Hello students, welcome to पडले Humanities, मैं हूँ आपकी अनुश्या दीदी और आज के class में हम लोग start करने वाले हैं sociology का new chapter So आपको पता है very recently हम लोगों ने एक optional subject आप लोगों के लिए start करा sociology के भी chapters अब आपको हमारे channel पर मिल जाएंगे आज के class में हम लोग sociology के ही एक new chapter को start करने वाले हैं सबसे पहले जल्दी से देख लेते हैं कि chapter का नाम क्या है and of course feel free to reach out in comment section जिन भी बच्चों ने class को join कर लिया जल्दी जल्दी इस video को like करो और हमारे channel को subscribe करो ऐसे और भी interesting classes के लिए चलो तो हमारी chapter का नाम है terms, concepts and their use in sociology ठीक है तो basically ये भी थोड़ा मतलब एक introductory kind of chapter है क्यूंकि sociology एक ऐसा subject है जो कि हम लोगों ने पहले नहीं पढ़ा, 10 तक नहीं पढ़ा पहली बार हम लोग इस subject के साथ deal कर रहे हैं तो इस chapter में भी आपको थोड़ा बहुत introduction दिया जाएगा, तो sociology के subject में हम लोग क्या-क्या terms use करते हैं, हम लोग क्या-क्या concepts use करते हैं, sociology के concepts कैसे हमारे लिए useful हैं, ये सारी चीज़ें आपको इस chapter में समझाई जाएगी, तो नाम, it is pretty much self-explanatory कि आपको खुदी नाम पढ़के समझ आ रहा होगा, कि हम terms and concepts पढ़ने वा ओके, तो अब हम लोग अपना चाप्टर स्टार्ट करते हैं, ये बस basic introduction दिया मैंने आपको, कि इस चाप्टर में हम लोग क्या cover करने वाले हैं, अगर हम लोग बात करें अपने previous chapter की, by the way, previous chapter आपको इसी चानल पर मिल जाएगा, अगर किसी ने miss कर दिया, किसी ने नहीं पढ� तो उस चाप्टर में हमने sociology के बारे में in detail पढ़ा, ठीक है, हमने पिछले चाप्टर में ये भी समझा कि sociology का एक main task क्या होता है, ये समझना कि society और individual कैसे linked है, है न, एक बहुत ही central role क्या होता है sociology का, हम इस subject में ये समझने की कोशिश करते हैं, कि society और individual कैसे linked है, हमने ये भी सम चैप्टर में कि इंडिवीजुअल्स जो है वह अकेले काम नहीं करते ठीक है अगर आप सोचोगे कि आप एक सोसाइटी में हो और उस सोसाइटी में आप सिर्फ अपने काम से मतलब रखोगे तो इट इस नॉट पॉसिबल ठीक है वी आक्ट लाइक अग्रूप हमने पिछले इसके अलावा भी society में अलग-अलग groups बनाए जाते हैं, जैसे कि caste हो गया, class हो गया, clan हो गया, nation हो गया, तो इस तरीके से अलग-अलग groups society में create करे जाते हैं, क्योंकि as an individual हम लोग अकेले society में exist नहीं कर सकते, ठीक है, क्या होता है, हम लोग groups में exist करते हैं, ठीक है, इन इस chapter we move further to understand the kinds of group, इस chapter में हम लोग थोड़ा और एक कदम आगे बढ़ेंगे, और इन सारे ग्रुप्स को समझने की कोशिश करेंगे, हम समझेंगे कि कैसे सोसाइटी में unequal orders हैं, हम समझेंगे कि stratification क्या होता है, अभी समझ नहीं आ रहा होगा आपको, सुनते जाओ, basic introductory topic है भी है, तो अभी आपको बस बताया जा रहा है कि इस chapter में आप क्या क्या पढ़ो� कंट्रोल वर्ड या टर्म का क्या मतलब होता है सोसाइटी में अलग-अलग इंडिविजुअल्स का क्या रोल होता है ठीक है क्या काम होता है स्टेटस का असली मतलब क्या होता है ठीक है यह सारी चीजें आप लोग समझोगे इसके अलावा आपको थोड़ा बहुत यह भी समझ आएगा कि हम सोसाइटी को किस नजरिये से देखें ठीक है क्या हमें ऐसा सोचना चाहिए कि सोसाइटी एक ऐसी ग्रुप एक ऐसा ग्रुप है जहां पर सब लोग हार्मनी में रहते हैं हार्मनी मतलब सब लोग है खुशी-खुशी साथ-साथ रहते हैं, या क्या हमें सोसाइटी को ऐसे देखना चाहिए, कि सोसाइटी तो एक ऐसा ग्रूप है, which is conflict-ridden, मतलब एक ऐसा ग्रूप है, जहांपे लोग आपस में एक दूसरे के साथ लड़ते जगड़ते रहते हैं, ठीक है, क्या सोसाइटी में this chapter आपको clear हो जाएगा ठीक है by the way हम पूरे chapter को इसी lecture में finish करेंगे चलो तो अब सबसे पहले हमारा जो chapter का नाम है उसी में हमें बताया जा रहा है कि इस chapter में हम लोग sociology से related बहुत सारे terms के बारे में पढ़ने वाले हैं, ठीक है, तो पहला question जो कि आप लोगों के दिमाग में बिल्कुल आना चाहिए, वो यह है, कि sociology जैसा जो subject है, इसमें हमें terms की क्या ज़रूरत है, ठीक है, क्योंकि basically हम लोग sociology में क्या कर रहे हैं, हम लोग society के बारे में सीख तो बहुत सारी चीज़ें तो हम आसपास जब notice करते हैं तो हमें समझ आ जाता है तो sociology जैसे subject में हमें particular terms समझने की क्या ज़रूरत है ठीक है जैसे मैं आपको थोड़ा और अलग example के साथ समझाती हूँ ठीक है चलो अगर हम बात करें nuclear physics की ठीक है अगर हम physics की बात करें ठीक है तो physics देखो एक ऐसा subject है जो day to day life में हम आसपास most of the लोग notice नहीं करते है ना जैसे humanities के students तो I believe आप लोग अब हम साइन्स से हट गए है ना, तो डेली लाइफ में हम लोग साइन्स की बातचीत नहीं करते हमारे पास टर्म्स है नहीं, ठीक है, फिजिक्स में अलग-अलग चीजों को समझाने के लिए, तो इस टाइप के सबजेक्ट में टर्म्स बनाना जरूरी हो जाता है, क्योंकि बहुत ही common है, sociology में हम जो भी चीज़े पढ़ते हैं, वो हम daily life में बोल भी देते हैं, है न, तो sociology में हमें terms की क्या ज़रूरत है, तो हमें ये समझना ज़रूरी है, कि हमने पहले chapter में पढ़ाता है, कि nevertheless sociology एक subject है, sociology का अपना एक past है, एक history है, तो sociology को भी हमें एक उसी proper subject की तरह treat जैसे हम लोग sociology में एक word यूज़ करते रहते हैं बार बार है न, family, हम लोग family बहुत बार यूज़ करते रहते हैं, अब अगर आप उपर उपर से देखो तो आपको लगता है कि family तो कोई term ही नहीं है इसका तो मतलब हमें पता है, है न, पर just because आप इस word को बार बार सुनते हो या common knowledge, या फिर naturalistic explanation के साथ हमें confuse नहीं करना, ठीक है, sociology में कई बार ऐसा होगा कि आप ऐसी चीज़े पढ़ोगे जो आपको लगेगा कि ये तो पता था मुझे, है ना, पर ये नहीं सोचना कि आपको ये इसलिए पता था क्योंकि ये common sense का part होता है, ठीक है, तो ताकि हम differentiate कर प likewise sociological concepts too have a story to tell तो sociology में जैसे terms होते हैं तो sociology में वैसे अलग-अलग concepts भी होते हैं और sociology में यह भी होता है कि हमारे जो अलग-अलग thinkers हैं उनका अलग-अलग नजरिया होता है same concept के उपर many of the concepts reflect concern of social thinkers to understand and map social changes अलग-अलग concept में हमें अलग-अलग social thinkers का नजरिया पता लगता है, ठीक है, वो social change को कैसे समझेंगे, ये हमें पता लगता है, ठीक है, for example, हम sociologist के perspective, नजरिये का एक example उठा के देखते हैं, तो हमारे जो sociologist हैं, उन्होंने observe करा, कि जितनी भी simple, ठीक है, जितनी भी traditional, जितनी भ वहाँ पे लोग बहुत जादा interact करते हैं, लोग एक दूसरे को अच्छे से जानते हैं, on the other hand हमारे sociologists ने ये भी note करा कि जितनी भी modern, जितनी भी complicated, जितनी भी बहुत बड़े scale पे जो societies हैं, वहाँ पे क्या होता है, वहाँ पे इतना close interaction नहीं होता, वहाँ पे काफी हद तक formal interaction ह सारी observation करने के बाद हमारे sociologist ने क्या करा उन्होंने groups को दो type में बाट दिया कि society में जो groups होते हैं वो दो type के हो सकते हैं एक होता है primary group और एक होता है secondary group अभी बस सुनते जो जैसे जैसे chapter में आगे बढ़ेंगे आपको बताय जाएगा कि ये क्या होता है ठीक है community from society और association ठीक है फिर हमारे sociologist ने ये भी समझना start करा कि community अलग होता है और association अलग होता है कैसे अलग होता है ये सारी चीज़े आप इस चाप्टर में पढ़ोगे, ठीक है, other concepts like stratification reflect the concern in understanding structured inequality, ठीक है, हमारे sociologists ने और भी कुछ concepts बनाए हैं, जैसे की stratification, ठीक है, stratification का क्या मतलब होता है, हमारे sociologist ने observe करा कि हर society में न, inequality exist करती है, हर society में अलग-अलग groups होते हैं, and अलग-अलग groups को equal treatment नहीं दी जाती, है न, and इसी concept को समझने के बाद उन्होंने एक term introduce करा, stratification, ठीक है, concepts arise in society, however, just as there are different kinds of individual, there are different kind of concept तो एक society में अलग-अलग concepts बनते रहते हैं पर हमें ये समझना ज़रूरी है कि society में देखो क्यों होता है अलग-अलग type के लोग होते हैं है ना similarly जब society में अलग-अलग type के लोग हो सकते हैं तो अलग-अलग type के concepts भी society में होते हैं in fact sociology में सबसे interesting part तो यही है कि sociology में क्या होता है कि हम अलग-अलग society के बारे में अलग-अलग नजरिये से अलग-अलग concepts बनाते हैं, ठीक है? Sociology होता क्या है? Different ways of understanding society. Society को समझने के अलग-अलग तरीकों को ही हम sociology कहते हैं.
