Overview
इस लेक्चर में पार्टनर की डेथ पर अकाउंटिंग ट्रीटमेंट, इंटरिम प्रॉफिट की कैलकुलेशन, और उसके ट्रीटमेंट को विस्तार से समझाया गया है।
डेथ ऑफ अ पार्टनर का परिचय
- पार्टनर की डेथ और रिटायरमेंट में अधिकांश अकाउंटिंग एंट्रीज समान होती हैं।
- नई बात है इंटरिम प्रॉफिट, जिसे डेथ डेट तक निकालना पड़ता है।
- एक्जीक्यूटर वह व्यक्ति है, जो मृत पार्टनर का हिसाब संभालता है।
इंटरिम प्रॉफिट की गणना
- प्रॉफिट दो तरह से निकाल सकते हैं: टाइम बेसिस और टर्नओवर बेसिस।
- टाइम बेसिस: पिछले सालों के एवरेज प्रॉफिट के आधार पर यह वर्ष का प्रॉफिट अनुमानित करते हैं।
- टर्नओवर बेसिस: पिछले साल की सेल्स और प्रॉफिट मार्जिन के हिसाब से, इस वर्ष के सेल्स पर मार्जिन लगाकर प्रॉफिट निकालते हैं।
- प्रॉफिट निकालते समय केवल उस अवधि तक का हिसाब लें जब तक पार्टनर जीवित था।
इंटरिम प्रॉफिट का अकाउंटिंग ट्रीटमेंट
- यदि रेशो में कोई परिवर्तन नहीं: P&L सस्पेंस अकाउंट डेबिट टू डिजीज्ड पार्टनर कैपिटल अकाउंट।
- यदि रेशो बदल गया: गेनिंग पार्टनर कैपिटल अकाउंट डेबिट टू सैक्रिफाइसिंग पार्टनर कैपिटल अकाउंट।
- प्रॉफिट डिस्ट्रीब्यूशन प्रॉफिट शेयरिंग रेशो के अनुसार किया जाता है।
कैपिटल व गुडविल का ट्रीटमेंट
- मृत पार्टनर का शेयर, कैपिटल, गुडविल और अन्य बकाया को कैपिटल अकाउंट में क्रेडिट किया जाता है।
- एक्जीक्यूटर को पेमेंट के लिए: कैपिटल अकाउंट डेबिट टू एक्जीक्यूटर।
- आधी राशि पेमेंट करने पर: एक्जीक्यूटर डेबिट टू कैश/बैंक एंड टू एक्जीक्यूटर लोन।
प्रश्न उदाहरण व समाधान
- इंटरिम प्रॉफिट कैलकुलेशन के लिए टाइम और टर्नओवर बेसिस के एक्जाम्पल्स विस्तार से समझाए गए।
- कैपिटल अकाउंट तैयार करते समय कैपिटल, गुडविल, प्रॉफिट, इंटरेस्ट आदि का सही ट्रीटमेंट दिखाया गया।
Key Terms & Definitions
- इंटरिम प्रॉफिट — वर्ष की शुरुआत से पार्टनर की मृत्यु तक फर्म द्वारा कमाया गया मुनाफा।
- एक्जीक्यूटर — मृत पार्टनर की संपत्ति का प्रबंधक।
- टर्नओवर बेसिस — सेल्स के आधार पर प्रॉफिट निकालना।
- टाइम बेसिस — समय के अनुपात में प्रॉफिट का अन ुमान।
- गुडविल — फर्म की प्रतिष्ठा का मूल्य, जिसे पार्टनर बदलने पर समायोजित किया जाता है।
Action Items / Next Steps
- पिछले वर्षों के प्रॉफिट व सेल्स के आंकड़े याद रखें।
- इंटरिम प्रॉफिट निकालने की प्रैक्टिस करें।
- कैपिटल अकाउंट व एक्जीक्यूटर अकाउंट की फॉर्मेटिंग समझें।
- अगली बार एक्जीक्यूटर लोन अकाउंट की विशेष स्टडी करें।