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P-ब्लॉक तत्वों की महत्वपूर्ण जानकारी

एक बार फिर से मैं आप सब लोगों का वेलकम करता हूँ जो हमना revision series चल रहा है या फिर जिसको मैं summary lecture का series चल रहा है और इसमें आज हम लोग बात करने वाले हैं pre-block elements की योला जो session है उसमें मैं कोशिश करूँगा, mains, advanced सारा सब कुछ cover करवा दूँ, बात कर लेते हैं occurrence की, occurrence पे भी कोई बहुत जादा important question नहीं आता, लेकिन कुछ formula होते हैं occurrence में जो बहुत important होते हैं, मैं आपकी जानकारी के लिए बता दू, जै मेंस का syllabus, group 13 element के लिए बस यहीं त याद करने यह कि प्रेपरेशन की कुछ रियल अप्शन है ऐसे याद होगी सब्सक्राइब करेंगे उस तरीके से याद होगी एक बार में याद नहीं होगी जो क्लास 11 के बच्चे उनको टाइटरेशन अभी नहीं पता होगी तब रिडक्स पढ़ लेंगे प्रश्न पूछे जाते हैं डायरेक्टर अल्लाइन वेलकम टो अल्लाइन डिएस स्टूडेंट्स क्या हाल चाहिए आप लोगों के उम्मीद करता हूं सब बहुत ही बढ़िया होंगे एक बार फिर से आप सब लोगों का वेलकम करता हूं और जो हमना रिवीजन सीरीज पी ब्लोक एलिमेंट्स की यस और पी ब्लोक एलिमेंट सिर्फ 11 वाले पोर्शन की बात करेंगे जिसमें ग्रुप 13 और ग्रुप 14 एलिमेंट्स यह क्लास 11 का पार्ट है साथ-साथ यह जो पी ब्लोक एलिमेंट है इसका आ काफी सारा portion J mains के syllabus से हट गया, उसको सिर्फ J advance के syllabus में रखा गया, यह वाला जो session है उसमें मैं कोशिश करूँगा, mains, advance सारा सब कुछ cover करवा दू, जो अपनी regular class थी, जो अपनी app पे class थी, उसमें ने सारी चीज बताई थी कि कौन सा topic J mains का है, कौन सा advance का है, यहाँ पर भी आ� तो एक काफी बड़ा चैप्टर बन जाता है, और काफी important चैप्टर बन जाता है, जिससे जैई अडवांस में खूब सारे questions पूछे जाता है, तो हम लोग इसको टुकडो में तोड़ के लिख रहे हैं, अभी हम लोग 13-14 की बात करेंगे, और फिर जो 12 में आपका inorganic chemistry है, उसमें आप 15, 16, 17, 18 group पूछ पड़ोगे, ठीक है, तो मेरे साप से session को करना चाहिए start, periodic classification आप लोगों ने अच्छे से कर रखा होगा, जिनोंने इस chapter को revise कर लिया एक बार, अच्छे से पढ़ रखा है, वही बच्चे इस session को देखें, जिनोंने people of element का कभी नाम भी नहीं सुना, अच्छे से उन्होंने कभी पढ़ा भी नहीं है, जिनको बहुत सारे doubts हैं, बहुत सारे topics उनके clear नहीं है, बिल्कुल भी, ऐसे जो चैप्टर का sequence आपको समझ में आएगा, flow आपको समझ में आएगा, और कौन-कौन से topics है जो हमें करने हैं, वो आपको समझ में आएगा, ठीक है, तो मेरे साब से करना चाहिए session को start, इस वाले chapter में हम लोग पूरा, है ना, पूरा का पूरा p-block element class 11 का हम लोग करने वाले हैं, इस वाले portion में, अगर मैं introduction की बात करूँ, इसका मतलब p-block element जब मैं कहता हूँ, इसका मतलब यह हो गया, कि जो last electron है, वो किस में जा रहा है, p-sub-shell में जा रहा है, हमें यह पता है कि p-sub-shell, shell में 3 orbitals होते हैं, और 3 orbitals में maximum आप 6 electron fill कर सकते हो, तो हमारा जो p-block element होता है, वो group number 13 से लेके group number 18 तक ये जो 6 groups होते हैं, उसमें p-block element आप लोग रखते हो पी ब्लोक एलिमेंट एक ऐसा ब्लोक है जिसमें मेटल्स भी होते हैं, नॉन मेटल्स भी होते हैं और मेटल वेट्स भी होते हैं, सारा सब कुछ होता है इसमें. अगर मैं एलेक्ट्रोनिक कॉन्फिग्रेशन की बात करूँ तो एनेस टू एनपी वन से सिक्स होता है, यास, यहाँ पर अगर मैं ग्रुप थर्टीन लिखूँगा तो ग्रुप थर्टीन में एनेस टू एनपी वन हो जाएगा, फोटीन लिखूँगा तो एनेस टू एनपी एक बहुती चोटी सी टेबल आपकी स्क्रीन पर दे रखी है, यह जो टेबल है यह आपको क्या बताती है? यह बताती है जनरल एक्ट्रोनिक कॉंफिग्रेशन हर ग्रूप का, और फर्स्ट मेंबर कौन सा हर ग्रूप का, और ग्रूप की ओक्सिडेशन स्टेट कितनी है? ग्रूप ओक्सिडेशन स्टेट, और यह है अदर ओक्सिडेशन स्टेट, क्या डिफरेंस है? ग्रूप ओक्सिडेशन स्टेट का मतलब है कि जो मैक्सिमम कॉंपाउंट्स बनेंगे, उन मैक्सिमम कॉंपाउंट्स में इन ए यहाँ plus 3 और plus 1 हो सकती है, this is your higher oxidation state, this is lower oxidation state. Plus 4, plus 2 हो सकती है, plus 4 is higher oxidation state, plus 2 is lower oxidation state, minus 4 भी हो सकती है. आगे हम लोग दिर्दिरे इनके बारे में भी बात कर लेंगे. यस, एक चीज इसने लिखी है कि जो maximum oxidation state हो सकती है, वो कितनी हो सकती है, total number of valence electrons के बराबर, अगर मैं 13 की बात करूँ, group 13 की, तो जो maximum electron, maximum oxidation state होगी, वो valence shell में कितने electron होते हैं, 3 होते हैं, तो plus 3 हो सकती है, group 14 के valence shell में 4 होते हैं, तो plus 4 हो सकती है, group 15 के case में 5 होते हैं, तो plus 5 हो अब एक चोटी सी बात यह कर लेते हैं, stability of higher and lower oxidation state. सुनिए, आप लोगों ने inert pair effect पढ़ा है, yes. inert pair effect क्या कहता है? inert pair effect यह कहता है कि आप जैसे जैसे down the group जाते हो, NS electrons का bond formation में participation धिर धिर कम होने लगता है. और अगर वो NS electrons bond formation में participation नहीं करेंगे, तो जो higher oxidation state की stability है down the group, ग्रूप जाने पर डिक्रीज कर दिया अगर मैं ग्रूप 13 की बात करूं ग्रूप 13 में एनस टू एंटी वन कंफिग्रेशन होता है बांधा ग्रूप जाने पर एनस एलेक्ट्रोन जो बोंड फॉरमेशन पार्टिस्पेट नहीं करेंगे इसका मतलब सिर्फ और सिर्फ वैसे ये अगर मालो मैं group 14 की बात करूँ, group 14 के case में NS2 NP2 configuration होता है, down the group जाने पर NS electrons का bond formation में participation कम होता जाएगा, सिर्फ NP के electrons bond formation में participation करेंगे, तो इसका मतलब plus 4 की बजाए down the group जाने पर plus 2 oxidation state की stability बढ़ेगी और plus 4 oxidation state की stability decrease करती है ना, तो हमेशा ध्यान रखें, down the group stability of higher oxidation state, yes, down the group, stability of higher oxidation state decreases and stability of lower oxidation state increases because of inert pair effect. और ऐसा क्यों होता है? Because down the group जाने पर inner shell के D and F electrons होते हैं, वो बाहर वाले electrons को repel नहीं कर पाते हैं, उनका shielding effect बहुत ही कम होता है, और अगर वो repel नहीं कर पाएंगे, तो आउटर एलेक्ट्रोन पे nucleus का attraction expected से ज़्यादा होगा, और वो bone formation में participate नहीं करना चाहेंगे, ज़्यादा, that is inert pair effect. अगर मैं first element की बात करूँ हर एक group के, तो उसकी कुछ properties अपने group के बाकी element से अलग होती है, क्यों होती अलग, because जो first element होता है, उसकी electron negativity बहुत high होती है, उसकी ionization energy बहुत high होती है, और उसके पास vacant D orbital present नहीं होता. जो first element होता है, वो हमेशा अपने diagonally aligned element के similar property शो करता है, that is known as diagonal relationship in periodic table, जो हम लोगों ने periodic classification में पढ़ा है, स्थार जो first element होता है, उसकी कौन-कौन सी properties different होती है, जो first element होता है हर group का, वो second period का element होता है, और second period जो होता है, second shell में सिर्फ 4 ही orbitals हो सकते हैं, और 4 orbital है, इसका मतलब second period elements की सकती है लेकिन जब आप एवियर एलिमेंट के बारे में बात करोगे तो उनके पास डियो और बाइटल भी प्रेजेंट होता है और डियो और बाइटल प्रेजेंट होने की वजह से वह अपनी वैलेंसी को चार से ज्यादा एक्सटेंड भी कर सकते हैं यह पीपाई पीपाई बॉंड बना सकता है इसकी साइज छोटी होती है और लेकिन जो heavier elements होते हैं, वो P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P-P अब हम लोग डारेक्ट बात करेंगे ग्रूप 13 एलिमेंट, कौन-कौन से एलिमेंट होते हैं, मेरे साथ से कुछ बताने की ज़रूरत नहीं होने चाहिए आपको, बोरोन, एलिमीनियम, गैलियम, इंडियम और थैलियम, इने के बारे में हमें पढ़ना होता है, इनमें से ज जो आपका बोरोन होता है, वो network solid होता है, इसमें B12 units का बार-बार repetition होता है, और बोरोन जो होता है, उसका अगर आप लोग structure के बारे में देखोगे, तो वो icosahedron होता है, जिसमें 12 corner और 20 spaces होता है, जैसे हमारा cube होता है, आठ कॉर्नर और छे फेसेज होते हैं वैसे ही आप चाहो तो यह डेटा याद रख सकते हो इसके बारे में आज सच कोई बहुत ज़ादा question important नहीं पूछा गया बात कर लेते हैं occurrence की occurrence पे भी कोई बहुत ज़ादा important question नहीं आता लेकिन कुछ formula होते हैं occurrence में जो बहुत important होते हैं तो अपना इसका बहुत ज़ादा role नहीं है अलुमिनियम जो तो मेश्च अबंडेंट मेटल होता है और थर्ड मेश्च अबंडेंट एलिमेंट होता है इन दिया फ्रेस्ट किसके बाद आप रॉक्सिजन सिलिकन बॉक्साइड अलुमिनियम का एक बहुत बढ़िया और मिनरल होता है साथ-साथ एनेथी एलफ 6 एक बहुत शांदार मिनरल है इनके बारे म लेकिन यह formally important है, formally याद होने आपको बहुत जरूरी है सबसे पहले हम लोग बात कर लेते हैं atomic properties की और atomic properties में सबसे पहले बात होगी इस एलेक्टोनिक configuration की मैं आपको बता चुका हूँ general shell, valence shell का electronic configuration NS2NP1 होता है, इनके valence shell में अगर मैं बात करूँ तो valence electrons 3 है, इसके अगर oxygen state की बात करें तो सर अगर NS और NP दोनों electron bond formation में participate कर रहे हैं तो plus 3 होगी और अगर NS का electron bond formation में participate नहीं करता सिर्फ NP वाला करता है तो plus 1 होगी lower oxidation state, higher oxidation state मैंने बता दिया down the group जाने पर higher oxidation state