यों है रिस्क बेसिकली जो मेन रीजन होता है वो होता है अनसर्टेन अपन ने अभी पढ़ा अन अन पता नहीं सर्टेन क्या होगा तो अनसर्टेनटीज क्योंकि हमें पता नहीं भविष्य में क्या होने वाला है इसलिए रिस्क है इसलिए पॉसिबिलिटी है कि कुछ भी हो जाए रिस्क दो प्रकार के होते हैं स्पेक्युलेटिव और प्योर स्पेक्युलेटिव का मतलब प्रॉफिट लॉस कुछ भी हो सकता है हो सकता है प्रॉफिट हो हो सकता है लॉस हो जैसे डिमांड बदल ग चेंज इन डिमांड कस्टमर की डिमांड बदल अगर आपके फेवर में बदली है तो आपको प्रॉफिट हो जाएगा आपके फेवर में नहीं बदली उल् चली गई तो क्या हो जाएगा लॉस हो जाएगा ये क्या हुआ स्पेक्युलेटिव रि स्पेट स्टॉक मार्केट वाला रिस्क जिसम प्रॉफिट भी हो सकता है लॉस भी हो सकता है कुछ भी हो सकता दूसरा होता है पोर रिस्क इसका मतलब लॉस और नो लॉस या तो लॉस होगा या लॉस नहीं होगा प्रॉफिट का नहीं है इसमें कोई भी बात जैसे फायर आग लग जाना भाई आग लगी तो लॉस नहीं लगी तो नो लॉस समझ गए प्योर इस का मतलब कि भैया या तो लॉस हो जाएगा अगर हमने जो सोचा आग लगने के बारे में लग गई आ ओहो क्या हो गया लॉस आग नहीं लगी तो इससे कोई प्रॉफिट नहीं हो रहा है बस हमारा लॉस नहीं हुआ समझ गए ये होता है प्योर रिस्क अब जो रिस्क है उसके नेचर के बारे में अगर बात करें तो रिस्क कैसा होता है तो सबसे पहला फीचर और नेचर रिस्क अराइज ड्यू टू अनसर्टेन भैया रिस्क इसलिए होता है क्योंकि अनसर्टेंटी है अगर मुझे पता है कि फ्यूचर में क्या होने वाला है तो क्या कोई रिस्क होगा नहीं होगा चल रहा है मामला बढ़िया दूसरा होता है प्रॉफिट इज द रिवर्ड ऑफ रिस्क आपने सुना ना रिस्क है तो इस्क है नो पेन नो गेन अगर रिस्क नहीं लोगे तो प्रॉफिट कैसे होगा जितना बड़ा रिस्क उतना बड़ा प्रॉफिट जैसे अंबानी जी ने डे लाख करोड़ की कंपनी खड़ी कर दी थी डेढ़ लाख करोड़ की j फ्री में सामान बाट के अब रिस्क था ना कि कंज्यूमर जैसे ही पैसा मांगेंगे पलट जाएंगे रिस्क तो था इस बात का पर नहीं पलटे तो प्रॉफिट भी उतना ही हुआ एसेंशियल पार्ट ऑफ बिजनेस देखो भैया कोई बिजनेस बिना रिस्क के नहीं चल सकता ठीक है छोटा बिजनेस है तो छोटा रिस्क बड़ा बिजनेस है तो बड़ा रिस्क और बड़ा बिजनेस है तो और बड़ा रिस्क जितना बड़ा बिजनेस उतना बड़ा रिस्क और साथ-साथ में रिस्क डिपेंड करता है कि आपका नेचर कैसा है भाई किस प्रकार का धंधा कर रहे हो जैसे ई सामान नहीं बना रहे बेसिकली ठीक है मतलब किताब तो बना रहे हैं बट बेसिकली ऐसा हमारा कोई हेवी मॉडल नहीं बस एक कैमरा है और ये सारी चीज है तो यहां पर रिस्क थोड़ा लिमिटेड है अगर कोई ऐसा चीज होती मतलब मैं ऐसा बिजनेस कर रहा होता जिसमें सिर्फ सामान ही बेचना है और कुछ नहीं है तो रिस्क की पॉसिबिलिटी ज्यादा होती है छोटे स्केल पर कर रहे हो तो छोटा है बड़े स्केल पर कर रहे हो तो बड़ा रिस्क हो जाएगा लास्ट बात करते रिस्क होता क्यों है क्यों है भैया रिस्क तो रिस्क के चार अलग अलग रीजन होते हैं पहला होता है नेचुरल प्रोसेस आग लग गई भूकंप आ गया फ्लड आ गया ठीक है कुछ भी हो गया तो ये नेचुरल कॉज ऑफ रिस्क है इस वजह से रिस्क हो सकता है ह्यूमन कॉसेस इंसान है यार करना भूल गया यार अरे यार न से ही निकल गई यार नहीं नहीं मैंने किया था नहीं नहीं मैंने तो किया था डिसटी स्ट्राइक पर चले गए करना भूल गए तो ह्यूमन कॉसेस की वजह से रिस्क हो सकता है भाई आग लग गई क्यों लगी भाई यार वो बटन बंद करना भूल गए थे ठीक है इकोनॉमिक इंटरेस्ट रेट बढ़ गई प्राइसेस बढ़ गए डिमांड बदल गई ये सारे क्या हुए इकोनॉमिक रिस्क लास्ट होता है अदर रिस्क कोई भी और कॉस हो सकते है जिसकी वजह से रिस्क हो जाए जैसे पॉलिटिकल डिस्टरबेंस यह तो अभी आपने देख लिया चुनाव के समय स्टॉक मार्केट टुक टुक टुक टक फ्लकचुएट हो रहा था यह क्या है यह अदर कॉज ऑफ़ रिस्क है समझ में आ गया तो यह आपका चैप्टर नंबर वन पूरी तरीके से समाप्त हो गया इसके नोट्स चाहिए डिस्क्रिप्शन में लिंक है और कोई परेशानी हो तो कमेंट सेक्शन खाली है एट लास्ट जाने से पहले बालको अगर यहां तक आए हो तो आपके लिए एक छोटा सा तोहफा यह मेरा फोन नंबर है इस पे आप whatsapp2 हूं और इस नंबर को सेव कर लीजिए पूरी 11वीं 12वीं सीए सीयू जो भी करना है साथ में करेंगे मिलकर आप की तरह पिछले सेशन में हजारों बच्चे अभी हमारे ् पर है ये मेरा नंबर है सेव कर लेना मैं भी आपका नंबर सेव करूंगा ताकि परेशानी जब भी आए हम आपके साथ ही रहे चलिए मिलते अग वीडियो के साथ तब तक के लिए नमस्कार