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PT 365 Polity Lecture Notes

हेलो एवरीवन तो पीटी 365 पॉलिटी का आउट हो चुका है आई एम गोइंग टू एनालाइज दिस पीडीएफ एंड ऑल राइट्स आ रिजर्व टू फॉर विजन आईस ठीक है ये विजन आईस के पूरे राइट्स रिजर्व है दिस वीडियो इज फॉर नॉन कमर्शियल पर्पस एंड एक फ्री ऑफ कॉस्ट इनिशिएटिव होगा जहां पे आपके इयरली करंट अफेयर्स वुड बी कवर्ड मैं आपको दिखा देता हूं कि यह पीडीएफ कैसे करके आपको मतलब कैसे करके चीजें मैं इसमें आपको पढ़ाऊंगा ओके कैन यू सी दिस पीडीएफ ठीक है दो इसमें व्हाट आई हैव डन देखो बहुत चीजें काम की हो बहुत सारी चीजें काम की नहीं होती है तो इसमें व्हाट आई हैव डन कि मैंने पीडीएफ के बाजू में काम की जो जो चीजें है उसको मैंने मार्क करके रख दिया फॉर एग्जांपल इंटरनल इमरजेंसी है ठीक है कितने बार लगा है क्या है व्हाट आर द कंडीशन मेमो निक्स के साथ वॉर इंटरनल वॉर हो गया एक्सटर्नल एग्रेस आर्म रिबेलियस किन-किन कंडीशंस में आर्टिकल 358 लगता है 359 लगता है सारी चीजें एनोट करके मार्क्ड पीडीएफ आपको डायरेक्टली पढ़ सकते हो इट कुड सेव लॉट ऑफ योर टाइम एंड जहां पे भी मुझे एनालिसिस की जरूरत पड़ेगी तो मैंने ब्लैंक पेज में भी स्टैटिक वाले पार्ट का एनालिसिस किया है सो ये आपके लिए ओवरऑल बहुत ज्यादा इजी हो जाएगा ठीक है सो यू कैन सी द कंप्लीट पीडीएफ जस्ट अ मिनट ठीक है इस वे में मैंने एनट करके रखा है मैंने मार्क करके रखा है क्या काम की चीज है क्या काम की नहीं है उसको मैंने सीधा स्ट्राइक ऑफ कर दिया है अ मतलब लेट्स स्टार्ट विद द सीरीज एंड इसमें मैं आपको एक बहुत इंपोर्टेंट पा पार्ट बता दे रहा हूं ठीक है कल शाम से जब से मुझे ये पीडीएफ मिला है इट टूक मी एप्रोक्सीमेटली सेवन टू 8 आवर्स टू एनालाइज इसका पूरा डिटेल वे में एनालिसिस करने में मुझे सात से आठ घंटे लगे हैं ठीक है तो व्हाट आई वुड सजेस्ट यह मैं आपको एक ढ़ घंटे में इसका समरी अलोंग लिंक विद द स्टैटिक मैं आपको पूरा शेयर कर दूंगा ठीक है और जो पीडीएफ इनिशिएटिव इफ यू जस्ट लाइक द इनिशिएटिव इसको सपोर्ट जरूर से करना आप लोग सो लेट्स स्टार्ट विद द सेशन ठीक है ओके द फर्स्ट टॉपिक सो वी आर स्टार्टिंग विद अवर पीडी 365 लेक्चर वन ओके द फर्स्ट सेशन जो आपके सामने मतलब देखने को मिल रहा है जो टॉपिक है साइमल नियस इलेक्शन साइमल नियस इलेक्शन क्यों न्यूज़ में था क्योंकि एक कमेटी बनी थी हमारे फॉर्मर प्रेसिडेंट लोग होता है लेट्स सपोज कि 2026 फर्स्ट ऑफ जनवरी में लोकसभा का इलेक्शन हो रहा है ठीक है तो उसी के साथ सारे विधानसभा के इलेक्शंस होंगे तो ऐसे बहुत सारे विधानसभा होंगे जिनके अनएक्सपायर्ड टर्म होंगे जिनका फाइव इयर्स कंप्लीट नहीं होगा तो उस केस में अनएक्सपायर्ड टर्म्स को वापस से मर्ज करके फ्रेश इलेक्शंस को कॉल किए जाएंगे अब इससे रिलेटेड कुछ-कुछ आर्टिकल्स है इसके बारे में हम देख लेते हैं ठीक है न्यू आर्टिकल 82a फॉर इलेक्शन जनरल इलेक्शन इलेक्शंस फॉर लोकसभा एंड स्टेट ले लेजिस्लेटिव असेंबली साइमल नियस मतलब इसमें दोनों के इलेक्शंस एक साथ होंगे ओके टर्म ऑफ ऑल स्टेट लेजिस्लेटिव विल एंड विद फुल टर्म ऑफ लोकसभा ठीक है आर्टिकल 83 में अन एक्सपायर्ड टर्म मिड टर्म एंड जनरल इलेक्शंस के बारे में बात की गई थी अभी तक यह प्रोविजन होता था लेट्स से कि लोकसभा या फिर स्टेट लेजिसलेटिव असेंबली का टर्म 5 साल का है ठीक है अब किसी रीजन से सरकार गिर गई नो कॉन्फिडेंस आ गया 3 साल में सरकार गिर गई तो जो नेक्स्ट जनरल इलेक्शन होगा इट वुड बी फॉर रिमेनिंग टू इयर्स ऑफ़ पीरियड आर्टिकल 83 में यह चीज बताई गई है जितना मैं बता रहा हूं उतना ही फोकस करना उससे डिटेल में आपको जाने की जरूरत नहीं है बिल्कुल भी नहीं है क्लियर ठीक है अब देखो जैसे ये फेजेस में इलेक्शन हो सकता है साइमल नियस इलेक्शन का यह मतलब नहीं है कि पूरे दिन पूरे कंट्री में एक ही दिन इलेक्शन होगा बिकॉज इट वुड बी अ लॉजिस्टिक्स नाइटमेयर हां एक जो फेज वाइज इलेक्शन होता है लेट्स से वन मंथ में या फिर दो महीने में पूरे के पूरे कंट्री के इलेक्शंस हो जाएंगे इसके बहुत सारे फायदे हैं कि सिक्योरिटी फोर्स जो पूरे आधे से ज्यादा टाइम इलेक्शन में बिजी रहता है ठीक है अ डेली लाइफ बहुत ज्यादा हैपर होती है ठीक है और तो और इवन जो इलेक्टेड रिप्रेजेंटेटिव्स रहते हैं बार-बार इलेक्शन होने के कारण आधे से आधा टाइम वो चुनाव प्रचार में ही लगे रहते हैं तो अब 5 साल की सिक्योरिटी रहेगी तो क्या हो जाएगा कि वो एडमिनिस्ट्रेटिव काम ठीक है प्रॉपर डेवलपमेंट के एजेंडा पे फोकस कर सकते हैं बट इसका एक नेगेटिव कंसर्न भी यह है कि इसके वजह से क्या हो जाएगा कि जो फ्रीक्वेंसी एक मिलन था मतलब एक बारबार इंटरेक्शन होता था अकाउंटेबिलिटी कहीं ना कहीं डाइल्यूट हो सकती है दज आर नॉट इंपोर्टेंट किसने क्या रिकमेंड किया था हम इसे रामनाथ कोविड कमिटी याद रखना नाउ लेट्स टॉक अबाउट स्टेट इलेक्शन कमीशन कर्नाटका की रिपोर्ट है द करंट किस लिए है ये इंपोर्टेंट नहीं है ठीक है स्टेट इलेक्शन कमीशन हमें स्टैटिक वाइज में पढ़ना है स्पेशली रीड इट फ्रॉम द लक्ष्मीकांत क्योंकि कांस्टिट्यूशन बॉडीज खुद में ही बहुत इंपोर्टेंट टॉपिक है स्टेट इलेक्शन कमीशन 73 कॉन्स्टिट्यूशन अमेंडमेंट से बनाया गया था यह पंचायती राज ए लोकल बॉडीज में इलेक्शन कंडक्ट कराती है तो आप सोचोगे कि स्टेट गवर्नमेंट के इलेक्शन कौन करवाता है इट इज कंडक्टेड बाय इलेक्शन कमीशन ऑफ इंडिया ठीक है कौन स कमिटी ने रिकमेंड किया था गाडगिल कमेटी रिटायरमेंट जज क्या है सिक्स इयर्स या फिर 65 हो गया ओके रिमूव कैसे होते हैं सेम मैनर जैसे स्टेट का हाई कोर्ट का जज रिमूव होता है ठीक है आपको पहले पार्लियामेंट में रिमूव ऑन द ग्रांड ठीक है जिस तरीके से ट का जज रिमूव होता है पार्लियामेंट पे स्पेशल मेजॉरिटी से बिल पास हो होनी रहती है एंड इसके बाद क्या होता है व्हेन स्पेशल मेजॉरिटी से बिल पास होती है तो फिर प्रेसिडेंट क्या करता है इसको फाइनली रिमूव करता है सेम एज द प्रोसीजर ऑफ रिमूवल ऑफ हाई कोर्ट जज ठीक है अपॉइंट्स देखो यहां पे यूपीएससी का क्वेश्चन बन सकता है ठीक है सर्विस कंडीशंस टेनर सब चीजें गवर्नर डिसाइड करता है ठीक है काम क्या है लोकल बॉडी का इलेक्शन इलेक्टोरल रोल बनाना रिजर्वेशन की चीज करना यह सारी चीजें एडवाइस करती है गवर्नर को अब आपसे एक क्वेश्चन है मुझे यह चीज पता चलेगी कि क्या आप लोग जो मैं पढ़ा रहा हूं उसमें एक्टिवली इवॉल्व हो कि नहीं मुझे आई जस्ट वांट टू सी कि मेरी मेहनत ऐसे मुफ्त में जाया तो नहीं हो रही तो यार उस चीज के लिए मैं थोड़ी सी अकाउंटेबिलिटी आप लोगों से इंश्योर करूंगा अकाउंटेबिलिटी के सेंस में इंश्योर करूंगा ऐसा नहीं कि मैं आपको कुछ होमवर्क वगैरह दूंगा अकाउंटेबिलिटी इस सेंस में रहेगी आपको जो जो क् मैं पूछूंगा आपको उसके आंसर्स कमेंट सेक्शन में देने पड़ेंगे ओके तो आप मुझे बताओ कि लोकल बॉडी के जो इलेक्शन रहते हैं ठीक है कोई इलेक्ट इलेक्टोरल डिस्प्यूट हो गया तो क्या उसमें हाई कोर्ट इंटरवेनर सकता है दिस इज द फर्स्ट क्वेश्चन जो आप मुझे कमेंट सेक्शन में बताएंगे ठीक है ओके नेक्स्ट क्वेश्चन इ डीलिमिटेशन कमीशन ओके द नेम ऑफ द केस इ इंपोर्टेंट किशोर चंद्र राठौड़ केस किशोर चंद्र नाम याद रख लेना इसमें ये चीज बोला गया ठीक है टशन कोर्ट हैव पावर टू रिव्यू द ऑर्डर ऑफ डीलिमिटेशन कमीशन कांस्टीट्यूशनल कोर्ट के पास पूरी तरीके से पावर रहेंगे कि डीलिमिटेशन के डीलिमिटेशन के राइट्स को डीलिमिटेशन कमीशन जो रहता है उसके जितने भी डिटेल्स है उनको रिव्यू कर सकता है अब आप एक चीज सोचिए एक चीज आपको क्या सोचनी है कि ऐसी चीज आखिरकार क्यों बनाई गई है वई इट हैज बीन मेड ऐसी चीज आखिरकार क्यों बनाई गई है ओके क्योंकि हमारे कांस्टिट्यूशन में प्रोविजन था कि डीलिमिटेशन कमीशन डीलिमिटेशन कमीशन का जो भी वर्डिक्ट होगा ओके ट कैन नॉट बी जुडिशल रिव्यूड इसका जुडिशल रिव्यू नहीं किया जा सकता इसलिए यह बहुत ज्यादा इस पर हल्ला मचा हुआ था ठीक है अब इसमें बोला कि रिव्यू किया जा सकता है आइए हम थोड़ा डीलिमिटेशन कमीशन के बारे में देख लेते हैं डीलिमिटेशन कमीशन का काम क्या रहता है जो टेरिटोरियल कंसीट रहते है निर्वाचन क्षेत्र टेरिटोरियल कंसीट को डिमार्क करना लेट्स से जहां पर एमपी और एमएलए इलेक्शन के लिए खड़े होंगे और जीतेंगे ज्योग्राफिकल एरिया को डिमार्केट करना ये एक स्टेच चरी बॉडी स्टरी बॉडी मतलब एक्ट ऑफ पार्लियामेंट के थ्रू आया है इट केम थ्रू एक्ट ऑफ पार्लियामेंट अभी तक इनके डिसीजन फाइनल थे बट अभी यह जो केस है किशोर चंद जिसने बोला कि भाई इसको हम चैलेंज कर सकते हैं कौन होता है जज ऑफ सुप्रीम कोर्ट चेयरमैन रहता है चीफ इलेक्शन कमीशन इलेक्शन कमीशन इसके मेंबर रहते हैं ठीक है अभी तक अगर अपन देखें 1 2 3 4 ऐसे टोटल चार डिशन डीलिमिटेशन कमीशन बन चुके हैं यूपीएससी 2024 में इसके ऊपर पवा क पूछा गया है क्लियर ओके ईवीएम के बारे में देखो क्या है क्यों एडीआर क्या रिपोर्ट है यह हमें जरूरी नहीं है हमें ईवीएम के बारे में जानना है ईवीएम एक तरीके जैसे आप वोट करने जाते हैं यह एक टाइप की मशीन होती है ईवीएम इज बेसिकली अ टाइप ऑफ मशीन ठीक है ये किसी भी तरीके से प्लग से कनेक्टेड नहीं रहता कोई एक्सटर्नल इंटरफेस नहीं रहता ये बैटरी के थ्रू चलता है किसने डेवलप किया बेल ने ओके अब इसमें क्या रहता है कि प्रॉपर वे में इलेक्ट्रॉनिक वकिंग मशीन होती है अब इसमें नया एक टेक्नीक एक किया गया वीवी पैट वीवी पैट वीवी पैट क्या होता है जैसे ही आप जिस पार्टी के सिंबल को प्रेस करते हो ओके कुछ सेकंड्स तक के लिए उस पार्टी का सिंबल और कैंडिडेट का नेम आपके स्क्रीन पर अपीयर होता है ठीक है ये होता है वोटर्स वेरीफाइबिलिटी यूज किया गया था में सेकंड टाइम यूज किया गया अब कुछ हिस्ट्री ईवीएम को पहली बार केरला में यूज किया गया था आपको थड़ा सा ध्यान रखना है ईवीएम के तीन रहते बैलेट यूनिट रहता है एक कीबोर्ड 16 बटन रहता है कंट्रोल यूनिट जो वहा का प्रेइंग ऑफिसर इलेक्शन कमीशन मतलब एक तरीके से पॉइंट करती है टू चेक की किसी टाइप की कोई करप्शन ना हो ठीक है और वीवी प ट्रांसफरेंस लाने के लिए ओके यह कुछ कुछ एडवांटेजेस है एक बार जस्ट गो थ्रू हो जाना गो थ्रू हो ना बिकॉज ये आपके फ्री में तो डायरेक्ट नहीं पूछेंगे दे आर इंपोर्टेंट फॉर मीस मैं ये जो पीडीएफ शेयर करूंगा ओके सिविल सोल्जर नाम से टे ग्रा चैनल है ओके नाउ लेट्स टॉक अबाउट मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट को हम हिंदी में क्या बोलते हैं इलेक्शन कमीशन जैसे इलेक्शन के डेट अनाउंस कर करती है तो आचार संहिता लग जाती है इसमें एक कोड ऑफ कंडक्ट रहता है कि कैंपेनिंग कैसा होगा पॉलिटिकल नॉमिनेशन कैसे होंगे पार्टीज का बिहेवियर कैसा होना चाहिए इलेक्टोरल फंडिंग होने चाहिए इन सब के लिए बट मजे की बात देखो य नॉन बाइंडिंग है इट्स नॉट मेंशन इन कांस्टिट्यूशन ठीक है यूपीएससी में य एक स्टेटमेंट आया था कि मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट इ डिफाइंड इन कॉन्स्टिट्यूशन तो स्टेटमेंट गलत हो जाएगा ओके और ये नॉन इ फोर्सेबल रहता है नॉन इफोर्स बल रहता है मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट बेसिकली यह पॉलिटिकल पार्टीज ने ही आके आपस में डिसाइड किया था प देखो ज्यादातर चीज पहली बार केरला में होती है ठीक है फ्री एंड फेयर इलेक्शन को य इंश्योर करता है ओके कांस्टिट्यूशन में मेंशन नहीं है ओके कौन-कौन से एक्टिविटीज प्रोहिबिटेड है इसका एक जनरल आईडिया रखना है आपको ठीक है जैसे कि कौन-कौन से देखो बहुत इसको आपको याद नहीं करना एक दो बार देखोगे ऐसे ही याद हो जाएगा जैसे ही मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट आपका अनाउंस होता है प्रेस कॉन्फ्रेंस होता है इलेक्शन कमीशन से और जब तक रिजल्ट अनाउंस नहीं हो जाते मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट लगा रहता है पूरे इलेक्शन वोटिंग सब इसी फेज में होता है कोई नया स्कीम अनाउंस नहीं कर सकते एडवर्टाइज गवर्नमेंट के पैसों प नहीं कर सकते पार्टी ठीक है कोई एडहॉक अपॉइंटमेंट नहीं नहीं कर सकते पब्लिक टेकिंग वगैरह में ओके कोई पब्लिक मीटिंग नहीं कर सकते 48 आवर्स वोटिंग के टाइम पर पोल के टाइम प ठीक है आप गवर्नमेंट के रिसोर्सेस गवर्नमेंट गाड़ी इन सबको कैंपेनिंग इन सब के लिए यूज नहीं कर सकते है ना मतलब ये गवर्नमेंट के लिए रहता है ओके पेमेंट और डि कोई नया फंड नहीं लाएंगे कि भाई एकदम से कोई नया फंड दिया तो इसके वजह से क्या होता है कुछ कुछ एरिया के लोग खुश हो गए और आपको वोट करने लग गए ऑल राइट कब रहता है इलेक्शन शेड्यूल अनाउंस से लेके जब तक रिजल्ट डिक्लेयर नहीं होता ठीक है कोई स्टैचूट बैकिंग नहीं है कोई प्रोक्यू नहीं है अगर वायलेट हो गया तो कुछ नहीं होता इससे सबसे दुख की बात यह है ठीक है हालांकि फॉल्स स्टेटमेंट आपके रिप्रेजेंटेशन ऑफ पीपल्स एकट में गिवन है लोकसभा इलेक्शन हुए तो देखो इलेक्शन से रिलेटेड जो भी चीज है आप जो स्टैटिक बुक जो 90 पर लोग लक्ष्मीकांत पढ़ेंगे मैंने ऑलरेडी एक वीडियो बनाया हुआ है ओके हाउ टू कंप्लीट लक्ष्मीकांत इन 8 डेज आठ दिनों में लक्ष्मीकांत को कैसे करके कंप्लीट करना है जरूर से एक बार उस वीडियो को देख लेना ट्रस्ट मी आपको मोक्ष की प्राप्ति हो जाएगी मजा आ जाएगा उस वीडियो को देख के बहुत सारी चीजें जो काम की नहीं रहती आप पढ़ते रहते हो क्लेरिटी आ जाएगी ठीक है तो ये स्टैटिक चीजें एक बार लक्ष्मीकांत से देख लेना क्योंकि यहां पे कंप्लीट नहीं है इट्स नॉट कंप्लीट कंप्लीशन वहीं से करना ओके अच्छा न्यूज़ में क्या था देयर वाज आर्टिकल 329 इलेक्शन कमीशन ने देखो अब इसको पहले आप पहले नोटे वालि को पढ़ो इसमें आपको बहुत चीजें क्लेरिटी मिलेगी ओके इलेक्शन कमीशन ने आर्टिकल 29 बी को इवोक किया है इसमें यह बोला गया कि भाई सुप्रीम कोर्ट को इलेक्शन के प्रोसेस में लिमिट करने के लिए कई बार क्या