की stability कम होगी and lower oxidation state की stability बढ़ेगी group 13 elements में जो radius और ionization energy का order है that is very much important radius जनरली हम लोग यह कहते हैं कि down the group जाने पर increase करती है बोरोन, एलिमिनियम, गैलियम, इंडियम, थैलियम आप सोच रहे थे ऐसा होगा लिकिन ऐसा नहीं होता बोरोन के बाद गैलियम आ जाता है गैलियम की जो आइनाइशन अनर्जी होती है साइज होती है वो एलिमिनियम से छोटी हो जाती है Poor shielding of the electrons Poor shielding of 3D electrons Poor shielding of 3D electrons जब आप एलिमिनियम से गैलियम में जाते हो तो 10 एलिमिनियम से छोटी होते हैं और 3D के 10 एलिमिनियम अउटर एलिक्ट्रोन को रिपेल करने की टेंडेंसी नहीं शो करते हैं या फिर बहुत कम शो करते हैं इस वज़े से अउटर एलिक्ट्रोन पे नूकलियस का ट्रैक्शन आयोनाइशन अनर्जी के अंगर हम लोग बात करें तो जनरली होना ये चाहिए था डाउन तक रूप जाने पर साइज बढ़ती है तो आयोनाइशन अनर्जी डिक्रीज करनी चाहिए थी ये जनरल ट्रेंड होना चाहिए था लेकिन ऐसा नहीं होता बहुत इंपोर्टेंट है यहाँ पर आप लोग एक चीज़ नोटिस कीजिए थलिमियम की, ज्यादा हो गई यह देख रहे हो सबसे नीचे था, सबसे उपर आ गया, उपर देखो बुरोन के बाद क्यों? पूर शिल्डिंग आफ D and F electrons D and F electrons D and F electrons और gallium का तो आपको reason पता ही है gallium के size चोटी क्यों हो गई थी poor shielding of D electrons की वज़े से और अगर size चोटी है तो इसकी ionization energy ज़्यादा हो जाएगी as compared to aluminium फिर उसके बाद हम लोग बात कर लेते हैं electronegativity की यहाँ पर भी थोड़ा सा लफ़डा होता है बुरोन के बाद thallium, indium, gallium और aluminium electronegativity का यह order आता है और यह order क्यों है यह इसलिए है because यहाँ size में disturbance आता है, discrepancy आती है और उसकी वज़े से हमारी electro negativity में भी आपको order में difference देखने को मिलेगा जो actual order होना चाहिए, वो order नहीं होता atomic properties के बाद हम लोग आगे बात करेंगे physical properties की physical properties में, अभी मैंने आपको बोला कि जो boron होता है वो network solid होता है, तो यह extremely hard होता है और साथ साथ black color का solid होता है yes इसका melting point बहुत high होता है because network solid है, crystalline lattice है. बाकी जो element होते हैं, वो soft metals होते हैं, soft metals होते हैं जो इनका melting point जो होता है थोड़ा कम होता है. आपके सामने melting point का order screen पर लिखा है, इस order को आप लोग ध्यान रखें. बोरोन, फिर उसके बाद aluminium, फिर thallium, indium और gallium. गैलियम जो होता है सारी दुनिया जानते हैं गैलियम का देखिए बैल्टिंग पॉइंट सबसे कम होता है गैलियम जो होता है वो लगबग 30 डिग्री सेल्सियस पे किस में कन्वर्ट हो जाता है मैल्ट हो जाता है और वो मतलब रूम टेंपरेचर पे गर्मियों में रूम टे और क्योंकि एक बहुत बड़ी range में liquid form एक्जिस्ट करता है इसको कहाँ use किया जा सकता है इसको जो अपने high temperatures होते हैं उनको measure करने में use किया जा सकता है अगर मैं density की बात करूँ तो लिखता है कि जो density होती है down the group जाने पर density increase करती है boron, aluminium, gallium, indium और thallium down the group जाने पर mass भी बढ़ता है इंग्रीज से ज्यादा है डेट्स वाइट डाउन दा ग्रुप जाने पर डेंसिटी इंग्रीज कर रही है एक और इंपोर्टेंट चीज है गैलियम के बारे में कि उसके लिक्विड स्टेट की जो डेंसिटी होती है सॉलिट स्टेट से ज्यादा होती है सॉलिट डेंसिटी लिक्विड फेस से कम है बात कर लेते हैं फटाफट हम लोग किसकी केमिकल प्रॉपर्� जो हमारा बोरोन है, यस, बोरोन की साइज बहुत चोटी है, बोरोन की साइज बहुत चोटी है, तो बोरोन से तीन इलेक्ट्रोन निकालने में, यस, साइज बहुत चोटी अगर आयोनिशन अजरजी बहुत हाई है, मतलब इससे एक एलेक्ट्रोन निकालना काफ़ी मुश्किल है, एक निकालना ही काफ़ी मुश्किल है, तो भाई ये तीन एलेक्ट्रोन निकालने की टेंडेंसी नहीं रखेगा, मतलब बोरोन तीन एलेक्ट्रोन लूज नहीं कर सकत तीन एलेक्ट्रोन शेर करके कोविलेंड बॉर्ण बनाने की टेंडेंसी रखता है अगर मैं बोरोन से एलिमिनियम की तरफ जाओं तो कोई दिक्कत नहीं है आयन आईशन अनरजी जो होती है वो डिक्रीज करती है आयन आईशन अनरजी डिक्रीज करेगी तो और साथ साथ एलिमिनियम का अभी मैं आपको बता चुका हूँ, डाउनदा ग्रुब जाने पर, प्लस थ्री ओक्शिडेशन स्टेट की स्टेबिलिटी डिक्रीज करती है, और अगर यहीं पर सब जगे प्लस वन लिखा होता, थैलियम की प्लस वन ओक्शिडेशन स्टेट है, इसकी प्लस दावा नहीं है, बाकी सब की अगर आप individually compare करेंगे, जैसे gallium की आप से कोई पूछे, प्लस 3 और gallium प्लस 1 में से कोई ज़्यादा stable है? आप बोलोगे प्लस 3 ज़्यादा stable है, लेकिन जो आपका thallium होता है, उसकी प्लस 1 oxidation state is more stable than प्लस 3, बाकी सब की प्लस 3 oxidation state प्लस 1 के comparison में ज़्यादा stable होती है. अब देखो, हमने बात करी, Thallium plus 3 जो है, वो convert होना चाता है, किस में? Thallium plus 1 में, because Thallium plus 1 is more stable, अगर इसमें convert होना चाता है, इसका मतलब Thallium का reduction हो रहा है, और reduction हो रहा है, इसका मतलब this is a very good oxidizing agent. अगर मैं एलिमेंट E जिस पे charge प्लस 1 है और एलिमेंट प्लस 3 है, तो अगर charge ज्यादा है, तो हम लोगों ने फजान रूल पढ़ा था, अगर covalent character की बात करोगे, तो प्लस 3 वाला जो compound होगा, उसमें covalent character ज्यादा होगा, लेकिन अगर आप ionic compound की बात, ionic character की बात करोगे, और ये trivalent state में एक Lewis acid की तरह behave करते हैं, जैसे boron trivalent state, BCL3 बनाता है, boron का octate complete नहीं है, incomplete octate होने की वज़े से इसकी tendency electron gain करने की होती है, और क्योंकि electron gain करता है, इस वज़े से इसकी nature कैसी होती है, Lewis acid की होती है, because Lewis acid का कान भी electron को gain करना होता है, बहुत बढ़िया सर. डाउन दा ग्रूब जाने पर, लूज आसिड की तरह बिहेव करने की टेंडेंसी डिक्रीज करती जाती है, बिकोज एलेक्ट्रोन नेगिटिविटी डिक्रीज कर रही है डाउन दा ग्रूब जाने पर, आप अगर बात करें, बिकोज एलेक्ट्रोन नेगिटिविटी डिक्रीज कर रही है डाउन दा ग्रूब जाने पर, और उसका octet complete होने लगता है वैसे ही जो ALCL3 होता है वो stability को achieve करने के लिए क्या बनाता है dimer बनाता है dimer मतलब क्या बनाता है AL2CL6 बनाता है chemical bonding में मैं पढ़ा चुका हूँ AL2CL6 में कौन सी bonding होती है सर bridge bond होता है कौन सा bond होता है bridge bond होता है yes coordinate bridge bond होता है coordinate bridge bond होता है कौन सा bond होता है coordinate bridge bond ये सारी चीज हम लोग chemical bonding चेप्टर में पढ़ चुके थे अगर हम लोग सबसे पहले air के साथ reactivity की बात करें, air का मतलब हो गया oxygen और nitrogen, तो अगर आपका boron है और अगर आपने उसको crystalline form में ले रखा है, तो वो react नहीं करता air के साथ, लेकिन अगर मानलो आपने boron को amorphous form में ले रखा है और amorphous में ही नहीं, आप अगर heat करोगे ना, त� तब जाके वो क्या बनाता है? Al2O3 बनाता है, गैलियम, GA2O3 बनाएगा, सब के ओक्साइट्स बन जाते हैं. वहीं पर अगर मालने आपने बोरोन अमोरफस फॉर्म में लिया, और आपने उसको ओक्सिजन के साथ हीट कर दिया, तो क्या बन जाता है? इंडियाम और थैलियम यस इनके ओक्साइड्स की बात करें तो लिखता है कि B2O3 जो है वो असडिक होता है सर अलिमिनियम और गैलियम एमफोटरिक होता है मैं आपको पहले ही बता चुका हूँ और ये दोनों कैसे होते हैं बेसिक होते हैं ये चीज तो हम लोग शुरू से बढ़ते आये हैं और मेटलिक करेक्टर बढ़ेगा तो ओक्साइड्स का बेसिक नेचर भी इंक्रीज करेगा आगे बात करते हैं और अगली chemical reaction के बारे में बात होगी, वो होगी reactivity towards acids. देखों, मैंने आपको बताया था कि जो हमारे non-metals होते हैं, वो non-oxidizing acids के साथ कोई reaction show नहीं करते हैं. Non-oxidizing acids कौन से होते हैं, इसे dilute HCl हो गया, concentrated HCl हो गया, dilute H2O4 हो गया. तो मतलब अगर माल लो बुरोन आपका non-metal है, मैं dilute HCl के साथ इसकी कोई reaction करवाना चाहूँगा, कोई reaction नहीं होगी. अगर मैं concentrated HCO ले लूँ तब भी कोई reaction नहीं होगी, अगर मैं dilute H2SO4 ले लूँगा तब भी कोई reaction नहीं होगी, लेकिन अगर माल लो मैंने oxidizing acids लिखे हैं, yes, जैसे माल लो concentrated HNO3 के oxidizing acid है, तो boron उसके साथ react करके H3BO3 बनाएगा और साथ में NO2 gas release करेगा, concentrated H2SO4 एक oxidizing acid है, इसक येस बिकॉज एलूमिनियम नोन मेटल ना हो के क्या है? मेटल है मेटल डालूट H2SO4, डालूट HCL, होट और कॉंसेंट्रेड H2SO4 सब के साथ रियक्ट कर लेगा लेकिन हर कैस में यहाँ H2SO4 डालूट और डालूट HCL के केस में H2 गैस रिलीज होगी SO2 गैस मिलेगी अगर एलकली की बात करें तो देखो अक्कोस एनेओच मतलब अलकली के साथ रियक्ट करके क्या बनाता है? सोडियम का मेटाबोरेट बनाता है, NABO2. वैसे अगर मैं एलिमिनियम के साथ रियक्शन करवा दू, तो इस एलिमिनियम का एलिमिनेट बनता है, NALO2, और कई जगह पर इसको NALH4-कुछ इस तरह से भी लिखा होता है, जाहे वाली का हो! या फिर उससे जो नीचे वाली चीज लिखी है, N, A, L, actually यह पहले N, A, L, O, 4 में ही convert होता है, और फिर उसके बाद आगे जाके यह क्या बना लेता है, N, A, L, O, 2 बना लेता है, ठीक है, समझ गए आप मेरी बात को, आगे जलते हैं, और बात कर लेते हैं, reactivity towards halogens के साथ, अरे स यस, जैसे बोरोन के अगर हम लोग बात करें तो, अगर मालों कोई बोरोन की जगे मैं मतलब वो लिख दूँ, जनरलाइज कर दूँ, आपका कोई एलिमेंट है, इस जो ग्रूप 13 का है, वो X2 के साथ रियक्ट करके BX3 बनाएगा, यस, जैसे बोरोन जो होता है, वो क्लोरिन इस केस में होता है आप सब लोग जानते हो बोरोन का BCL3 बन गया बोरोन का अगर मालो एलिमिनियम का क्लोरीन के साथ रियक्शन कराओगे तो ALCL3 बन जाएगा सारे दुनिया जानती है कि जो बोरोन