ऐसा बिल्कुल हो सकता है कि मैं society को अलग तरीके से समझूं. और ऐसा भी हो सकता है कि आप society को अलग नजरिये से समझूं. तो sociology में हम लोग इस चीज़ को बहुत अच्छे तरीके से ट्रेट करते हैं कि हाँ, सब के अलग-अलग views हैं. society को लेकर, okay, we have seen how even in early stages of sociology there were contrary and contesting understanding of society, हमने ये देखा है कि जब sociology as a subject नया नया बन रहा था ना, तभी से ही हमारे जो thinkers थे, उनकी thinking clash करती थी, ठीक है, एक thinker कुछ और कहता था, दूसरे thinker कुछ और कहते थे, एक example के साथ समझते हैं, ठीक है, जैसे अगर हम बात करें Karl Marx के बार काल मार्क्स हम लोग सब जानते हैं, हमने अपने पिछले चाप्टो में पढ़ रखा है तो काल मार्क्स की अगर हम बात करें क्लास और कंफलिक्ट वो की कॉंसेप्ट टू अंडरस्टांडिंग सोसाइटी काल मार्क्स के लिए सोसाइटी को समझने के लिए दो वर्ड्स बहुत इंपोर्टेंट थे क्लास और कंफलिक्ट और सोसाइटी में conflict, लड़ाई, जगड़ा, arguments ये सब बहुत होते हैं, ये Karl Marx का मानना था, ठीक है, और हमारे एक और thinker थे, Imile Durkheim, ठीक है, इनका क्या मानना था, कि collective conscience, जैसे terms society के लिए use करने चाहिए, कि society में harmony बहुत है, लोग collectively काम करते हैं, ठीक है, तो अलग-अलग thinkers का अ एक और example के साथ समझते हैं, जैसे जब World War II हमारा खतम हुआ था तो जो post World War II period था, उस time पर बहुत सारे sociologists ऐसे थे, जो एक theory को मानते थे, जिसको हम कहते है structural functionalist, ठीक है, तो post World War का जो time था, उस time पर ज़ादा तर socialist क्या मानते थे, कि society ना harmonious होती है, harmonious मतलब society में सब लोग मिल से रहते हैं ठीक है तो पोस्ट वर्ल्ड वार्ड टू के टाइम पर हमारे सोशियोलॉजिस्ट पता है क्या करते थे वह सोसाइटी को एक और ग्यानिजम के साथ कंपेयर करते थे और ग्यानिजम मतलब किसी लिविंग बींग के साथ कंपेयर करते थे तो एक पार्ट्स मतलब हारमणी में काम करते हैं तब जाकर हमारा ऑल वर बॉडी फंक्शन कर पाता है अ हमारा digestive system अलग काम कर रहा है, respiratory system अलग काम कर रहा है, circulatory system अलग काम कर रहा है, पर ये सारे system साथ में काम कर रहे हैं, अगर इन में से एक भी system अचानक से shut down हो जाए तो हम लोग function नहीं कर पाएंगे, तो इस time पे क्या होता था, हमारे जो sociologist हैं, वो society को एक organism, एक living animal के साथ compare करते थे, कि जैसे एक living animal के अलग-अलग parts होते हैं और अलग-अलग parts के अलग-अलग functions होते हैं, वैसे ही, हम लोग देखते हैं कि society में भी अलग-अलग parts होते हैं, अलग-अलग parts के अलग-अलग functions होते हैं, and सब लोग अपना function अगर अच्छे से करें, तो society को हम अच्छे से चला सकते हैं. Others in particular, the conflict theory influenced by Marxism saw society as conflict-ridden.
तो कुछ लोग तो ऐसे थे जो World War II के बाद कहते थे कि हमारे society में harmony है. On the other hand, कुछ लोग ऐसे भी थे, जैसे कि Karl Marx से influenced जो भी लोग, लोग थे वह पता है क्या कहते थे कि नहीं हारमनी वगैरह नहीं है सोसाइटी में सोसाइटी में तो क्या है सोसाइटी में कंफ्लिक्ट ज्यादा है कंफ्लिक्ट मतलब लोग आपस में लड़ते जगड़ते रहते हैं एंड ऐसे लोग जो कंफ्लिक्ट जो अभी हमने क्या देखा पोस्ट वर्ड के बाद दोनों ही सेम सोसाइटी की बारे में बात कर रहे हैं पर एक आदमी कह रहा ठीक है अब कुछ जो सोशियोलोजिस्ट है उन्होंने पता है human behavior को कैसे समझने की कोशिश करी उन्होंने human behavior को micro interaction के थूँ समझने की कोशिश करी micro interaction मतलब हम लोग as individuals कैसे interact करते हैं ठीक है तो कुछ सोशियोलोजिस्ट का नजरिया कैसा था कि अगर तुम्हें society के बारे में समझना है तो human के micro interaction के बारे में समझूं ठीक है कि as individuals humans कैसे interact कर रहे हैं ठीक है On the other hand, कुछ हमारे socialists, sociologists ऐसे थे, जिनोंने क्या कहा कि नहीं, नहीं, अगर तुम्हें society के बारे में समझना है, तो macro structure को समझो, macro structure मतलब, micro तो क्या था, individual level, macro मतलब group level, तो अगर आप society में एक इंसान के बारे में और उसके किसी दोस्त के बारे में पढ़ रहो, तो वो micro interaction है, प या किसी state के बारे में, किसी community के बारे में, किसी tribe के बारे में बात कर रहे हो, तो वो macro level हो जाएगा, ठीक है, तो ऐसे sociology में हमारे जो sociologists होते हैं, उनका अलग-अलग तरीका होता है society को देखने का, ठीक है, concepts such as status and role begin with individual, ठीक है, तो individual के अगर हम बात करें, तो individual के साथ status, role, इस type अगर आप larger context, society के context में कुछ concepts को समझना चाहो तो social control या stratification इस type के terms हम लोग use करते हैं, ठीक है? classification helps us and are the tools through which we can understand reality, आपको समझना है कि जब हम अलग-अलग चीज़ को classify करते हैं, अलग-अलग चीज़ को अलग-अलग तरीकों से समझते हैं, तो क्या होता है, ये tool की तरह काम करता है, जिसके तुरू हम लोग आसानी से reality को समझ पाते हैं, society को समझ पाते हैं, ठीक है, आप ऐसे समझो, कि हमने जो भी classifications करी हैं, हमने जो भी terms बनाया हैं, जो भी concept बनाया हैं, वो एक key की तरह, एक चाबी की तरह है, जो कि हमें एक lock खोलने की help कर रही है, ठीक है, lock खोलना, मतलब society को समझना is equivalent to lock खोलना, ठीक है, ठीक है, next हमारे book में ये भी कहा जा रहा है, कि पर जरूरी नहीं है कि हर एक key काम कर जाए, ऐसा भी हो सकता है कि हमारी key खराब हो जाए, या फिर lock के उपर rust लग जाए, key थोड़ी bend हो जाए, ये सारी चीजे भी हो सकती है, ठीक है, तो ऐसे में हम क्या करेंगे, हमें उसका भी और वो सौ साल तक बदलेगा ही नहीं, ठीक है, ऐसा नहीं है, क्योंकि society is dynamic, society के सारे concepts change होते रहते हैं, तो ऐसा बिलकुल हो सकता है कि lock तूट जाए, चाबी bend हो जाए, but as sociologist हमें हर एक चीज़ का solution ढूनना ही है, ठीक है, very often, ठीक है, generally क्या होता है, जब एक ही concept को लोग अलग अनीज क्रिएट हो जाता है, लोग आपस में लड़ते हैं कि मेरी थेरी बेटर है, तुम्हारी थेरी अच्छी नहीं है, तो वेरी आफन लोगों के बीच में क्या होता है, हम देखते हैं कि एक अनीज रहता है कि नहीं मेरा तरीका सोसाइटी को समझने का सही है, तुम्हारा तो conflict theory और functionalist theory जो भी लोग मानते हैं उन लोगों के बीच में एक clash रहता है पर हमें ये समझना है कि ये जो तरीका है जिसमें हम अलग-अलग approach के साथ society को देख रहे हैं this is the heart of sociology ठीक है तो it is completely fine क्यूंकि हमारे society में अलग-अलग type के लोग हैं क्यूंकि हमारी society ही बहुत जादा तो society को समझने के लिए भी हमें diverse नजरियों को सुनना ही पड़ेगा, देखना ही पड़ेगा, ठीक है? In our discussion on various terms, you will notice how there is divergence of views, अभी तो खेर chapter start भी नहीं हुआ, थोड़ा basic introduction चल रहा है, पर जैसे जैसे हमारा chapter start होगा, आपको समझ आएगा, कि कैसे अलग-अलग लोगों के अलग-अलग views हैं, same concept को लेके, ठीक है?