रहता है इतना ज्यादा अगर जुडिशियस इंटरवेंशन एंड लिटिगेशन होता है तो इलेक्शन का काम ही टाइम बाउंड मैनर में पूरा नहीं हो पाता उसको रोकने के लिए आर्टिकल 329 लाया गया ठीक है अब पिटीशन कोई भी कैंडिडेट या फिर इलेक्टर फाइंड कर सकता है ठीक है अभी एक चीज देखना आर्टिकल 29 बी में क्या बोलता है कि नो इलेक्शन टू द पार्लियामेंट ऑफ़ स्टेट ले लेजिसलेट शैल बी क्वेश्चन एक्सेप्ट थ्रू एन इलेक्शन पेटीशन एज प्रिसक्राइब बाय लॉ बाय एप्रोप्रियेट कुछ नहीं पढ़ना है मैं आपको बार-बार बता रहा हूं ओके अब इलेक्शन पेटीशन कहां पे फाइल होता है इलेक्शन के पेटीशन का ओरिजिनल जूरिस क्शन कहां पे आता है इट कम्स इन द डोमेन ऑफ स्टेट हाई कोर्ट लेट्स से मध्य प्रदेश में कुछ डिस्प्यूट है तो मध्य प्रदेश हाई कोर्ट में जाएगा और उसका अपील सुप्रीम कोर्ट में जाएगा इसके अलावा और कोई नहीं आएगा बीच में ठीक है ओके अब नॉमिनेशन की बात करते हैं देखो न्यूज़ में क्यों था एक अनइलेक्टेड मतलब एक कोई लोकसभा में किसी एरिया में ठीक है एक बंदा इलेक्ट हो गया था अनोज मतलब और कोई उसका कोई कैंडिडेट अपोजिशन था ही नहीं ओके अब रिप्रेजेंटेशन ऑफ पीपल्स एक्ट कुछ कुछ रिक्वायरमेंट बताती है कि भाई क्या-क्या वैलिड नॉमिनेशन हो जाता है क्या व्हाट आर द क्राइटेरिया फॉर वैलिड नॉमिनेशन कैंडिडेट रिकॉग्नाइज पॉलिटिकल पार्टीज से होने चाहिए कंडीशंस होती चार कंडीशंस होती है रिकॉग्नाइज पॉलिटिकल पार्टीज दे आर वेरी वेल गिवन इन लक्ष्मीकांत या फिर मैं बाद में करवा दूंगा इससे ठीक है इंडिपेंडेंट कैंडिडेट्स 10 प्रपोज न लोग एंडोर्स करना चाहिए ठीक है और प्रपोजर्स कौन जो उनको एंडोर्स करते कौन ये इलेक्टर्स होने चाहिए जिस कं जिस निर्वाचन क्षेत्र से वो खड़े हो रहे हैं नॉट दैट इंपोर्टेंट र एक जनरल आईडिया रख लेना ठीक है ओके रिपोल मणिपुर एंड अरुणाचल प्रदेश में रिपोल करवाया कौन-कौन से कंडीशंस में रिपोल होते हैं जनरल आईडिया याद नहीं करना कोई नेचरल कमिटी आ गई वोटिंग मशीन में हो गया कुछ दिक्कत हो गई बूथ कैपचरिंग हो गया ठीक है फ दैट ऑफ कैंडिडेट इन सब कंडीशंस की वजह से रिपोलिंग इलेक्शन कमीशन करा सकती है रीइलेक्शन करवा सकती है ओके देखो जितनी चीजें बता रहा हूं उतना ही करना ट्रस्ट मी इससे ज्यादा करने जाओगे खुद का टाइम बर्बाद करोगे ओके ट्रस्ट मी खुद का बहुत टाइम बर्बाद कर लोगे मूविंग फॉरवर्ड साइलेंस पीरियड साइलेंस पीरियड मतलब बैन ऑन पॉलिटिकल कैंपेनिंग बिफोर वोटिंग ओके वोटिंग के 48 आवर्स पहले कोई कैंपेनिंग वगैरह नहीं होगा इसका सिंपल मीनिंग साइलेंस पीरियड है ट्स इट ट्स इट और कुछ नहीं देखना अब आरपीए का कुछ कुछ सेक्शन रते नो नीड टू रिमेंबर द सेक्शन एग्जिट पोल ओपिनियन पोल ये सब जब तक फाइनल रिजल्ट नहीं आते फाइनल रिजल्ट नहीं आते तब तक इसके डिसीजन को काउंटिंग मतलब नहीं होती तब तक इसको नहीं दे सकते इलेक्शन के जब तक वोटिंग के टाइम पर नहीं दे सकते वरना ये ओपिनियन को मैनिपुलेट करते है हैंपस फ्री एंड फेयर इलेक्शन ठीक है ओके इसके ऊपर वन कैंडिडेट मल्टीपल कंसीट यूपीएससी का 2020 या 21 के आसपास इसका पी वाई कू है देख लेते क्या क्वेश्चन था 1996 के पहले तक ओके 1996 के पहले तक एक कैंडिडेट कितने नंबर ऑफ कं सटंस से भी खड़ा हो सकता है ओके कितने नंबर ऑफ कन सटंस से भी खड़ा हो सकता है ओके लेट्स से जैसे कि आप देखोगे मोदी जी अब मैं एग्जांपल दे रहा हूं कि आपको याद रहे मोदी जी वाराणसी से भी मतलब इलेक्शन लड़ रहे हैं ठीक है या फिर लेट्स से किसी दूसरे एरिया से भी इलेक्शन लड़ रहे हैं ठीक है गुजरात से भी इलेक्शन लड़ रहे हैं राहुल गांधी वायना से भी लड़ रहा है ली से भी लड़ रहा है ओके तो यह क्या होता है कि भाई एक कैंडिडेट चार पांच कंसीट से इलेक्शन लड़ सकता था कोई लिमिट नहीं था पर रिप्रेजेंटेशन ऑफ पीपल्स एक् में इसको लिमिटेशन लाया गया कि मैक्सिमम दो सीट से ही लड़ सकता है और जिस भी सीट से जीतेगा लेट्स से की कैंडिडेट दोनों सीट से जीट गया तो उसको एक स्पले टाइम पीरियड के अंदर बताना पड़ेगा कि कौन से सीट से व एमपी बनना चाहता है या फिर एमएलए बनना चाहता है वरना उसकी दोनों सीट कैंसिल हो जाती है ठीक है और जो भी सीट ली हो रही है ठीक है ओके जो भी सीट खाली हो रही है उसमें जो खाली वाले सीट में बाय इलेक्शन होना पड़ेगा बाय इलेक्शन कंपलसरी मतलब की वापस इलेक्शन कमीशन उस खाली सीट के लिए इलेक्शन करवाएगी ठीक है आई होप इट्स क्लियर ओके होम वोटिंग होम वोटिंग का मतलब सिंपल बाट घर से वोटिंग पहली बार इलेक्शन कमीशन नेय किया है कि भाई कोई छूटना नहीं चाहिए वोटिंग सबको करना किन लोगों के लिए रहता है ठीक है 85 यर्स से ऊपर के लोग या फिर जो 40 पर से ज्यादा जिनकी डिसेबिलिटी है ओके 40 पर से ज्यादा जिनकी डिसेबिलिटी है ऑलराइट तो इस चीज के लिए है अब आप देखो वोटिंग को और ज्यादा टर्न आउट रेट और ज्यादा इंक्लूसिव बनाने के लिए इलेक्शन कमीशन ने क्याक किया इस चीज को हम देखते हैं वोटिंग के लिए जम्मू कश्मीर में पहले माइग्रेशंस का एक फॉर्म लगता था तो वो मैक्सिमम लोगों के पास होता नहीं था तो वोट नहीं कर पाते थे इसको अबॉलिश कर दिया स्वीप इलेक्शन कमीशन का एक तरीके का अवेयरनेस प्रोग्राम है जस्ट रिमेंबर द नेम अवेयरनेस प्रोग्राम है कि ज्यादा से ज्यादा लोग आए वोटिंग करें ठीक है मल्टी कॉन्स्टिट्यूशन ठीक है यह माइग्रेंट्स के लिए क्या हो गया वोटिंग मशीन इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन बनाई गई है पोस्टल बैलेट सिस्टम जिसमें बाय पोस्ट के थ्रू वोटिंग होती है ओके किसकिसको स्पेशल वोटर सर्विस वोटर जो भाई गवर्नमेंट सर्विस में बाहर है कोई ऐसा ऑफिसर जो इलेक्शन ड्यूटी में लगे अपने अपने कंसीट से बाहर है जो प्रिवेंट डिटेंशन के के अंदर है डिटेंड है वो भी वोट कर सकते हैं याद रखना ओके प्रीवेंटिव डिटेंशन जिनको शक के बेसिस प हालांकि उन्होने कोई क्राइम किया नहीं है बट ऑन द बेसिस ऑफ बोलते हैं ना सस्पेंशन उनको डिटेन कर लिया जाता है अरेस्ट कर लिया जाता है क्लियर अब जो पटव डिटेंशन पटव डिटेंशन के अंदर जो लोग रहते हैं उनके पास वोटिंग राइट्स नहीं रहते पटव डिटेंशन मतलब अदालत के थ्रू कोर्ट के थ्रू उनको सजा हो चुकी है उनके पास वोटिंग राइट्स नहीं रहते बट हां दे कैन इलेक्ट ये इलेक्शन में खड़े हो सकते हैं यह कुछ कुछ बारीकियां है जिन्ह आपको याद रखना है प्रॉक्सी वोटिंग मतलब मेरे नाम पर कोई और दूसरा वोट कर दे यह सर्विस वोटर्स के लिए अवेलेबल है ठीक है जैसे मेरे नाम की मेरा भाई मम्मी पापा कोई भी जाके वोट कर सर्विस वोटर कौन आर्मी वाले कोई डिप्लोमेट जो गवर्नमेंट जो बाहर पोस्टेड इंडिया के बाहर पुलिस फोर्सेस ठीक है या फिर जो भी आर्मी एक्ट के अंदर आते हैं ठीक है ओके फॉर्म 17 सी क्या है यह इलेक्शन के डेटा है सुप्रीम कोर्ट ने बोला भाई डेटा की किसको कितने वोट मिले कौन-कौन वोटर्स उस एरिया के उन डटा को शेयर नहीं कर सकते ट्स इट इससे ज्यादा कुछ नहीं करना आपको ब्रेल मतलब ब्लाइंड लोगों के लिए ट्स इट जितना मैं बता रहा रूल ल कुछ करने की जरूरत नहीं ट्रस्ट मी फोमो मत लाना यू हैव टू ट्रस्ट ऑन मी क्योंकि देखो आई हैव बीन इनटू दिस प्रोसेस फॉर मेनी यर्स ओके आई बीन इनटू दिस प्रोसेस फॉर मेनी यर्स मे ट्रस्ट करना ये फालतू की चीजों पर पढ़ के अपना टाइम वे मत करना ओके अब हम बात करेंगे फंक्शनिंग ऑफ पार्लियामेंट एंड स्टेट लेजिसलेट पहलू पर आ रहे हम लोग ओके इंटरनल इमरजेंसी 50 इयर्स हो गए हैं इमरजेंसी के एज ऑफ नाउ इंडिया में तीन बार इमरजेंसी लगी है 1962 इंडो चाइना वॉर इंडो पार्क वॉर और यह दोनों एक्सटर्नल इमरजेंसी थे और इंटरनल इमरजेंसी 1975 में लगे थे तो इसके 50 साल होने वाले ठीक है अभी टली संविधान हत्या दिवस भी मतलब डिक्लेयर किया गया है इमरजेंसी प्रोविजन हमने क से लिए वेमार रिपब्लिक जर्मनी ठीक अब देखो कितने टाइप्स ऑ इमरजेंसी होते देखो इसमें स्टिक वेरी वेरी पोर्टेंट कितने टाइप ऑफ इमरजेंसी होते इसके लिए आपको थोड़ा दूसरे स्लाइड में ले व्ट आर द डिफरेंट टाइप्स ऑफ इमरजेंसी आई होप इट इ विजिबल ओके देखो नेशनल इमरजेंसी नेशन लगता है आर्टिकल 352 के तहत लगता है ओके अब इसमें दो सब पार्टस होते है आर्टिकल 358 आर्टिकल एंड 359 चार कंडीशन में नेशनल इमरजेंसी लगती है कौन-कौन सी डब्लू स्टैंड्स फॉर वर ई स्टैंड्स फॉर एक्सटर्नल अग्रेशन एंड ए आर स्टैंड्स फर आर्म रेबेल हालाकि आर्म रेबन को पहले इंटरनल डिस्टरबेंस बोला जाता था बट 44 कांस्टिट्यूशन अमेंडमेंट टैक्सेस को चेंज करके नाम आर्म रिबेलियस के बारे में हम देख लेते हैं आर्टिकल 363 58 जो लगता है नेशनल इमरजेंसी के अंदर यह पूरे के पूरे इंडिया में लगता है होल इंडिया किसी पार्ट में किसी स्टेट में नहीं लग सकता और यह दो कंडीशंस में लगता है वॉर ऑन एक्सटर्नल अग्रेशन में ठीक है अब जैसे ही आर्टिकल 358 लगता है तो आर्टिकल 19 राइट टू फ्रीडम ऑटोमेटिक सस्पेंड हो जाता है बट अगर आर्टिकल 359 लग रहा है तो यह पूरे कंट्री में भी लग सकता है और उसके छोटे-छोटे पार्ट्स किसी पर्टिकुलर स्टेट में भी लग सकता है ठीक है ये चार ये ये तीनों कंडीशंस में लगता है वॉर एक्सटर्नल अग्रेशन और आर्म रेवेलियन तीनों कंडीशंस इसके लिए होना जरूरी है 358 में दोनों कंडीशंस चाहिए वॉर एक्सटर्नल अग्रेशन और 359 में तीनों कंडीशंस चाहिए ओके अब 359 में एस सच कोई फंडामेंटल राइट सस्पेंड नहीं होता ठीक है बट प्रेसिडेंट किसी भी ऑर्डर के थ्रू कोई सा भी फंडामेंटल राइट को सस्पेंड कर सकता है एक्सेप्ट आर्टिकल 20 एंड 21 ओके आर्टिकल 21 राइट टू लाइफ एंड 20 डिटेंशन के अगेंस्ट है ठीक है ओके सॉरी नहीं आर्टिकल 20 आपके इसके अगेंस्ट न सेल्फ इनक्रिमिनेशन डबल पार्टी य पार्लियामेंट को अगर लेट से की प्रेसिडेंट को अगर लगता है कि भाई कुछ इन तीनों में से कोई कंडीशन आने वाला प्रेसिडेंट को अगर लगता है कि इन तीनों में से कोई सा भी कंडीशन आने वाला है डब् ई ए आर ओके तो प्रेसिडेंट खुद से ही एग्जीक्यूटिव ऑर्डर के थ इमरजेंसी लगा सकता है ब शर्त है कि पार्लियामेंट को उसे एक महीने के अंदर अप्रूव करना पड़ेगा अब पार्लियामेंट का एक महीने के अप्रूवल वाला क्या क्लॉज है पहले पार्लियामेंट को दो महीने के अंदर अप्रूव करना पड़ता था बट 44 कॉन्स्टिट्यूशन अमेंडमेंट एक्ट 1978 के बाद एक महीने में अप्रूव करना पड़ता अब इसमें पार्लियामेंट अपने पावर्स किसी को भी डेलीगेट नहीं कर सकते कितने भी नंबर ऑफ ईयर्स तक इसमें लोकसभा का टेनर बढ़ाया जा सकता है कुछ भी कर सकता है बट छ महीने में रिव्यू होगा रिव्यू कैसे होगा पार्लियामेंट को अप्रूव करना पड़ेगा विद स्पेशल मेजॉरिटी मतलब टू थर्ड ऑफ प्रेजेंट एंड वोटिंग ठीक है हर छ महीने में सेे अप्रूव करना पड़ेगा और अगर नेशनल इमरजेंसी हटाना है तो सिर्फ लोकसभा याद रखना पार्लियामेंट में आपके कौन आ जाते हैं राज्यसभा और लोकसभा दोनों आ जाते हैं सिर्फ और सिर्फ लोकसभा सिंपल मेजॉरिटी मतलब % प्रेजेंट एंड वोटिंग से इसको रिव कर सकता है ठीक है तो ये हो गया आपका नेशनल इमरजेंसी इसमें और कुछ चीजों को अपन डिटेल में आगे देखेंगे सेक प्रेसिडेंट रूल आर्टिकल 356 के तहत लगता है दो महीने चाहिए अप्रूवल के लिए सिंपल मेजॉरिटी ऑफ पार्लियामेंट राज्यसभा लोकसभा छछ महीने में रिव्यू करना पड़ता है इसमें पार्लियामेंट अपने पावर को डेलीगेट कर सकता है एडर टू प्रेसिडेंट और टू गवर्नर और टू चीफ सेक्रेटरी मैक्सिमम 3 साल तक ये लगाया जा सकता है ती मतलब एक साल से ज्यादा ये एक्सटेंड तभी हो सकता है किस कंडीशन में अगर इलेक्शन कमीशन बता दे कि भाई वापस इलेक्शन कराने के लिए फंड्स नहीं है या फिर नेशनल इमरजेंसी लगा हो और पर एटम एकस 3 साल तक लगेगा ठीक है ये 44 कॉन्स्टिट्यूशन अमेंडमेंट एक्ट में ये बोला गया था पहले प्रेसिडेंट रूल क्या होता है कई बार इसका मिसयूज भी होता है तो गवर्नमेंट कभी भी अपने मन से कितने भी समय के लिए लगा देता था तो 44 कॉन्स्टिट्यूशन अमेंडमेंट एक्ट ये चेंजेज लेके आया है ठीक है अब इसमें क्या होता है प्रेसिडेंट रूल लगता है मतलब जिस भी स्टेट में लगा है तो वहां की स्टेट असेंबली डिसोल्व हो जाती है बट नेशनल इमरजेंसी में स्टेट असेंबली डिसोल्व नहीं होती है जबी भी इसे हटाना होता है तो प्रेसिडेंट सिर्फ अपने मन से रिव कर देता है नेशनल इमरजेंसी में लोकसभा को रिव करना पड़ता है क्लियर अब आगे हम बात करेंगे फाइनेंशियल इमरजेंसी फाइनेंशियल इमरजेंसी दो महीने मतलब प्रेसिडेंट उसको लेके प्रेसिडेंट ने ऑर्डर पास किया तो दो महीने के अंदर अप्रूव करना पड़ता है किसको पार्लियामेंट को वि सिंपल मेजॉरिटी पार्लियामेंट मतलब लोकसभा एंड राजसभा कोई पीरियोडिक रिव की जरूरत नहीं है और इनफिट चलता रहता है जब तक कि प्रेसिडेंट इसको खुद से रिव नहीं करता है ओके इमरजेंसी इज अ वेरी वेरी वेरी इंपोर्टेंट टॉपिक क्लियर अब ये देखो नेशनल इम हमने देख लिया दो क्राइटेरिया क्याक होता है प्रेसिडेंट रूल ये हमने देख लिया ठीक है कांस्टिट्यूशन मशीनरी का फेलियर होता है गवर्नर रिकमेंड करता है प्रेसिडेंट को ठीक है सेंटर स्टेट रिलेशन को इंपैक्ट कर देता है ये और फाइनेंशियल इमरजेंसी फाइनेंशियल इमरजेंसी में क्या होता है कि सैलरी ऑफ जज गवर्नर यह सारी चीजें धीरे धीरे धीरे क्या होने लगती है कम कर दी जाती है ओके अब प्रेसिडेंट रूल में देखो हाई कोर्ट के पोजीशन को स्टेट कुछ भी नहीं कर सकता ओके य यह बात हम 359 358 वी हैव डिस्कस ओके दिस वी हैव डिस्कस ठीक है कि आपको स्पेशल मेजॉरिटी वन मंथ सिक्स मंथ वाले फैक्टर्स हमने देख लिया और हर छ महीने में अप्रूव करना पड़ेगा ओके अब लेट्स से कि ऐसा कुछ कंडीशन है कि भाई लोकसभा सेशन में नहीं है तो प्रेसिडेंट एक ऑर्डिनेंस के थ्रू भी इनको अप्रूव कर सकता है इमरजेंसी ला सकता है बट लोकसभा के फर्स्ट सेटिंग से 30 दिन के बीच में उसको अप्रूव करना पड़ेगा वरना इमरजेंसी वुड सीस टू एजिस्ट ठीक है ऑलराइट अब 44 कॉन्स्टिट्यूशन अमेंडमेंट एक्ट से क्या चेंस है पहले जो इमरजेंसी लगती थी प्राइम मिनिस्टर सिर्फ एक ओरल कॉल करके