के ट्राइहिलाइट्स होते हैं BF3, BCL3 CL3, BBR3 और BI3, इनमें क्या होती है? Backbonding होती है, sir. Backbonding क्यों होती है? यह सारी कहानी हम लोगों ने chemical bonding में पड़ी है, because boron जब 3 bond बनाता है, तो उसके पास क्या present है? एक vacant orbital, और उसके पास वाला है, है, तो इस विशेष backbonding हो गया है, backbonding का जो extent होता है, वो यह extent होता है, यह होती है 2Pi, 2Pi, सर यहां होता है 2Pi, 3Pi. जैसे जैसे नीचे जाते जा रहे हो, और vitals का size बढ़ता जा रहा है, और जो bonding का extent है वो धिर धिरे कम होता जा रहा है, हमने यह भी चीज़ पढ़ी थी, कि जो Lewis Acidic Strength होती है, Lewis Acidic Strength जो होता है sir, it is inversely proportional to back bonding, तो जहां back bonding जादा है, उसका Lewis Acidic Strength कम होगा, तो अगर इन में आपस आगे बात करेंगे वोटर के साथ, बोरोन जो होता है, हम लोगों बात करेंगे, एक नेटवर्क सॉलिड होता है, वोटर के साथ, मना रियक्शन करने से मना कर देता है, एलिमिनियम कहता है, मेरी सरफेस के उपर ओक्साइड की लेयर जमा हो रखी है, मैं भी वोटर के साथ रि तो ये तेरा ओक्साइड और हाइड्रोजन गैस बनेगी वैसे एलुमिनियम भी H2O गैस के साथ रियक्ट करके ओक्साइड और हाइड्रोजन गैस रिलीज करता है तो ये नॉर्मल पानी के साथ नहीं रियक्ट नहीं करते ये किस के साथ रियक्ट करते हैं? जै मेंस का स्लिबस ग्रुप 13 एलिमेंट के लिए बस यहीं तक था यहीं तक खतम हो चुका है और उसमें सबसे पहले आता है बुरोन का preparation आपके सामने कुछ chemical reactions लिखी भी है यह रियक्शन से नॉर्गिनी केमिस्टी में आपको याद ही करनी पड़ती है जनरली कुछ रियक्शन के एक्सप्लेनेशन है इसको समझ सकते हो कुछ के एक्सप्लेनेशन देते हैं लोग लेकिन फिर भी एक्सप्लेनेशन को भी याद करना पड़ता है तो इससे अच्छा है टेट्रा बोरिक आसिड अगर वोटर के साथ रियक्ट करेगा तो बोरिक आसिड बनता है और जिसको हीट करने से क्या बन जाता है? बी टू ओ थ्री बोरोन का ओक्साइड बनता है बोरोन सेस्क्यू ओक्साइड इस B2O3 के क्या कर दूँ, मैं reduction कर दूँ सर, reduction किसके साथ, अगर मैंने sodium और magnesium के साथ reduction किया है, oxygen हट जाएगा, boron बनेगा, लेकिन वो कौन सा होगा, amorphous, और अगर मैंने aluminium के साथ reduction किया है, तो बनेगा boron, वो कौन सा होगा, crystalline, it's your choice, आपको crystalline boron चाहिए, या फिर amorphous boron चाह कुछ दो method आपके सामने ये भी लिखे हैं, बहुत ज़दा important नहीं है, but this method is important, borax की help से आप लोग कैसे बनाते हो boron, borax को पहले tetraboric acid, फिर H3BO3, फिर B2O3, और B2O3 का reduction, this is the complete process, दो थीन बार लिखे याद करेंगे, reactions आपको बड़े आराम से याद हो जाएगे आगे बात करते हैं, बोरेक्स की, बोरेक्स एक बहुत important inorganic compound, इसका formula आपके सामने लिखा है, Na2B4O7.10H2 होता है, इसको एक और तरीके से भी लिखा जा सकता है, Na2B4O5OH4, कैसे बनता है, एक substance होता है, इसको बोला था, कोलेमिनाइट, अगर आपने उसकी sodium carbonate के साथ reaction करवा दी, तो Na2B4O7 बन जाएगा, पने डालोगे तो Na2B4O7.10H2 बन जाएगा, अगर मैं इसकी structure बना हूँ, तो structure को उस वाले formula से आप लोग बना सकते हो, 2Na+, यह बाहर है, यह रहा बोरोन, बोरोन, बोरोन, इस तरीके से इसकी structure आप बना सकते हो, या फिर चाहो तो इसको जोड़ दो, इससे हर बोरोन जो होता है, वो ओच के साथ जुड़ा होता है, यहां पर चार्ज निगेटिव यहां पर चार्ज निगेटिव चार बोंड बना रहे हैं डॉट एट एट टू बाहर होता है देखिए आप लोग इस इस बोरोन का आपसे है बटाइशन पूछे आप बोलोगे स्पी थ्री होगा इस बोरोन का है बटाइशन पूछे आप सोरी इस पे इसकी structure पे और किस तरह के questions आ सकते हैं इसमें आप से यह पूछा जा सकता है बताईए कितने B-O-H bond present है इसकी structure में आप से यह question पूछा जा सकता है कि बताईए कितने B-O-B bond present है इसमें तो वो आप लोग मेरे साथ से बड़े आरामद से solve कर सकते हो आपको as such कोई तो बोरेक्स के, बोरेक्स के केस में एक और बहुत इंबोरिंट चीज़ आपको याद रखनी होती है, कि इसका जो एक्वर सलूशन होता है न, एक्वर सलूशन कैसा होता है, बेसिक होता है, क्यों, क्योंकि अगर आप इसमें पाने डालोगे, तो बनेगा एनेवेट्स, जो क acidic buffer बना देते हैं, उस acidic buffer को आप लोग equilibrium chapter में पढ़ोगे, अगर आप लोगों ने पढ़ लिया, बहुत अच्छी बात है, नहीं पढ़ाया तो इसको आगे आप लोग पढ़ लोगे, अगर मैं borex को heat कर दू, borex को heat करने से, सबसे पहले उसका जो पानी होता है, वो बाहर निकल बॉरेक्स बीड बोला जाता है, ग्लास जैसा मटीरियल होता है, जो बॉरेक्स बीड होता है, इसको बॉरेक्स बीड टेस्ट भी बोला जाता है, यह जो बीड होता है, यह डिफरेंट डिफरेंट मेटलिक आयन के साथ, मेटल आयन के साथ रियक्ट करके अलग-अलग कलर शो क और ज़्यादा डिटेल में बात करोगे बोरेक्स बीड टेस्ट के बारे में और वैसे मैंने एक छोटी से टेबल अपनी जो रेगुलर क्लास थी उसमें मैंने बनवाई थी कि कौन सा जो मेटल आइन होता है कौन सा कलर शो करता है बात कर लेता हूँ मैं बोरिक आसिड की, H3BO3 की preparation देखो, यह जो उपर वाली दो रियक्शन है, अभी मैं आपको थोड़ी दिर पहले पढ़ा के आया हूँ, यह दोनों रियक्शन हम लोगों ने पढ़ ली थी, बी सी अल स्री का अगर आपने हाइड्रोलिसिस करवा दिया, बोरोन का हिलाइड है, तब भी H3BO3 बन जाएगा, बोरिक आसिड बन जाएगा, बी टू एथ सिक्स का हाइड्रोलिसिस करवा दिया, तब भी बन जाएगा, बी टू ओ थ्री का करवा दिया, तब भी बन जाएगा इसको बोर्थो बोरिक आसेड भी कई जगह लिखा होता है ये इसकी preparation की कुछ reactions है कैसे याद होगी सब time के साथ धीरे धीरे जब हम लोग लिख लिख के याद करेंगे उस तरीके से याद होगी एक बार में याद नहीं होगी जै एडवांस का पार्ट है H3BO3 जो होता है वो solid state में exist करता है because of hydrogen bonding सर hydrogen bonding क्यों होती है, देखो, hydrogen bonding इसलिए होती है, क्योंकि जो hydrogen है, सर वो किस से bonded है, सर वो oxygen से bonded है, इसका मतलब this hydrogen can participate in hydrogen bonding, ये जो oxygen है, जिसके पास lone pair present है, ये भी H bonding में participate कर सकता है, तो ऐसे करते करते, ये जो boron है, इसका hybridization क्या, SP2 है, तो बहुत सारे hydrogen bond एक दूसरे के साथ जु यह जो planar structure H3B3 molecule की उसमें आपस में कौन से bonds है? hydrogen bonds है यह कौन सा bond है? hydrogen bond है ऐसी ही एक layer उसके नीचे भी present होगी उसके नीचे भी एक और layer present होगी इन दो layers के बीच कौन सा force of attraction होता है? vendor wall forces थोड़ा सा confusing है question यह पुछा जा सकता है कि एक layer में H3B3 molecules के बीच कौन सा force आप लोग बोलोगे? hydrogen bond लेकिन दो layer के H3B3 molecules के बीच कौन सा force होता है? vendor wall forces जो की weak force होता है, इसी वज़े से आपका जो boric acid होता है, वो white color का slippery powder होता है, एक दूसरे के ऊपर ये जो layer है, वो एक दूसरे के ऊपर slip कर सकती है, yes, ठीक है sir, boric acid एक weak monobasic acid होता है, और ये sparingly soluble in water होता है, yes, एक weak monobasic acid होता है, क्यों, और ये weak monobasic Lewis acid होता है, ये अपना H plus नहीं देता है, ये पानी से, OH-ले लेता है ना, जैसे अगर मान लो आपका H3-BO3 है, अगर आपने इसको जैसे ही पानी में डाला, यह पता है क्या बनता है, क्या करता है, यह कुछ, H3-BO3 को मैं ऐसे लिख दू, B-OH-, यह पता है क्या करता है, यह water से OH-ले लेता है, लेकर बी ओएच फोर माइनस बना देता है और साथ में एच थ्री ओप्लस देता है अब यह जो एच थ्री ओप्लस है यह फर्दर पानी में जाके एच प्लस आइन रिलीज करता है हलाकि एच प्लस आइन वाटर में प्रेजेंट नहीं होता वो स्टेबल नहीं होता वापस किस accept किया electron pair accept किया तो ये loose acid है monobasic है और weak तो होता ही है अब क्योंकि ये बहुत weak होता है इस वज़े से इसकी titration any what के साथ नहीं की जाती because इस case में आपको sharp end point नहीं मिलता क्योंकि वीक असिड के तरह भी येव करता है, बहुत कम H+, देगा, और बहुत कम H+, देगा, तो आपको शार्प एंड पॉइंट नहीं मिलेगा टाइटरेशन में, जो class 11 के बच्चे हैं, उनको टाइटरेशन अभी नहीं पता होगी, तब वो redox पढ़ लेंगे, तब उनको य अगर मालो आप चाहते हों कि इसकी titration मुझे तो करवानी है, अगर बिटा आप इसकी titration जबरदस्ती करवाना चाहते हो, तो आपको क्या करना पड़ता है, बोरीक आसेड के अंदर sis-diol आएद करना पड़ता है, यह जो sis-diol होता है, यह क्या करता है, इसके acid extent को बढ़ा देत किसको डालने पर? सिस डायोल को डालने से. Yes, सिस डायोल, डायोल क्या होता है? डायोल का मतलब जिसमें दो OH group present होते हैं, उनको हम लोग डायोल बोलते हैं. और अगर दो OH group एक ही side है, तो आप उसको सिस डायोल नाम देते हो. है ना? सिस डायोल क्या करता है? इसकी acid extent को बढ़ा देता है. इसकी एक और reaction है जो... आपको ध्यान में रखनी है, अगर hydrogen peroxide के साथ आप इसकी reaction करवाओ, H2O2 क्या होता है ज़रा? सर hydrogen peroxide होता है, hydrogen peroxide इसके साथ react करेगा, सबसे पहले बनाता है H3PO4, और वो NEOs के साथ react करके, sodium peroxyborate का formation करता है, which is used in detergent, है ना? यह एक बार JEE में पूछा गया question है, इस वज़े से यह वाली reaction मैंने आपको लिखवाई है, यस, बहुत बढ़िया. actually कैसे बना रहा है डिटेल में हम लोगों ने इसको regular class में discuss किया था एक्स ट्री बीवा थे कि जो फ्रेडिंग होती है बहुत इंपोर्टेंट होती है अगर मैं सो डिग्री सेल्सियस पर हीट करूं और अगर आपने इसको और ज्यादा गर्म दिया और ज्यादा हीट कर दिया रेड हॉट कर दिया तो सर यह कन्वर्ट हो जाता है किसमें बीट वो थ्री बोरोन के सेस्क्यो ऑक्साइड में तो यह बीट वो बोरिक आसड की जो हिटिंग है बेट इस पर डारेक्ट क्वेश्चन पूछा जा सकता है टेंप्रेचर आपको ध्यान में रखना है तो डिग्री एक सो साथ डिग्री और रेड हॉट ठीक है सर याद रह जाएगा जो फिर उसके बाद एक और