And you will also understand कि जब लोग अलग-अलग नजरिये से society को देखते हैं, जब लोग आपस में debate करते हैं, discussion करते हैं, तो उससे हम society को और अच्छे से समझ पाते हैं ठीक है, चलो, तो अब हम आगे बढ़ते हैं, चलो next topic हमारा क्या है, social groups and society social groups and society के बारे में पढ़ते हैं अब कुछ terms हैं जिनको define करा जा रहा है हमारे chapter में मैं read कर रही हूँ आप लोग सुनो sociology क्या होता है it is the study of human social life sociology क्या होता है it is the study of human social life defining feature of human life हमारे human life का एक बहुत important feature क्या होता है कि हम जो humans हैं बाचीत करते हैं interact करते हैं communicate करते हैं हम अलग-अलग काम करते हैं साथ में, social collectivities करते हैं, ठीक है, the comparative and historical perspective of sociology brings home two apparent innocuous facts, तो जब भी हम sociology as a subject के बारे में in detail सोचते हैं, तो दो facts हमारे दिमाग में आते हैं, ठीक है, sociology के बारे में दो facts हमारे दिमाग में आते हैं, पहला fact क्या है, ठीक है, every society, in every society, human groups and collectivities exist, ठीक है, तो sociology का पहला fact क्या है कि हर society में, चाहे वो बहुत ancient, बहुत पुरानी society हो, medieval society हो, या modern society हो, चाहे वो Asian society हो, European society हो, या African society हो, हर society में हम इंसानों ने groups बनाए हैं, हम लोग साथ में मिलके काम करते हैं, ठीक है, second fact क्या है sociology से related कि ये जो अलग-अलग type के groups हैं, या collectivities हैं, हर society में अ तो एशिया में अलग टाइप के ग्रूप्स बनते हैं सोसाइटी में, यूरोप में अलग टाइप के ग्रूप्स बनेंगे सोसाइटी में, ठीक है, तो ये दो facts हमारे sociology से related, point 1, हर एक सोसाइटी में ग्रूप्स बनते हैं, point 2, हर सोसाइटी का जो ग्रूप होता है, वो अलग ह का मतलब यह नहीं है कि अगर चार-पांच लोग साथ में कहीं खड़े हैं तो हम उसे group कह देंगे, ठीक है, any gathering of people does not form social group, ठीक है, social group का मतलब यह नहीं है कि किसी भी gathering, किसी भी type के group of people को आप social group कह दो, ठीक है, तो एक term यूज़ करते हैं sociology में जिसको हम कहते है aggregates, aggregate का मतलब होत तो aggregate का अकसर आपस में कोई bond नहीं होता, कोई emotional, कोई mental link नहीं होता, ठीक है, तो aggregate क्या होता है, जब लोग randomly एक जगे पर, एक time पर collect हो जाए, तो हम उसे aggregate कहते हैं, यह social group नहीं है, हम उसे कहते है aggregate, जैसे for example, मान लो एक railway station है, ठीक है, तो railway station में बहुत सारे लोगों को train पकड तो क्या हम उन सो लोगों को social group कहेंगे, नहीं, हम उन लोगों को aggregate कहेंगे, क्योंकि वो सो लोग आपस में एक दूसरे को जानते नहीं है, वो सो लोग आपस में एक दूसरे के साथ mentally या emotionally connected नहीं है, वो बस for whatever reason उनको train पकड़नी है, इसलिए वो एक time पर, एक ही जगे पर collect हो fake, नकली, ठीक है, तो quasi group क्या है, जब लोग साथ में कहीं पर collect हो जाएं, एक time पर, एक जगे पर, पर वो लोग आपस में एक दूसरे को जानते नहीं हैं, उनका कोई emotional relation नहीं है, तो हम उसे aggregate कहते हैं, या फिर हम उसे quasi group कहते हैं, ठीक है, a quasi group, अगर हम quasi group के बारे में बात करें, या फिर aggregate के बारे में बात करें, तो aggregate का कोई structure नहीं होता, कोई organization नहीं होता, ठीक है, जो members होते हैं वो आपस में aware नहीं होते कि इस group का part कौन-कौन है, ठीक है, जैसे for example अगर मैं क्या कर रही हूँ, मैंने कहा कि society में एक class का एक group पढ़ लेते हैं, ठीक है, या मैंने कहा कि society में देख लेते हैं कि कितने लोग women हैं, कितने men हैं, ठीक है, तो ये सब quasi group का example हो गया, उनको तो बस मैंने ऐसी एक group में डाल दिया तो वो quasi group कहलाता है, ठीक है, quasi group may well become social group in time and specific circumstances, अब quasi group ना social group में बदल सकता है time और circumstance के according, ठीक है, for example, जैसे तो railway station में बहुत सारे लोग हैं, वापस में एक दूसरे को जानते नहीं हैं, तो quasi group है, पर अगर किसी एक इंसान ने सोचा क का time है मेरे पास खाली, तो मैं site में मेरे जो बैठा है, मैं उनसे बातचीत कर लेता हूँ या कर लेती हूँ, और उनको थोड़ा जान लेते हैं ठीक है, तो ऐसे में क्या होगा वो quasi group धीरे धीरे social group की तरफ बढ़ रहा ठीक है, तो quasi group को अगर आप अच्छे से time दो, तो एक quasi group social group बन सकता है ठीक है, इसे हम थोड़ा सा और example के साथ समझते हैं individuals belonging to particular class or caste may not be organized as a collective body, but they have over a period of time given rise to political party, अब मान लो एक कोई भी group of people हैं, जिनको मैं एक quasi group में डाल रही हूँ, कि ये लोग तो lower caste के लोग हैं, मान लो हम कह रहे हैं कि lower caste के लोग इस group में हैं, तो ये क्या हो गया, ये quasi group हुआ, कास्ट के बेस पे भेदभाव करना ये quasi group हुआ, है न, अब, ऐसा भी तो हो सकता है कि जब election का time आए, तो ये जो quasi group के लोग हैं, इनके अंदर अचानक से एक feeling of unity आ जाए, emotional connect आ जाए, कि हमें अपने caste में से किसी को जिताना है, है न, तो with time quasi group, social group बन सकता है, quasi group में भी emotional connect, mental connect धीरे धीरे develop हो सकता है, ठीक है, जैसे for example एक और, जैसे इससे थोड़ा हमें mention करना पड़ा इस वाले example के तुरू आप समझ सकते हैं जैसे इंडिया में जब हम लोग आजादी के लिए संघर्ष कर रहे थे तो भी क्या था हम लोग quasi groups थे हम सारे लोग अलग-अलग culture के थे अलग tradition के थे, अलग language बोलते थे अलग states के थे ठीक है पर जब हमें अचानक से लगा कि Britishers ऐसे तो Britishers बहुत परिशान कर देंगे इंडिया को तो हमने क्या करा हमने साथ में तो पहले हम लोग quasi group थे पर जब situation change हुई, जब time आया, तो हम सारे लोगों ने साथ में मिलके harmony में काम करना start कर दिया, तो ऐसे में हमारी quasi group change होकर क्या बन गई, social group बन गई, ठीक है, the women's movement brought about the idea of women group and organization, इसी दोरान women ने साथ में मिलके काम करना start कर दिया, तो quasi group time के साथ social group बन सकती है, a social group can be said to have at least the following characteristic, एक social group में, following characteristics होती है, direct question आएगा, what are the characteristics of social groups, तो आपको यह answer लिख देना है, ऐसे बिल्कुल point wise लिख कर आना है, ठीक है, चलो, तो क्या characteristics होती है social group की, point one persistent interaction to provide continuity, ठीक है, तो social group के जो लोग होते हैं, वो persistently, मतलब दिल से interact करते हैं एक दूसरे के साथ, ठीक है, next जो group के लोग होते हैं, ठीक है, वो continuity पर भी विश्वास रखते हैं कि हमें continuous तरीके से interaction को future में भी करना है और क्यों होता है social group में एक stable pattern होता interaction का social group में अकसर जो लोग होते हैं वो आपस में एक stable pattern के तुरू interact करते हैं जैसे week में एक बार बात हो रही है या week में interact करने का ऐसे नहीं कि एक साल में एक बार कर दिया दूसरे साल में रोज बात हो गई तो एक stable pattern होता interaction का social group में ठीक है, next, एक sense of belonging feel होती है members को, ठीक है, तो अगर आप feel करते हो कि I belong to this group, I am accepted in this group, तो it is more likely कि आप अपने social group की बात कर रहे हो, ठीक है, अक्सर social group में जितने भी लोग होते हैं, उनके shared interest होते हैं, उनके same same interest होते हैं, अक्सर social group के जो लोग होते हैं, उनके common norms होते हैं, वो लोग common rules और values के उपर विश्वास रखते हैं, उनका definable structure होता है, ठीक है, वो एक proper structure को follow करते हैं, और उस structure में कई बार social hierarchies वगेरा भी आ जाती हैं, ठीक है, so social structure here refers to pattern of regular and