प्रेसिडेंट को बोल देता था कि साहब आप इमरजेंसी लगा दो तो लग जाता था पर अब रिटन एडवाइस देनी पड़ेगी ठीक है ओके अब क्या हो गया था कि इसके बाद 42 कॉन्स्टिट्यूशन अमेंडमेंट एक्ट में लोकसभा के टेनर को 6 साल कर दिया था उसे कम करके वापस से कर दिया है फ इयर्स ओके बाकी जो चीज हमने डिस्कस की थी प्रीवियस स्लाइड में पहले दो महीने अप्रूवल के लिए चाहिए था 30 डेज में अप्रूव करना पड़ता है सिक्स मंथ्स रिव्यू ठीक है इवोक लगाने के लिए स्पेशल मेजॉरिटी लगती है और हटाने के लिए इमरजेंसी को हटाने के लिए सिर्फ लोकसभा की सिंपल मेजॉरिटी लगेगी सो आई होप इट इ वेरी वेल क्लियर आपको यह चीज बहुत अच्छे से समझ में आ गई क्लियर द नेक्स्ट टॉपिक ट वी आर गोना डिस्कस इ एंटी डिफेक्शन लॉ ठीक है कितने देर का वीडियो हो गया ओके 30 मिनट्स ऑलमोस्ट होने वाले हैं देखो जहां पर ज्यादा टाइम लगेगा वी विल टेक हमें कोई टाइम की जल्दबाजी नहीं है बट कंप्रिहेंसिव वे में कवर करना ओ एंटी डिफेक्शन लॉ लाया गया था 10 शेड्यूल इट इज अ डायरेक्ट यूपीएससी पी वाई क ऑफ 2016 ठीक है राजीव गांधी के टाइम प लाया गया था ओके 52 कॉन्स्टिट्यूशन अमेंडमेंट एक्ट क्या होता है एंटी डिफेक्शन लॉ अगर आप लेट्स से कि बीजेपी से इलेक्ट होके आ रहे हो फिर अगर आपने कांग्रेस जवाइन कर लिया तो आपकी पूरी मेंबरशिप ही चली जाएगी और एमपी और एमएलए की ठीक है लेट्स से कि कोई पार्टी एक्स नाम के कोई मेंबर एक्स नाम के पार्टी से टिकट लेकर इलेक्ट हुआ और उसने अपनी पार्टी की मेंबरशिप छोड़ दी तो वो हट जाएगा ठीक है 15 दिन कंडो निंग मतलब माफ करने का पीरियड रता 15 दिन में माफी मांग ली और पार्टी लीडर ने एक्सेप्ट कर लिया तो नहीं लगेगा ठीक है कोई इंडिपेंडेंट मेंबर इंडिपेंडेंट मेंबर वो होता है जो कि किसी पार्टी के टिकट के थ्रू इलेक्ट नहीं हुआ वो जीतने के बाद अगर कोई पॉलिटिकल पार्टी जवाइन करता है तो उस परे एंटी डिफेक्शन लग जाएगा ठीक है आया राम गया राम बोलते है कोई नॉमिनेटेड मेंबर जैसे नॉमिनेटेड मेंबर क्या हो जिसको प्रेसिडेंट नॉमिनेट करता है कौन-कौन से फील्ड से नॉमिनेट होते हैं एल ए एस एस ओके लिटरेचर आर्ट साइंस एंड सोशल सर्विस स राज्यसभा से न जैसे सचिन तेंदुलकर आर्ट से आया था भाई नॉमिनेट होके आया है किसी पार्टी से एलेटेड नहीं है अब अगर उन्होने किसी पार्टी को जवाइन कर लिया 6 महीने के बाद तो उन पर एंटी डिफेक्शन लग जाएगा छ महीने तक जवाइन कर ले कोई दिक्कत नहीं पर 6 महीने के बाद जवाइन करें तो उन एंटी डिफेक्शन लग जाएगा इसके ऊपर थ्री टू फोर टाइम्स यूपीएससी पीवा क पूछ चुका है ठीक है अब इसमें एक्सेप्शन क्या है कि अगर किसी पार्टी के टू थर्ड मेंबर्स उस पार्टी को छोड़ के नई पार्टी बनाते तो उन पर किसी टाइप का एंटी डिफेक्शन या फिर डिसक्वालीफिकेशन नहीं लगेगा अब आप मुझे सेकंड क्वेश्चन मैं आपसे पूछ रहा हूं कि आप मुझे कमेंट सेक्शन में बताओगे कि कौन से कांस्टिट्यूशन अमेंडमेंट एक्ट के थ्रू आया थाय अब एंटी डिफेक्शन लॉ के ऊपर जो भी वर्डिक रहेंगे उसको डिसाइड करने के ठीक है उसको डिसाइड करने के एक्सक्लूसिव राइट्स किसके पास रहेंगे द एक्सक्लूसिव राइट्स वड बी विथ स्पीकर ऑफ प्रोसाइट ऑफिसर बट हा कि हो तो लोहान केस ने क्या बोला कि स्पीकर के डिसीजन का जुडिशल रिव्यू हो सकता है क्योंकि स्पीकर किसका बंदा रहता है ही इज द मेंबर ऑफ रूलिंग पार्टी और मेघचंद्र केस ने बोला कि स्पीकर को तीन महीने के अंदर एंटी डिफेक्शन के केस को डिफाइन मतलब डिसाइड क् ओके अब हम बात करेंगे प्रोपोर्शनल रिप्रेजेंटेशन ये टोटली स्टैटिक टॉपिक है दिस इज अ टोटल स्टैटिक टॉपिक ठीक है अब आप देखो बात यह हो रही थी कि भाई फर्स्ट पास द पोस्ट सिस्टम को हटा के प्रोपोर्शनल रिप्रेजेंटेशन लाने की बात हो गई व्हाट इज फर्स्ट पास द पोस्ट सिस्टम लोकसभा इलेक्शन में जिसको सबसे ज्यादा वोट मिले भाई वो जीत गया प्रोपोर्शनल रिप्रेजेंटेशन प्रेसिडेंट के इलेक्शन में होता है ठीक है जिसको जितने परसेंटेज में वोट मिलेंगे उसको उतनी सीट्स मिलेगी ठीक है तो एक कंसीट में मोर देन वन मेंबर इलेक्ट हो सकता है ओके सिंपल जैसे कि भाई लेट्स से किसी को 40 पर सीट्स मिली किसी को 30 पर तो उसका लोकसभा आप में उतना शेयर रहेगा तो मोर देन वन रिप्रेजेंटेटिव फ्रॉम वन कंसीट स वोटर्स पार्टी के लिए वोट करेंगे यहां पर कैंडिडेट के लिए वोट करते हैं ठीक है सीट्स इन द लेजिसलेच्योर नंबर पे रहता है कि जिसको ज्यादा वोट मिले जीता ये परसेंटेज पे रहता है लेट्स से किसी एक्स पार्टी को 40 पर वोट्स मिले ओके एक्स पार्टी को मैं इसको एग्जांपल के तौर पर समझा रहा हूं किसी एक्स पार्टी को 40 पर वोट मिले वाय पार्टी को 30 पर मिले जड पार्टी को 20 पर वोट मिले तो टोटल लोकसभा में 40 पर मेंबर्स एक्स के रहेंगे 30 पर मेंबर्स वाई के रहेंगे और 20 मेंबर्स जड के रहेंगे ऐसा इजराइल नीदरलैंड पे ये चीजें चलती है इंडिया यूएस कनाडा पे फर्स्ट पास द फो सिस्टम चलता है ठीक है अब ये चीजें है अब इससे पता चल जाएगा कि भाई वोट्स वेस्ट नहीं होंगे सारे पार्टीज का रिप्रेजेंटेशन होगा ओके और इसके वजह से बहुत ज्यादा कोलिशन मिली जुली सरकार मेजॉरिटी में आना बहुत मुश्किल रहेगा गवर्नमेंट का ठीक है अब इसमें देखो तीन टाइप के होते हैं इन दोनों पर हमें ध्यान नहीं देना है सिंगल ट्रांसफरेबल वोट किस टाइप के रहते है जो हमारे प्रेसिडेंट के इलेक्शन में होता है ठीक है लेट्स से ए बी सी नाम के कैंडिडेट्स हैं जो कि प्रेसिडेंट के लिए ख खड़े हुए हैं और लेट्स से कि मैं मेंबर ऑफ पार्लियामेंट हूं मुझे अगर वोट करना है तो मेरा फर्स्ट प्रेफरेंस ए है सेकंड प्रेफरेंस बी सी है थर्ड प्रेफरेंस बी है मैं प्रेफरेंस ऑर्डर में वोटिंग दूंगा और जिसको सबसे ज्यादा फर्स्ट प्रेफरेंस ऑफ वोट मिलेंगे वो जीत जाएगा सिंपल टर्म्स में प्रेसिडेंट वाइस प्रेसिडेंट राज सभा के इलेक्शन हमारे इंडिया में ऐसे ही होते बाकी ये दोनों लिम मिक्स प्रोपोर्शन ये सब हमारे काम के नहीं है ठीक है आई होप थिंग्स आर मेकिंग सेंस एंड थिंग्स आर गेटिंग क्लियर ओके आगे चलते हैं पार्लियामेंट्री कमेटी क्या न्यूज प है क्या हमारे लिए वो जरूरी नहीं है ठीक है हमें ध्यान क्या रखना है दो टाइप की कमिटी होती है एडक कमिटी किसी स्पेसिफिक पर्पस के लिए बनाया जा रही है फॉर एग्जांपल अगर डिफेंस से रिलेटेड कोई वल लग गया तो डिफेंस की कमेटी बनेगी जरूरत पड़ने प और स्टैंडिंग कमिटी परमानेंट कमिटी रहती है हमेशा रहती है ठीक है कुछ कुछ कमिटी जो न्यूज पर पब्लिक अकाउंट कमिटी पब्लिक अकाउंट कमिटी सबसे पहले 1921 मोंटेग रिफॉर्म पर लाया गया था यूपीएससी का पीवा क्य है ठीक है 15 मेंबर लोकसभा से सा मेंबर राजसभा से यह गवर्नमेंट की ऑडिटिंग करती है अलोंग विद कैग ठीक है कैग के साथ गट के पूरे एक्सपेंडिचर खर्चे मिनिस्ट्री के एक्सपेंडिचर खर्चे के क्या करते हैं क्या करता है यह टोटल एक तरीके से उसकी ऑडिटिंग करती है कहीं नली तो नहीं हो रही क बोल बोल के गला ख जाता है ओके एस्टीमेट कमिटी सबसे ज्यादा मेंबर्स टोटल मेंबर्स लोकसभा से यह भी यूपीएससी का पीवा ठीक है यह भी सेम काम इस जैसे ही काम करते य जैसे ऑडिट का काम करता है ठीक है य चीज मिनिस्ट्री को गाइड करता है कि भाई पैसा सही जगह पर लग रहा है कि नहीं लग रहा है जिस पैसे को लेट्स से कि मनरेगा के लिए जो पैसा लगा रहे हैं तो क्या उसका पर्टिकुलर आउटकम लोगों को एंप्लॉयमेंट रोजगार मिल रही है कि नहीं मिल रही इन चीजों को यह प्रॉस चेक करता है ठीक है पार्लियामेंट्री कमेटी ऑफिशियल लैंग्वेजेस के लिए बस याद रखना कि होम मिनिस्टर इसको हेड करता है 30 मेंबर्स से 20 लोकसभा न राज्यसभा प्रवेज प्रिविलेज कमेटी रहता है ये काफी ज्यादा लगते ये कुछ भी मिसकंडक्ट मेंबर ऑफ पार्लियामेंट के मिसकंडक्ट से रिलेटेड रहता है ठीक है लोकसभा का अलग रहता है राज्यसभा का अलग रहता है ओके कैबिनेट कमिटीज मोस्ट ऑफ द कैबिनेट कमिटीज आ हेडेड बाय देखो कैबिनेट कमिटीज ये कांस्टिट्यूशन में मेंशन नहीं है ओके नॉट मेंशन इन कांस्टिट्यूशन इट इज अ यूपीएससी पवाई क्य इस टाइप की चीजों में ऐसी बारीक में फसाते है यूपीएससी ठीक है ऑलराइट अब देखो पॉलिटिकल अफेयर्स कमिटी इकोनॉमिक अफेयर्स कमिटी अपॉइंटमेंट कमिटी ये सब चेयर कौन करता है प्राइम मिनिस्टर ये हाईएस्ट डिसीजन मेकिंग बॉडी होती है अपने कंट्री की सिर्फ पार्लियामेंट अफेयर्स कमेटी एक कमेटी है जिसको होम मिनिस्टर हेड करता है यहां से इट इज अ प्रोबेबल क्वेश्चन जो आपके फ्री में बन सकता है ओनली कैबिनेट मिनिस्टर्स ही रहता है हालांकि नॉन कैबिनेट मेंबर्स भी इसके मेंबर्स बन सकते हैं ठीक है यह भी पी वाईक में पूछा गया ओके पार्लियामेंट्री सेक्रेटेरिएट जो मिनिस्टीरियल स्फ जो बाबू स्टाफ रहता है बाबू स्फ उसको अपन लोकसभा और राज्यसभा का सेपरेट बाबू स्फ रह बाबू समझते हो ना सेक्रेटरी ठीक है इस को भी कई जगह बड़ा बाबू ही बोलते हैं ल राइट अगर डीएम के बाद जब वो आ जाता है सेक्रेटरी जनरल दोनों हाउस के रहते हैं और हिज रैंक इ इक्वल टू कैबिनेट सेक्रेटरी जनरली ए आईस ऑफिसर ठीक है जनरली ए आईस ऑफिसर क्या फंक्शन है देखो डे टू डे एडमिनिस्ट्रेशन ठीक है सेक्रेटेरिएट असिस्टेंट पेपर वर्क करना ये सारे काम रहते तो इनको आपको एच पढ़ने की जरूरत नहीं है आप वैसे लोकसभा और राजसभा का अलग अलग रहता है ठीक है ओके अब सिंपल सी बात है देखो याद नहीं करना क्योंकि लोकसभा के जो सेक्रेटेरिएट के कौन मत कौन से रूल से गवर्न होंगे लोकसभा के रूल से और राज्यसभा के राज्यसभा के रूल से ठीक है इधर चेयरमैन से कंसल्टेशन े य प्रेइंग ऑफिसर सेर अब आता है कैबिनेट सेक्रेटरी अगर आप 21 के ज में आईस बन जाते हो और आपकी बहुत अच्छी पॉलिटिकल पकड़ रहती है तो आपको डायरेक्टली कैबिनेट सेक्रेटरी बनाया पीएम को राइट हैंड भी बोलते है एंड ही इ द एक्स ऑफिसर चेयरमैन ऑफ सिविल सर्विसेस बो कोई सेपरेट मिनिस्ट्री नहीं रहती बट हां यह कैबिनेट का कैबिनेट के डिसीजन इन सब के इंप्लीमेंटेशन का काम रहता है ठीक है ओके नाउ नेक्स्ट मम देखो ये चीज आपको स्टैटिक प ध्यान रखनी जितनी चीजें हाईलाइट कर रहा हूं बता रहा हूं वही काम की है ट्रस्ट मी टाइम वेस्ट बिल्कुल मत करना इस पे ओके नेक्स्ट इ प्रेस एडस टू पार्लिमेंट देखो प्रेसिडेंट क्या करता है जैसे ही दो दो दो केसेस में आपने सुना होगा मोशन ऑफ थैंक्स पास करता है मोशन ऑफ थैंक्स जैसे की कोई फर्स्ट सेशन ऑफ आफ्टर जनरल इलेक्शन इसमें मोशन ऑफ थैंक्स को पास करेगा एक थैंक स्पीच देता है उसम गवर्नमेंट ब्रॉडर आउटलाइन देता है कि भाई पा साल में यय करने वाले इट इ पुट टू वोट इस पर वोटिंग होती है और अगर वोटिंग में इसम मेजोरिटी नहीं आई तो सरकार गिर जा ट मीस गवर्नमेंट है लॉस्ट मेजॉरिटी और दूसरा होता है एट द बिगनिंग ऑफ एवरी फर्स्ट सेशन साल में तीन सेशन होते लेट से बजट सेशन मानसून सेशन कोई भी नया सेशन आता है तो प्रेसिडेंट की ओपनिंग एड्रेस होती है ठीक है आर्टिकल 86 क्या बोलता है बोथ हाउसेस के जॉइंट सेटिंग को एड्रेस करता है बट हालाकि अभी तक कोई जॉइंट सेटिंग हुई नहीं है सेपरेट एड्रेस ही करते है प्रेसिडेंट क्लियर ओथ ऑफ मेंबर्स य आपके थर्ड शेड्यूल में गिवन है एमपी एमएल कौन कंडक्ट कराता है ओथ प्रेसिडेंट क करवाते हैं देन प्रोसाइट ऑफिसर एनी 22 शेड्यूल लैंग्वेजेस में ओथ हो सकता है ओके अब देखो सिटीजनशिप सिटीजनशिप में आपको ध्यान क्या रखना है ओके व्हाट आर द वेज थ्रू विच सिटीजनशिप इज एक्वायर्ड बाय बर्थ बाय डिसेंट इसके पूर्वज लोग इंडिया में आके रहने लग गए थे पाकिस्तान अफगानिस्तान तिब्बत से आए थे रजिस्ट्रेशन नेचरलाइजेशन रजिस्ट अगर रजिस्ट्रेशन हुआ नेचरलाइजेशन एक स्टप टाइम पीरियड से ज्यादा अगर इंडिया में रहने लगे या फिर टेटो इनकॉरपोरेशन जैसे सिक्किम एक इंडिपेंडेंट कंट्री हुआ करता था 36 कांस्टिट्यूशन अमेंडमेंट एक्टस इट बिकम अ पार्ट ऑफ इंडिया तो उधर सिक्किम के सिटीजन वुड बी सेड टू बी सिटीजन ऑफ इंडिया है ना हमारे कोई ड्वे सिटीजनशिप नहीं था सिर्फ जम्मू एंड कश्मीर के मेंबर्स को मिला था बट आर्टिकल 370 हटाने के बाद सिर्फ सिंगल सिटीजनशिप है ठीक है सिटीजनशिप क्यों अमेंड किया जा रहा है ताकि इलीगल जो माइग्रेशन इंडिया में हो रहा है उसको चेक करने के लिए आसाम अकॉर्ड ठीक है इट कंफर्ड सिटीजनशिप टू माइग्रेटेड फ्रॉम ईस्ट पाकिस्तान टू आसाम इस डेट के अंदर-अंदर जो लोग आए हैं मतलब 24 मार्च 1971 के पहले जो लोग आए उन्ही सिटीजनशिप मिलेगी बाकी को सिटीजनशिप नहीं मिलेगा ठीक है और इससे रिलेटेड फॉरेनर्स ट्राइबल है ओके इसके पास पूरे सिविल कोर्ट के पार्ट है पावर रहते है टू डिसाइड कि किसी बंदे के पास सिटीजनशिप है क्या वो इंडिया के सिटीजनशिप है सिटीजन है कि नहीं है उससे रिलेटेड डॉक्यूमेंटेशन सारी चीज उसमें हमें डिटेल में जाने की जरूरत नहीं है ओके सिटीजनशिप अमेंडमेंट ल ठीक है अब इसके पहले हम देख लेते हैं सी 2019 में क्या चीज बोली गई थी इसमें ये चीज बोला गया था इल्लीगल माइग्रेंट्स इल्लीगल माइग्रेंट्स हु फुलफिल फोर कंडीशंस अ हु फुलफिल फोर कंडीशन विल नॉट बी ट्रीटेड एट इल्लीगल माइग्रेंट्स ठीक है इल्लीगल माइग्रेंट्स किसको नहीं बोलेंगे अगर वो ये रिलीजन के बेसिस पे था हिंदू सिख बुद्धिस्ट जैन पार्सी क्रिश्चियंस एंड दे माइग्रेटेड फ्रॉम अफगानिस्तान बांग्लादेश और पाकिस्तान जो कि इस्लामिक नेशन से जो 31 दिसंबर 204 के पहले आ चुके हैं उनको हम इंडिया की सिटीजनशिप दे देंगे इसका प्रोटेस्ट हुआ था कि मुस्लिम्स को क्यों नहीं इंक्लूड किया गया बोला गया था कि इट डिस्क्रिमिनेटरी एस पर आर्टिकल 14 ठीक है तो यह अलग ही बहुत बड़ा इशू हुआ था गवर्नमेंट नहीं बोला था कि भाई देखो क्योंकि ये आ रहे हैं मुस्लिम मेजॉरिटी नेशन ही आ रहे दे आर नॉट माइनॉरिटी मुस्लिम इन तीन नेशन में माइनॉरिटी नहीं है ठीक है हालाकि ये दूसरे जगह की बात है दूसरे टॉपिक में चले जाएंगे अभी अपन टॉपिक में कन्फाइंड रहते हैं ओके तो इनका नेचरलाइजेशन पीरियड जो 11 साल मिनिमम रहने का कंडीशन था इंडिया की सिटीजनशिप