बहुत important chemical compound है जिसका नाम है diborane, B2H6 इसको बोला जाता है, boron के जो hydride होते हैं उनको boranes बोला जाता है, BH3 होता है, borane, और अगर ऐसे दो borane आपस में मिल जाएं, 2 into BH3, जिसको आप लोग B2H6 लिखते हो, तो दुनिया इसको diborane के नाम से जानती है, dib आपसे बताने की जरूरत आपको नहीं पढ़नी चाहिए डाइब ओरेंड जो होता है उसमें बनाना बॉंड प्रेजेंट होता है यह तो हमने नाम सुना है यह हमने पढ़ा भी है केमिकल बॉंडिंग में यह जो बॉंड होता है बनाना शेप का होता है इसको थ्री सी टू एपिटी होता था यह सब्सक्राइब नोट प्लेनर है नोट प्लेनर है इस वाले बॉंड बॉंड लेंथ ज्यादा होता है बॉंड नर्जी ज्यादा होता है यह वाला जो एंग्ल ज्यादा वाला एंग्ल कम यह सारी चीजें हम लोग उधर पड़ चुके यह जो मेथड है, industrial method है, और जो उपर वाला method आपके सामने लिखा है, B2H6 बनाने का laboratory method होता है, yes, B2H6 की structure important होती है, उस पे questions पूछे जाते हैं, structure मैं आपको पहले ही बता चुका हूँ, अगर मैं इसकी properties की बात करूँ, तो यह colorless होता है और highly toxic gas होती है, अगर इसको air में रखोगे तो एकदम से oxygen के साथ react करके B2O3 बना लेगा और high amount of energy release होता है, yes, catches fire जो कि आग भी पकड़ सकता है, क्योंकि इसमें बहुत high amount of energy release होती है, इसी वज़े से जो हमारा diborane होता है, वो और water से इसका hydrolysis करवा सकते हो बहुत जबरदस तरीके से B2H6 hydrolysis करके H3BO3 बनाएगा साथ में hydrogen gas रिलीज होगी और water के साथ साथ आप इसका aqueous alkali के साथ भी hydrolysis करवा सकते हो तब भी आपको कौन सी gas मिलेगी hydrogen gas मिलेगी इसकी जो अगली important reaction है वो है ammonia के साथ reaction which is very much important ammonia के साथ अगर आप इसको react करवाओगे तो कब कौन सा product बनेगा it depends कि आपने reaction condition कौन सी ले रखी है एक्सेस एनेस थ्री लिया है तो बी टू एट सिक्स डॉट एनेस थ्री बनेगा जिसमें ये वाले दो आयंस प्रेजेंट होते हैं अगर आपने एक्सेस एनेस थ्री के साथ हाई टंपरेचर ले लिया तो आपको बी एन एक्स बॉरोन नाइट्राइड बनेगा जिसमें बी एन रिपीट होता रहेगा एक लेड स्ट्रक्चर बन जाएगी बॉरोन नाइट्राइड को इन औरगेनिक ग्र और दो लेयर के बीच Venderwall forces होते हैं, वही similar case यहां बुरो नाइट्राइड में होता है, यहां पर भी layers present होगी, और layers के बीच Venderwall forces होते हैं, that's why this is known as inorganic graphite, लेकिन वहीं पर अगर माल लो आपने ratio ले लिया, ammonia और B2H6 का 2 is to 1 और high temperature ले लिया, तो एक बहुत important compound बनता है, B3N3H6 इन और गैनिक इन और गैनिक बेंजीन के नाम से जानते हैं बिकॉज इसकी जो स्ट्रक्चर होती है वह सर बेंजीन जैसी होती है इन और गैनिक बेंजीन बोल दो इसको कई जगह पर बोराजाइन लिखा होता है और कुछ जगह पर इसको बोराजाइन लिखा होता है तो ध्यान रखना तो यह सब कुछ बोराजाइन बोल दो बोराजाइन बोल दो आपकी शृद्ध है आपकी मरजी है अगर मैं बी तरीके एंड फ्री एडिस की बात करूं इसकी स्ट्रक्चर की तो बी एंड बी एंड कुछ ऐसा होगा हर बोरोन और हैड्रोजन के बोरोन और नाइट्रोजन के पास एक-एक हैड्रोजन प्रेजेंट होता है इसके पास लोन पेर है लोन पेर यह डबल बोंड बना लेगा यह लोन पेर है वह यह डबल बोंड बना लेगा यह लोन पेर यह डबल बोंड बना लेगा ऐसा करने से नाइट्रोजन पर चार्ज होगा पॉजिटिव ह अब ये कहां involve है, सर ये involve हो चुका है कहां, सर उसने अपना loan pair दी दिया है resonance में, इसके उपर positive, negative, positive, negative, positive, negative, this is your inorganic benzene B3N3H6, लग रहा है ना ऐसा, कि जैसे benzene जैसा structure हो इसका, yes, क्या आपको थोड़ी बहुत feel आ रही है benzene जैसी, सर बिलकुल आतो रही है सर, बहुत बढ़ि इसका fusion भी कर सकता हूँ लेकिन इसका जो fusion होता हो दो तरीके का होता है एक होता है symmetric bond fusion दूसरा होता है unsymmetric bond fusion symmetric fusion करता है ये वाले Lewis base और unsymmetric bone fusion करते हैं ये वाले Lewis base सर symmetric और unsymmetric से बनेगा क्या? आप खुद समझदार हो आप खुद समझदार हो ज़्यादा बताने की ज़रूरत मेरे साथ से पढ़नी नहीं चाहिए अगर symmetric bone fusion होगा symmetric bone fusion होगा मेरे भाई तो जो है सब को बराबर मिलेगा इदर से BH3 बनेगा इदर से भी BH3 बनेगा मतलब दो molecule किसके बन जाएंगे BH3 बन जाएंगे लेकिन अगर unsymmetric bone fusion होगा तो एक के साथ नाइंसाफी होती है अना unsymmetric का मतलब यही होता है यास अरे हना तो बोलो बाई सर इसमें बोंड कुछ इस तरीके से तूटेगा, यहां से तूट जाएगा सर, यह बोरोन के पास आज सिर्फ दो ही हाइड्रोजन है, इसके साथ नाइंसाफी हुई है, उदर बोरोन के पास चार हाइड्रोजन चले गये हैं, बी अच फूर माइनस बन गया है, इसमें आयन्स तो इस पर generally questions आपको देखने को अलग-अलग exams में मिल सकते हैं तो बेटा B2H6 के बाद जो अगला हमें compound बनना है जिसकी preparation हमारे syllabus का part है जी एडवांस के लिए पढ़ रहा है, हम लोग मेंस में यह सारा सब कुछ नहीं पूछा जाता वो है बोरोन के halides कैसे बना सकते हो, chlorine के साथ react कर देते हो तो BCL3 बन जाता है और BF3 बनाने का एक और तरीका आपके सामने लिखा है, बोरोन का oxide होता है उसको अगर आपने react करवाए calcium fluoride के साथ in the presence of H2SO4 तब भी मुझे क्या मिल जाएगा, बोरोन का fluoride मिल जाएगा यस तो इसमें ऐसे प्रिपेशन में कोई बहुत ज़्यादा important चीज़ नहीं है hydrolysis की reaction थोड़ी से important है उसको आप लोग याद रखें ना BF3 के hydrolysis से H3BO3 plus HF plus HBF4 बनता है है ना लेकिन वहीं पर अगर माल लो मैंने फ्लोरीन को छोड़ के कोई दूसरा halogen ले लिया chlorine ले लिया, bromine ले लिया, iodine ले लिया तो sir H3BO3 बनेगा साथ में HCL भी बनेगा HBR भी बनेगा, HI बनेगा लेकिन sir इस case में HBX4 नहीं बनता यास, इस case में HBX4 नहीं बनता इस बात को याद रखें, क्यों नहीं बनता, because यहाँ पर अगर यह बनता, सोचो तो यह कैसे बनता, H++BX4-में, यह जो X इसकी size बड़ी है, यास, बड़ी size होने की वज़े से boron के चारो तरब चार बड़े बड़े X accommodate नहीं हो सकते, because boron बिटदारा चोटा सा है, अपने चारो तरब चार बड़े बड़े X halogen atoms को accommodate नहीं कर सकता, उनके बीच आपस में repulsion होने लगेगा, और repulsion के वज़े से molecule stable नहीं रह पाएगा, यहाँ पर यह form नहीं हो पाता. यहाँ BF4-बड़े आराम से form हो जाता, because यहाँ boron भी छोटा, fluorine भी छोटा, fluorine की size छोटी है, तो इसके चारो तरब छोटे छोटे fluorine के atom बड़े आराम से accommodate हो सकते हैं, ठीक है sir. अगर properties की बात करें, अगली property, Lewis base के साथ इनकी reaction हम लोगों ने बात करी थी, कि sir, जो boron के trihalides होते हैं, they are Lewis acids, क्या है, Lewis acids हैं sir, क्यों, क्योंकि उनका octade complete नहीं होता, यहाँ पर, लूइस बेस नाइट्रोजन के पास एक लोन पेर है, यह अपना लोन पेर इसको डोनेट कर देगा, और दोनों के बीच क्या बन जाता है, कोडिनेट बोंड बन जाता है, मतलब इनकी टेंडेंसी होती है, लूइस बेसेस के साथ रियक्ट करने की, और बहुत फास्ट रियक्� Aluminium Hydroxide का अगर मैंने Calcination करवा दिया उससे Al2O3 बन जाएगा और साथ में अगर मान लो मैंने Alum ले लिया Ammonium Alum है अब यह Alum के बारे में मैं आपको बढ़ाऊंगा Ammonium Alum को आपने Heat कर दिया तब भी आपका क्या बनेगा Al2O3 बन जाएगा साथ में SO3 और Ammonia रिली� अगले compound की बात करूँ, जिसका नाम है aluminium का chloride, AlCl3.6H2O. Preparation कैसे होती है? Aluminium की reaction है HCl के साथ करवा दो. Sir, यह reaction बहुत आसान है. Yes. Al2O3 की reaction है HCl के साथ करवा दो. या फिर aluminium hydroxide की reaction है HCl के साथ करवा दो. सबसे पहले hydrogen gas release होगा. इन दोनों cases में water बनता है AlCl3 के साथ. तो reaction है, बहुत आसान से reaction है. 10th class में हम लोग इन reaction के बारे में पढ़ते हैं. अगर मैं properties की बात करूँ तो यह एक white color का crystalline substance होता है और यह dimer form में exist करता है, gaseous state में. dimer मतलब AL2Cl6. किस form है? AL2Cl6. कौन से स्टेट में? गैश्य स्टेट में और AL2S6 में हम आपको बता चुका हूँ ब्रिज बॉंडिंग प्रेजेंट होती है यह हम लोगों ने केमिकल बॉंडिंग में भी पढ़ा था और इस सेप्टर में भी हम लोग पढ़ चुके इन दो आयंस की फॉर्में प्रेजेंट होता है डाइमर AL2CL6 बनाके प्रेजेंट रहता है AL2O3 बन जाता है वैसे एल-सी-ल-3 आपको बता है, एने-ओ-च-बेस के साथ रियक्ट करेंगे, हेड्रोक्साइड बनाएगा, वो फर्दर रियक्ट करके सोडियम का एलिमिनेट बना देता है, एने-एल-ो-2, यस, एने-एल-ो-2 बन जाता है, तो यह वाली रियक्शन थोड़ी सी इंपोर्ट एलिमिनियम का जो सबसे लास्ट compound है जिसके बारे में हमें पढ़ना होता है वो होता है एलम्स है ना पुटाश एलम्स आप लोगों ने सबसे अच्छा example जो सबसे well known example है वो आप लोगों ने सुना होगा एलम्स पुटाश एलम्स की अगर मैं बात करूँ K2SO4.AL2SO4 whole thrice.24H2O प्राइवेलेंट के टाइन है ना, प्राइवेलेंट के टाइन है, मतलब 3 यूनिट चार्ज पे प्रेजेंट होगा, अगर मैं एलम्स का जनरल फॉर्मुला लिख दूं, तो यहाँ पर फॉर्मुला बन जाता है, M2SO4.M2-H2SO4, All Thrice.20H2O, 24H2O, यह है जनरल फॉर्मुला आ यह जो एलम्स होती हैं बिटा यह एलम्स कलरफुल भी हो सकती है अगर मान लो इसमें से कोई केटाइन कलर केटाइन प्रेजेंट है तो एलम्स का कलर भी हो सकता है साथ साथ एलाई प्लस जो होता है वो एलम्स का फॉरमेशन नहीं करता यह चोटे से इनफॉरमेशन है जो भी अगर मालो मुझे ammonium alum जो भी मैंने थोड़े देर पहले example लिखा था, K plus की जगे पर NH4 plus लिख दू तो वो ammonium alum मन जाएगा, अना chrome alum मनाना हो, तो यहाँ aluminum की जगे मैं chromium लिख दू तो chrome alum मन जाएगा, अना, तो यहाँ monovolent cation जैसे मालो Na plus, K plus, RB plus यह सारे हो सकते हैं, यहाँ trivalent cation Fe3 plus वो