repetitive interaction between individual or groups, ठीक है, तो हम ऐसा कह सकते हैं कि social structure का क्या मतलब होता है, जब interaction, human interaction regular तरीके से हो, repeat करता है, रहे वो interaction ठीक है वो interaction individuals की बीच में भी हो सकता है groups की बीच में भी हो सकता है तो हम उसे social structure कहते हैं ठीक है social structure क्या होता है समझ लिया next social group की definition देखते हैं it refers to a collection of continuously interacting persons who share common interests, culture, values and norms within a given society अगर question आता है what is a social group हमें ये लिख कराना है ठीक है तो social group क्या होता है ये It refers to a collection, collection of people, जहांपे लोग आपस में interact कर रहे हैं, ऐसे लोगों का group जिनका common interest है, जिनका same culture है, जो same rules and regulations के उपर विश्वास रखते हैं, उनको हम social group कहते हैं. ठीक है, चलो, तो अब हम अपने next topic को देखते हैं, next topic हमारा क्या है, types of groups, ठीक है, आप देखोगे इस chapter में कि अलग-अलग sociologists ने, या अलग-अलग social anthropologists ने society में अलग-अलग type के groups बनाए हैं, ठीक है, तो इन अलग-अलग groups के बारे में हम एक-एक करके बात करेंगे, ठीक है, जादा तर cases में हमारे जो sociologists हैं, उन्होंने अलग-अलग groups के बीच में contrast भी निकाला, ठीक है, मैं अभी आपको example के साथ समझाओंगी तो आपको समझाएगा, तो जादा ता हमारे sociologists क्या करते हैं, अलग-अलग type के groups बनाते हैं, and उन groups के बीच में अलग-अलग differences ढूंदते हैं, जैसे for example एक group हो गया small scale society, small scale society क जहां पे हर कोई इंसान एक दूसरे को अच्छे से जानता है उसे हम कहते है small scale society और एक दूसरे type का group होता है जिसको हम कह सकते है large scale society large scale society मतलब बहुत बड़े level पर एक society जहां पे क्या हो रहा है लोग थोड़े से formal हैं लोग आपस में उतनी बाचीत नहीं करते ठीक है तो उसे ह groups के बीच में अलग-अलग differences समझने की कोशिश करते हैं ठीक है, तो अब हम कुछ groups के बारे में पढ़ते हैं, ठीक है, next हमारा topic क्या है, primary and secondary social group, ठीक है, क्या है primary and secondary social groups the group to which we belong are not all of equal importance to us ठीक है, तो हम एक इंसान ना, एक से जादा group का part हो सकता है society में है ना, and उन सारे groups की importance में लिए same नहीं है, एक group ऐसा होगा, which is very close to my heart, है ना, एक group ऐसा होगा, जो बस formals है, जिसमें मुझे जादा interest नहीं है, तो society में लोगों के अलग-अलग groups होते हैं, and जरूरी नहीं है कि सारे groups को लोग बराबर importance दे, ठीक है, कुछ ऐसे groups होते हैं, जो हम और कुछ ऐसे groups होते हैं जिनसे हमें जादा फरक नहीं पड़ता ठीक है, तो एक type का group होता है जिसे हम कहते हैं primary group ठीक है, तो primary group क्या है, primary group अकसर small group होता है ठीक है, बहुत जादा लोग नहीं होते primary group में ठीक है, तो small लोगों का group जो बहुत जादा well connected है जो face to face बात करते हैं, आपस में बातचीत करते हैं उनको हम primary group कहते हैं, ठीक है, तो अकसर लोगों के लिए primary group बहुत important होता है और primary group के जो भी लोग कुछ कहते हैं, वो हमें बहुत जल्दी influence कर जाता है, जैसे primary group हमारे लिए क्या होगा, हमारी family, हमारे गाउं के लोग, हमारे friends, ये सब primary group का example होता है, family के लोग कुछ कह देते हैं, जट से असर पड़ जाता है ना हमारे उपर, ठीक है, तो primary group का क्या मतल� विलेज एंड फ्रेंड्स आप लिख सकते हो ठीक है नेक्स्ट एक और टाइप का ग्रूप होता है जिसको हम कहते हैं सेकेंड्री ग्रूप सेकेंड्री ग्रूप कंपेरेटिवली बड़ा ग्रूप होता है इसमें बहुत सारे लोग होते हैं और इसमें जो लोग होते हैं वो आपका, मतलब, close friends की category में आ जाता है, है ना, तो secondary group क्या है, और larger group, जो आपको उस हद तक influence नहीं करता है, जिसके साथ आप बहुत बड़े, या close level में connected नहीं हो, ठीक है, तो school, hospital, hospital में जितने सारे लोग हैं, ठीक है, students का कोई association, ये सब secondary group का part बन जाता है, ठीक है, चलो, next topic हमा कि community का क्या मतलब होता है, और फिर हम समझेंगे society या फिर association का क्या मतलब होता है, ठीक है, चलो, the idea of comparing and contrasting old tradition and agrarian way of life, ठीक है, dates back to the writing of classical sociologists, यह जो idea है न, जिसमें हम अलग-अलग groups बना रहे हैं society के, फिर उन अलग-अलग groups को compare कर रहे हैं, यह idea कोई बहुत नया सा idea नहीं है, बहुत, पहले जब sociology as a subject develop हो रहा था तब से ही हम ऐसे compare करते हुए आ रहे हैं terms को ठीक है जैसे for example community term का क्या मतलब है community word हमें तब use करना चाहिए जब हम ऐसे human relationships के बारे में बात कर रहे हैं जो कि बहुत जादा personal हैं बहुत जादा close हैं ठीक है उनके लिए हमें community words use करना चाहिए ठीक है as in family जब आप अपने family, अपने बहुत अच्छे दोस्तों के बारे में बात कर रहे हो तो आप community term यूज़ कर सकते हो अब society और association का क्या मतलब है society या फिर association community का उल्टा term होता है तो जब आप किसी ऐसे group के बारे में बात कर रहे हो जहांपे आप emotionally connected नहीं हो, बहुत close friendship नहीं है तो आप क्या यूज़ करोगे society या फिर association हम ऐसा कहते हैं ना कि मैं एक association का part हूँ या मैं इस सोसाइटी में रहती हूं तो सोसाइटी के सारे लोग मेरे मतलब यार और जिगरी थोड़ी हैं ठीक है तो सोसाइटी कम्यूनि� का कॉनसेप्ट होता है सोसाइटी में जो लोग होते हैं वह थोड़ा फॉर्मल तरीके से लिंक करते हैं ठीक है जैसे मान लो कोई एसोसिएशन है उसे एसोसिएशन का मकसद क्या कि ट्रेड अच्छे से करना है तो अगर ट्रेड अच्छे से दूंगी है ना तो सोसाइटी आई एसोसिएशन एग्रीमेंट का उल्टा कॉन्सेप्ट होता है तो आप ऐसा भी कह सकते हो कि community के लोग हमारे primary group का part है, पढ़ा था न, primary group मतलब जो हमारे बहुत खास, close लोग होते हैं, ठीक है, हम ऐसा भी कह सकते हैं कि association के लोग हमारे secondary group का part होते हैं, ठीक है, next topic हमारा क्या है, in groups and out groups, ठीक है, in groups and out groups को समझते हैं, ठीक है, तो in group क्या होता है, एक ऐसा group जहां पे आपको ठीक है, मतलब एक ऐसा group जिससे आपको देखकर लगे कि हाँ, I belong to this group, ठीक है, us, we, आप ऐसे words यूज़ करो, ठीक है, us मतलब हम, आप ऐसे words जिस group के लिए यूज़ करो, उसे हम कहते है in group, ठीक है, out group क्या होता है, एक ऐसा group, मतलब जो आपके group का part नहीं है, आपको लेना देन वो लोग, them, they, इस टाइप के words use करे जाते हैं, जैसे for example, अगर कुछ बच्चे हैं, जो same school में जाते हैं, तो हो सकता है, वो ���ोग आपस में उनकी दोस्ती बहुत बढ़िया हो जाएं, और वो लोग in group बना लें, ठीक है, तो इन लोगों के लिए क्या होगा, ऐसे students, जो किसी है ना और out group में कौन आ जाएगा ऐसे बच्चे जो दूसरे school में जाते हैं वह हमारे out group का part बन जाएंगे ठीक है and out group on the other hand is one to which members of an in-group do not belong ठीक है अक्सर क्या होता है जो out group के लोग होते हैं उन्हें in-group के लोग अच्छे से treat भी नहीं करते होता है ना दूसरे school के बच्चे होते हैं तो हम अच्छे से बात नहीं करते हैं उनसे ठीक है तो एक तो अगर एक country में किसी और country से लोग आके काम कर रहे हैं तो हम उन्हें migrants कह सकते हैं तो जो migrants होते हैं उन्हें अकसर out group की तरह treat किया जाता है पर आपको याद रखना है कि in group, out group इन सारी चीजों की definition with time change हो जाती है तो हमारे एक बहुत ही well known sociologist M.N. Srinivas ने एक दिन observe करा 1948 में और उन्होंने ये समझा कि रामपुरा में क्या चल रहा है लोग ना recent migrants और later migrants को अलग-अलग treatment देते हैं ठीक है recent migrants मतलब ऐसे लोग जो हाली में आपके country में आये हैं ठीक है और later migrants मतलब ऐसे लोग जो बहुत time पहले आपके country में आके settle भी हो चुके हैं ठीक है तो M.N.