के लिए उसको रिड्यूस करके 5 साल कर दिया गया ठीक है अब देखो इसमें एक और क्या बोला गया कि सेंट्रल गवर्नमेंट के पास ओवरसीज सिटीजन ऑफ इंडिया को कैंसिल करने के फाइव ग्राउंड्स दे दिया यह बेसिक है फ्रॉड करे ग अगर कांस्टिट्यूशन में कुछ किया एनिमी को को मतलब हेल्प किया सोरे सोनि ऑफ इंडिया को चैलेंज किया दो साल से ज्यादा की स सजा है अगर ऐसी कुछ चीजें हुई तो ओवरसीज सिटीजन कार्ड जो रहता है उसको कैंसिल कर देंगे अब सवाल य आता है कि ओवरसीज सिटीजन होते कौन है भाई मान के चलो मेरे पिताजी अमेरिका चले गए थे कहीं बाहर चले गए थे मैं मैं अमेरिका में पैदा हुआ तो मैं यूएस का सिटीजन बट हां क्योंकि मेरा ओरिजिनेशन इंडिया का है समझना मेरी बात को क्योंकि मेरा ओरिजिनेशन इंडिया का है तो आई वुड बी कंसीडर्ड एस ओवरसीज सिटीजन ऑफ इंडिया क्लियर आई होप इट्स क्लियर ठीक है ओके तो देखो ओवरसीज सिटीजन के ऊपर एक अमेंडमेंट आया था इसके ऊपर अभी अपन डिटेल में डिस्कस करेंगे जस्ट गिव मी मिनट अभी हम इस 24 वाले रूल्स को देख लेते हैं जस्ट सी द रूल्स ऑफ 20 ओके लेट्स डिस्कस आई होप वॉइस इज क्लियर ठीक है हम डिस्कस करते हैं देखो इसमें आपको बहुत डिटेल में जाने की जरूरत नहीं है ठीक है सिटीजनशिप के जो 1955 के रूल्स को था उसको अमेंड किया था ठीक है और ये 2019 जो सीए को अमेंड किया गया है ओके टू अप्लाई सिटीजनशिप बाय रजिस्ट्रेशन के लिए येय ये कंडीशंस है पर्सन ऑफ इंडियन ओरिजिन माइनर ठीक है बस एक जनरल आईडिया रखना ओके जनरल आईडिया रखना 20 डॉक्यूमेंट की बात की है ओके और गवर्नमेंट के पास पूरी पावर्स है इसको रिव करने की बाकी इन सब डिटेल्स में आपको जाने की जरूरत नहीं है मेन जो मैंने यहां पे बताई 2019 वाले को याद रखना ओके अब ओवरसीज सिटीजंस ऑफ इंडिया जो मैंने बताया था ओके इसमें कुछ-कुछ चेंज किए गए थे 2015 में जो पर्सन ऑफ इंडियन ओरिजिन और ओसीआई कार्ड होल्डर्स को मर्ज कर दिया गया था ओके पहले दो अलग-अलग कैटेगरी में आया करते थे अब देखो एलिजिबिलिटी ऑफ ओसीआई कार्ड होल्डर्स कौन-कौन ओसीआई के कार्ड होल्डर्स होते हैं इनका एक जनरल आईडिया लेना है कोई सिटीजन ऑफ इंडिया था कुछ कुछ डेट है मैं बिल्कुल नहीं बोल रहा कि इसको रिमेंबर मत करना बट जस्ट अ जनरल आईडिया कि ये ग्रैंड चिल्ड्रन होगा माइनर चाइल्ड होगा ये सब एक बार इसको पीडीएफ से रीड कर लेना ठीक है जस्ट रीड इट क्या-क्या बेनिफिट्स होंगे जस्ट टेक अ जनरल आईडिया पढ़ने की जरूरत नहीं पर आपको पढ़ना क्या है कि बाकी सारे राइट्स इनके पास ते जो कि एक इंडिया के सिटीजन के पास रहते हैं बट कुछ-कुछ इनमें एक्सेप्शन रहते हैं दे डू नॉट हैव राइट टू वोट बट एनआरआई नॉन रेसिडेंट इंडियंस के पास राइट्स रहते हैं हु आर एनआरआई पीपल लेट्स से ऑफिसर्स ऑफ मर्चेंट नेवी भाई देखो वो होते तो इंडियन ही है बट 6 महीने से ज्यादा पीरियड के लिए वो जहाज में रहते हैं इंडिया के बाहर रहते हैं तो दे आर इंडियंस बट दे आर नॉन रेसिडेंट ठीक है अब ओवरसीज सिटीजंस ऑफ इंडिया ये तो मैंने बता दिया ये क्या होता है ये इंडियंस ये बेसिकली इनके रूट्स इंडियस होते बट ये रहते टोटली बाहर ओके तो एनआरआई के पास वोटिंग राइट्स है ओसीआई के पास वोटिंग राइट्स नहीं है कॉन्स्टिट्यूशन पोस्ट गवर्नर वाइस प्रेसिडेंट जज यह सारे पोस्ट नहीं ले सकते हैं एमपी एमएलए नहीं बन सकते ठीक है आर्टिकल 16 इक्वल अपॉर्चुनिटी इन सब में मतलब एंप्लॉयमेंट अपॉर्चुनिटी नहीं मिलेगी ओके माउंटेनियरिंग रिसर्च किसी ऐसी जगह में जर्नलिज्म करना है तो इनसे गवर्नमेंट से स्पेशल अप्रूवल लेना ये कुछ एक्सेप्शन को याद रखना बाकी तो सारी जनरल चीज रिजवे एफर्मेशन ये सारी चीजें देखो ये पूरी स्टैटिक लक्ष्मीकांत से रिजर्वेशन प्रोविजंस क्या है कोटा सिस्टम ये सब पूरे लक्ष्मीकांत से आर्टिकल 141 हम वहीं से पढ़ेंगे यहां पे किश्तों में दिया हुआ है यहां पे पढ़ने का कोई मतलब नहीं है ठीक है ओके दिस इज इंपॉर्टेंट जो चीजें मैं बताऊंगा वही मार्क करना है सुप्रीम कोर्ट ने वर्डिक्ट दिया था जैसे ओबीसी में क्रीमी लेयर रहता है ठीक है ओबीसी को रिजर्वेशन दिया गया पर बोला गया कि जिनकी इनकम 8 लाख की ऊपर है वो क्रीमी लेयर में आ जाएंगे ओबीसी के और उनको रिजर्वेशन के बेनिफिट्स नहीं मिलेंगे द सेम कोर्ट ने क्या बोला कि एससी एसटी के लिए भी रहेगा ओके मेनली एससी के लिए रहेगा ठीक है अब एससी के लिए ये चीज बोली गई है अभी एससी के लिए है कि भाई लेट्स से कि जो तीन जनरेशन चार जनरेशन से आईस पापा भी आईएस दादाजी भी आईएस सब आईएस आईएस बने आ रहे तो बच्चों को क्यों रिजर्वेशन चाहिए तो एससी में भी क्रीमी लेयर की एक मतलब बोलते है ना ड गाइडलाइंस लेके आओ केस का नाम क्या दविंद्र सिंह केस इंपोर्टेंट नाम याद रख लेना ठीक है अब ये जजमेंट में क्या था सिर्फ आपको अभी इतना याद रखना है कि इसमें बोला है गवर्नमेंट को बोला है कि भाई आप क्रीम लेयर की चीजें लेके आ जाओ ओके अब ये हेट्रो जनि आर्टिकल 341 क्या बताया था कि भाई शेड्यूल कास्ट में भी बहुत सारे सब लेयर्स होते हैं ठीक है बहुत सारे डिफरेंट डिफरेंट मतलब अलग-अलग कास्ट होते हैं कोई ज्यादा डेवलप रहता है कोई कम डेवलप रहता है तो जो ज्यादा डेवलप कास्ट है उनको रिजर्वेशन नहीं देना है आर्टिकल 341 सब क्लॉज ये क्या बोलता है प्रेसिडेंट कौन सा कास्ट शेड्यूल कास्ट के अंदर आएगा वो स्पेसिफाई करेगा किसी स्टेट और यूनियन टेरिटरी में और सब क्लासिफिकेशन आर्टिकल 3412 को किसी तरीके से भी वालेट नहीं करता है ठीक है पर 3412 क्या बोलते है कि पार्लियामेंट के पास पावर है कास रेस या आप किसी भी ट्राइब को एससी के लिस्ट से वो बाहर निकाल सकते हैं ठीक है बाहर निकाल सकते हैं तो यह सब क्लासिफिकेशन बोल रहे हैं ना कि भाई अगर क्रीमी लेयर डाल रहे हो तो यह आर्टिकल 3412 को किसी भी टाइप से वायलेट नहीं करेगा और द बेनिफिट ऑफ रिजर्वेशन एक् जिसके लिए इंटेंडेड है क्योंकि देखो कुछ प्रॉस्परस कम्युनिटी है वो रिजर्वेशन का बेनिफिट जनरेशन से लेते हुए आ रहे है तो जिनको एक्चुअल जरूरत है द पीपल हु आर इंगेज इन मैनुल स्कैवेंजिंग बैकवर्ड लोग उन तक रिजर्वेशन पहुंच नहीं पा रहा तो एक्चुअल बेनिफिट उनको मिलेगा अब इसका एनालिसिस क्या है कैसा है वो मेंस के पर्सपेक्टिव से रहता पकली यही हमें इंपॉर्टेंट है ठीक है अब कुछ कुछ इंपोर्टेंट जजमेंट हम देख लेते हैं इंदरा सहानी केस से ओबीसी का क्रीमी लेयर आया था और इने क्या बोला था कि इकोनॉमिक बेसिस पर रिजर्वेशन नहीं दी जाएगी ठीक है जनेल सिंह केस ने यह बोला था कि भाई सब क्लासिफिकेशन क्रीमी लेयर वाला आर्टिकल 341 और 342 को किसी भी तरीके से टिंकर नहीं करेगा जो ऊपर भी अपन ने देखा था ठीक है अब 2004 में एक डि वर्डिक्ट था सुप्रीम कोर्ट का ईवी चनिया केस सब क्लासिफिकेशन ऑफ एससी ऑफ शेड्यूल कास्ट अमाउंटेड टू टिंकरिंग विद प्रेसिडेंट लिस्ट एंड देर फोर लेटिव ऑफ आर्टिकल 3412 क्या बोल रहा है 3412 ने क्या बोला था 3412 ने कि पार्लियामेंट किसी को भी एक्सक्लूड कर सकता है तो नैया केस ने बोला था कि नहीं ये ऐसा अगर एक्सक्लूड करेगा कोई मतलब कोर्ट यहां प प्रेसिडेंट एक्सक्लूड करेगा तो 342 को वॉलेट करेगा बट कोर्ट ने दव सिंह केस में इसको रिवर्स कर दिया बोल दिया कि भाई अगर आप किसी भी जो डेवलप शेड्यूल कास्ट है उसको आप एक्सक्लूड करोगे रिजर्वेशन से क्रिम लेल प लेके आओगे तो ये किसी भी चीज का वायलेशन नहीं रहेगा तो दैट मींस ईवी चिन्नया केस को रिवर्स किया जा चुका है ठीक है आई होप इट्स क्लियर डाउट है तो हम डाउट सेशन ले लेंगे कोई करनी बट जितना बता रहा हूं उतना ही फोकस करना है ओके मूविंग फॉरवर्ड यूनिफॉर्म सिविल कोड ठीक है यूनिफॉर्म सिविल कोड हमारा आर्टिकल 44 ऑफ इंडियन कॉन्स्टिट्यूशन में गिवन है डीपीएसपी में कि सबके लिए मैरिज वे ऑफ लिविंग सबके लिए इक्वल लॉस टाइप के होंगे सबसे पहले लेक्स लॉक्सी रिपोर्ट ब्रिटिशर्स के टाइम प आए थे ठीक है बीएन राव कमेटी ने इक्वल राइट्स फॉर वूमन की बात की थी इसमें ठीक है यूनिफॉर्म सिविल कोर्ट सारे रिलीजन के लिए होगा चाहे हिंदू मुस्लिम सारी चीजें सबके लिए सेम लॉज होंगे ओके बस आपको इतना चीज याद रखना है इसी के तहत ठीक है जो ट्रिपल तलाक यह सारी चीजें इसी के तहत हटाई गई है अभी ओके शायरा बानो केस जो आपने सुना होगा अभी चीफ मिनिस्टर ऑफ उत्तराखंड ने इसको लागू किया है इसके पहले गोवा में यह लागू हो चुका है ठीक है ओके नेक्स्ट वी आर गोइंग टू टॉक अबाउट प्लेसेस ऑफ वशिप एक्ट अब देखो प्लेसेस ऑफ वर्कशिप ए एट क्या बोलता है अभी जैसे हो रहा है ना कि बहुत सारे जो लोअर जुडिशरी में केसेस जादा बोलते कि भाई ये पहले हिंदू मंदिर हुआ करता था मुस्लिम इसके जगह केसेस चल तो सुप्रीम कोर्ट ने फर्द नोटिस तक बोला कि कोई भी लोअर कोर्ट इस टाइप के पेटीशन को एंटरटेन नहीं करेगा प्लेसेस ऑफ वशिप एक्ट क्या बोलता है कि कोई सा भी रिलीजियस एरिया 1947 के टाइम प जो उसका डोमिनेशन रहेगा लेट्स से वो मस्जिद है मंदिर है जो है तो वही वो कंटिन्यू करेगा ठीक है उसको कोई चेंज नहीं करेंगे बट इसमें कुछ कुछ एसेंशन है जैसे कि अयोध्या आर्कलॉजिकल साइट्स अगर आर्क को प्रूव हो रही कि भाई य पर मस्जिद की जग मंदिर है तो व इसमें कुछ कुछ एक्सेप्शन रहेंगे ठीक है और बाकी सेंट्रल गवर्नमेंट डिक्लेयर कर सकती है नाउ लेट्स टॉक अबाउट द प्रीवेंटिव डिटेंशन दिस इ वेरी इंपोर्टेंट टॉपिक प्रीवेंटिव डिटेंशन ऑन द बेसिस ऑफ सपे सि शक के कटघरे पर शक के आधार पर ही भले ही उस इंसान ने कोई क्राइम कमिट नहीं किया हो आप उसे अरेस्ट कर सकते हो सबसे पहले अंग्रेजों ने लगाया था 1950 में डिफेंस ऑफ इंडिया के त लराट जसीला शाहजी केस में यह बोला था कि भाई जो डिटेन जिसको डिटेन करते है उसका भी कुछ पॉलिटिकल राइट्स उनको भी मिलना चाहिए ठीक है अब हम प्रिवेंट डिटेंशन के बारे में थोड़ा सा देख लेते हैं क्या क्या राइट्स रहते प्रीवेंटिव डिटेंशन में पर्सन हैज टू बी गिवन ठीक है उनको बताया जाना चाहिए कि भाई किस बेसिस पर उनको अरेस्ट किया जा रहा है और मैक्सिमम तीन महीने तक के लिए अरेस्ट कर सकते हैं ठीक है मैक्सिमम तीन महीने के लिए अरेस्ट कर सकते हैं उसके बियोंड अगर एक्सटेंड करना है तो हाई कोर्ट के जंड ब्यूरोक्रेट्स के बोर्ड से परमिशन लेनी पड़ेगी कमेटी बनाई जाती है ठीक है ठीक है यह सारी कुछ कुछ चीजें हैं ओके अब हां जो प्रिवेंट डिटेंशन जिनके पास रहते है उनके पास राइट टू वोट की पावर रहती है ओके दे हैव राइट टू वोट पावर राइट टू वोट पटव डिटेंशन वालों के पास पावर नहीं रहते यह कुछ कुछ लॉज है कोफे पोसा आप इसको देख सकते हैं ठीक है किन-किन कंडीशंस में प्रिवेंट डिटेंशन लग सकता है सिक्योरिटी देखो इसमें बेटर बताता हूं मैं यहां पे बेटर समझाता हूं ठीक है देखो कुछ-कुछ ये इंडियंस एंड फॉरेनर्स दोनों के पास ये कुछ-कुछ चीजें अवेलेबल रहती है ठीक है प्रिवेंट डिटेंशन के जो भी इम्युनिटी है कि भाई लीगल रिप्रेजेंटेशन का चांस मिलेगा ऑलराइट अब देखो पार्लियामेंट इस पे लॉ बना सकता है प्रिवेंट डिटेंशन से रिलेटेड अगर इंडिया के डिफेंस फॉरेन अफेयर्स और सिक्योरिटी ऑफ इंडिया वॉलेट हो रहा है पार्लियामेंट प्लस स्टेट दोनों ही लॉ बना सकते हैं पीएस याद रखना पब्लिक ऑर्डर अगर वायलेट हो रहा है अगर कोई इंसान एसेंशियल सर्विसेस है सिक्योरिटी स्टेट को वालेट कर रहा है ये कंडीशंस आप याद रखना इट वुड बी मोर देन इनफ ट्रस्ट मी इट वुड बी वेरी मच मोर देन इनफ ठीक है ओके आगे चलते हैं जुडिशल प्रोनाउंसमेंट आ नॉट इंपोर्टेंट पर्सनालिटी राइट्स प बस आपको एक चीज याद रखनी है फॉर एग्जांपल शाहरुख खान है एसआर के आप शाहरुख खान के आपने एआई का यूज करके उसके फेस को यूज करके उसके वॉइस को यूज करके आप कुछ फेक फेक मैसेज यूज आप कुछ फेक मैसेज स्प्रेड कर रहे हो उसके नाम को लेके आप कुछ फेक मैसेज कुछ अपना पर्सनल प्रमोशन कर रहे हो तो इससे पर्सनालिटी राइट्स आ जाएगा विदाउट शाहरुख खान कंसेप्ट ठीक है तो इसके वजह से राइट टू प्राइवेसी वायलेंट हो जाएगा हालांकि इंडिया में कोई स्पेशल लॉ नहीं है इंडिया में इससे रिलेटेड दो लॉज है एक राइट टू प्राइवेसी आर्टिकल 21 पुट्टापर्थी आइट से शाहरुख खान की किसी आप लेट्स से सिग्नेचर का गलत यूज कर रहे हो शाहरुख खान की किसी स्टाइल का गलत यूज कर रहे हो ठीक है शाहरुख खान आप पे डिफेमेशन केस सूट कर सकता है हालाकि इंटरनेशनल में भी कोई एक्सप्लिसिट ट्रीटी वगैरह नहीं है बस इससे रिलेटेड रोम कन्वेंशन ठीक है ट्रिप्स एंड डब् का डब्लू पीओ का बस एक इनका नाम पता होना चाहिए ओके बाकी कुछ कुछ केसेस है नॉट ट इंपोर्टेंट फोमो ना हो जाए इसलिए देख लेना फोमो नहीं करना बाकी इन सब चीजों पर ज्यादा ध्यान नहीं देना ओके एनिमी प्रॉपर्टी एनिमी प्रॉपर्टी एनिमी कंट्रीज में कौन आता है पाकिस्तान ए इनकी कोई भी प्रॉपर्टीज ध्यान से सुनना मेरी बात को इनकी कोई भी प्रॉपर्टीज को गवर्नमेंट लेकर लामी कर सकती है एमी प्रॉपर्टीज और कौन स मिनिस्ट्री नोडल मिनिस्ट्री रहती है मिनिस्ट्री ऑफ होम अफेयर्स ओके व्हाट इज राइट टू फॉरगॉटेन ध्यान से सुनना व्हाट इज राइट टू बी फॉरगॉटेन ओके समझना देखो लेट्स से कि मैंने अपने डेटा किसी एक्स नाम के कंपनी को दिया ओके एक्स नाम के कंपनी को दिया अब जैसे उस कंपनी को मेरे डाटा का काम हो गया ठीक है मैं उस कंपनी से बोलूंगा भाई अब आप मेरे डाटास को इरेज करो अगर नहीं करोगे तो मैं आपके आर्टिकल 21 के अंदर राइट टू प्राइवेसी पट्टा स्वामी केस सुप्रीम कोर्ट का जजमेंट है राइट टू प्राइवेसी के अंदर मैं आपके अगेंस्ट केस कर सकता हूं ठीक है ट इज राइट टू बी फॉरगॉटेन बट हालांकि एब्सलूट राइट नहीं है अगर कोई रिसर्च करना है कोई नेशनल सिक्योरिटी की बात है कोई गवर्नमेंट एजेंसी आपके डाटा है तो जरूरी नहीं है कि वो इरेज करें ठीक है प्राइवेट वालों के लिए बिल्कुल वैलिड रहता है ओके द नेक्स्ट टर्म इज इनर लाइन परमिट कहां-कहां अभी नागा के कुछ डिस्ट्रिक्ट्स में लगाया गया है ओके जस्ट रिमेंबर द नेम ऑफ दिस डिस्ट्रिक्ट्स समझ आईएपी सिंपल से देखो सबसे पहले