सारे हो सकते हैं, AL3 plus, इसे के साथ हमारा जो group 13 elements है, सर वो हो गया है, खतम, पर ग्रूफ 14 में कौन-कौन से elements आते हैं, मैं आपको बता चुका हूँ, carbon, silicon, germanium, tin और lead ये वाले elements आते हैं, अगर इनका general electronic configuration की बात करोगे, तो NS2, NP4 होगा, इनके valence shell में कितने electrons होते हैं, valence electrons होते हैं, sir, 4, अगर आप इनकी oxidation states की बात करोगे, तो sir, ये generally 2 oxidation states ज्यादा show करते प्लस टू ऑक्सिडेशन स्टेट बिकॉज ऑफ इनर्ट पेर होगी, प्लस फोर ऑक्सिडेशन स्टेट विदाउट इनर्ट पेर एफेक्ट होगी, डाउन दा ग्रूब जाने पर प्लस फोर की स्टेबिलिटी कम होगी और प्लस टू स्टेट की स्टेबिलिटी इंक्रीज करत जो एक important compound है, tin, tin का एक important compound है, जिसको SNO2, cassiterite बोला जाता है, इसको थोड़ा सा याद रखे, और lead का होता है, PBS, galena बोलते हैं इसको, ठीक है, बहुत बढ़िया, अगर मैं atomic properties की बात करूँ, तो atomic properties में सबसे पहले आता है, electronic configuration, मैं आपको बता चुका हूँ, इसको, NS2, NP4 होता है, valence shell में 4 electron होते हैं, चार valence electron इसके पास present होते हैं, Covalent radius कोई दिक्कत नहीं होती जब आप down the group जाते हो तो सर radius increase करती है. राइडियस down the group जाने पर increase करती है without any exception. लेकिन इसमें एक चीज है, कारबन से सिलिकन में जाओगे तो radius एकदम से बढ़ेगा, लेकिन फिर उसके बाद जैसे जैसे आगे जाओगे, जो radius में increase है, धीरे धीरे धीरे कम होने लगता है, मतलब आप यह सोच रहे होते हैं कि tin से lead में जाने पर radius बहुत ज़्यादा ब outer electrons पे nucleus का attraction जितना उम्मीद है उससे ज़्यादा होता है, attraction ज़्यादा होता है, तो size बढ़ता है लेकिन जितना आपने expect किया है उतना नहीं बढ़ती, धिरे धिरे बढ़ती है, अगर माल लो इन दोनों की size के बीच difference x है, इन दोनों के बीच y है और यहां z है, तो x अबसे ज� अगर मैं आयनाइशन एनर्जी की बात करूँ तो छोटा सा exception होता है carbon सबसे ज़्यादा, silicon, zirmanium, इसके बाद tin और lead सबसे कम होना चाहिए था लेकिन lead थोड़ा सा ज्यादा हो जाता है और reason अभी मैं आपको बता चुका हूँ, यह छोटा सा exception होता है, यह सारे exceptions मैं आपको बढ़ा चुका हूँ, periodic classification में, इसमें मेरे साफ से कोई दिक्कत नहीं है, आपसे एकर कोई reason पूछे, expected से ज्यादा energy देनी पड़ेगी ionization energy expectation से high हो जाएगी अगर मैं electro negativity की बात करू तो electro negativity में भी exception आता है down the group जाने पर हम लोग ये कहते हैं कि जो ionization energy है सर वो decrease करनी चाहिए लेकिन silicon, germanium और tin की लगबग same होती है और lead की lead आ जाता है फिर उसके बाद silicon और zirmenium और tin की electron negativity लगबग similar होती है, reason वापस वही है, poor shielding of D and F electrons, reason में कोई difference नहीं आया है, बात कर लेते हैं physical properties की, साथ में लिखा है कि सारे के सारे जो group 14 elements होते हैं, यह कैसे होते हैं, solids होते हैं, carbon और silicon non-metals होते हैं, zirmenium metal-oil होता है, tin और lead soft metals होते हैं, जिनका melting point काफी कम होता है, यहाँ पर एक चीज लिखी है कि silicon जो होता है वो non-metal होता है, आप बोलोगे सर silicon का periodic classification में आपने बोला था कि वो metalloid होता है, है ना, बिलकुल सही बात है, NCRT यही कहता है कि silicon एक chapter में कहता है silicon is metalloid, एक chapter में silicon कहता है non-metal, NCRT खुद confused है, silicon को बहुत सारे लोग non-metal मानते हैं, बह� इसी वज़े से इस पे बड़ा तामजाम है बहुत लोग कुछ अलग अलग चीज़ें कहते हैं अलग अलग बुक्स अलग अलग चीज़ कहती है लेकिन अगर मेरी बात मैं अपना सोचू तो मुझे लगता है सिलिकन को एक मेटलोइड की तरह कंसिटर किया जाना चाहिए एक� मेल्टिंग और बोयलिंग पॉइंट के सीक्वेंस लिखे हैं, अज़ अट इस आप सीक्वेंस को याद रखोगे, मतलब जो बोयलिंग पॉइंट है, उसमें तो कोई लपड़ा नहीं है, डाउन दा ग्रूप जाने पर बोयलिंग पॉइंट डिक्रीज कर रहा है, लेकिन जो हमारा मेल्टिंग पॉइंट है, उसका ओर्डर अगर आप लोग चेक करोगे, एक टर्म होती है Allotropy, Allotropy क्या होती है? Different physical forms जिसमें कोई भी element exist कर सकते हैं, आप लोगों ने सबसे famous Allotropes पड़े हैं, carbon के, कि carbon जो होता है, उसके Allotropes, graphite, full ring, और उसे diamond होता है, यह different different forms है carbon की, जिसमें वो exist कर रहा है, तो यहाँ पर भी अगर हम लोग Allotropy की बात करें, तो सारे element, except lead, सारे के सारे element Allotropy शो करते हैं, लेकिन हमारे syllabus में, जई advanced की syllabus में, इसके लावा किसी की भी Allotropes हमारे syllabus का part नहीं है. ठीक है, physical property ये के बाद मैं आपको ले चलूँगा, next है chemical properties, और chemical properties में जो लगभग चीज़े हैं, वो मैं सारी चीज़े group 13 element में discuss कर चुका हूँ, बिल्कुल similar चीज़े group 14 में मिलेगी, सबसे पहला common oxidation state plus 4 plus 2 बता चुका हूँ, चार एलेक्ट्रोन निकालना बहुत मुश्किल होता है और चार एलेक्ट्रोन निकालना मुश्किल है इसी वज़े से ये चार एलेक्ट्रोन लूज नहीं कर पाते और चार एलेक्ट्रोन लूज नहीं कर पाते तो ये आयोनिक बोंड नहीं बनाते ये चार एलेक्ट्रोन शेर यह भी हम लोगों ने बात करी थी कि down the group जाने पर plus 2 oxidation state की stability increase करती है और यहीं पर अगर तुमसे कोई पूछे plus 4 oxidation state की stability down the group जाने पर decrease करेगी मैं आपकी जानकारे के लिए बता दूँ जर्मेनियम की plus 4 is more stable than जर्मेनियम की plus 2 टिन का plus 4 is more stable than टिन का plus 2 लेकिन लेडका plus 4 is less stable than लेडका plus 2 लेडका plus 2 is more stable because of inert pair effect यह सारी चीज़ें हम लोग last class में discuss कर चुए group 13 के लिए as it is group 14, last class बोले तो मतलब group 13 elements में, हम लोगों ने सारी चीज़ें discuss कर ली थे as in जो था plus 4, plus 2 oxidation state में reducing agent है, obvious है plus 2 में, SN2 plus is less stable यह कहाँ जाना चाता है? सर, यह SN2 plus 4 में जाना चाता है, because टिन का plus 4 is more stable यह plus 2 से plus 2, plus 4 में जाएगा, सर, इसका oxidation होगा और जिस substance का oxidation होता है वो खुद क्या होता है? एक reducing agent होता है तो यह लिखा है, SN2 plus is a very good reducing agent वही यह पर अगर lead की बात करें, lead plus 4 में नहीं रहना चाता, सर, because this is less stable in plus 4 because PB plus 2 is more stable, तर ये जादा stable है, और ये जादा stable oxidation state में जाएगा, इसका क्या होगा, reduction होगा, और अगर reduction हो रहा, इसका मतलब, ये एक बहुत ही अच्छा oxidizing agent है, ये दो statement काफी important points हैं, इन पर Jai ने पहले भी questions पूछे गए हैं, बात कर लेते हैं chemical properties में सबसे पहली property और उसका नाम है reactivity towards oxygen अगर मालो कोई भी आपका group 14 के element है उसको मैं E लिख देता हूँ तो वो O2 के साथ react करके दो तरह के oxide बनाता है EO and EO2 EO जो होता है इसको monoxide बोला जाएगा और जो EO2 होता है उसको dioxide बोला जाता है एक point लिखा है कि जो dioxide होते हैं, they are more acidic in nature, है ना, जहां element पे oxidation state ज्यादा हो, यहां E की oxidation state plus 2 है, यहां plus 4 है, तो plus 4 oxidation state वाला ज्यादा acidic होगा, आप example देख सकते हो CO से, सर CO जो होता है वो neutral होता है, लेकिन CO2 जो होता है वो acidic होता है, CO में carbon का oxidation state plus 2, carbon का CO2 में plus 4 है, तो अगर central atom का oxidation state ज्यादा है, इसका मतलब oxide is more acidic in nature, यह वाला point. यहां लिखा गया है अगर आप लोग ओक्साइड की बात करो तो मैंने आप से एक चीज बोली थी कि SNO और PB के जितने भी ओक्साइड्स हैं सारे के सारे ओक्साइड्स कैसे होते हैं M4-1 होते हैं चाहे वो मोनोक्साइड है चाहे वो डायक्साइड है SNO, PBO, yes SNO2 हो गया PBO2 हो गया सर हमने यह भी बात कर ली कि जो सर TIO जो होता है सर वो न्यूटरल होता है सर और SIO जो होता है इसके अलावा बाकी जितने भी ओक्साइट्स बन गए, सारे के सारे ओक्साइट्स आर आसिडिक इन नेचर, जैसे मालो SIO2 बच गया, CO2 बच गया, ZO2 बच गया, इनको छोड़ के सारे ओक्साइट्स आर आसिडिक इन नेचर, ठीक है, इनका जहांद रखना है, M4-3 क और steam के साथ react करके क्या बनाता है ये dioxide बनाता है और साथ में क्या release होती है hydrogen gas release होती है पहले भी हम लोग बात कर चुके हैं कि अगर steam के साथ reaction होगी तो आपका oxide बनेगा और साथ में hydrogen gas release होती है lead पे भी कोई effect नहीं होता because of oxide layer का formation अगर मैं हेलोजन्स की reactivity की बात करूँ हेलोजन्स के साथ, तो अगर मालों group 14 का element है E, अगर वो हेलोजन के साथ react करेगा, तो क्या बनाएगा सर, दो तरह के halide बनाता है, EX2 and EX4, EX2 जो है सर, वो dihalide है, और सर जो EX4 है, उसको आप क्या लिख सकते हो, tetra halide लिख सकते हो, सर यहाँ E का oxidation state plus 2 है, यहाँ plus 4 है, अगर आप से कोई पूछे किस में percentage of covalent character ज्यादा होगा, तो आप भाग के बोलोगे सर, फजान रोलिये कहता है कि जहाँ charge ज्यादा है atom के उपर, वहाँ oxidation state ज्यादा होगी, वहाँ covalent character ज्यादा होगा, तो जो EX4 होते हैं, यह इनमें covalent सब्सक्राइब करें और इनको छोड़कर बाकी जितने भी टेट्रा हिलाइट होते हैं सारे के सारे कैसे होते को लेंट अ यह वाले covalent ना हो कि ionic होते हैं, क्यों? Because यहाँ anion का size छोटा