Shrinivas आउट ग्रुप्स में भी अलग-अलग आउट ग्रुप्स बनाते हैं, रीसेंट माइग्रेंट्स को अलग ट्रीट्मेंट दे रहे हैं, लेटर माइग्रेंट्स को अलग ट्रीट्मेंट दे रहे हैं, ठीक है, तो उन्होंने ऐसे बताया, ठीक है, ये उन्हीं के वर्थ लिख यह तो कल ही आए है यह तो परसो ही आए है ऐसे बात करते हैं और कुछ migrants को यह लोग क्या कहते हैं came long ago old lineagist ठीक है कि यह तो बहुत पहले आए थे यह तो हमारे old lineage का part है तो ऐसे migrants को भी अलग-अलग treatment दी जाती है next topic हमारा क्या है reference group reference group क्या है for any group of people there are always groups whom they look up to and aspire to be like ठीक है तो हमेशा क्या होता है कुछ मान लो कुछ लोगों का ग्रूप है ठीक है जैसे फॉर एग्जांपल हम लोग मान लेते हैं ये लोग पूर लोगों का एक ग्रूप है ठीक है तो हरे ग्रूप के लिए ना कोई एक दूसरा ऐसा ग्रूप होता है जो उनके लिए एक reference की तरह होता है कि हम किसी दिन इनक पांच दस साल के अंदर हमें इनकी ग्रूप की तरह बनना है ठीक है तो एक ऐसा ग्रूप जिसके बारे में हम एस्पायर करते हैं कि यार ऐसा बनना है ऐसा होना चाहिए उस ग्रूप को हम क्या कहते हैं reference group ठीक है तो हम लोग reference group का पार्थ नहीं होते हैं ठीक है, reference group हमारे aspiration, हमारे सपनों का part होता है, कि कभी हम इनके तरह बन के दिखाएंगे, ठीक है, तो reference group लोगों के लिए एक important source of information होता है, ठीक है, जैसे poor लोग अकसर बोलते होंगे, कि middle class के लोगों का तो culture ऐसा होता है, lifestyle ऐसा होता है, ठीक है, उनके goals ऐसे होते हैं, तो reference group से तो कुछ middle class Indians ऐसे थे जिनके लिए Britishers reference group थे, वो Britishers को देखकर सोचते थे कि वाह कितने तो अमीर लोग हैं, कितने तो well mannered लोग हैं, तो कुछ middle class के लोग सोचते थे कि हमें इनकी तरह बनना है, हमारे पास इतना पैसा आ जाना चाहिए कि हम लोग proper Englishman की तरह behave कर पाएं, तो Englishman gender का क्या मतलब होता है gender के basis पर effect पड़ जाता है reference group के उपर जैसे for example एक man के लिए ये सपना हो सकता है एक man के लिए कैसा सपना हो सकता है कि मुझे English man की तरह बनना है पर एक women के लिए women को society में बोला जाता है नहीं तुम English women की तरह बनने की कोशिश मत करो तुम Indian रहो वही बढ़ हमारे reference group के उपर असर पढ़ सकता है, ठीक है, चलो, next topic हमारा क्या है, peer groups, ठीक है, peer groups क्या होता है, this is a kind of primary group, primary group का part होता है, peer group, ठीक है, usually formed between individual, peer groups क्या होता है, ये ऐसे individuals का group होता है, जो similar age के हैं, या same काम करते हैं, ठीक है, जैसे मेरे office में जो दोस्त होंगे, वो मेरे peer group का part है, जो आपके दोस्त होंगे वो आपके peer group का part है तो peer group का क्या मतलब है ये एक primary group होता है जिसके लोग almost same age group के होते हैं ठीक है and almost same interest ये लोग share करते हैं अब peer group से ही related एक और term होता है जिसे हम कहते है peer pressure peer pressure का क्या मतलब है जब हमारे peer group के लोग हमें कोई चीज करने के लिए pressurize करते हैं तो हम उसे peer pressure कहते हैं जैसे for example अगर मैं आपको एक example दूँ तो ऐसा कहा जाता है कि peer pressure से समझाल के रहना हमें कई बार जो हमारे friends हैं वो हमारे उपर negative influence डाल देते हैं कि तुम smoking करके देखो drinking करके देखो तो ये सब peer pressure का part होता है peer pressure मतलब हमारे peer group के लोग हमारे उपर किस हद तक एक pressure डाल रहे हैं कि तुम ये करके देखो या वो करके देखो ठीक है चलो peer pressure भी समझ ले अब next topic हमारा क्या है social stratification ठीक है, social stratification को समझते हैं, तो सबसे पहले stratification की definition देख लेते हैं, हम लोग बार-बार stratification board को सुन रहे हैं इस chapter में, and starting में तो जब सुना था, मैंने आपसे कहा भी था कि रुक जो, जैसे-जैसे बढ़ेंगे chapter में समझा दिया जाएगा, है न, चलो, तो social stratification topic अब आ गया, पहल structural inequalities between different groupings of people stratification का क्या मतलब है हमें पता है कि society में अलग-अलग groups हैं हमें ये भी पता है कि इन groups के बीच में inequality है कुछ groups को society के लोग थोड़ा उपर रखते हैं कुछ groups को society के लोग थोड़ा नीचा दिखाते हैं तो ये जो inequality का concept है अलग-अलग groups के बीच में इसी concept को हम लोग stratification कहते हैं तो अगर मैं पूछूं stratification society का क्या मतलब है तो society में जो inequality है जो भेदभाव है उसी को ही stratification कहा जाता है अक्सर लोग stratification को geological context में भी समझते हैं ठीक है जैसे हमारे earth के अलग-अलग layers होते हैं आप लोगों ने geography में मेरे साथ पढ़ भी रखा है ठीक है तो जैसे हमारे earth के अल� तो stratification जो word है उसमें यह ऐसे एक शब्द पड़ा है न, strata, उसका मतलब होता है hierarchy, की मतलब top से लेके bottom तक किसी को arrange करके रख लेना, ठीक है, उससे हम stratification कहते हैं, inequality of power and advantage is central for sociology, stratification में हम ये भी देखते हैं कि एक society में लोगों को unequal, ठीक है, unequal treat करा जाता है, ठीक है, कुछ लोग लॉंगिविटी, लॉंगिविटी मतलब जादा लाइफस्पैन जीना, सेक्योरिटी, एजुकेशनल सक्सेस, कुछ लोगों के लिए काम करना, पॉलिटिक्स को इंफ्लूइंस करना, ये सब बहुत आसान होता है, अगर हम थोड़ा हिस्ट्री को देखें, तो human societies में stratification चार basic systems में रहा है, हमने चार basic तरीके से stratification करा हमने human history में तो उसे ज़रा समझ लेते हैं एक तो देखो caste system तो I feel like सबको पता ही होगा तो एक caste system है उसके बारे में in detail पढ़ेंगे एक system है slavery, slavery भी आप लोगों को थोड़ा बहुत याद होगा class 9 में हम लोगों ने जब पूरे यौरप के बारे में प इन दो तरीकों से भी हमने stratification और भेदभाव बहुत जादा कर रखा है ठीक है तो अभी इन चारों के बारे में in detail पढ़ेंगे estate भी आपको history में पढ़ाया जाता है class भी आपने थोड़ा बहुत पढ़ रखा है थोड़ा और in detail इस chapter में पढ़ेंगे शुरुवात करते हैं slavery से slavery क्या है यह बहुत ही extreme level of inequality होता है जिसमें slavery में क्यों होता था लोग मानते थे कि हम दूसरे इंसान को own करते हैं तो अगर एक owner है ठीक है और उसके पास एक slave है तो ये owner का क्या मानना होता था कि ये इनसान जो है इसे मैंने खरीद रखा है I own this human तो इस concept को slavery कहते थे तो अगर किसी इनसान को खरीद रखा है अगर आप किसी इनसान को own करते हो तो slavery में क्या होता था उस इनसान को बहुत गलत तरीके से treat किया ज अगर मैं आपको major examples दूं slavery के तो ancient Greece और ancient Rome में slavery बहुत जादा prevalent था and फिर अगर हम अपने class 9th के syllabus में आ जाते हैं तो USA के जो southern states हैं वहाँ पे 18th और 19th century में slavery को बहुत जादा follow किया जाता था ठीक है over time क्या हुआ लोगों को धीरे धीरे समझ आने लग गया कि slavery गलत है like I said यह आपको class 9th में भी बता जाता है French revolution में आपको बता जाता है एक topic आता है abolition of slavery उसमें आपको बताया जाता है कि over time लोगों को धीरे धीरे समझ आये कि नहीं slavery करना गलत है and slavery को ये धीरे धीरे system से हटाना start कर देते हैं, eradicate करना start कर देते हैं तो पैदा है क्या होता था अगर मैं आपको थोड़ा और history में जाके बताऊं तो slaves रिच लोगों के पास होता था, बड़े बड़े business men के पास होते थे slaves तो काफी time तक लोगों को ऐसा लगा कि अगर हम slavery के खिलाफ बोलेंगे तो ये जितने भी rich लोग हैं ये ओफेंड हो जाएंगे, ये बुरा मान जाएंगे, है ना, तो बहुत लंबे टाइम तक लोगों ने स्लेवरी के खिलाफ कुछ बोला नहीं, पर फिर लोग धीरे धीरे स्लेवरी के खिलाफ बोलना स्टार्ट करते हैं, और फिर धीरे धीरे स्लेवरी को हटा दिया जाता है कई बाद छोटे छोटे बच्चों से काम करा लिया जाता है, तो ये slavery के forms हैं, पर