ब्रिटिशर्स लेके आए ते बंगाल ईस्टन फ्रंटियर प्रोवेशन एक्ट लेट्स से ब्रिटिशर्स का क्या मोटिव था कि नॉर्थ ईस्ट के पहाड़ी एरिया में जो नेशनलिज्म फ्रीडम फाइटर्स के आइडियाज को नहीं आने देने अब उनके आईडियाज कैसे आएंगे जब वो खुद चलके इस टेरिटरी में आएंगे ठीक है व्हेन दे देम सेल्फ विल कम टू दिस टेरिटरी तो इनके आने के रिस्ट्रिक्शन के लिए ब्रिटिशर्स ने लगाया था इनर लाइन परमिट इनर लाइन परमिट में किसी भी इंडियन सिटीजन को अगर किसी एक कोई एक एरिया है एक्स एक्स नाम के एरिया में जाना है तो उसको वहां के कॉम्पटन अथॉरिटी से परमिट लेनी पड़ेगी अगर परमिट नहीं लोगी तो आप इस एरिया में नहीं घुस सकते अगर घुसो ग तो आपको सजा हो जाएगी ठीक है तो ये कौन-कौन से एरियाज में लगते हैं स्पेशली ट्राइबल एरियाज में ताकि उनके कल्चर को प्रोटेक्ट किया जा सके चार स्टेट्स नाम याद रखना अरुणाचल प्रदेश मिजोरम नागालैंड एंड मणिपुर ठीक है ठीक है तो बस आपको इतनी चीज याद रखनी है ओके प्रोटेक्टेड एरिया य फॉरेनर्स मतलब एक के अंदर अलग नाम हो जाता है इसको नहीं भी पढ़ोगे तो भी चलेगा फम नहीं हो जाए तो काम की चीज मैंने बता के रख इसम ठीक है ओके अब सेंटर अगला टॉपिक हमारा सेंटर स्टेट रिलेशन ओके सेंटर स्टेट रिलेशन इट इ मोस्टली स्टिक लक्ष्मीकांत बहुत अच्छे से गिवन है ब रिवेंट चीज आपको बता देता हूं ठीक है सेवन शेड्यूल में डिस्ट्रीब्यूशन है लिस्ट सिस्टम गिवन है लक्ष्मीकांत के एंड में एंड में जो अपेंडिक्स है लिस्ट जो मतलब टेबुलर फॉर्म में गिवन है हर साल वहा से दो से तीन क्वेश्चन आएगा उसको ध्यान से पढ़ के जाना याद से पढ़ के जाना जीएसटी काउंसिल बनाया गया आर्टिकल 279 ए के तहत जो सेंटर और स्टेट में रेवेन्यू शेयरिंग के बारे में डिसाइड करेगा और फाइनेंस कमीशन बनाया गया है जो रिकमेंड करेगा कि सेंटर और स्टेट में कितना शेयरिंग होना चाहिए अच्छा फाइनेंस कमीशन इ अ वेरी इंपोर्टेंट कांस्टीट्यूशनल बॉडी ठीक है हर पा साल में प्रेसिडेंट कांस्टीट्यूट करता है आर्टिकल 380 के तहत पे इसका बेसिक काम क्या रहता है इट इज एन एडवाइजरी बॉडी इट इज एन एडवाइजरी बॉडी इसका काम क्या रहता है कि सेंटर को बोलता है कि आप टोटल जो टैक्स कलेक्ट करते हो उसका 41 पर 15 फाइनेंस कमीशन ने क्या बोला उसका 41 पर आपको स्टेट के साथ शेयर करना है ठीक है और किस बेसिस में किस स्टेट को कितना मिलेगा उसके बेसिस पे क्राइटेरिया होता है ठीक है क्राइटेरिया क्या होता है कि देखो देखो इनकम डिस्टेंस लेट्स से कि नेशनल इनकम x है किसी स्टेट का जो स्टेट इनकम हो गया स्टेट इनकम y हो गया तो ये उसका कितना डिफरेंस होगा जिसका जितना ज्यादा डिफरेंस होगा उसको सेंटर उतना ज्यादा पैसा देगी तो जो शेयरिंग का जो फार्मूला 45 जो स्टेट के इनकम डिस्टेंस को दिया गया एरिया 15 पर पॉपुलेशन 2011 सेंशर्स के हिसाब से डेमोग्राफिक परफॉर्मेंस मतलब कितना स्किल डेवलपमेंट ये सब कितना की जा रही है कितना पॉपुलेशन कंट्रोल मेजर्स लिए जा रहे हैं जो जितना बेटर परफॉर्म कर रहा है एजुकेशन स्किल डेवलपमेंट उसको उतना पैसा मिलेगा फॉरेस्ट कवर जिस स्टेट ने जितना ज्यादा फॉरेस्ट कवर बढ़ाया उसको उतना पैसा मिलेगा एंड टैक्स एंड फिस्कल एफर्ट्स कि टैक्स चोरी जहां प कितनी कम हो रही है टैक्स एफिशिएंसी कितना है उस बेसिस प उतना पैसा मिलेगा इन क्राइटेरियास के बेसिस प स्टेट को कैसा मिलता है जो बेस्ट परफॉर्म करते है उसको ज्यादा पैसा मिलता है यू नीड टू रिमेंबर दिस क्राइटेरिया ओके ओके मूविंग फॉरवर्ड इसके अलावा ग्रांट नीड होता है ठीक है सेंट्रल स्टेट को अ ग्रांट नेट देता है जिसमें स्टेट को वापस नहीं करना पड़ता है ओके बोरोंग यूनियन गवर्नमेंट इंडिया से और इंडिया के बाहर से भी बोरो कर सकता है बट स्टेट गवर्नमेंट सिर्फ इंडिया से बाहर बोरो करता है बट कुछ केसेस में अब्रॉड से भी बोरो कर सकता है ओनली व्हेन गवर्नमेंट ऑफ इंडिया अगर गारंटी प्रोवाइड करती है ओके फाइनेंस कमीशन जो मैंने बताया रेवेन्यू शेयरिंग सेंटर एंड स्टेट के बीच में होता है तो हर पाच साल में बनता है और एडवाइजरी रहता है चेयरमैन कौन रहता है जिसको फाइनेंस के मैटर में एक्सपर्टाइज्ड हाई कोर्ट का जजेस का एक मेंबर रहता है ठीक है आई विल मेक अ वीडियो जहां पर मैं सारे कॉन्स्टिट्यूशन बॉडीज सारे के सारे कॉन्स्टिट्यूशन बॉडीज को आई विल कवर ठीक है विद इन 30 मिनट्स सारे कॉन्स्टिट्यूशन बॉडी को डिटेल में करवा दूंगा ओनली अगर आप कमेंट सेक्शन में डिमांड करते हो तो ठीक है ओके सो यह स्टेट के कुछ कुछ रेवेन्यू के सोर्सेस हो गए हालांकि इकोनॉमी का टॉपिक है इट कम्स अंडर डोमेन ऑफ इकोनॉमी स्टेट पैसा कमाती इनकम टैक्स हो गया प्रॉपर्टी टैक्स हो गया सर्विसेस जो स्टेट प्रोवाइड करती है उन सब से पैसा आता है ठीक है सेंटर का जो टैक्स शेयरिंग रहता है नॉन टैक्स रेवेन्यू कैसा है लेट्स से कि कहीं पे डिस इन्वेस्टमेंट किया कोई स्टेट का पीएस वो प्रॉफिट लाके दे रहा है कोई एडमिनिस्ट्रेटिव फी जैसे ड्यूटी फी स्म फी लेती है वो कलेक्ट करता है और यूनियन गवर्नमेंट ग्रांट देता है डिजास्टर लोकल बॉडीज और रेवेन्यू डेफिसिट को पूरा करने के लिए जो ग्रांट देता है ठीक है ये इकोनॉमी में डिटेल में डील होगा ये वाला टॉपिक है ना ओके अब हम बात करेंगे न्यूज़ में बहुत ज्यादा है कि बिहार और आंध्र प्रदेश स्पेशल कैटेगरी में आने की बात करें स्पेशल कैटेगरी में आने से फायदा क्या होता है कि सेंटर से पैसा ज्यादा मिलता है ओके 90 पर ग ग्रांट सेंटर से मिलता है 10 पर किसी भी स्कीम के लिए इनको कंट्रीब्यूट करना पड़ता है फर्स्ट इंट्रोड्यूस कब किया गया था फिफ्थ फाइनेंस कमीशन ने इसको इंट्रोड्यूस किया था ठीक है स्पेशल कैटेगरी इसमें आप एक नाम याद रखना गाडगिल मुखर्जी फार्मूला इन्होने एक फॉर्मूला दिया था क्या फॉर्मूला था इसमें हमें जाने की जरूरत नहीं है कुछ कुछ क्राइटेरियास थे इसमें ठीक है कि ट्राइबल पॉपुलेशन होना चाहिए हिली स्टेट होना चाहिए बॉर्डर एरियाज होना चाहिए अनवायबल स्टेट फाइनेंस रिसोर्सेस होना चाहिए जैसे मिनरल्स ये सारी चीजें नहीं होना चाहिए ये चार पांच कंडीशन से अगर होते तो स्पेशल कैटेगरी मिल जाता है ओके कौन-कौन से स्टेट्स आते हैं जम्मू कश्मीर पहले स्टेट था पर अभी तो यूटी हो चुका है नॉर्थ ईस्ट के आठों स्टेट आसाम नागालैंड ओके नॉर्थ ईस्ट के सारे स्टेट्स आ गए ठीक है सिक्किम त्रिपुरा ये सारी चीजें आ गई जो स्टेट्स हो गए अपार्ट फ्रॉम दैट हिमाचल प्रदेश एंड उत्तराखंड बिकॉज ऑफ ली एरिया ली एरिया में एग्रीकल्चर इकोनॉमिक रिसोर्सेस नहीं होती ना तो उसको कंपनसेशन के लिए सेंटर ज्यादा पैसा देता है अब यही चीज बिहार एंड आंध्र प्रदेश को डिमांड कर रही है आंध्र प्रदेश क डिमांड कर रही है तेलंगाना से अलग होने के बाद ओके यह देखो यह कुछ कुछ क्राइटेरिया है स्पेशल कैटेगरी के लिए ली एरिया लो पॉपुलेशन डेंसिटी हाई ट्राइबल पॉपुलेशन हो गया स्ट्रेटेजिक लोकेशन बॉर्डर वगैरह में है इकोनॉमिक बैकवर्ड है नॉन वायबल नेचर ऑफ फाइनेंस जैसे टैक्स कुछ भी नहीं आ र ठीक है ये क्राइटेरिया हो गए जो मैं ये बता रहा था ऊपर ओके सिक्स शेड्यूल दिस इज अ वेरी वेरी वेरी इंपोर्टेंट टॉपिक इसको जितने स्टार मार्क करना है कर लो ठीक है न्यूज में क्यों है क्योंकि सिक्स शेड्यूल की डिमांड लद्दाख कर रही है अब क्यों नहीं दे पाएंगे इन्ह हम क्योंकि देखो यह तो एक बॉर्डर लोकेशन है इंडो चाइना एलसी लगता है पहला और दो मेजर पॉपुलेशन है मुस्लिम एंड बुद्धिस्ट तो कंफ्रे हो जाएगा ठीक है सिक्स शेड्यूल किसने रिकमेंड किया था बडोली कमेटी ओके अब देखो सिक्स शेड्यूल में क्या बनाया जाता है एक ऑटोनोमस डिस्ट्रिक्ट काउंसिल बनाया जाता है ओके एंड ऑटोनोमस डिस्ट्रिक्ट काउंसिल इज बीइंग फॉर्म इस ऑटोनोमस डिस्ट्रिक्ट काउंसिल में होता क्या है चार मेंबर्स गवर्नर नॉमिनेट करते हैं 26 इलेक्ट करते हैं इनका बेसिक काम क्या रहता है अपने जो भी एरिया सिक्स शेड्यूल के अंदर आते हैं कौन-कौन से एरियाज आते हैं सिक्स शेड्यूल के अंदर 80 एमएम याद रखना आम मेघालय त्रिपुरा ए मिजोरम इनके कुछ-कुछ एरियाज जहां पर ट्राइब्स की बहुत ज्यादा पॉपुलेशन होती है उनको सेल्फ गवर्नेंस दिया जाता है ठीक है जैसे फॉरेस्ट मैनेजमेंट एग्रीकल्चर ठीक है पावर टू कलेक्ट रेवेन्यू एजुकेशन सारी चीजें पावर्स इनको दिए जाते हैं ठीक है इन कंसल्टेशन विद द गवर्नर और ये रिपोर्ट किसको करते हैं गवर्नर को मतलब स्टेट गवर्नमेंट का किसी टाइप का इंटरफेरेंस इन ऑटोनोमस डिस्ट्रिक्ट काउंसिल्स में नहीं होता है बेसिकली यह ऑटोनॉमी दी जाती है सेल्फ गवर्नमेंट्स के लिए ठीक है ओके मूविंग फॉरवर्ड ओके अब देखो फिथ एंड सिक्स शेड्यूल के बीच में कंपेरिजन बता देता हूं मैं आप लोग को ठीक है फ देखो यहां प भी कुछ चीजें बताऊंगा फि शेड्यूल क्योंकि बहुत इंपोर्टेंट टॉपिक है इट इज अ वेरी इंपोर्टेंट टॉपिक तो इसको भी मैं यहां पर आई वुड बी डिस्कसिंग दिस इन वेरी वेरी डिटेल जस्ट मिनट ओके अब देखो य फिफ शेड्यूल क्या रहता है ठीक है दे बार कमेटी ने रिकमेंड किया था प्रेसिडेंट के बर्डर से क्रिएट करता है प्रेसिडेंट गवर्नर से कंसल्ट करता है और ये किसी भी एक स्टेट में टोटल अभी 10 स्टेट है जहां पर कंसीडरेबल ट्राइबल पॉपुलेशन जिस एरिया में रहते है उसको फिफ्थ शेड्यूल के अंदर ले ले आ जाता है और इस पर्टिकुलर एरिया में लेट्स से मध्य प्रदेश का कोई एरिया हो गया सिंगरोली वहां पर गवर्नेंस के लिए ट्राइब्स एडवाइजरी काउंसिल बनाई जाती है जिसके 34 मेंबर शेड्यूल ट्राइब के मेंबर ऑफ लेजिस्लेटिव असेंबली होते हैं बाकी मेंबर्स को गवर्नर नॉमिनेट करता है ठीक है अब इसमें क्या होता है स्टेट का लिमिटेड पावर रह जाता है इस ट्राइब एडवाइजरी इन फि शेड्यूल के एरिया में इंटरनल के लिए गवर्नर डिसाइड करता है कि पार्लियामेंट ए स्ट लेचर के कौन ककन से लॉज य पर लगेंगे कहां पर नहीं लगेंगे ठीक है और गवर्नर इस चीज के लिए रिपोर्ट किसको देता है किसको देता है प्रेसिडेंट को पैसा पंचायत एक्सटेंशन टू शेड्यूल एरिया के राइट एप्लीकेबल है बट सिमिलरली स शेड्यूल ज्यादा स्ट्रंग क्यों रहता है अब आप देखो स शेड्यूल को यहां पे प्रेसिडेंट के अप्रूवल से गवर्नर क्रिएट करता है देखो हालांकि ये 10 स्टेट्स में फिफ्थ शेड्यूल पर सिक्स शेड्यूल आपके ती चार स्टेट्स में एटी एमएम आसाम मेघालय त्रिपुरा मिजोरम यहां पे ऑटोनोमस डिस्ट्रिक्ट काउंसिल्स बनाए जाते हैं जिनके पास ज्यादा पावर ज्यादा फाइनेंशियल रिसोर्सेस चीजें रहती है ठीक है जुडिशियस सारी कंको कांस्टीट्यूशनल प्रोडक्शन मिलता है और पैसा के राइट्स यहां पे एप्लीकेबल नहीं रहते तो लद्दाख क्या डिमांड कर रहा है लद्दाख इस डिमांड ने कि हमें भी य यहां पे लेके आ जाओ ओके प्लीज ब्रिंग अस हियर क्लियर ओके अब देखो यहां पे जो मैं चीजें बता रहा हूं फिफ्थ शेड्यूल प्रेसिडेंट डिक्लेयर करता है ओके आई विल जस्ट थिकन दिस प्रेसिडेंट डिक्लेयर करता है इन कंसल्टेशन विद गवर्नमेंट एग्जीक्यूटिव पावर पार्लियामेंट ऑ स्टेट का कितना लगेगा फिफ्थ शेड्यूल के एरिया इस प गवर्नर डिसाइड करता है ट्राइप्स एडवाइजरी काउंसिल बनता है सिक्स शेड्यूल में डिस्ट्रिक्ट ऑटोनोमस काउंसिल बनता है गवर्नर डिसाइड करता है गर्नर डिक्लेयर करते है फिफ्थ शेड्यूल को अब देखो पार्लियामेंट और स्टेट लेजिसलेच्योर के केस में प्रेसिडेंट डिसाइड करता है ये डिफरेंस है बस ये एक डिफरेंस है जहां से आपका फ्री का प्रोबेबल क्वेश्चन बन सकता है कि पार्लियामेंट के कौन से लॉज आसाम में लगेंगे गवर्नर डिसाइड करता है पार्लियामेंट के कौन से लॉज त्रिपुरा मिजोरम मेघालय में लगेंगे वो प्रेसिडेंट डिसाइड करते है हेयर इज द कैच यहां पर अभी तक क्वेश्चन नहीं पूछा तो यहां से पूछा जा सकता है क्लियर ओके मूविंग फॉरवर्ड ठीक है लेट म ड्रिंक सम वाटर थोड़ा सा पानी पी गला सख रहा है मेरा बहुत ज्यादा इट्स वेरी डिफिकल्ट टू रिकॉर्ड यार ओके फॉर्मेशन ऑफ न्यू स्टेट क्योंकि तेलंगाना को बने हुए 10 साल हो गए अब देखो नई स्टेट बनाने की पूरी पावर पार्लियामेंट के पास होती है ठीक है स्टेट लेजिस्लेटर रिक्वेस्ट जज कर सकता है बट लॉ बनाने की पूरा न स्टेट बनाने की पावर पार्लियामेंट के पास होती हैट टू वि सिंपल मेजॉरिटी ठीक है ट इ % ऑफ प्रेसिडेंट एंड वोटिंग प्रेजेंट एंड वोटिंग अब ये जो न स्टेट का क्रिएशन का जो बिल है वो प्रेसिडेंट के रिकमेंडेशन से ही इंट्रोड्यूस हो सकता है प्रेसिडेंट स्टेट को भी कंसल्ट प्रेसिडेंट स्टेट के पास भी भेजते ये बिल कि नया स्टेट बनना है क्योंकि जिस भी स्टेट को काट के नया स्टेट बनाया जा रहा है उसके पास भेज रहा है बट स्टेट जो अपना व्यूज देती है वो पार्लियामेंट प बाइंडिंग नहीं रहता इन शॉर्ट पार्लियामेंट की पूरी इच्छा रहती है कि भाई हमें बनाना है कि नहीं बनाना ठीक है ऑर्डिनरी मतलब सिंपल लेजिसलेशन से ओके अब दज आर द स्टैटिक स्टेट कौन-कौन से कमेटी स्टेट रीऑर्गेनाइजेशन कमिटी हम लक्ष्मी कां प पढ़ते धार कमेटी जेवीपी कमेटी एंड फैजल अली कमीशन आप एनड चीज एक बार पढ़ लेना दज आर द स्टैटिक थिंग्स ठीक है ओके नाउ लेट्स टॉक अबाउट द जुडिशरी जुडिशरी ने स्पेशल फोकस किया ऑनलाइन मेडिएशन मतलब अल्टरनेट डिस्प्यूट रेजोल्यूशन कई बार क्या रहता है देखो जो आपके सुप्रीम कोर्ट हाई कोर्ट डिस्ट्रिक्ट कोर्ट रहते दे आर बाउंड बाय द सिविल कोड ऑफ प्रोसीजर ठीक है तो इसकी वजह से काफी टाइम लग जाता है एंड जस्टिस इतना ज्यादा डिले हो जाता है कि जब जस्टिस मिलता है तो उसका कोई सेंस रह नहीं जाता तो इसके लिए और कोर्ट पे पेंडेंसी भी बहुत ज्यादा बढ़ती जा रही है ओके कोर्ट पे देर इज मतलब बहुत ज्यादा पेंडेंसी बढ़ती जा रही है तो सुप्रीम कोर्ट ने बोल रहा ठीक है आप कोर्ट के बाहर सेटलमेंट कर लो जिसको हम बोलते हैं अल्टरनेट डिस्प्यूट रेजोल्यूशन डेवलप किसने किया नालसा नालसा एक एक्ट है ठीक है अब आपको क्या फोकस करना है कितने टाइप्स ऑफ अल्टरनेट डिस्प्यूट रेजोल्यूशन होते है इस पे फोकस करना एक होता है आर्बिट्रेटर एक न्यूट्रल बंदे को किया