है, और cation का size बड़ा है, small size, cation का size बड़ा है, SN plus 4 बड़ी size वाला है, PB plus 4 बड़ी size वाला है, भजान रूल यह कहता है, cation जितना छोटा हो, anion जितना बड़ा हो, उसमें covalent character जादा होगा, cation बड़ा है, anion छोटा है, इसका मतलब इसमें covalent character कम है, ionic character जादा है, tetra halides are covalent in nature. पी बी आई फोर जो होता है वो एक्सिस्ट नहीं करता, पी बी एफ फोर करता है, सी एल फोर करता है, बी आई फोर करता है, लेकिन पी ब Because PB I4, PB को 4 bond बनाने है, PB 4 bond अपनी excited state में बनाएगा, लेकिन जब PB और Iodine के बीचे एक bond बनेगा, Sir, Iodine की size बड़ी है, बड़ी size होने की वज़े से, यह जो bond है, weak bond है, Sir, यह bond weak होने की वज़े से, जो energy released होगी, Sir, वो बहुत कम होती है, energy released बहुत कम होगी, क्योंकि weak bond बन रहा है, जितना weak bond बनेगा, अपनी कम energy released होगी, तो energy released कम हो रहा है, इसका मतलब, वो energy sufficient नहीं है, electron को excited करके, higher orbital में ले जाने के लिए, और जब electron, एक्साइटेशन नहीं हो सकता, लेड के पास चार ऐसे ओर्बाइटल्स प्रेजेंट ही नहीं है, जिसमें एक एक एक एक्साइटेशन प्रेजेंट हो, और इसी वज़े से लेड चार बॉंड नहीं बना पाता, किसके साथ, आयोडिन के साथ, तो सर फिर फ्लूरिन के साथ कैस और excited हो गया, इसका मतलब, चार बोर्ण lead बना लेगा, lead चार बोर्ण ground state में नहीं बना पाता, ground state में सिर्फ दो बोर्ण बनते हैं, excited state में चार बोर्ण बनते हैं, तो i के case में, excited state में एलेक्ट्रोन को ले जाने के लिए energy sufficient नहीं है, fluid के case में sufficient है, because of strong bond formation, ना ने, अगर मैं, कहता है कि जो halides की stability of dihalide है, increases down the group, obvious ही बात है, dihalides, मैंने बोला था plus 2 oxidation state की stability down the group जाने पर increase करती है, ना dihalide का मतलब यही तो हो गया, plus 2, और plus 2 oxidation state की stability down the group जाने पर increase करती है, अगर आप tetra halides की बात करोगे, तो उनकी stability down the group decrease करती है, because tetra halides में जो E है, जो E है सर उसके charge कैसा है, plus 4, समझ गए आप शायद मेरी बात, yes, बहुत बढ़िया सा, यहां लिखा है कि जो SNCl2 होता है सर वो एक reducing agent की तरह behave करता है, obvious है करेगा, अना, SN की oxidation state प्लस 2 है, और इसकी ज़्यादा stable state कौन सी है, प्लस 4, this is more stable, यह मैं आपको पहले बता चुका हूँ, more stable है इसका मतलब, यह प्लस 2 से प्लस 4 में जाएगा, oxidation होगा, और इसका oxidation होगा, तो एक बहुत बढ़िया चीज लिखी है कि CCL4 को अगर मैं छोड़ दूँ तो सारे tetra-halides हो ना, सारे जो tetra-halides हैं, halides हैं, are easily hydrolyzed by water, क्योंकि central atom जो होता है उसके पास vacant orbitals present होते हैं, except CCL4, carbon के जो tetra-halides होते हैं, आप उनको hydrolyze नहीं कर सकते हैं, silicon वाले बड़े आराम से हो जाए और उसके पास vacant D orbital present होते हैं water जो है वो क्या करेगा water आएगा अपना loan pair इसके vacant orbital में दे देगा एक नया bond silicon और oxygen के बीच बनेगा तो पुराना bond तूट जाएगा silicon और chlorine के बीच और यह जो एक chlorine है उसकी जगह क्या लग जाएगा एक chlorine के जगह एक OH लग जाएगा ये लो सर लेकिन यही चीज तीन बार और होगी और ऐसा होते होते सारे के सारे chlorine हटके OH group लग जाएगे और hydrolysis हो जाएगा carbon के case में carbon के पास कोई vacant orbital present नहीं होता, तो जो voter का loan pair है, वो ये accept ही नहीं करता और accept नहीं करेगा, इसका मतलब उसका hydrolysis नहीं होगा, ठीक है ना, तो ये चीज़ है, important है, इसको आप लोग ध्यान में रखें, hydrolysis की reaction भी लिखी है, कि silicon का जो tetra fluoride है, अगर आपने उसका hydrolysis करवाया, तो बनता है H2SiF6, और साथ में SiOH4 तो बनता है, इसको बोला था fluorosilic acid, लेकिन अगर माल लो आपने यहाँ, fluorine की जगह chlorine ले लिया, bromine ले लिया, iodine ले लिया, तो यह तो बनेगा, लेकिन यह यहाँ नहीं बनता, because वापस से same वही reason, X का size बड़ा हो जाता है, large size, large size होने की वज़े से, silicon के चारो तरब, 6 बड़े बड़े size के, होते हैं, वो exist नहीं कर पाते, size बड़ी है, steric repulsion ज्यादा है, steric hindrance ज्यादा है, वो molecule stable नहीं हो पता, तो ये molecule नहीं बनेगा, यहां बन जाएगा, SI F6-2, सर ये बड़े आराम से बन गया, क्यों? Because, fluorine के size छोटी है, छोटी size है, तो silicon के चारो तरब, चे छोटे छोटे fluorine के atoms बड़े आराम से accommodate कर सकते हैं, chlorine, bromine, iodine के नहीं कर सकते, because of their large size. कारबन की बात करें, तो सर जो कारबन होता है, उसकी कुछ properties अपने group के बाकी elements से match नहीं करती, सर उसकी कुछ properties different होती है, different होने का reason मैं आपको बता चुका हूँ, उसकी size extremely small है, electro negativity ज्यादा, उसके पास vacant d orbital present नहीं है, इसी वज़े से वो अपनी valency को 4 से ज़्यादा extend नहीं कर सक अगर बड़े अलम्स की बात करें तो वो D-Pi-Pi बोंड बनाते हैं यस, कारबन, कारबन बोंड एक बहुत strong बोंड होता है इसी वज़े से कारबन अपने जैसे दूसरे आटम के साथ मिलके एक बहुत बड़ी structure बनाने की tendency रखता है इस property को बोला जाता है catenation catenation tendency जैसे जैसे down the group जाते हो decrease करने लगती है और जो lead होता है सर वो catenation tendency शो नहीं करता because वहाँ पर lead की size बहुत बड़ी है lead, lead, PB, PB जो बोंड है बहुत weak बोंड होता है इस वज़े से lead कभी भी catenation शो नहीं करता यस सिर्फ कौन करेगा, हमें generally हम लोग carbon की catenation पढ़ते हैं, बाकी catenation से हमें कोई बहुत ज़ादा मतलब नहीं होता, but still हमें यह पता होना ज़रूरी है. अगर हम लोग बात करते हैं, next topic allotropes of carbon, मैं आपको बता दू, J mains के syllabus में group of 14 elements सिर्फ और सिर्फ इतना ही है, इसके आगे group of 14 elements J mains के syllabus का part नहीं है, yes, इसके बाद syllabus में mention है, this is the part of J advanced, तो अगर आप लोग advanced के लिए prepare कर रहे हैं, तो आप लोग यह देख सकते हैं. अगर Allotropes की बात की जाए Carbon के तो क्मेटा Carbon के दो तरह के Allotropes होते हैं एक हम लोग लिखते हैं Crystalline Allotropes और दूसरा होता है Amorphous हमारे लिए syllabus में ज़्यादा important जो चीज़ है वो है crystalline amorphous जिसमें आता है अब अरा diamond जिसमें आता है graphite, fulrin और amorphous वाले में coke, charcoal, coke ये सारा सबकुछ इसका part होता है ये हमारे लिए बहुत साथ important नहीं होता हमारे लिए ज्यादा important है कौन सा crystalline और crystalline में सबसे पहले हम लोग बात कर लेते हैं diamond की, बिटा diamond की structure कैसी होती है सर diamond में जो हर एक carbon होता है वो 4 carbon से जुड़ा होता है सर और हर एक carbon 4 carbon से जुड़ेगा दूसरा carbon फिर 4 से जुड़ेगा ऐसे करते करते एक बहुत बड़ा network बन जाता है covalent bonds का यह एक तरह का network solid होता है और यह bond इतना जवरबस्त मजबूत होता है यह covalent bond का जाल इतना खतरनाक होता है कि जो आपका diamond है वो hardest natural occurring substance की category में रखा जाता है यस लिखा है कि यह crystalline lattice होता है carbon carbon bond length पे एक बार J main में question पुछा गया है 154 picometer होती है और यह कहां use होता है जो sharpening tools होते हैं वहाँ यह ज़्यादा बनाने में use होता है filament for electric bulbs use हो सकता है मेरा question आपसे एक और है, यहाँ जो carbon है बिटा, उसका hybridization क्या है? आप बोलोगे सर, हर carbon, चार दूसरे carbon से जुड़ा, इसका मतलब hybridization sp3 होगा. सर, carbon के पास कोई free electron present नहीं है सर, हरा, कोई free electron present नहीं है, इसी वज़े से ये extremely unreactive होता है, और ये non-conductor होता है. एकदम चमक होती है, इसके अंदर brilliance होती है, क्यों? Because of total internal reflection, जिसको आप लोग कहां पढ़ते हो, सर हम physics में पढ़ते हैं. Yes? बात कर लेते हैं किसकी ग्रेफाइट की बिल्कुल ग्रेफाइट जो तो उसकी स्ट्रक्चर में स्ट्रक्चर होती है या से एक ग्रेफाइट की लेयर दूसरी ग्रेफाइट के लिए तीसरी ग्रेफाइट के लिए सर ग्रेफाइट लेयर जो होती है उसमें होता है क्या है उसमें होता है हर एक कार्बन तीन कार्बन एटम के साथ जुड़ेगा हर कार्बन एटम तीन कार्बन एटम के साथ समझना अच्छे से ऐसे करते-करते एक कार्बन एटम की लेयर बन जाती है एक लेयर बन गई दूसरी लेयर तीसरी लेयर कार्बन एटम की जो लेयर सुति प्लेनर होती है बिकोस कार्बन का हिब्राइशन सब्सक्राइब जो दो ने इनके बीच इस वजह से यह जो ग्रेफाइट की दो लेयर्स हैं एक दूसरे के ऊपर स्लिप कर सकते हैं स्लाइड कर सकते हैं इसी वजह से ग्रेफाइट को यूज किया जाता है आज लुब्रिकेंट जहां और जो तैना वह यूज नहीं किया जा सकता है लुब्रिकेंट हाई टेंप्रेचर पर क्योंकि वह जल जाता है वह यूज करते हैं ग्रेफाइट को ग्रेफाइट हाई टेंप्रेचर पर अपने लुब्रिकेशन प्रॉबर्टीज शो करता है ग्रेफाइट की जो एक लेयर होती है उसमें कार्बन एटम्स इस तरह से अरेंज होते हैं कि एक हेक्जागनल रिंग्स बन जाती बहुत शुभक होता है क्योंकि इस लेयर स्ट्रक्च वेंडरोल फोर्सिस होंगे, डिस्टेंस इतना होगा, और प्लेनर हेक्जागनल रिंग्स होती है, यहां देखो कारबन कारबन बोंड लेंथ कितनी होती है, वो आपको बता होना चाहिए, एक बार कंपरिजन करवा लिया था, ग्रिफाइट और डाइमंड में, यहां कारबन क इसको थर्मोडाइनेमिकली जो लोग पर जोड़ते हैं, तो जो और जो entropy होती है वो भी diamond के comparison में ज़्यादा होती है, entropy का