exactly slavery नहीं है, ठीक है, estates characterize feudal Europe, ठीक है, हमने ये पढ़ रखा है न, estate का system, class 9 में आपको पढ़ा रखा था, कि France में क्या था, society में जितने भी लोग थे, उनको तीन category में बाड़ दिया जाता था, मतलब Royal Family के लोग, Third Estate में आते थे Commoners, मतलब जो भी बच गया Society में, Shopkeeper, Farmers, Labor, Doctors, ये सब Commoners होते थे, तो ऐसे Estate के बेसिस पे भेदभाव किया जाता था, First and Second Estate के लोगों को Tax पे नहीं करना पड़ता था, सिरफ Third Estate के लोगों से बहुत जादा Tax लिया जाता था, तो ऐसे Estate के बेसिस आपको जादा बताया जाएगा कि कास्ट और क्लास के बेसिस पर कैसे भेदभाव हुआ हमारी यह जो बुक है Understanding Society उसमें भी हम देखेंगे कि क्लास, कास्ट और जेंडर के बेसिस में जो social stratification, जो social भेदभाव हुआ उसके बारे में जादा discuss किया जाता है, ठीक है, that being said, आगे आप लोगों ने डेली लाइफ में इसके बारे में देखा होगा और हमने अपनी चोटी क्लासेस में तो पढ़ ही रखा है कास्ट के बारे में ठीक है तो कास्ट सिस्टम में बेसिकली क्या होता था सोसाइटी के लोगों को अलग-अलग कास्ट में बाड़ दिया जाता था कु पर हाँ हम बस अभी पढ़ रहे हैं कि था क्या उस सिस्टम है ठीक है तो कुछ लोगों को ना भ्रामिन कहा जाता था मतलब प्रीस्टली क्लास के लोग ऐसे लोग जो रिलिजियन रिलिजिस काम करते हैं जो प्रीस्ट हैं पुजारी हैं उन्हें भ्रामिन कहा जाता था और इ पंचामास कहा जाता था या फिर आउट कास्ट कहा जाता था एंड इन्हें सोसाइटी में बहुत ज्यादा नीचा दिखाया जाता था ठीक है इन जेनरल अगर मैं आपको थोड़ा और इन डिटेल बताऊं तो सोसाइटी के लोगों को चार वर्ण ठीक है चार थे कुछ लोगों को शत्रिय कहा जाता था शत्रिय मतलब वॉरियर्स राजा राणी रॉयल फैमिली के लोग इस कैटेगरी में आते थे कुछ लोगों को वैश्य कहा जाता था, वैश्य में जेनरली ट्रेडर्स आते थे, और इसके अलावा जो फोर्थ कैटेगरी के लोग थे, इनको शूद्र कहा जाता था, ठीक है, तो ऐसे अलग-अलग कास्ट, चार वर्ण में लोगों को बात रखा था, ठीक है, तो अभी तो ठीक है तो होता क्या था ब्रामिन और शत्री अपने आपको अपर कास्ट का लोग मानते थे ठीक है और यह मानते थे कि इने सोसाइटी में सारी प्रिविलिज मिलनी चाहिए वैश्य और शुद्र पर्टिकुलरली शुद्र को लोगर कास्ट का माना जाता था और इनके साथ ब लोग उस टाइम पे अलग-अलग चीजे करते थे अपने कास्ट की प्यूरिटी को मेंटेन करने के लिए, कि जैसे अगर हम ब्राम्मिन हैं, तो पूरी फैमिली ब्राम्मिन ही होनी चाहिए, उनसे कहते थे कि आप upper caste के लोगों को चूओ मत वरना वो अशुद हो जाएंगे ठीक है पर ये सब लोगों का मानना था पर धीरे धीरे जैसे जैसे urbanization आया जैसे जैसे नए नए शहर बनने लगे धीरे धीरे ये जो विश्वास थे लोगों के वो कम होने लग गए ठीक है तो रेस्ट्रांट थिएटर बस रेलवे स्टेशन की सारी चीजें आने लग गई अचानक से और इन सारे एरियास में क्यों था बहुत अगर कोई बिजनेस स्टार्ट कर रहा है रेस्ट्रांट का तो क्या चाहेगा कि उस रेस्ट्रांट में ज्यादा से ज्यादा लोग है crowd बढ़ने लगा और जैसे जैसे crowd बढ़ने लगा धीरे धीरे ये जो caste and creed का system था ये सब लोग भूलने लग गए जैसे train में अगर बहुत भीड होती थी तो कहीं बार upper caste and lower caste के लोग side by side खड़े होते थे ठीक है occasionally उनके shoulders वगैरा टकरा जाते थे ठीक है तो ऐसे urbanization के वज़े से धीरे धीरे caste का वो जो डर था जो भेदभाव का जो system था वो धीरे धीरे हटने लगा ठीक है पर आपको ये याद रखना है कि जितना आसान आपको ये सब सुनने में लग रहा है ना उतना आसान ये बिल्कुल भी नहीं है इन फाक्ट आज के टाइम पर भी मैं बिल्कुल ऐसा कह सकती हूँ कि भेदभाव होता है हंडरेट परसेंट हम लोगों ने कास्ट सिस्टम को नहीं हटाया गाउं में जाओगे अभी बहुत तरीकों से कास्ट सिस्टम को फॉलो करा जाता है जैसे कुछ अगर आप कभी किसी से बात बात करोगे हिस्ट्री में रीड करोगे तो लोगों कास्ट के लोग अकसर ऐसा कहते थे कि उनके साथ बहुत रूडली बात करी जाती थी, गाउं के बीच में अगर कोई कुआ होता था, तो बाकी सारे लोग उस कुए का पानी यूज़ कर लेते थे, लोगर कास को कहा जाता था, कि आप इस कुए के पानी को टच नहीं कर सकते, वरना पानी पॉल्यूट हो जाएगा class के basis पे हम लोग समझते हैं, class का मतलब basically यह है कि money के context में भेदभाव होता है, कुछ लोग society में rich होते हैं, कुछ लोग society में poor होते हैं, जो rich लोग होते हैं, उन्हें जादा opportunities मिल जाती हैं, वो जादा influential होते हैं, जो poor लोग होते हैं, उन्हें उतनी facilities नहीं मिलती, ठीक है, तो वी मेंशन ये वेरी ब्रीफली जस्ट दी सेंट्रल आइडियास ओफ मार्क्स वेबर एंड था टॉप फंक्शनलिजम आपको ब्रीफली बताया जाएगा मार्क्स वेबर और फंक्शनलिजम के बारे में ठीक है अगर हम मार्क्सिस थिएरी के बारे में बात करें तो मार्क्स वेबर के बारे में समझें तो मार्क्स वेबर कहते हैं कि सोसाइटी में क्लास पता कैसे डिसाइड होती है हम ये देखते हैं कि कौन से ग्रुप आफ पीपल हैं जो सबसे जादा प्रोडक्शन कर रहे हैं सोसाइटी के लिए अगर आपका सबसे ज़ादा output रहेगा society के लिए तो आप higher class के member हो, अगर आपका production उतना ज़ादा नहीं है society के लिए तो आप lower class के member हो, तो मतलब एक ऐसा इंसान जो बहुत ज़ादा contribute कर रहा है society के लिए, बहुत कुछ कर रहा है society के लिए, वो higher class का आदमी बन जाएगा, एक वेबर यूज़ तरम life chances which refers to rewards and advantages afforded by market capacity, वेबर मतलब एक social thinker थे, तो वेबर ने क्या करा, एक term यूज़ करा life chances and इस term से उनका क्या मतलब था, कि अगर आप market के लिए कुछ अच्छा करोगे, society के लिए कुछ अच्छा करोगे, तो आपको भी rewards दिये जाएंगे, वेबर ये भी क इट कुट बी बेस्ट ओन प्रेस्टीज और पॉलिटिकल पावर ठीक है अगर आप हाईर क्लास के पर्सन हो आपके पास जादा पॉलिटिकल पावर रहेगी जादा प्रिविलेज जादा प्रेस्टीज जादा ओनर रहेगा ठीक है तो इस तरीके से क्लास के बेसिस से भी इन main functional necessity के बारे में थोड़ा सा समझ लेते हैं main functional necessity में कहा जाता है कि social stratification ना universal है हर society में social stratification होगा ही होगा हर society में inequality होगी ही होगी कैसे? क्योंकि हर society में क्या होता है हम कुछ individuals को motivate करते हैं अगर कोई इंसान अच्छा कर रहा है society के लिए society के लिए जादा output ला रहा है तो हम उस इंसान को motivate कर देंगे तो उस इंसान का class और और प्रेस्टीज ऑटोमेटिकली बढ़ जाएगा, बाकी लोग उससे थोड़ा सा नीचे रह जाएगे, तो social stratification हर एक society का part होता है, is this true, ठीक है, फिर आगे यही पूछा जा रहा है book में, कि क्या यह सही में सच है, in a traditional caste system, social hierarchy is fixed, तो इसमें कहा जा रहा है कि जो traditional system होता है, मतलब caste system, इन सब की अगर हम बात करें, तो caste system बहुत fixed होता है, बहुत strict होता है, अगर आप lower caste में born हो गए, तो चाहे आप जितने भी brilliant क्यों ना हो, जितने भी talented क्यों ना हो, आपको society में उपर उठने नहीं देंगे, ठीक है, पर modern system में यह strictness नहीं है, ठीक है, अगर आप lower caste में born भी होते हो, पर if you are very talented, अगर आप कुछ बहुत brilliant कर रहे हो इंडिया के लिए, तो आपके लिए उपर उ और आप भी अपने आसपास ऐसे स्टोरी सुने होंगे कि कोई बहुत पूर इनसान था, उसने मेहनत करी और फिर उसने कुछ बहुत ही amazing कर लिया, है न? चलो, sociology has to be sensitive to both challenges to the caste system as well as persistence of discrimination. sociology में हमें थोड़ा sensitive होके चलना है, हमें ये तो पता ही होना चाहिए कि caste system के क्या-क्या problems हैं, हमें ये भी पता होना चाहिए कि caste system या भेदभाव किस तरीके से society में follow किया जा रहा है. आज के टाइम पे अगर हम rural India की बात करें, तो half से भी जादा schedule tribe की जो population है, वो poverty line के नीचे है, तो हमें ये सारी चीजे भी, ये सारे facts वगेरा भी पता होने चाहिए, next topic है हमारा status and role, तो दो concept होते हैं, status और role, और अकसर इन दो words को मतलब twin concept की तरह, मतलब same same concept की तरह माना जाता है, ठीक है, तो status होता क्या है, simply a position in society or in a group, आपकी position क्या है?