जाता है और ये अवर्ड एक डिसीजन देता है जो कि बाइंडिंग रहता है ठीक है लेट्स से ए और बी के बीच में लड़ाई है एक न्यूट्रल बंदे को अपॉइंटमेंट ऑफ नेचरल जस्टिस तीन चार छ महीने के अंदर डिसीजन दे देता हैय मेडिएशन मतलब मध्यस्थ मध्यस्थता दो लोगों के बीच में लड़ाई है मान के चलो गांव के कोई बड़े मतलब नामी बुजुर्ग है सरपंच जी है दोनों ग सरपंच जी इस मैटर को सॉल्व करो तो बीच के मध्यस्थता ठीक है बीच का जो चीजों को सॉल्व करता है फ्लेक्सिबल मैटर प भाई जी ने दोनों को बैठाया भाई लड़ाई मत करो यार आपस में दोनों को एक एक पैक प लाया चीजें सेट कर दिया ओके वो हो गया मीडिएट सिलेशन कंसन मतलब न्यूट्रेड थर्ड पार्टी ओके इसमें सेटलमेंट थर्ड पार्टी के थ्रू की जाती है ये कंपनी भी हो सकती है नेगोशिएशन डायरेक्टली ए और बी नेगोशिएट कर रहे हैं कि अरे यार भाई लड़ने का कोई मतलब नहीं आपस में पैसे देके सेटल कर लेते रफा दफा कर लेते हैं ठीक है कोलबो मतलब दोनों पार्टी ने बोला ठीक है जो अभी हम सेटल करेंगे लिटिगेट नहीं करेंगे हम बाहर ही सेटल करेंगे पर मतलब उसम नहीं जाएंगे देखो है यह सब भाई बहन चीज ही ओके अब इंडिया में क्या है आपको सिर्फ नाम याद रखना न्यू दिल्ली आर्बिट्रेशन सेंटर बनाया गया है ठीक है ग्लोबल क्या है परमानेंट कोर्ट ऑफ आर्बिट्रेशन ए यूएन का मॉडल लॉ है ट्स ट इससे ज्यादा आपको किसी में भी नहीं जाना है ठीक है ओके मीडिशन मैंने बता दिया भाई थर्ड पर्सन के असिस्टेंट है सिविल कमर्शियल मैटर का होगा क्रिमिनल मैटर नहीं होते याद रखना इसमें क्रिमिनल मैटर इसमें नहीं होते हैं कौन-कौन सी मेडिएशन में नहीं आ सकते अगर क्रिमिनल प्रोक्यू है राइट्स ऑफ थर्ड पार्टी को दोनों के ए और बी के बाहर सी को भी अफेक्ट कर रहा है और इंसानी पागल है नर्मल में नहीं हो रहा है तो फिर य कोर्ट मेंही जाएगा 120 दिन के अंदर मतलब की चार महीने के अंदर करना पड़ता है ज्यादा से ज्यादा 60 दिन मतलब सस महीने के अंदर डिस्पोज करना पड़ता है अपील इसका सुप्रीम और हाई कोर्ट में जाता है ठीक है ओके मूविंग फॉरवर्ड मेडिएशन के बारे में जितनी चीजें बताई उतना ही ध्यान रखना नाउ लेट्स कम टू लोक अदालत लोक अदालत के बारे में बात करते इंपॉर्टेंट काफी बार पवाई क्य आ चुका है 75 साल हो चुके हैं इट इज एन अल्टरनेट डिस्प्यूट रेजोल्यूशन मैकेनिज्म इसका स्टेच चरी बैकिंग है कैसे लीगल सर्विस अथॉरिटीज एक्ट के थ्रू लाया गया था 2002 में परमानेंट लोक अदालत अडॉप्ट किए गए दे आर बाउंड बाय द प्रिंसिपल ऑफ नेचरल जस्टिस 6 महीने के अंदर इनको सलूशन देना पड़ता है ठीक है कोड ऑफ सिविल प्रोसीजर पे नहीं आता भारतीय शाक्य अधिनियम में ये नहीं आता है जिसमें 1010 साल लग जाते हैं डिसीजन देने में नेचुरल जस्टिस छ महीना ओके सिविल कोर्ट जैसे पावर होता है अब ये कोई सा भी डिसीजन देता है ठीक है ये फाइनल एंड बाइंडिंग रहता है इसके अगेंस्ट अपील नहीं होगा दिस इज वेरी वेरी इंपोर्टेंट मार्क करके रख लो ठीक है कौन से केस आ सकते हैं मान के चलो हाई कोर्ट सुप्रीम कोर्ट के के पहले कोई कोर्ट पेंडिंग है दोनों पार्टीज अग्री होते हैं तो लोक अदालत में आ जाते हैं फैमिली मैटर ठीक है मैट्रिमोनियल प्रॉपर्टी मोटर एक्सीडेंट ये स चीज आ जाते काफी ठीक है ये जूनागढ़ गुजरात में सबसे पहले स्टार्ट किया गया था ठीक है जुनागढ गुजरात में गिर नेशनल पार्क भी है ठीक है और ये और कोई भी डिस्प्यूट आ सकता है जो कि कोर्ट में अभी तक नहीं लाया गया है ठीक है मतलब कोर्ट में या तो पेंडिंग हो या फिर कोर्ट में नहीं लाया गया है तो यह कोर्ट के बाहर का सेटलमेंट का होता है अब लीगल सर्विस अथॉरिटीज नासा में देखो फ्री लीगल एड का भी लाया गया है कि देखो जो गरीब लोग होते जिनके पास पैसा नहीं होता उनको सरकार कोर्ट ने क्या बोला कि भाई सरकार की रिस्पांसिबिलिटी है कि भाई वकील की फी अपोर्ट नहीं कर सकते बहुत सारी चीजें रहती है तो उनको फ्री ऑफ कॉस्ट जस्टिस का एक्सेस देंगे कैसे कांस्टिट्यूशन में आर्टिकल 39 ए में बोला है इक्वल एंड फ्री लीगल एट टू ऑल एंड आर्टिकल 29 में नो पर्सन शल बी डिफाइड ऑफ लाइफ एंड लिबर्टी बाय प्रोसीजर एस्टेब्लिश बाय लॉ इसके तहत बोला गया है अब देखो इसमें क्या चीज बताई गई है आप लोगों ने नाम सुना होगा टेली लॉ न्याय मित्र लोक अदालत लोक अदालत ऑलमोस्ट बहुत सस्ते रेट प रहता है फ्री ऑफ कॉस्ट रहता है टेली लॉ ऑनलाइन जो वकील लोग काउंसलिंग करते हैं फ्री कॉस्ट में न्याय मित्र छोटे-छोटे वकील रहते हैं गरीब लोगों को जाके फ्री में उनका केस लड़ते हैं गवर्नमेंट इनको रिकॉग्नाइज देती है ओके मतलब फ्री लीगल एक्सेस के लिए ये लॉज बनाए गए हैं नालसा नेशनल लीगल सर्विस अथॉरिटी ये स्टैचू चरी एक बॉडी है एलएसए के अंदर बना है प्रोवाइड फ्री एंड कंपट लीगल सर्विस टू वीकर सेक्शन ऑफ सोसाइटी तो यूपीएससी में जो 2020 में क्वेश्चन आया था कि क्या एवरी सिटीजन इज एवर एवरी सिटीजन ऑल द सिटीजंस ऑफ इंडिया कैन अवेल बेनिफिट्स ऑफ़ नालसा आंसर नो ओनली वीकर सेक्शन और यही लोक अदालत ऑर्गेनाइज करवाता है वीकर सेक्शन में कौन आ जाता है वमन इंडस्ट्रियल वर्कर ये सारे लोग आ जाते हैं जस्ट एक बार देख लेना इसके ऊपर पवा क भी आ चुका है जस्ट एक बार ग्लांस कर लेना लिस्ट को है ना हालाकि ये लॉजिक से भी एलिमिनेट हो जाता ओके नाउ लेट्स टॉक अबाउट द ट्राइबल सिस्टम अब हम बात करेंगे ट्राइब्स के बारे में ट्राइबल क्या होता है जुडिशरी पर देर ज इंडियन जस्टिस रिपोर्ट के हिसाब से मोर देन फोर करोड़ केसेस आर पेंडिंग जुडिशरी जजेस लिमिटेड है पेंडिंग रहता है केसेस अब लेट्स से कोई अगर एनवायरमेंट का मैटर है कोई इलेक्ट्रिसिटी का मैटर है जिसमें जजेस को एक्सपर्टाइज्ड ओपिनियन लाने के लिए ट्राइबल बनाया जाता है ठीक है हाई कोर्ट ने क्या बोला अलाहाबाद हाई कोर्ट ने क्या बोला कि कैट के अगेंस्ट जो भी अपील होगा वो सुप्रीम कोर्ट में जाएगा ये तो न्यूज प था पर हमें इसका स्टैटिक पार्ट देखना है ठीक है कांस्टिट्यूशन के दो आर्टिकल्स से इन आर्टिकल्स के तहत ट्राइबल बनाए जा सकते हैं ट्राइबल आर बाउंड बाय द प्रिंसिपल ऑफ नेचुरल जस्टिस मतलब उन्हे छ महीने के अंदर केसेस को डिस्पोज करना पड़ता है ओके स्पीडी रेजोल्यूशन ऑफ जस्टिस एक क्वाज जुडिशल बॉडी रहते है क्वाज जुडिशल मतलब जुडिशियस भी रहते हैं और एडमिनिस्ट्रेटिव नस भी रहते है ठीक है आर्टिकल 323 ए में पार्लियामेंट बनाती है ठीक है इसमें कैट एंड सट आ जाता है सेंट्रल एडमिनिस्ट्रेटिव ट्रिब्यूनल जहां पर सेंट्रल गवर्नमेंट एंप्लॉयज और स्टेट एडमिनिस्ट्रेटिव ट्रिब्यूनल जहां स्टेट गवर्नमेंट एप्ल अगर गवर्नमेंट के अगेंस्ट कुछ दुख है तो इस ट्रिब्यूनल में जाके जैसे पेंशन डिस्प्यूट है कुछ भी है सर्विस कंडीशन गवर्नमेंट के अगेंस्ट यहां पर केस फाइल कर सकते हैं और आर्टिकल 323 बी में पार्लियामेंट एंड सीट दोनों ही मतलब ट्रिब्यूनल बना सकती है स्पेसिफिक जैसे कि इलेक्ट्रिसिटी ओके इन सारे पर्पस के लिए रहता है ये ओके अपील इसका पहले डायरेक्टली सुप्रीम कोर्ट में लाया होता था पर एक केस हुआ था चंद्र कुमार केस उसमें पहले ये बोला गया कि नहीं ट्राइबल से पहले अपील हाई कोर्ट में जाएगा फिर सुप्रीम कोर्ट में ठीक है सबसे पहले ट्रिब्यूनल बनाने का आईडिया किसने दिया था स्वर्ण सिंह कमेटी 4 सेकंड कॉन्स्टिट्यूशन अमेंडमेंट एक्ट आर्टिकल 323 में कैट एंड सेड बनाया गया था आर्टिकल 323 बी में अदर टैक्स लैंड रिफॉर्म के मैटर्स के जिसम स्पीडी लशन की जरूरत है वो ट्रब बनाए गए ठीक है दे बाउ प्रिंसिपल ऑफ नेचरल जस्टिस जुडिशल और स्पेशल लोग भी रहते एनजीटी एपल एनजीटी केपर क्वे भी पूछ जा है ना लेट्स कम टू बेल जलालुद्दीन खान वर्सेस यूनियन ऑफ इंडिया इसमें बेल के बारे में बात की गई है ओ बोला क्या है कि अगर डिजर्विंग कैंडिडेट को बेल नाय करती है कोर्ट तो इट इज वायलेशन ऑफ देयर राइट टू लाइफ इट इज अगेंस्ट द देयर बेसिक इट इज द कंटेंशन ऑफ द फंडामेंटल राइट्स और इसके तहत वो अगर उनको बेल डिनायर रहा है तो आर्टिकल 32 और 226 लगा के डायरेक्टली हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में राइट टू कॉन्स्टिट्यूशन रेमेडीज में यह अप्लाई कर सकते हैं ठीक है ओके अब इसमें कुछ कुछ कंडीशंस दे हैं कौन से कंडीशंस है मैक्सिमम पीरियड अंडर टाइल प्रिजनर को अंडर टाइल मतलब जिस की सुनवाई नहीं हो रही हाफ ऑफ द मैक्सिमम पीरियड ऑफ इंप्रिजनमेंट तक मैक्सिमम ये लोग डिटेन करके रख सकते हैं और फर्स्ट टाइम ऑफेंडर्स मान के चलो कोई पहली बार जेल में आ रहा है वन थर्ड टाइम उसका टेनर सजा पूरी होगी तो उसे बेल मिल सकता है ठीक है बेल इंडिया में चार टाइप के बेल होते हैं रेगुलर बेल अ पर्सन ग्रांटेड ग्रांटेड टू अ पर्सन ऑलरेडी अरेस्टेड इन पुलिस कस्टडी पुलिस में अरेस्टेड है बोलते कि भाई बेल प आप बाहर आ जाओ वकील करवा देता एंटीसिपेटरी बिल ग्रांटेड बिफोर एन अरेस्ट भाई किसी बंदे को लग रहा है वो अरेस्ट होने वाला है पुलिस अरेस्ट करने वाली तो उसे लग रहा है कि भाई मेरी मेंटल कंडीशन सही नहीं है हेल्थ कंडीशन कोर्ट से आके एंटीसिपेटरी बल ले आता है तो पुलिस जब अरेस्ट करने आती व दिखा देते भाई तुम मुझे अरेस्ट नहीं कर सकते एंटम बेल य टेंपरेरी बेल रहता है ओके टेंपरेरी बेल रहता है कि देखो बेल के लिए भी यरिंग होनी पड़ती है लेटस से यरिंग में अगर डिले हो रहा है कोर्ट में रिंग में टाइम लग रहा तो कुछ टेंपररी टाइम के लिए छोड़ देते है डिफॉल्ट ल अगर पुलिस चार्ज शीट लेट से पुलिस ने किसी को किया और उसके अगेंस्ट अगर आरोप पत्र चार्जशीट फाइल नहीं कर पा रही एक पर्टिकुलर टाइम पीरियड के अंदर तो उसे पुलिस को छोड़ना ही पड़ता है ठीक डिफॉल्ट बेल हो गया ल राइट तो ये कुछ कुछ मेजर्स नॉट इंपोर्टेंट एक बार रीड कर लेना ये चार टाइप के बेल्स दे पोर्टेंट ठीक है ओके अब ये जो क्वालिटी एससी एसटी आप आर्टिकल 17 को लक्ष्मीका रीड कर लेना टड बी कवर्ड फम लेट्स टॉक अबाउट द ग्राम न विलेज कोर्ट ठीक है ग्राम न्यायालय एक्ट 2018 में स्टैचूट बॉडी बनाई गई थी ओके अब ग्राम न्यायालय मतलब लोकल लेवल गांव के लेवल प जो जस्टिस को एडमिनिस्टर करेगा ओके हु वड ग्रांट जस्टिस कौन प्रोसाइट कर सकता है इंपोर्टेंट जुडिशियस क्लास इंपोर्टेंट ठीक है स्टेट गवर्नमेंट अपॉइंटमेंट कौन पॉइंट करता है सिविल क्रिमिनल मैटर दोनों ही सुन सकता है ये ठीक है बस इतनी चीजें ध्यान रखनी नहीं आपने ओके कंटेंप्ट ऑफ कोर्ट कंटेंप्ट ऑफ कोर्ट डिफाइन है कंटेंप्ट ऑफ कोर्ट एक्ट के अंदर नॉट डिफाइंड इन द कॉन्स्टिट्यूशन यहां पे यूपीएससी फी में आपको फसा लेगा कि कंटेम ऑफ कोर्ट इज डिफाइंड अंडर कॉन्स्टिट्यूशन सीधा काट के आना उसे ओके हालांकि कंटेंप्ट ऑफ कोर्ट से रिलेटेड कौन-कौन से प्रोविजंस के जो पावर है वो पनिशमेंट के क्राइटेरिया दिए गए हैं बट कंटेंप्ट ऑफ कोर्ट को डिफाइन कहीं भी नहीं किया गया दो टाइप के कंटेंप्ट होते हैं एक सिविल कंटेंप्ट कि कोर्ट किसी को भी सजा सुना सकती है कि अगर कोर्ट के जजमेंट को विलफुल डिसऑबेडिएंस हो रहा है सेकंड क्रिमिनल कंटेंट अगर कोर्ट के अथॉरिटी को कम कर र है इंटरफेयर इन एडमिनिस्ट्रेशन ऑफ जस्टिस ठीक है और जुडिशियस प्रोसीडिंग इन केस में क्रिमिनल कंटेंट लगता है इसमें आपको सजा भी हो सकती है या फिर आपको जेल भी आपको फाइन भी लग सकता है ओके मर्सी पिटीशन क्यों था रेड फोट अटैक के मर्सी पिटीशन को प्रेसिडेंट ने डिस्कस कर दिया मर्सी पिटीशन क्या रहता है कि लेट्स से कोर्ट के थ्रू सुप्रीम कोर्ट के थ्रू या हाई कोर्ट के थ्रू कोई सजा डिक्लेयर हो गई अजीवन कारावास अजीवन कारावास या फिर डेथ सेंटेंस तो जो पेटीशनर रहता है वो प्रेसिडेंट के पास एक अपील कर सकता है कि सर कोर्ट से गलती हुई है मुझे बचा दो तो प्रेसिडेंट एक बार इसको मर्सी पिटीशन दे सकता है मतलब उसको माफी दे सकता है किसकिस टाइप का रहता है ठीक है पार्डन पूरे तरीके से एक्वेट वो सजा खत्म कर देना रेफ्रा स्टे लगा देना रेस्पा कोई स्पेशल केस है लेट्स से कि विकलांग है हैंडीकैप्ड है तो उसकी सजा कम कर देना सस्पेंड मतलब सजा को कुछ टाइम तक के लिए रोक दिया रेमिट मतलब लाइटन नेचर ऑफ़ पनिशमेंट दे दिया यह आपका पूरे लक्ष्मीकांत पे स्टैटिक वे में देखने को मिल जाएगा ओके तो यह मर्सी पिटीशन कोर्ट मार्शल किसी भी यूनियन लॉ के अगेंस्ट में लग सकता है कोर्ट मार्शल मतलब मिलिट्री ट्रिबल्स के अगेंस्ट भी लग सकता है अब हम बात करेंगे क्यूरेटिव पेटीशन क्यूरेटिव पेटीशन क्या हो जाता है कि सुप्रीम कोर्ट के अगर किसी जज ने सजा दी है तो क्यूरेटिव पेटीशन लॉयर्स लोग वापस से लगाते हैं कि किसी अगर हो सकता है कि भाई मान के चलो कि जज को अगर प्रॉपर लगता है कि जज अगर बायस था लगता है कि जज को प्रॉपर वे में सब्जेक्ट मैटर नहीं पता और प्रिंसिपल ऑफ नेचरल जस्टिस वालेट हो रहा है तो जज को एक क्यूरेटिव पिटीशन लगा सकता है कि आप अपने डिसीजन को रिकंसीडर कीजिए इट इज द लास्ट कांस्टिट्यूशन रेमेडी ओके और ये कौन से केस में आया था हुरा वर्सेस हुरा याद रखना हुरा वर्सेस हुरा केस में ये चीज आई ठीक है फस्ट ट्रक पट सेम चीज है कुछ नहीं है फस्ट ट्रक पट में ठीक है ट्रिबल वाली कांसेप्ट है छछ महीने के अंदर वट दे ओके नेक्स्ट थ जीरो य पोर्टेंट है होता क्या है जीरो इसको देखते हैं व्ट इ दिस जीरो समझना इसको थोड़ा डिटेल में इट इ वेरी वेरी इंपोर्टेंट अब क्या होता होता है लेट्स से मैं एमपी में रह रहा हूं कोई आंध्र का बंदा आया आंध्र के किसी बंदे ने एमपी में क्राइम कमिट किया और वापस भाग गया ठीक है आंध्र में भाग गया अब जिसके अगेंस्ट क्राइम कमिट किया वो एमपी के पुलिस स्टेशन में गया बोला कि भाई इसने मेरे अगेंस्ट ये ये क्राइम कमिट किया तो बोलेगा एमपी का जो पुलिस थाना वाला होगा वो बोलेगा भाई ये तो बंदा आंध्रा चला गया अब इसमें हम कैसे करके करें ठीक है आंध्र में जाके गए मैं अगर केस फाइल करने गया तो आंध्र की पुलिस स्टेशन क्या बोलेगी यार ये केस तो एमपी में गया एमपी के जूरिडिक्शन में हु ठीक है तो इसमें चीजें उलझ जाती है तो जीरो