मतलब होता है randomness है न, यह randomness अभी आपको नहीं समझ में आएगा, जब आप लोग thermodynamics पढ़ लोगे तब आपको इस चीज समझ में आईए. अलोट्रोफ्स अफ कार्बन में अगला अलोट्रोफ्स आता है जिसका नाम है fullrin, fullrin को कैसे बनाया जा सकता है, ग्रेफाइट को अगर आपने heat किया in the electric arc, in the presence of inert gases, तो आपको क्या बन जाएगा, क्या सूटी flame बनेगा, उसकी condensation से में क्या मिल सकता है, फुल्ड्रिन मिल सकता है फुल्ड्रिन जो होता है उसमें इसकी स्ट्रक्चर केज लाइक स्ट्रक्चर होते हैं केज जैसा होता है और एक मॉलिक्यूल में बहुत सारे कार्बन एटम्स हो सकते हैं जिस मॉलिक्यूल में साथ कार्बन एटम्स होते हैं उसको बुला जाता है ब है ना लेकिन हमारे श्लेबस में जो जनरली हम लोग पढ़ते हैं वह सिस्टी जिसको बट मिस्टर फुल्डरिन बोला जाता है शॉकर बोल जैसे स्ट्रक्चर होती है इंपोर्टेंट चीज यह है कि यह जो बट मिस्टर फुल्डरिन होता है इसमें सिक्स यहाँ पर भी कार्बन का हैबिडाइशन SP2 है, एक एलेक्ट्रोन फ्री है, जो उसको अरोमेटिक करेक्टर देता है, कि अगर मैं बात करूँ एलोट्रोप्स ओफ कारबन में अमोरफस एलोट्रोप्स की तो वो आपके सामने लिखे हैं कारबन ब्लैक, कोक, चारकोल और ये कैसे बनते हैं कि साब कारबन ब्लैक बनता है और चारकोल और कोक कैसे बनेंगे तो ये थे हमारे डाइमंड ग्रेफाइट और फुल्ड्रिन यस दीज आर दिया लोटर फॉर्म आफ कार्बन चलेजी तो आगे हम लोग बात करते हैं कुछ कंपाउंट जिनकी प्रेपरेशन हमें पढ़नी है कार्बन के कार्बन मोनोक्साइड कार्बन डायोक्साइड और कार्बाइड आप सबसे पहली चीज कार्बन मोनोक्साइड कैसे बनती है अगर आपने लिमिटेड सप्लाई में ऑक्सिजन पास किया ना कार्बन को हीट किया है ऑक्सिजन लेकिन यह ऑक्सिजन की सप्लाई होनी चाहिए कैसे होनी चाहिए लिमिटेड सप्लाई है अगर आपने 373 पर यहाँ जो H2SO4 है वो एक dehydrating agent की तरह behave करता है अगर माललो commercial scale पे आपको बनाना होता है यह दो reaction आपके सामने लिखी है बहुत important है coke आपने लिया और उसके उपर से steam pass करी इतने height temperature पे तो CO plus H2 बनता है दुनिया इसको water gas के नाम से जानती है लेकिन अगर माललो आपने यहाँ water steam ना लेके air ले लिया air में oxygen और nitrogen gas present होगा 1273 Kelvin पे अगर आपने इसको heat किया है, तो आपका CO plus N2 बनता है, and this combination is known as producer gas. तो कई बार आपसे question ये पूछा जा सकता है, what is the composition of water gas, what is the composition of producer gas है ना, तो ये चीज़ आपको यहां से पता होनी ज़रूरी है. carbon monoxide की preparation की कुछ और methods भी हैं, आपके सामने मैंने एक oxalic acid लिखा है, yes, oxalic acid को आपने heat कर दिया किसके साथ, concentrated H2O4 के साथ, तो H2O बनेगा, देखो H2O आपने यहां से बाहर निकाल दिया, CO2 यहां से बाहर निकाल दिया, और एक CO पिछे बस गया. K4-Efficience 6 Concentrated H2SO4 के साथ React करके भी CO बना सकता है, लेकिन यहाँ H2SO4 कैसा होना चाहिए, Concentrated होना चाहिए, Dilute नहीं होना चाहिए, नहीं तो Product कुछ और बन जाएगा. अगर हम लोग इसकी Properties की बात करें, तो यह Colorless होता है, Orderless होता है, Almost Water में Insoluble Gas होता है, यह Powerful Reducing Agent होता है, Zinc Oxide आपने लिया, CO के साथ Reaction करवाया, तो CO क्या करेगा, यहाँ से Oxygen Remove कर देगा, Zinc Plus CO2 बनाता है. इस reaction से मुझे पता लगता है कि CO is a very powerful oxidizing agent एक बहुत ही एक चीज लिखी कि greenhouse gas ने इसके वज़े से temperature वगरा पे कोई फरक नहीं बढ़ता atmosphere के यह वाली चीज आप लोगों को लिए बायो में बहुत पड़ी होगी इसकी ऑक्सिजन के साथ मिलकर ऑक्सिजन में हिमोग्लूबिन present होता है उसके साथ मिलकर एक बहुत ही स्टेबल कंप्लेक्स बनाने की डेंडेंसी होती है इसको कर्बोक्सी हिमोग्लूबिन बोला जाता है और अगर मालो आपने सीओ को इंटेक्ट किया तो आपका जो मोग्लूबिन होगा वह टू oxygen उसमें dissolve बने की वज़ाई CO के साथ वो react कर लेगा और आपके जो blood है उसमें oxygen की supply कम हो जाएगी कम oxygen की presence होगी इनसान की उसमें death भी हो सकती है इसी विज़े से ऐसा बोला जाता है कि जब आप रात को सोते हो सर्दियों में because अंगिठी में जो आपने cola यूज़ किया है उसका जब combustion होगा limited supply पो वेर में तो carbon monoxide बनेगा और वही carbon monoxide आप inhale करोगे जो की बहुत ही ख़दरनाक हो सकता है कुछ और properties भी है आपके सामने लिखा है कि natural होता है, इसके वज़े से इसका litmus पे कोई effect नहीं होता, burns with blue flame है ना, यह चीज़ बहुत important, आप लोग इसको ध्यान रखें, और यह PDCL2 का जो solution होता है, उसको black, grey color का PPT में convert कर देता है, platinum बन जाता है, और साथ में यह absorb की जा सकती है important चीज़ है यह वाली है न, यह जब आप अगले साल पढ़ोगे, जब आप class 12 में जाओगे, जहाँ पर आपको chapter पढ़ाया जाएगा, कौन सा metallurgy, या फिर उसमें भी metallurgy में भी, बहुत ज़ादा CO का use है, reducing agent CO का use है, साथ साथ आप एक chapter पढ़ोगे, फोल्ड अनालिसिस उसमें हम पहचान करेंगे कि जो गैस रिलीज हुई है वो कार्बन मोनोक्साइड है कैसे पहचान करोगे बन्ड्स विद ब्लू फ्लेम तो ऐसे पहचान की जा सकते है कार्बन मोनोक्साइड है ठीक है सर मोनोक्साइड तो आसान है सर आप एक बात बताओ क carbon dioxide बन जाएगा, hydrocarbons के combustion से भी आप लोगों ने सुना, carbon dioxide बनता है, calcium carbonate को अगर मैं heat कर दू, तब भी CO2 बन सकता है, and this is the commercial method of preparation of CO2. साथ साथ calcium carbonate की HCl के साथ reaction करने से भी CO2 बन जाता है, and this is the laboratory method of formation of CO2 है ना, तो बहुत आसान सी reactions है, कुछ reactions, maximum reaction कहीं ना कहीं हमारी दिखी होती है. इस गैस के विवर हम लोग बात करें तो यह भी colorless होती, odorless होती, इसकी भी water में solubility बहुत ज़्यादा नहीं होती है, यह acidic in nature होती है, CO2 हम लोग सारे लोग जानते हैं, जैसे CO2 पाने में dissolve होगा, थोड़ा बहुत, क्या बनेगा, H2CO3 बनेगा, है न, क्या बनता है, H2CO3 carbonic acid ह plus CO3 2-में convert होगा H2CO3 की weak acid होता है और weak acid का salt HCO3-यह एक buffer system बन जाता है जो की हमारे solution हमारे जो blood होता है उसकी pH को maintain रखने में काम में आता है yes अगर आप लोगों ने buffer solution पढ़ा है तो आपको यह point समझ में आएगा नहीं पढ़ा तो जब आप equilibrium chapter पढ़ोगे उसमें buffer solutions पढ़ोगे कार्मन ने ओक्साइड की कुछ और प्रापर्टीज भी है कि ये ग्रीनाउस गैस होती है, इसकी वज़े से टेंपरेचर बढ़ता है एट्मोस्फियर में और ये पॉइजनस नहीं होती है, CO2 इंटेक करते हैं, प्लांट्स किसके लिए, खाना बनाने के लिए, ग्लूकोस फ� यह वाला जो पॉइंट है मेरे साथ से, यह मेरे साथ से बताने की ज़रूरत नहीं होनी चाहिए, कि जब मैं कार्बन डायोक्साइड को लाइम वाटर से मैं से पास करता हूँ, तो जो लाइम वाटर हों, मिलकी बन जाता है because of the formation of calcium carbonate, और अगर आपने access of CO2 पास करा, तो जो म solid co2 जो होता है उसका use किया जाता है इसको आप लोग dry ice भी बोलते हो बहुत low temperature अगर आपको maintain रखना है वहाँ पर आप लोग use कर सकते हो जैसे आप लोगों देखा होगा ice cream वाला जो होता है ice cream रखने के लिए solid co2 या use करता है अना क्योंकि वहाँ पर बहुत ठंडा temperature produce इसकी help स अमोनिया की, यूरिया की manufacturing में को इसका use किया जा सकता है, CO2 plus NS3, अमोनिया लो, और उसको high temperature और high pressure पे heat करो, तो ammonium carbamate बनता है, जो further decompose होके, क्या बना लेता है, यूरिया बना लेता है, तो ये reactions हैं, कुछ reactions, जो important reaction है, आप लोग इनको बार-बार अगर अपने आखों के सामन आगे हम लोग बात करेंगे और कारबाइट्स की बात होगी, कारबाइट्स जो है वो क्या होते हैं, कारबन के साथ अगर कोई भी element compounds बनाता है तो उसको हम लोग कारबाइट्स कहते हैं, जैसे nitrogen के साथ react करके nitride बनते हैं, oxygen के साथ oxide बनते हैं, वैसे carbon के साथ carbide बनते हैं, जैस सर यह जो कारबाइट्स होते हैं कितनी तरह के होते हैं तीन तरह के होते हैं सबसे पहला है आयोनिक कारबाइट्स दूसरा है कोवलेंट कारबाइट्स और तीसरा होगा इंटरस्टीशल कारबाइट्स एलमिनियम हो गया, बरिलियम हो गया और मैगनीशम हो गया generally हमारे जो P block elements होते हैं generally इन compounds का formation करते हैं as such कोई 100% जरूर नहीं है कि P block वाली लेकिन generally मैंने मुला है क्योंकि वहाँ पर covalent होता covalent character वो compounds में ज़्यादा होता है और जो S block के compounds होते हैं generally वो ionic character ज़्यादा शो करते हैं interstitial carbides भी होते हैं यह क्या होते है जैसे अगर मालों कोई एक lattice बना है किसी एक metal का, किसी एक element का और उस lattice में जो छोटी छोटी खाली जगह present होती है जिसको आप लोग weights कहते हो, जिसको आप लोग interstitial sites कहते हो, solid state chapter आपका उन interstitial sites में अगर आपका carbon atom present है तो इस तरह से जो carbide बनता है that is known as interstitial carbides और उनके formula भी आपकी screen पर लिखे हुए इंटरस्टीशल कार्बाइट्स जनरली जो डीब्लोक के मेटल्स होते हैं वो फॉर्म करते हैं तो यह टूटा प्लस प्लस टू माइनस में और तो सीटू माइनस है सर्विक्ष ट्रैक्शन कुछ ऐसी होती है अ यहाँ जब इसका hydrolysis करवाओगे तो 1H+, यहाँ लग जाएगा, H+, H+, यहाँ लग गया, C2H2 बन गया. मेरी बात सहद आ� सर, Aluminium Carbide जो कैसे तूटता है? Al 3+, Carbon पे सर 4-आता है, और 4-के साथ 4H+, मिलके क्या बना देता है? CH4 बना देता है. सर, यह भी कैसे तूटता है? यह Be2+, Carbon पे 4-4 जाएगा, यहाँ पर भी क्या बनता है? CH4 बन जाता है. तो यह जो Carbides का Hydrolysis की Reaction है, तो यह जो Carbides का Reaction है, यहाँ कोई डिटेल्ड डिस्केशन नहीं हो