ठीक है? Society में आपकी position क्या है? उसे हम कहते है status. ठीक है?
जैसे for example family में अगर आप sister हो तो वो आपका status हो गया. ठीक है? Family में एक mother हो गी है ना तो mother क्या है? वो भी एक status हो गया. ठीक है?
तो status क्या होता है? Society में हमारी जो position है और उस position के वज़े से हमारे हमारे प तो एक family का mother होना क्या है ये status है ठीक है चलो तो जैसे ही कोई इंसान mother बनता है mother के पास अलग duties आ जाती है अलग responsibilities आ जाती है ठीक है तो mother होना या father होना brother होना sister होना ये status है अब role का क्या मतलब होता है role status का behavioral aspect है ठीक है, आप mother बनने के बाद behave कैसे करोगे, वो आपका role है, अब देखो ऐसे तो पूरे इंडिया में कितनी सारी mothers हैं, पर सारी mothers अलग होती हैं, है न, हो सकता है कि कोई एक ऐसी mother हों, जो joint family में रहती हो, कोई एक ऐसी mother हों, जो nuclear family में रहती हो, कोई एक ऐसी mother होंगी, जो rural family की mother है, कोई urban family की mother होंगी, कोई working mother होंगी, है न, कोई full time homemaker होंगी, तो ऐसे role क्या होता है, आपके status में आप किस तरीके से behave कर रहो, उसे हम रोल कहते हैं ठीक है इट इस रोल था था बिकम रेगुलराइज्ड एंड स्टैंडराइड तो हम यह भी कह सकते हैं कि स्टेटस क्या है एक रोल जिसको थोड़ा हमने और रेगुलर बना दिया है ठीक है एक इंसान के पास एक से जादा स्टेटस हो सकता है ठीक है जैसे अगर अगर हम आपके घर की बात करें, तो आप घर में सिस्टर हो, या डॉटर हो, या ब्रदर हो, अगर आप किसी डॉक्टर के पास चले जाते हो, तो आप पेशंट हो, तो हमारा जो स्टेटस है, वो एक से जादा हो सकता है, अगर आप छोटे सोसाइटी में रहते हो, तो आपके हो या फिर डॉटर हो कुछ टाइम के बाद आप फादर बन जाओगे या फिर मदर बन जाओगे कुछ और टाइम के बाद आप ग्रांडफादर बन जाओगे या ग्रांड मदर बन जाओगे तो कुछ स्टेटस ऐसे भी होते हैं जो टाइम के साथ बदलते हैं उस टाइप के स्टेटस को हम कहते हैं स्टेटस सीक्वेंस ठीक है स्टेटस सीक्वेंस क्या होता है एक ऐसा स्टेटस जो सीक्वेंस के साथ टाइम के साथ बदलता जाए वेरियस लाइफ के अलग-अलग स्टेज पर आपके पास अलग-अलग स्टेटस हो अगर, मतलब, हो सकता है आप brother भी बन जाओ कल को, ठीक है, उसके बाद आप father बनो, grandfather बनो, तो इसे हम कहते है status sequence, एक होता है ascribed status, ascribed status का क्या मतलब होता है, which a person occupies because of birth, ठीक है, ascribed status मतलब एक ऐसा status, जो आपको by birth मिल जाता है, ठीक है, तो जो लोग caste के basis पे भेदभाव करते हैं आपके हाथ में तो नहीं है ना कि society आपको कौन से caste में डाल रही है, वो तो आप किसी family में born हो गए तो आपको वो सहना पड़ रहा है, ठीक है तो इस type का status जो हमारे हाथ में नहीं होता समालना, वो by birth हमको दे दिया जाता है, उसे हम ascribed status कहते हैं, ठीक है एक होता है achieved status, achieved status मतलब ऐसा status जो आप समाल सकते हो, ठीक है एक ऐसा status जो आपको इसलिए मिला है क्योंकि आपने मेहनत करी है, उसे हम achieved status कहते हैं, जैसे मान लो कल को अगर आप पड़ लिखकर, UPSC clear करकर अगर आप IAS बन जाते हो तो यह आपका achieved status होगा, क्योंकि यह तो आपके हाथ में, आप मेहनत करोगे तो आपको मिल जाएगा, नहीं मेहनत करोगे तो नहीं मिलेगा, तो achieved status मतलब एक ऐसा status, जो आपने खुद अपनी मेहनत से पाया है, तो ascribed status क्या था, अक्सर ascribed status छोटे societies में होता है, गाउं वगेरा में जादा होता है, achieved status modern societies में जादा होता है, ठीक है, आपने modern societies में अक्सर ऐसा सुना भी होगा, you have to prove yourself, ठीक है, अपने आपको prove करो, तब हम आपको ये देंगे, ठीक है, तो जैसे job वगेरा, workplace वगेरा में ये सारी चीज़े चलती हैं, ठीक है, next एक और term है, ज प्रेस्टेज ठीक है तो जैसे अगर आप डॉक्टर हो तो डॉक्टर के साथ एक प्रेस्टेज अटाज होती है ना क्या रेवा यह तो डॉक्टर है ना एक रिस्पेक्ट अटाज होती है उसी रिस्पेक्ट को हम प्रेस्टेज कहते हैं अगर आप IAS हो तो लोग आपको बह� और दोक्टर जो उतने पैसे नहीं कमाता पर वह डॉक्टर है तो सोसाइटी में क्यों अगर डॉक्टर का नाम थोड़ा ज्यादा होता है तो डॉक्टर को ज्यादा इजद दी जाएगी तो हम कहेंगे कि डॉक्टर का प्रेस्टीज ज्यादा है ठीक है हाला कि हो सकता है बिल तो अलग-अलग सोसाइटी में अलग-अलग लोगों को अलग-अलग तरीके से प्रेस्टीज दी जाती है ठीक है people performing their roles according to social expectation that is role taking and role playing ठीक है तो role taking and role playing क्यों होता है जब लोग society के expectations के हिसाब से अपना काम करते हैं तो हम उसे कहते हैं role playing जैसे for example अगर एक बच्चा है तो बच्चे को ना बच्चपन से ही सिखा दिया जाता है कि अगर लोग आते हैं घर में तो तुम्हें कैसे behave करना है बहुत अच्छे से गाना वाना गा के सुना देगा, नर्सरी राइम गा के सुना देगा, तो इसे हम क्या कहते हैं, role taking कहते हैं, मतलब तुम society के हिसाब से act कर रहे हो, क्योंकि तुम्हें पता है कि society तुमसे कुछ expect करती है, next role conflict, एक topic है role conflict, role conflict मतलब जब आप दो roles निभाओ और ठीक है वो घर पे मदर का भी काम कर रही है और बाहर जाके वो प्रोफेशनली काम भी कर रही है तो उनके दो रोल्स क्लैश हो रहे हैं ठीक है पर हाँ इसमें कोई दिक्कत वाली बात नहीं है हम लोग अपने अलग-अलग रोल्स को साथ में लेकर चल सकते हैं सोसाइटी में की साइड ज्यादा डॉमिनेटिंग होती है जैसे आप इंडियन कल्चर को देखो तो ज्यादा तर इंडियन सोसाइटीज में होता है कि फादर की साइड ज्यादा डॉमिनेटिंग होती है जो बच्चा होता है बच्चे को नाम भी फादर का सर नहीं होता है ना पर खासी कम्यूनिटी में ऐसा नहीं होता वह मदर के साइड से ज्यादा इन्फ्लूएंस है जो बच्चे होते हैं उन्हें मदर की जनरेशन का पार्ट मना जाता है तो इस टाइप के सोसाइटी में मैंने को भी रोल कंफ्लिक्ट रहना पड़ता है ठीक है नेक्स्ट रोल स्टीरियो टाइपिंग क्या होता है जब हम लोग अ कि एक रोल को स्टीरियो टाइप स्टीरियो टाइप समझते हो मतलब एक स्टीरियो टाइप का मतलब होता है वैसे तो अपियरेंस के बेसिस पर लोगों को जज कर लेना आप किसी को जानते नहीं हो ठीक है किसी के बारे में आपको कुछ ठीक है आप जानते ही नहीं हो उसे क्या पता बढ़िया drive कर लेती हो है ना तो role stereotyping का क्या मतलब होता है किसी को देखना and उनका role खुद assume कर लेना कि अगर आपने एक women को देखा आप कह रहे हो कि इसे तो शादी करके घर समालना चाहिए just because वो women है तो ये role stereotyping हो गया आपने एक man को देखा आपने कहा कि इसे तो ये role stereotyping का part होता है ठीक है अब देखो रोल के बारे में एक चीज याद रखना कि रोल ना लोग सीखते हैं, कोई एक fixed formula नहीं है इसका, कि अगर आप mother बन गए तो आपको ऐसे ऐसे करना