एफआईआर क्या किया गया है कि जिस भी एरिया में ऑफेंस कमिट होगा वहां पे पुलिस को ठीक है पुलिस को कंप्लेन रजिस्टर करनी पड़ेगी लेट्स से एमपी में एफआईआर एमपी में लेट्स से की इंदौर में कहीं पे कोई क्राइम कमिट हुआ तो इंदौर का जो थाना लगेगा रजवाड़ा थाना वहां पर उसको एफआईआर लेना पड़ेगा रजिस्टर करना पड़ेगा कोई इनिशियल एफआईआर नंबर प्रोवाइड नहीं होगा ठीक है कोई इनिशियल एफआईआर नंबर प्रोवाइड नहीं होगा बट बाद में क्या किया जाएगा एफआईआर जैसे ही रजिस्टर हो गया फिर जिस भी थाने के जूरिस जिक्स में आ रहा है वहां पे ये ट्रांसफर हो जाएगा मतलब जो ये बीच में जो डिले होता है इन्वेस्टिगेशन स्टार्ट करने में जो डिले होता है उसको खत्म करने के लिए जीरो एफआईआर बनाया गया ये जस्टिस वर्मा कमेटी के रिकमेंडेशन से आता है क्लियर मतलब सिंपल सी बात जहां पे क्राइम हो रहा है उस थाने से बोल रहा है आप पहले एफआईआर ले लो बाद में जिस भी थाने के एरिया में वो क्राइम हुआ है और जिस भी कंपट अथॉरिटी के जूरिडिक्शन में वहां पर आप ट्रांसफर कर दो सिंपल सी बात है ओके डॉक्ट्रिन ऑफ कर्वेचर ये नॉट इंपोर्टेंट ठीक है माचल रेप से रिलेटेड आपको बस पता होना चाहिए किय है क्या व्हाट इज दिस डॉक्ट्रिन ऑफ कर्वेचर ने क्या बोल दिया कि मैरिड वुमन की खुद की कोई आइडेंटिटी नहीं होती है और उसको सिंगल एंटिटी अपने हस्बैंड की संपत्ति मानेंगे उसके जो भी प्रॉपर्टी कुछ भी रिसोर्सेस है वो सब हस्बैंड की मानेगी तो कोर्ट ने इसको वर्ड डिक्लेयर किया ठीक है डॉक्ट्रिन ऑफ हार्मोनी कंस्ट्रक्शन एग्जांपल के तौर प देखो इसमें करंट में क्या चीज हो रही वो हमें नहीं जानना बस डॉक्ट को समझना ठीक है लेट्स से कोई दो लॉ है उन लॉ के बीच में कन्फेशन हो रहा है ठीक है देयर इज सम कन्फेशन बिटवीन द लॉस फॉर एग्जांपल आर्टिकल 14 क्या बोलता है राइट टू इक्वलिटी बट फंडामेंटल राइट में आता है बट डीपीएसपी में आ रहा है आर्टिकल 46 की वीकर सेक्शन को हमें प्रोटेक्शन देना है लाइक रिजर्वेशन ठीक है अब अगर व्हीकल सेक्शन को आप प्रोटेक्शन दे रहे हो ठीक है तो यह डीपीएसपी में आ गया बट राइट टू इक्वलिटी किसी को अगर प्रोटेक्शन देना है इट लेटस वट्स इक्वलिटी तो यह दोनों एक दूसरे के अगेंस्ट में आ गए तो डॉक्ट्रिन ऑफ हार्मोनियम पेज पर लेके आना है कैसे करके आर्टिकल 14 14 में हमने अडॉप्ट कर लिया इक्वल प्रोटेक्शन ऑफ लॉ वेर लाइक वुड बी ट्रीटेड अलाइक ठीक है वकर सेक्शन को वेशन दिया जा सकता है अंडर द एक्सेप्शन ऑफ आर्टिकल 14 ट आल्सो फुलफिल्स आर्टिकल 46 मतलब दो लॉस को हार्मनी में लाना कि वो एक दूसरे के अगेंस्ट ना जाए इज कॉल्ड डॉक्ट्रिन ऑफ हारमोनियसली बार आया था ये शंकरी प्रसाद वर्सेस यूनियन ऑफ इंडिया क्लियर ओके मूविंग फॉरवर्ड अब देखो यह क्रिमिनल लॉस प रिफॉर्म्स हुए इस साल जीएस फ में एथिक्स में क्वेश्चन आया था प्रिलिम्स में बिल्कुल आने के चांसेस है पुराने लॉ नहीं देखना हमें जो नई नई चीज चेंज हुई है उसमें हमें देखना है सबसे पहले भारतीय न्याय संहिता इंडियन पीनल कोड को इसने चेंज किया इ चेंज द इंडियन पीनल कोड ओके कम्युनिटी सर्विस पेटी ऑफेंसेस के लिए मतलब भाई पहले होता है ना कि कोई छोटी मोटी चोरी चकारी कर र पटी ऑफेंस उसको कम्युनिटी सर्विस मतलब हो सकता है कि मंदिर में कंपलसरी सेवा करनी पड़े झाड़ू पूछ करनी पड़े इस टाइप के ऑफेंस लगाया गया ठीक है रेप पटिंग के लिए ठीक है द थ्रश फॉर गैंग रेप विक्टिम टू बी क्लासिफाइड एस मेजर फ्रॉम 16 टू 18 इयर्स ऑफ एज ओके 18 साल तक के माइनर मतलब नाबालिक माना जाएगा ठीक है उसके अगेंस्ट डेथ सेंटेंस मल्टीपल बहुत आजीवन कारावास इस टाइप के सेंटेंस के लिए भी बोला गया मतलब पनिशमेंट को स्ट्रेंज कर दिया है अगर आप किसी भी वुमन के साथ सेक्सुअल इंटरकोस करते हो मेकिंग फेक फल्स प्रॉमिस तो इट वड बी कंसीडर्ड एस क्रिमिनल ठीक है सेडिशन सेडिशन ल को रिमूव कर दिया गया पहले गवर्नमेंट क्या करती थी जो भी कोई एंटी गवर्नमेंट बोल रहा है जैसे आपने आईटी एक्ट सेक्शन 66 ए श्रेया सिंगल केस शया सिंगल केस में बोल दिया कि गवर्नमेंट का अगर किसी ने फेयर क्रिटिसिजम किया तो गवर्नमेंट उसे सेडिशन का नाम लगा के देश दोखा नाम लगा के डिटेन कर देता था ओके बट अभी सेडिशन को हटा दिया गया और कुछ कंडीशंस बताया कि तभी सेडिशन लग सकता है अगर उसके भड़काऊ भाषण से आम रिबेलियस या फर सोटी यूनिटी ऑफ इंडिया कॉम्प्रोमाइज हो र तभी सेडिशन लगेगा गवर्नमेंट अपने मनमानी रूप से सेडिशन नहीं लगा सकती ठीक है ओके ऑर्गेनाइज क्राइम को डिफाइन किया गया ऑर्गेनाइज क्राइम अभी तक कहीं पर डिफाइन था नहीं ठीक है और यह सारी चीजों पर बात की गई है ठीक ऑर्गना क्राइम टेररिज इन सब का प्रॉपर डेफिनेशन बताया गया है ठीक है टेररिज इनको प्रॉपर वे में डिफाइन किया गया है किसम भारतीय न्याय संहिता जो चीज बता रहा हूं से वही याद रखना है ल राइट भारतीय नागरिक सिविल कोड ऑफ प्रोसीजर को अमेंड किया गया है ठीक है इसमें बेल की बात की गई है फर्स्ट टाइम कोई किसी को अग फर्स्ट टाइम सजा हुई अगर उसने वन थड सजा काट ली तो उसे बेल में रिलीज किया जा सकता है ठीक है हां बट ये डेथ ही नियस क्राइम में यह एप्लीकेबल नहीं रहेगा फॉरेंसिक मेडिकल एग्जामिनेशन कंपलसरी रहेगा एटलीस्ट जिनको सात या सात से सात से ज्यादा साल की सजा होगी क्लियर और हर चीज के लिए पुलिस इन्वेस्टिगेशन सब चीज सुनवाई जुडिशल सुनवाई के लिए टाइमलाइन दिया गया इट वेरी पॉजिटिव स्प ओके भारतीय साक्ष्य अधिनियम अधिनियम इंडियन एविडेंस एक्ट तो इसमें सिंपल चीज क्या बोली गई है कि अभी किसी भी टाइप का इलेक्ट्रॉनिक डिजिटल रिकॉर्ड ओरल एविडेंस जो भी इलेक्ट्रॉनिक दिया गया ट वड बी आल्सो एडमिस बल इन द कोर्ट ऑल नेक्स्ट डिजिटल डेटा प्रोटेक्शन एक्ट वाई वी से डटा इज द न्यू गोल्ड डाटा जो कंपनी जो हमारी देखो यह क्यों लाया गया जो बड़ी-बड़ी कंपनीज थी जैसे कि अन ग यह इंडियस के आप से पूरे डाटा लेती थी और हमारे डाटास को यूएस लेके आउट ऑफ इंडिया लेके जाके ठीक है नॉन बोलते हैं ना नॉन इक्विटेबल या फिर अनफेयर मार्केटिंग प्रैक्टिसेस ये फॉलो करते थे ठीक है तो इसमें डेटा के प्रोटेक्शन राइट टू प्राइवेसी और साथ ही साथ पट्टा स्वामी जो केस हुआ था पुट स्वामी केस जो वर्डिक्ट हुआ था आर्टिकल 21 में राइट टू प्राइवेसी जिसमें डेटा भी आता है जिसको फंडामेंटल राइट बनाया गया उसी के फॉलो अप के लिए डेटा प्रोटेक्शन एक्ट लाया गया तो इसमें डटा फरीज कौन होते हैं जो कंपनी जिनके पास हमारे डाटा जाते हैं डेटा प्रिंसिपल मतलब हम जिनके डाटास ठीक है और पेनल्टी बताई गई है कि अगर आपके डाटास का मिसयूज होता है एप्लीकेबिलिटी देखो बोला गया कि इंडिया के अंदर ही डाटा का मतलब प्रोसेसिंग होगा ठीक है जिसके भी डाटा लिए जा रहे लेट्स से डेटा प्रिंसिपल फॉर एग्जांपल मेरे मेरे डाटास किसी कंपनी ने लिया अब कंपनी बोलती है आपसे परमिशन लेथ कि आपके डाटास को आपसे हम ले रहे हैं अगर मैंने अपने कंसेंट मतलब मैं कंसेंट देता हूं कि भाई आप मेरे डाटास को ले लो पर मैं किसी भी टाइम अगर मैं अपने कंसेंट को वापस ले लिया उस कंपनी को मेरे डाटास को इरेज करना पड़ेगा ठीक है विड्रॉल ऑफ द कंसेंट बोलते हैं ठीक है अब मान के चलो मैं बच्चा हूं 18 साल से छोटा तो मेरे जो पेरेंट्स या फिर जो लीगल गार्जियन रहेंगे वो मेरे डाटा से सारी चीजें डिसाइड करेंगे ठी इसी पर्पस के लिए डेटा प्रोटेक्शन बोर्ड ऑफ इंडिया सेंट्रल गवर्नमेंट ने अपॉइंट्स री अपॉइंट्स बोर्ड के अगेंस्ट जो भी अपील जाए ये टेलीकॉम डिस्प्यूट सेटलमेंट अपीलेट ट्रिब्यूनल पे इसकी सुनवाई होगी क्लियर ओके तो इसमें देख सकते हैं भाई देखो अगर मान के चलो कि मेरी कोई तबीयत खराब है मुझे पता है कि मेरी कुछ ऐसी लाइफ सेविंग मतलब लाइफ थ्रेटनिंग डिसीज है तो मैं अपना भी डिक्लेयर कर सकता हूं लेट्स से कि मैंने अपने वाइफ या फिर भाई को या फिर पापा मम्मी किसी को भी बोल दिया कि मेरे जाने के बाद मेरी डाटा हैंडलिंग मेरे डेटा राइट्स आपके पास रहेंगे ठीक है ओके और इसी चीज के लिए डाटा फिड केरी मतलब गवर्नमेंट अपॉइंट्स अपॉइंट्स डेटा प्रोटेक्शन ऑफिसर जो डाटास को ऑडिटिंग करते कि कंपनीज कुछ मिसयूज तो नहीं करर ठीक है अब ये कुछ कुछ एमपशो के राइट्स को क्लेम नहीं कर सकते अगर कुछ नेशनल सिक्योरिटी से रिलेटेड मैटर है उससे रिलेटेड आपके डेटा है जिसकी नेशनल सिक्योरिटी के लिए इंपोर्टेंट है तो आप नहीं बोल सकते गवर्नमेंट को कि मेरे डटा मतलब रिमूव करो यह कुछ कुछ क्राइटेरिया है जैसे एक ब इसको ग्लांस कर लेना ठीक है सेंट्रल गवर्नमेंट एम कर सकती है सिक्योरिटी पब्लिक ऑर्डर ठीक है अब अगर किसी भी टाइप की ये इसके इन पैरामीटर्स के अलावा किसी भी टाइप का मेरा डेटा ब्रीच हुआ तो जो कंपनी जो कंपनीज मेरे डाटा को लेकर जा रही है उन 200 से 250 करोड़ का फाइन लगेगा बच्चों के लिए 250 करोड़ सिक्योरिटी मेजर्स के लिए 250 करोड़ बच्चों के लिए 200 करोड़ का फाइन लगेगा ठीक है ओके नीट स्कैम हुआ था एन डटी स्कैम पेपर लीक हुआ था यूजीसी नेट का पेपर लीक हुआ था ओके बिहार में काफी ज्यादा ये सारी चीज तो पेपर लीक के लिए एक डेडिकेटेड लॉ बनाया गया लॉ यह बनाया गया है कि सेंट्रल गवर्नमेंट ने लॉ बनाया है कि जिस भी वेन्यू में पेपर हो रहा है उसके पास पूरे पावर रहेंगी कि आप एप्लीकेशन लो एप्रोप्रियेट लो और एफआईआर आप करा सकते हो ठीक है और इसी चीज के लिए कमेटी बनाई जाएगी ठीक है कमेटी बनाई जाएगी जो रिपोर्ट करेगा ऑल द अनफेयर मींस के रिलेटेड ठीक है अनफेयर मींस का डेफिनेशन का डेफिनेशन दे दिया गया और इसके लिए तीन से पा साल तक की सजा और 10 लाख तक का जुर्माना हो सकता है वेरी इंपॉर्टेंट पनिशमेंट कॉग्निजेबल होगा मतलब पुलिस किसी ने भी अगर पेपर लीक कराया या फिर कोई भी अगर चीटिंग करता हुआ पाया गया तो पुलिस उसको विदाउट वारंट अरेंट कर सकता है बेल नहीं होगी और नॉन कंपाउंडेबल मतलब इसमें किसी भी टाइप का कॉम्प्रोमाइज आप कोर्ट के बाहर नहीं कर सकते मतलब आर्बिट्रेशन नहीं होगा बिहार पहला स्टेट बना है जो कि इसके ऊपर एक डेडिकेटेड लॉ लेके ठीक है पब्लिक एग्जामिनेशन कोई भी जो सेंट्रल गवर्नमेंट के एग्जामिनेशन होते हैं स्टेट बी इसको चाहे तो कवर कर सकते ओके टेलीकम्युनिकेशन एक्ट नो नीड टू रीड इसको पढ़ने की जरूरत नहीं है पुराना हो चुका है नॉट दैट रिलेवेंट ठीक है पढ़ने की जरूरत नहीं है इसको ओके इंटरनेट शट बहुत ज्यादा इंटरनेट शटडाउन हो रहे है ठीक है इंडिया में 60 प्स इंटरनेट शटडाउन हुआ है क्या रीजन होते हैं जस्ट एक बार ग्लांस करना पढ़ने की जरूरत नहीं है ठीक है इंपॉर्टेंट क्या है टेंपररी इंटरनेट सस्पेंशन से होम सेक्रेटरी अला कर सकता है और इसको रिव्यू करता है कमिटी हेडेड बाय कैबिनेट सेक्रेटरी स्टेट लेवल प कमटी हेडेड बाय चीफ सेक्रेटरी ट्स इट बस इससे ज्यादा हमें कुछ नहीं देखना इसमें ओके और अगर यह टेंपरेरी टाइम के लिए होता है और कोई भी इंटरनेट सस्पेंशन इ सब्जेक्टेड टू जुडिशल रिव्यू ओके कंज्यूमर प्रोटेक्शन एक्ट हालांकि बहुत पुराना हो चुका है तो सिर्फ रिलेवेंट चीजें देखेंगे एग्जाम के लिए बहुत ज्यादा रिलेवेंट बचा है नहीं है ओके कंज्यूमर का डेफिनेशन इसमें ऑनलाइन पोर्टल जैसे कि ईकस इन सब को भी इंक्लूड करवा दिया गया है एक स्पेशल सेंटर क कंज्यूमर प्रोटेक्शन अथॉरिटी बनाया गया है चीफ कमिश्नर ने को अपॉइंटमेंट ये सारी चीजें आ तो 10 लाख तक का फाइंड लग सकता है अभी आपने रिसेंट में देखा होगा कि बहुत सारे यूपीएससी के कोचिंग इंस्टिट्यूट में फाल्स रिजल्ट क्लेम करते हैं फाल्स क्लेम के ऊपर कॉम्पिटेटिव कमीशन ऑफ इंडिया ने सीधा फाइंड ठोके ओके इट्स बिकॉज ऑफ इट ठीक है अब ये कंज्यूमर के कुछ बेसिक राइट्स है एक बार बेसिक देख लेना एक बार जस्ट बेसिक ग्लांस कर लेना बहुत ज्यादा ध्यान नहीं देना इस बाकी और यह सब कुछ करने की जरूरत नहीं है ओके मैं बता रहा हूं फोमो मत लाना जो रिलेवेंट चीज है मैं वो ऑलरेडी बता रहा हूं आपको ठीक है फॉरेन कंट्रीब्यूशन एक्ट क्या होता है कि फॉरेन से जो इलीगल फंडिंग होती है कई बार जो एनजीओस में जो पैसा जाता है इलीगल एक्टिविटीज जैसे की नक्सलिज्म आर्म स्मगलिंग ड्रग स्मगलिंग के लिए यूज होता है तो इसलिए हर एनजीओस के पास जिसको जिसके पास पैसा आता है उसको एफसीआरए फंड कंट्रीब्यूशन एंड रेगुलेशन एक्ट के थ्रू रजिस्ट्रेशन कराना पड़ता है उसमें कौन करता है एमएच इंप्लीमेंट करती है आईबी इसको देखती है फिर यह चेक करती है कि भाई कोई भी एनजीओ अगर फॉरेन फंड ले रहा है तो वो कोई एंटी नेशनल परपस के लिए यूज तो नहीं हो रहा इस चीज को एफसीआरए के त चेक किया जाता है ओके एफसीआरए के तहत चेक किया जाता है ओके तो इसी चीज के लिए पैसे को ट्रैक करने के लिए जो भी एनजीओ फॉरेन कंट्रीब्यूशन ले रही है उसको स्टेट बैंक सेर्फ न्यू दिल्ली में अकाउंट बनाना पड़ेगा और उसम कुछ कुछ उसको एनुअल रिटर्न्स फाइंड करने पड़ेंगे गवर्नमेंट को रेगुलरली अपडेट करना पड़ेगा कौन-कौन फॉरेन कंट्रीब्यूशन नहीं ले सकता है इलेक्ट इलेक्शन कैंडिडेट्स ऑफ इलेक्शन गवर्नमेंट सर्वेंट्स ठीक है मीडिया वाले लोग हो गए लेजिस्लेटिव पॉलिटिकल पार्टीज और कोई भी पॉलिटिकल ऑर्गेनाइजेशन ठीक है इसका एक आइडिया होना चाहिए अपन को ठीक है पोस्ट ऑफिस एक्ट नो ज कोई जरूरत नहीं है ओके अब इंपॉर्टेंट कॉन्स्टिट्यूशन एंड स्टैचूट बॉडीज इन न्यूज लक्ष्मीकांत उठाना ऑल द इंपॉर्टेंट कॉन्स्टिट्यूशन एंड नॉन कॉन्स्टिट्यूशन बॉडीज को डिटेल में पढ़ मार तो यह सेक्शन आपको पढ़ने की जरूरत पड़ेगी नहीं अगर आपको लग रहा है कि सर हमें थोड़ा सा इजी वे में करना है ठीक है थोड़ा सा हमें इजी वे में करना है से टाइम वेस्ट हो रहा है तो मैं आपको 20 से 25 मिनट के लेक्चर लेके आ जाऊंगा जहां पे मैं पूरे रिलेवेंट कॉन्स्टिट्यूशन एंड नॉन कॉन्स्टिट्यूशन बटीज एट मैक्स 30 मिनट्स में मैं आपको क्लियर पूरा कॉन्स्टिट्यूशन बॉडीज कवर करवा के डाल दूंगा दैट आर इंपोर्टेंट फ्रॉम द पर्सपेक्टिव ऑफ एग्जामिनेशन क्योंकि हर साल एक से दो क्वेश्चंस आती है और यहां पे देखो