रहा, कैसे बना, क्या बना, इसके बारे में कोई चीज नहीं हो रही, इसकी बात नहीं हो रही यहाँ सेशन में, ठीक है, इसके बाद हम लोग बात करेंगे, बिटा, सिलिकेट्स है न, सिलिकेट्स क्या होते हैं, एक यूनिट होत इस 3D geometry को अगर मैं two dimensional geometry में convert कर पाऊं, तो इसको ऐसे बना सकता हूँ मैं. This is, यह सारे के सारे क्या है? Oxygen, और यहाँ पर एक dot बना रखा है, यह है Silicon. तो यह SiO4 4-जो unit है, उसको मैंने 2D में represent कर दिया. This is the 2D representation of 3D SiO4 4-unit. सिलिकेट्स ऐसे कॉमपाउंड्स होते हैं जिन कॉमपाउंड्स में या तो यह वाली यूनिट प्रेजेंट होती है या फिर इसमें दो यूनिट, तीन यूनिट, चार यूनिट आपस में एक दूसरे के स���थ जुड़ी होती है थ्रू दी कॉर्नर्स, कॉर्नर्स मतलब यहां क इतनी oxygen दूसरे oxygen के साथ जुड़ा है, इसके basis पे मैं silicates को classify कर सकता हूँ, different different silicates में. सबसे पहले इसमें आता है orthosilicate, orthosilicate का मतलब यही है कि यहाँ कोई भी oxygen atom, कोई भी corner atom किसी दूसरी SiO4-4 units के साथ share नहीं होता. इसका मतलब इसमें जो anionic unit present होती हो, कौन सी होती है? SiO4-4 units. और अगर आप यह पूछा जाता है कि बताइए और थोड़ी लिखेट में एनिनिक यूनिट कौन सी होगी और आप पाइरो सिलिकेट में एनिनिक यूनिट कौन सी होगी पाइरो सिलिकेट का मतलब हो गया है कि जो एक यूनिट थी उसका एक ओक्सिजन दूसरी यूनिट के ओ तो अभी देखिए कितने silicon है, 2 है सर, और oxygen कितने है सर, 1, 2, 3, 4, 5, 6, 7 हो गए है सर, बिटाजी charge कितना है, negative charge, देखो, 1, 2, 3, 4, 5, 6, यह oxygen share हो चुका है, charge खतम हो गया, इसमें जो anionic unit होती है, वो कौन सी होती है, SI2O76-, यहाँ पर एक oxygen का item दूसरी unit के साथ share होता है, यह important च अगला आता है, cyclic silicate या फिर ring silicate, यह जो unit से आपस में एक दूसरे के साथ इस तरह से जुड़ी, दो oxygen atom शेयर कियें एक दूसरे के साथ, इस तरह से शेयर कियें हैं, कि एक ring बन गया है, एक cyclic compound बन गया है, इसमें भी जो anionic unit है, उसका formula आपकी screen पर लिखा है, है ना, और कैस Sir, 6 unit of negative charge है, 9 oxygen है, SI3O96 minus इसका unit है, अगर मैं n की जगह 3 लिख दू, तो यह क्या बन जाएगा, SI3O3 2 minus, 2n minus, है न, यहाँ क्या लिख दोगे, आप n लिख दो, yes, SI, 3 नहीं, SI, only SI. only SI, SI 03, N 2N-है ना, N की जग़े 3 होगा, तो SI 03, 09, और यह हो जाएगा, 2N-पुलितो, 6-तो यह जो anionic unit कौन सी होती है, यह पता होनी ज़रूरी है, yes, यह anionic unit पता होनी ज़रूरी है, क्योंकि यहां पर भी सर दो ही ऑक्सिजन शेयर हो रहे हैं चेंज लिखेट के केस में भी और उसके बाद आगे आता है 2D Silicate, 2D Silicate में कितने Oxygen Atom Share होंगे, सर 3 Oxygen Atom Share होते हैं, और आपके सामने Structure बना रखा है, 3 Oxygen Atom Share होंगे कि 2 Dimensional Silicate बन जाएगा, और इसमें जो Anionic Unit होती है, उसका Formula भी आपकी Screen पर लिखा हुआ है, इसको भी आप लोग as it is याद रखेंगे, सबसे लास्ट में आता है तुम्हारा 3D Silicate, चारों के चारों Oxygen के जो Atoms हैं, वो एक दूसरे के साथ Share होगे, चारों के चारों Oxygen के Atoms Share होगे, बहुत बड़ा 3D Structure बन गया, Anionic इनका जो formula होता है SIO2N होता है अगर चारों के चारों oxygen के atom share हो जाएंगे तो यही बनेगा है ना, देखो SI, O, SI, O, SI, इस तरह से चलता रहेगा, O, SI, O, SI, मतलब इस तरह से चलता रहेगा, yes, हर oxygen के जो चारों, हर unit के जो चारों oxygen है वो share हो रहे हैं, इस तरह से, यह सारा सब कुछ चलता रहेगा, मतलब, तो देखो repetition किसका हो रहा है ये देखो दो ये भी इसके साथ ऐसे इस तरह से share होंगे repetition किसका हो रहा है देख रहे हो आप लोग SIO2 SIO2 SIO2 SIO2 SIO2 बार बार repeat हो रहा है बार बार repeat हो रहा है कितने times? end times तो इसका formula क्या बन जाएगा? SIO2 end times बन जाएगा कौन सा 3D silicate है? और चारो oxygen के atoms share हुए तो 3D structure बन जाएगा मेरी बात चाहिए आपको समझ में आ चुकी है, यस, बहुत बढ़िया सा, आगे चलते हैं और बात कर लेते हैं, सिलिकोन्स की, सर सिलिकोन्स क्या होते हैं, जैसे हमने अभी बात करें, सिलिकेट्स क्या होते हैं, सर सिलिकेट्स ऐसे कॉमबाउंट्स होते हैं, जिसमें, या unit अकेली present हो, या फिर ऐसे units किसी दूसरे के साथ जुड़ी हुई हो, एक oxygen atom के थ्रू तो सर, silicones क्या होते हैं? silicones ऐसे organosilicon compounds होते हैं, जिसमें कौन सा linkage present होता है? silicon oxygen silicon linkage present होता है, organosilicon compound का मतलब होता है, ऐसे compounds जिसमें at least one silicon carbon bond present हो, उसको हम लोग organosilicon compounds बोलते हैं सर ये सिलिकोन्स बनते कैसे हैं? मैंने कहा सिलिकोन्स बनाने के लिए सबसे पहले ओरगेनो सिलिकोन कॉमपाउंड बनाने पड़ते हैं बोले सर बनाईए आपके पास SICL4 था आपने उसकी रियक्शन RMGCL के साथ करवा दी यहाँ पर सर जो R है क्या वो गैस कॉंस्टेंट है नहीं मिथाइल हो सकता है, प्रोपाइल हो सकता है, इथाइल हो सकता है तो एक chlorine हटेगा उसकी जगह एक alkyl group लग जाएगा this is organosilicon compound having three chlorine atom इसको chlorosilins भी बोला जाता है एक बार फिर से वापस ये reaction करवाई एक और chlorine हटा एक और R group लग गया फिर करवाई एक और chlorine हटा एक और alkyl group लग गया और alkyl group में carbon present होगा तो carbon silicon carbon silicon carbon silicon bond present है इसी वज़े से मैं इनको organosilicon compound कह रहा हूँ यही ओर्गेनो सिलिकन कॉमबाउंड होते हैं जो यूज़ होते हैं सिलिकोन्स बनाने में, सर कैसे यूज़ होते हैं आप फोड़ा से इसके बारे में एक्स्प्लेन कीजिए, मैंने सबसे पहला ओर्गेनो सिलिकन कॉमबाउंड लिया है यह वाला, यस यह वाला लेंगा, नह CL-हटा और water का OH लग गया सर लेकिन इसके दो molecule ले लीजी आप मैंने कहा अगर इसके दो molecule लेंगे तो मैं यहाँ water के दो molecule चाहिए और इसके कितने molecule बनेंगे दो molecule बनेंगे एक molecule यह रहा एक मैं ऐसे लिख देता हूँ साइए आर आर आर तो यह जो दो मॉलिक्यूल है यह आपस में दूसरे के साथ मिलेंगे और वोटर का मॉलिक्यूल बाहर निकाल देंगे सर यहां से पानी निकल जाएगा और जैसे पानी निकलेगा आपके सामने सिलिकोन बनकर तैयार है दिस तरीके और डाइमर सिलिकोन देखिए यह क्या बन गया डाइमर सिलिकोन बन गया दो यूनिट आपस में जुड़ी है वह कि ऐसे और ग्रोसिलिकन कंपोंड उत्ते इसमें ऐसा ही वह इसलिए इस present होता है, दिख रहा आपको है, ठीक है सर, यह तो dimer silicate था, silicone था, sorry, अगर माल लो आपको बनाना है कौन सा silicone, आपको linear silicone बनाना है, तो सर आप यहाँ पर, आप यहाँ पर लीजिए R2SICL2, है ना, R2SICL2 लीजिए सर, और इसका hydrolysis करवाई है, दो molecule लेने पड़ेंगे, दो CL ह अब आप समझ चुके होगा क्या, ऐसा ही एक और molecule यहाँ पर भी present है, उसके उधर भी एक और molecule ऐसा ही present है, यहाँ से एक water का molecule माल लो बाहर निकला, ऐसे करते करते करते करते बहुत बड़ी structure बन जाएगी, जिसको मैं क्या बुलूंगा, this will be known as chain silicate. चेन सिलिकॉन है ना, देखो ये कुछ ऐसा बनेगा, S-I-R-R-O, S-I-R-R-O, S-I-R-R, मतलब ये चलता जाएगा, S-I-O-S-I, S-I-O-S-I, ये link is present है, इसमें R2SIO, R2SIO, R2SIO भी present है यस, तो question सर exam में किस तरह से पूछा जाता है? question पूछा जाता है, अगर आपको dimer silicon चाहिए, तो बताओ, कौन सा chlorosilin आप यूज़ करोगे? अगर आपको linear चाहिए, तो कौन सा यूज़ करोगे? अगर माललो आपको network silicon चाहिए, तब क्या करोगे? बोले सर समझ में आगे आब, आज हम लोग यूज़ करेंगे RSICL3. क्यों ऐसा? क्योंकि जब आप इसका... है ना, जब आप इसका hydrolysis करवाओगे ना ददा इसका जब आप लोग hydrolysis करवाओगे ना सर तो देखिए, और ऐसा ही ओच, ओच, ओच सर आज देखो चारों तरफ chain चल रही है सर है ना, इदर भी water का molecule निकलेगा इदर से भी पानी बाहर निकलेगा और एक बहुत बड़ा 3D एक network silicon का formation हो जाएगा है ना, तो ये इसका जो structure होगा यह ऐसा मतलब जूड़ता जाएगा इस तरह से हर तरफ से पानी पानी निगलता जाएगा हर तरफ से इस नेटवर्क सिलिकोन या फिर आप इसको थ्री डाइमेशनल सिलिकोन भी कह सकते हो तो इस तरह से क्वेश्चन से पूछे जाते हैं कि यह वाला सिलिकोन बनाना है तो आप तो आप इस केस में यहां आ रहा है कि बटना आ रहा है अगर आपको network silicon बनाना है तब आप कौन सा chlorosilane यूज़ करोगे अगर आपको two dimensional मतलब linear silicon बनाना है तब आप कौन सा chlorosilane यूज़ करोगे इस तरह के questions होते हैं जो आपको यहां से पूछता है मेरे इसाब से किसी को कोई दिक्कत नहीं होनी चाहिए तो ठीक है सर नेटवर्क बोल दो या फिर कुछ जगह पर इसको क्रॉस लिंक लिखा होता है एक ही बात है क्रॉस लिंग ना सर यह प्रोचलिंग क्यों बोला है ना क्रॉस लिंग क्यों बोला है देखो ना अरे भाइया क्रॉस लिंग जो बोला देखो जैसे मालो एक यह वाला लिंक जाना एक दो इनके बीच में देखो क्रॉस लिंक हो रखे ना दो यूनिट कि अनुक्त लिंक इसको बोला था क्रॉसलिंग सिलिकेट्स पॉलिमर आप लोगों ने पड़ा गटन ग्लास में क्लॉस लिंग क्रॉसलिंग पॉलिमर होते हैं यह एक तरह का क्रॉसलिंग पॉलिमर है यह यस और सर यह जो फिलिकों सोते हैं इसी वजह से आजकल जो सिलिकोन होता है उसका यूज बहुत ज्यादा बढ़ गया है बहुत सारी जगह पर आप लोग इसके यूज देखते हो ठीक है, तो बस इसी के साथ हमारा जो summary portion है, P-Block elements का, वो खतम हुआ, Inorganic Chemistry का, ये third chapter था, अगर आप लोग class 11 की बात करें, जो हम लोगों ने खतम कर दिया है, पहले में बोल चुका हूँ कि ये वाला session किन बच्चों के लिए है, ये sessions, summary lectures उन बच्चों के लिए होता है, और सिर्फ वो एक चेप्टर को फटा फटा फटा फ तो गंटे के सेशन पहले से पड़ें तब तस गंटे के सेशन पहले से पड़ें तो वह मोटिव नहीं था हमारा सेशन को लंबा करना मारा मोटिव नहीं था छोटा कंसाइज फास्ट वे में रिवीजन बेट वर मोटिव उम्मीद करता हूं मैं उसमें