है, ठीक है, हम लोग humans हैं, हम लोग programmed तरीके से robots की तरह act नहीं कर सकते, रोल के बारे में हम धीरे धीरे सीखते हैं, as individuals हम society का part बनते हैं, एक दूसरे से बाचीत करते हैं, और हम धीरे धीरे अपने रोल को सीखते हैं, सबका अलग तरीका होता है अपने रोल को निभाने का, जैसे मैंने आपको बताया सारे मदर, सारे फादर अलग-अलग होते हैं रोल्स और स्टेटिस आर नौट गिवन और फिक्स पीपल मेक एफर्ट्स और फाइट अगेंस डिस्क्रिमिनेशन रोल और स्टेटिस लोगों का फिक्स नहीं होता तब हमें अलग-अलग रोल्स और स्टेटिस सोसाइटी में प्रोवाइड किया जाता है अब सोसाइटी में कुछ रूल्स और रेगुलेशन भी होते हैं क्या होता है, अगर कोई अपने roles and regulations को अच्छे से, अगर कोई अपने role को अच्छे से play नहीं कर रहा, तो कई बार society उनको punish भी कर देती है, है न, अब मान लो कोई mother है, वो अपने बच्चे को मार रही है, ठीक है, पीट रही है, या murder वगेरा कर दिया है, तो क्या होगा, society उस mother तो सोशल कंट्रोल होता है डेफिनेशन क्या है इट रिफर्स टू वेरियस मीन्स यूज बाय सोसाइटी टू ब्रिंग इट्स रीक्याल्स रिटरेंट और अन्रूली मेंबर्स बैक इंटो लाइन तो सोशल कंट्रोल मतलब को एक ऐसा तरीका जिससे आप सोसाइटी में एक ऐसा तरीका जिससे आप गलत लोगों को पणिश कर रहे हो उसे हम सोशल कंट्रोल कहते हैं अ अब हमने पढ़ा था चाप्टर की शुरुवात में कि अलग-अलग सोशियोलोजिस्ट का अलग-अलग नजरिया होता है तो अलग-अलग सोशियोलोजिस अलग-अलग सोशियोलोजिस्ट क्या करते हैं? सोशियोल कंट्रोल को भी अलग तरीके से समझते हैं तो इसका मैं आपको एक एग्जांपल देती हूँ तो मान लो कोई ऐसा सोशियोलोजिस्ट है जो functionalist perspective पे विश्वास रखता है functionalist perspective क्या है? कि society के सारे लोग harmony में रहते हैं तो एक functionalist perspective वाले सोशियोलोजिस्ट के लिए social control का क्या मतलब होगा?
उनके लिए मतलब होगा 0.1 The use of force to regulate behavior of individual and group उनके लिए social control का मतलब है कि हम force use कर रहे हैं पर इसलिए use कर रहे हैं ताकि हम society में सारे लोगों को harmony में regulate कर पाएं Enforcing values and patterns for maintaining order in society उनके लिए social control का मतलब होगा कि हम values and patterns को enforce कर रहे हैं ताकि हम order maintain कर पाएं society में Social control here is directed to restraint deviant behavior तो यहाँ पे इनके लिए क्या होगा कि social control का क्या मतलब है कि हम deviant मतलब अगर कोई अपने रस्ते से भटक रहा है कुछ गलत कर रहा है तो उसे control में लाने के लिए हम social order को ला रहे हैं ठीक है तो इन लोगों के लिए जो ऐसा मानते हैं कि society में एक harmony होती है इन लोगों के लिए तो अगर आप इन से पूछोगे कि यार तुम बताओ तुमारे लिए social order का क्या मतलब है, social control का क्या मतलब है, तो ये लोग क्या कहेंगे कि हमारे लिए social control का तो मतलब ये है कि society में कुछ rules और regulations बने हुए हैं, जिन से dominant group के लोग, weak लोगों के उपर अपना power exert करते हैं, ठीक है, बाकी लोगों के ऊपर लगाते हैं, ठीक है, social control refers to social process techniques and strategies by which behaviors of individual or groups are regulated, ठीक है, पर in general अगर आप social control के बारे में पढ़ो, तो social control होता क्या है, कोई भी technique या strategy जिससे आप कुछ लोगों के group के behavior या individual को regulate कर पाओ, ठीक है, आप कुछ values add कर पाओ society में, उससे हम social control कहते हैं, social control दो type के फॉर्मल सोशल कंट्रोल का क्या मतलब है जब सोसाइटी में कोई ओर्गनाइजेशन हो आपके ऊपर सोशल कंट्रोल जताने के लिए तो हम उसे फॉर्मल सोशल कंट्रोल कहते हैं जैसे कॉंस्टिटूशन हो गया गवर्मेंट हो गई पुलीस हो गई ये सब फॉर्मल सोशल क किसी को देख कि अजीब अजीब चेहरे मत बनाओ, अपना body language अच्छा रखो, सही से हसने का तरीका क्या है, किसी को रूडली किसी से बात मत करो, तो ये सब informal social control में आ जाता है, ये सारी चीज़े हम day to day life से सीखते हैं, हमें घर पे बता जाता है ऐसे मत बैठो, ऐसे मत हसो, ये कुछ cases में informal social control से society की stability बिगड़ भी सकती है, जैसे for example आप लोगों ने honor killing के बारे में सुना है, हमें अपने families में सिखाया जाता है अपने ही caste में marry करो, ऐसा करोगे तो stability आएगी, love marriages नहीं करनी, तो कुछ families वगेरा में क्या होता है, अगर कोई love marriage कर ले, out of caste, inter caste marriage कर ले, तो क्य तो honor killing में क्या है ये एक informal method ही हो गया है ना हमारी family ने कुछ सिखाया जो हमने नहीं माना तो family के लोगों ने क्या करा मार दिया उस इंसान को तो informal method से जरूरी नहीं है कि हमेशा सब कुछ stable चलता रहें informal method के teachings में भी instability आती है ठीक है next एक term है sanction ठीक है sanction का क्या मतलब होता है हमारे socially expected forms of behavior, sanction का मतलब reward भी हो सकता है, punishment भी हो सकता है, आपने कोई rule नहीं माना, तो आपको punish किया गया, तो हम उसे कहेंगे negative sanction, on the other hand, आपने कोई rule बहुत अच्छे से माना, तो हम आपको reward दे रहे हैं, कोई gift दे रहे हैं, तो हम उसे कहेंगे positive sanction, next एक और term है, जो आपको पता होना ठीक है तो अगर कोई एक ऐसा इंसान है जो सोसाइटी के rules and regulations को नहीं मान रहा हम उसे कहेंगे कि ये इंसान तो deviant है तो deviance का क्या मतलब है जब हम अपने rules and regulations से भटक जाते हैं तो हम उसे कहते है deviance अब deviance का असली मतलब time के साथ बदल सकता है, for example, अगर आज से बहुत साल पहले कोई women बोलती कि मुझे काम करने जाना है, या मुझे astronaut बनना है, या मुझे mechanical engineer बनना है, तो लोग सोचते कि ये women तो maybe मतलब क्या बोल रही है, ये तो deviant है, हम अपने women को ऐसे raise नहीं करते, पर अ� तो deviant का मतलब time के साथ बदल सकता है ठीक है तो अब आपको थोड़ा बहुत समझ आ गया होगा कि sociology as a subject हमने पढ़ रखा है कि ये common sense से अलग होता है इसलिए sociology जो subject है इसमें terms and concepts की जरूरत है and हमने काफी सारे terms and concepts को इस chapter में discuss भी कर लिया है and this is confetti time in detail discuss कर लिया है तो that was confetti for you pat your back, good job, आप लोगों ने बहुत अच्छे से ये chapter समझ लिया है, एक और chapter हम लोगों ने निप्टा दिया है, मुझे comment section में ज़रूब बताना कि आज की class कैसी लगी, next chapter आपको कौन सा चाहिए, ये भी आप लोग comment section में बता सकते हो, apart from that you all can also reach out on Instagram, चलो बच्चो, so that's it for today, आज