आधे अधूरे फॉर्मेट में दिया गया है लक्ष्मीकांत में और या फिर जिस पीडीएफ से मैं करूंगा वहां पे पूरी तरीके से कवर्ड होगा सो इफ यू जस्ट वांट आप मुझे कमेंट्स सेशन में अगर मुझे ठीक ठाक रिस्पांस दिखा तो मैं करवा दूंगा इस ठीक है एनएचआरसी इसको नरी का रिकमेंडेशन मिला गां क्या है ग्लोबल एलायंस फॉर नेशनल ह्यूमन राइट्स इंस्टीट्यूशन यूएन की बॉडी है ये स्टेटस देती है ए स्टेटस मतलब ये ह्यूमन राइट्स को प्रोटेक्ट करने के लिए नेशनल ह्यूमन राइट्स कमीशन जो इंडिया का बहुत अच्छे से काम कर रहा है ठीक है ये चीजें है अब देखो नेशनल ह्यूमन राइट्स कमीशन के जो चेयरमैन रहता है कौन अपॉइंटमेंट अपॉइंटमेंट रहती है हेडेड बा प्राइम मिनिस्टर स्पीकर होम अफेयर्स लीडर ऑफ अपोजिशन एंड डेप्युटी चेयरमैन ऑफ राज्यसभा ठीक है ये पांच मेंबर कमेटी रहती है तीन साल 3 इयर्स और 75 इयर्स जो पहले आ जाए इनकी रिटायरमेंट एज रहती है ठीक है सॉरी 70 है ओके रिअप्वाइंटमेंट के लिए एलिजिबल रहता है कौन इसमें मेंबर बन सकता है रिटायर्ड चीफ जस्टिस और जज ऑफ सुप्रीम कोर्ट ठीक है ये इसके क्राइटेरियास है देख लेना इसके सेवन डीम मेंबर्स होते हैं कौन से माइनॉरिटी बैकवर्ड डिसेबिलिटी एससी एसटी चाइल्ड प्रोटेक्शन वुमेन के जो भी कमिशनर हो गए ठीक है दिस इ इंपोर्टेंट ये आप याद रख लेना ठीक है रिमूवल कैसा होता है प्रेसिडेंट रिमूव करता है ओनली आफ्टर इंक्वायरी बाय सुप्रीम कोर्ट सुप्रीम कोर्ट अगर रिकमेंड करती है तभी इनका रिमूवल होता है ओके अब इसकी लिमिटेशन क्या होती है कि भाई अगर कहीं पर भी अगर ह्यूमन राइट्स का वायलेशन हो रहा है तो एक साल के अंदर आपको कंप्लेन करनी पड़ती है वरना इसके एक साल के बाद कहीं पर भी ह्यूमन राइट्स का वायलेशन होगा एक साल के बाद अगर आप रिपोर्ट करो तो एनएचआरसी की कोई पावर नहीं रहती देर रिकमेंड ओनली एडवाइजरी ऑनन गवर्नमेंट एंड गवर्नमेंट रिसोर्सेस फंड्स के ऊपर इनकी डिपेंडेंसी रहती है ये बेसिक फंक्शंस है ह्यूमन राइट से रिलेटेड ये सारी चीजें एक बार जस्ट देख लेना ओके ये सब आपको लक्ष्मीकांत से करना है सीबीआई ओके सीबीआई के बारे में आपको याद कि रखना ठीक है संतम कमेटी ने रिकमेंड किया था ठीक है ये एक तरीके का नॉन स्टैचूट नॉन कॉन्स्टिट्यूशन बॉडी मतलब कांस्टीट्यूशन में मेंशन नहीं है और कोई भी लॉ के थ्रू बैकिंग नहीं है तो इसको पावर कहां से मिलती है दिल्ली पुलिस एस्टेब्लिशमेंट की एक्ट के थू सुप्रीम कोर्ट ने क्या बोला था इसे केज पैरेट केज पैरेट जो गवर्नमेंट बोलती है वही करते है गवर्नमेंट का बहुत ज्यादा इंटरफेरेंस रहता है अपॉइंटमेंट कौन करते है पीएम लीडर ऑफ अपोजिशन चीफ जस्टिस की कम्युनिटी रहती है ठीक है अब देखो कंसेंट कंसेंट क्या रहते है दो टाइप के रहते है जनरल कंसेंट एंड स्पेसिफिक कंसेंट क्यों नहीं में था ये हमारे लिए इंपोर्टेंट नहीं है ओके क्या होता है ये इंपॉर्टेंट है मान के चलो कोई स्टेट है एमपी एमपी ने जनरल कंसेंट सीबीआई को दे दिया ठीक है तो लेट्स से एमपी में कोई अगर क्रिमिनल केस हुआ तो सीबीआई को बार-बार एमपी ने जनरल कंसेंट देके रखा है तो बार-बार सीबीआई को अगर मध्य प्रदेश की किसी सिटी में कोई अगर केस को इन्वेस्टिगेट करना है तो बार-बार सीबीआई को गवर्नमेंट ऑफ एमपी से परमिशन लेने की जरूरत नहीं पड़ेगी ओके बट स्पेसिफिक में क्या रहता है जितने बार सीबीआई एमपी में इन्वेस्टिगेट करने आएगी उतने बार मध्य प्रदेश गवर्नमेंट से इनको परमिशन देनी पड़ेगी ठीक है ओके लोकपाल प्लीज इसके ऊपर आप बोलोगे तो नॉन कॉन्स्टिट्यूशन बॉडीज के ऊपर आई विल कवर इट मैं बहुत डिटेल में मेरे खुद के हैंड रिटन नोट से कवर कर दूंगा तो बहुत अच्छे से कवर होगा ओके बाकी यहां पे जितनी चीजें है वो तो मैं कवर कर ही रहा हूं लोकपाल क्या रहता है ये एंटी करप्शन बॉडी है ये चेक करता है कि भाई कोई इंसान करप्शन इन सब में तो मतलब इवॉल्व नहीं है ठीक है ओंबड्समैन रहता है करप्शन चेक करने के लिए रहता है सेंटर पे लोकपाल स्टेट प लोकायुक्त रहता है लोकायुक्त को गवर्नर अपॉइंट्स विद चीफ जस्टिस ऑफ हाई कोर्ट ओके चीफ जस्टिस ऑफ हाई कोर्ट लीडर ऑफ अपोजिशन राइट ओबवियसली चीफ मिनिस्टर भी रहते हैं लोकपाल जो सेंटर पर रहते उसका अगर कंपोजिशन बताऊ हेड कौन रहता है ये जनरली चीफ जस्टिस और जज ऑफ सुप्रीम कोर्ट होना चाहिए एट मेंबर बॉडी रहता है % जुडिशल मेंबर्स रहते हैं बाकी % एससी एसटी ओबीसी और आपके एडमिनिस्ट्रेटिव उससे रहते है अपॉइंटमेंट कौन करता है प्रेसिडेंट पहले पीसी घोस्ट थे और अभी खानवलकर करेंट लोकपाल है ओके जज चीफ जस्टिस और जज सुप्रीम कोर्ट हो सकता है टेनर क्या है फाइव इयर्स और 70 इयर्स जो पहले हो जाए रि पॉइंट मेंट होती है नॉट एलिजिबल फॉर रिअप्वाइंटमेंट ठीक है ओके सिलेक्शन कम्युनिटी जो कमेटी जो रहती है लोकपाल की कौन प्राइम मिनिस्टर स्पीकर लीडर ऑफ अपोजिशन चीफ जस्टिस एंड एमिनेंट जूरिस्ट अपॉइंटेड बाय प्रेसिडेंट ये याद रखना दीज आर इंपॉर्टेंट ओके ये इंपॉर्टेंट होता है इनके पास सारे पावर ऑफ सिविल कोड होते हैं ठीक है सीबीआई के ऊपर या फिर किसी स्टेट गवर्नमेंट की एजेंसी के ऊपर पूरे तरीके से इंडिपेंडेंस ते कि भाई आप यह चीजें कर सकते हो अच्छा अगर लोकपाल या फिर कोर्ट ने बोला कि भाई आप मध्य प्रदेश में जाके इन्वेस्टिगेट करो सीबीआई को तो इनको किसी स्टेट से कंसर्न लेने की जरूरत नहीं रहती यह इंपोर्टेंट चीज है ध्यान रखना ठीक है जूरिडिक्शन लोकपाल के अधिकार क्षेत्र में कौन-कौन आ जाते है प्राइम मिनिस्टर मिनिस्टर सब लोग आ जाते है गवर्नमेंट ऑफिसर्स ए बी सी डी के ठीक है चेयर पर्सन ये किसी भी बोर्ड के स्टेट गवर्नमेंट पीएसयू के आ जाते हैं कोई भी सोसाइटी ट्रस्ट जो कि फॉरेन कंट्रीब्यूशन से 10 लाख से ज्यादा ले र है आते कौन-कौन नहीं है आर्म फोर्सेस के मेंबर्स और जुडिशियस आर्म फोर्सेस जुडिशल प्राइवेट ऑर्गेनाइजेशन के मेंबर्स इसके अंदर नहीं आते क् ओके एंड जस आर द कांस्टीट्यूशनल बॉडीज इसको मैं डिटेल में करवाऊंगी जितना पीटी में गिवन है वह सारी चीजें तो मैं करवा ही दे रहा हूं ओके ओके कांस्टिट्यूशन नेशनल कमीशन फॉर बैकवर्ड क्लासेस नेशनल कमीशन ऑफ एससी से अलग हुआ है 10 से कॉन्स्टिट्यूशन अमेंडमेंट एक्ट यूपीएससी का पीवा क्य भी है ओके प्रेसिडेंट अपॉइंटमेंट डिटरमाइंड करता है ये अपना रिपोर्ट प्रेसिडेंट को ही देता है जैसे एनएचआरसी एनएचआरसी अपनी रिपोर्ट किसको देती है सेंट्रल गवर्नमेंट को ठीक है इट हैज पावर ऑफ सिविल कोड बाकी बैकवर्ड क्लासेस के कुछ भी रिजर्वेशन से रिलेटेड उनके राइट से रिलेटेड सारे मैटर्स को ये प्रेसिडेंट को क्या करता है रिकमेंडेशन करते एक बार जस्ट गो थ्रू कर लेना सिमिलरली शेड्यूल कास्ट का भी आर्टिकल 338 के थ्रू बना है टर्म ्र इयर्स तक का रहता है दो टर्म तक के लिए री अपॉइंट्स से रिलेटेड ये डिसीजन लेता है यूपीएससी ओके रिसेंटली डॉक्टर मनोज सोनी ने रिजाइन किया था इसलिए य न्यूज पे था वेरी वेरी इंपोर्टेंट अपॉइंटमेंट प्रेसिडेंट करता है 65 और सि इयर्स तक का टेनर रहता है नॉट एलिजिबल फॉर रि अपॉइंटमेंट क्या 10 साल गवर्नमेंट सर्विस स्टेट गवर्नमेंट के सर्विस में होना चाहिए रिमूव करना है तो सुप्रीम कोर्ट इंक्वायरी करता है फिर प्रेसिडेंट को रिकमेंड करता है तभी इनका इसका रिमूवल होता है ठीक है बाकी डिटेल में देखो ये जितनी चीज है डिटेल में पूरा कांस्टिट्यूशन बॉडी को मैं कवर करूंगा डोंट वरी कॉन्स्टिट्यूशन बॉडी को कवर करूंगा ओके ल राइट बाकी देखो यार आप इसके साथ-साथ कांस्टिट्यूशन बॉडी के साथ-साथ लॉ ऑफ लेक्चर जैसे एंट मेडीवेटर्स ऑफ ज्योग्राफी आर्ट एंड कल्चर एनवायरमेंट के भी कुछ लेक्चर यह दोनों तो देखो कंप्लीट है एशियंट मेडियल आर्ट एंड कल्चर आर ऑलमोस्ट कंप्लीट आप फ्री ऑफ कॉस्ट में youtube3 मिनट्स के लेक्चर है दे वुड बी वेरी वेरी यूज़फुल ओके फाइनेंस कमीशन स्टेट फाइनेंस कमीशन 37 73 कॉन्स्टिट्यूशन अमेंडमेंट एक्ट से बना है ठीक है मेंबर को कौन चेयरमैन को अपॉइंट्स जेंट करता है काम क्या रहता है स्टेट गवर्नमेंट जितने भी पंचायती राज और अर्बन लोकल बॉडीज को फाइनेंस कितना देती है कितने रिसोर्सेस देती है वो यह रिकमेंडेशन देता है और इसका रोल सिर्फ एडवाइजरी रहता है देर रोल इज ओनली एडवाइजरी इन नेचर क्लियर सीवीसी सीबीसी के बारे में देखो बस इसमें लक्ष्मीकांत में देख लेना स्टैचूट बॉडी है ओके बेसिक काम क्या है सीबीआई के ऊपर सुपरीटेंडेंस का रहता है करप्शन एंटी करप्शन से रिलेटेड काम करता है ओके अपॉइंटमेंट कौन करता है प्रेसिडेंट ऑन द रिकमेंडेशन ऑफ पीएम होम मिनिस्टर एंड लीडर ऑफ अपोजिशन क्लियर लॉ कमीशन लॉ कमीशन प आपको याद रखना है क्या याद रखना है लॉर्ड मकल सबसे पहले लेके आए थे ये नॉन स्टैचूट बॉडी से मिनिस्ट्री ऑफ लॉ लॉ एंड जस्टिस के अंदर एक एग्जीक्यूटिव बॉडी है ठीक है जो कि रिपोर्ट्स रिलीज करती है कोई पिलरी कोई भी पावर नहीं रहती नीति आयोग जिसने प्लानिंग कमीशन को अ रिप्लिकेट को हटाया था और इसका देखो चेयर पर्सन प्राइम मिनिस्टर रहता है सिर्फ एडवाइजरी रोल रहता है इसका एडवाइजरी रोल रहता है एक्स ऑफिशियल मेंबर्स चार पीएम अपॉइंट्स के रैंक का बंदा रहता है हालांकि आज के डेट में प्राइवेट मेंबर्स को भी सीईओ अपॉइंट्स है जस्ट वच दीज आर द दिस इज इंपोर्टेंट कौन-कौन सी रिपोर्ट्स नीति आए रिलीज करके यूनिवर्सल पोस्टल यूनियन के 150 साल पूरे हो चुके हैं जस्ट रिमेंबर ट्रीटी ऑफ बर्न से आया था सेकंड ओल्डेस्ट इंटरनेशनल ऑर्गेनाइजेशन हेड क्वार्टर्स बर्न में है स्विटजरलैंड प यूनाइटेड नेशन का ओके आरटीआई ये सब आपको करने की जरूरत नहीं है ओके ये आपका जो गवर्नमेंट स्कीम्स वाला उसमें देख लेना आरटीआई का बेसिक आईडिया आपको होना चाहिए ओके बेसिक आईडिया होना चाहिए ओके जैसे कि बाय प्रेसिडेंट कौन अपॉइंटमेंट कमिश्नर इंफॉर्मेशन कमिशनर को प्रेसिडेंट अपॉइंटमेंट ऑफ कमिटी पीएम लीडर ऑफ अपोजिशन एंड य यूनियन कैबिनेट मिनिस्टर जो हाईलाइट करना हू वही इंपॉर्टेंट है न साल के लिए पॉइंट करता है इसके सर्विस कंडीशन सैलरी वगैरे सब गवर्नमेंट ऑफ इंडिया डिसाइड करती है क्लियर अब कौन-कौन से केसेस में आरटीआई नहीं लगता है इसका थोड़ा सा आप एक्सेप्शन याद करना फॉरेन अफेयर्स ऑफेंस डिफेंस एक जनरल आईडिया जिस ग्लांस लिस्ट एक बार लिको ग्लांस कर लेना ठीक है अब देखो 30 दिन के अंदर आरटीआई का जवाब देना पड़ता है आरटीआई लगाता अगर कुछ लाइफ एंड लिबर्टी की बात है तो 48 आवर्स के अंदर एक पीआईओ पॉइंट कि रहते उसको आरटी का जवाब देना पड़ता है ठीक है ओके व्हाट इज आधार आधार का मेन मोटिव क्या है ये किसी भी टाइप का प्रूफ ऑफ सिटीजनशिप ऑफ डोमिसाइल ये प्रूफ नहीं करता है ये 12 डिजिट आइडेंटिफिकेशन नंबर है यूआईडीआई के अंदर है जिसको एक्टिवेट और डीएक्टिवेट यूडीआईएमएम 2018 का पीवा क है क्लियर अब देखो आधार के बारे में यह सारे डिटेल्स में क्या है बटेड मिटा डाटा मु जाने की कोई जरूरत नहीं है यूआई के अंदर याद रखनी ये मिनिस्ट्री ऑफ इलेक्ट्रॉनिक्स के अंदर आता है ठीक है इसका मेन मोटिव क्या है आधार के मैनेजमेंट को सेंट्रली स्पंस स्कीम नो नीड ठीक है क्या है कैसा है आपको कुछ जानने की जरूरत नहीं है ओके टाइप्स ऑफ सेंट्रली स्पनर स्कीम तीन टाइप के होते हैं को स्कीम जिसका नेशनल डेवलपमेंट का एजेंडा रहता है गन लशन कृषि सिचाई ये सब कोर ऑफ कोर स्कीम टोटल छ स्कीम है सोशल प्रोटेक्शन सोशल इंक्लूजन के ऊपर है आर्टिकल 39 बी ऑफ कांस्टिट्यूशन को फॉलो करता है ठीक है यह छ स्कीम इनके नाम को देख लेना ठीक है एग्जांपल में मनरेगा हो सिर्फ छ स्कीम आता ऑफल स्कीम मतलब स्टेट के ऊपर है या तो आप जॉइन करो या तो आप जॉइन नहीं करो ठीक है फॉर एग्जांपल बॉर्डर एरिया डेवलपमेंट रबन मिशन यह सब हो गया ओके मिशन कर्मयोगी आपको सिर्फ इतना याद रखना है कि सर्वेंट्स के कैपेसिटी बिल्डिंग के के लिए यह मिशन कर्मयोगी लाया गया है बाकी डिटेल इसके एचआर काउंसिल के पीएम है बाकी डिटेल्स क्या है क्रॉस ट्रेनिंग इंटरनेशनल ट्रेनिंग क्या करा जाएगी वो मेस के लिए इंपोर्टेंट है पता नहीं विजन ने क्यों डाला डिटेल्स हमें जानने प जरूरत नहीं है बस इतना जा सिविल सर्वेंट के लिए ओके ज आर इंपोर्टेंट टॉपिक्स फॉर मेंस यह गवर्नेंस के टॉपिक्स इस पर आपको नहीं जाना है मैं बारबार बता रहा हूं ओके जन योजना अभियान तना याद रखना है कि मिनिस्ट्री ऑफ पंचायती राज ने लॉन्च किया है पीपल्स प्लान कैंपेन ठीक है अब कोई सा भी अगर स्कीम बनानी है कोई सा भी लॉ बनाना है तो पीपल्स का पार्टिसिपेशन कौन कॉमन मैन एक जन योजना अभियान विंडो बनाया जाएगा जहां पे सिटीजंस का फीडबैक लिया जाएगा और उसके बेसिस पे सबका योजना सबका विकास करके क्या करवाया जाएगा नए लॉज बनाए जाएंगे ठीक है तो इलेक्टेड रिप्रेजेंटेटिव्स कम्युनिटी वर्कर्स सेल्फ हेल्प ग्रुप्स ये सब लोग रहेंगे इसमें ऑलराइट अच्छा बस सिर्फ इतना याद रखना लोकल बॉडीज के ऑडिटिंग के लिए फर्स्ट इंटरनेशनल सेंटर कहां खोला गया राजकोट में ठीक है लोकल बॉडीज के ऑडिटिंग के लिए इंटरनेशनल स्टैंडर्ड्स बनाने के लिए ठीक है बाकी कुछ नहीं कैंटोनमेंट बोर्ड क्या रहता है ये मिलिट्री इस्टैब्लिशमेंट रहते हैं ये आपके अलग से एक्ट के अंदर बने थे कैंटोनमेंट एक्ट के अंदर इन अकॉर्डेंस विद 74 कॉन्स्टिट्यूशन अमेंडमेंट एक्ट अर्बन लोकल बॉडीज ये मिलिट्री एस्टेब्लिशमेंट होते है आता किसके अंदर है मिलिट्री मिनिस्ट्री ऑफ डिफेंस के अंदर स्टेशन कमांडर ये आर्मी ऑफिसर रहता है ओके ये एक्स ऑफिश प्रेसिडेंट रहता है बोर्ड का ठीक कैटेगरी सम में जाने की कोई भी जरूरत नहीं है ओके कॉन्स्टिट्यूशन इजेशन ऑफ एनवायरमेंटल इशू दिस इ इंपोर्टेंट ओके सुप्रीम कोर्ट इन रिसेंट जजमेंट स्टेटेड ट राइट टू फ्री फ्रॉम एडवर्स इफेक्ट ऑफ क्लाइमेट चेंज आर्टिकल 14 इक्वलिटी राइट टू लाइफ के अंदर आ चुका है मतलब एवरीवन हैज राइट टू स्टे इन सेफ एंड हेल्दी एनवायरमेंट आप अगर आपके घर के पीछे से कुछ कचरा बहुत ज्यादा कुछ ड्रेन डंपिंग हो रही है ओपन ड्रेन है तो आप डायरेक्ट कोर्ट अप्रोच कर सकते हो कि भाई मेरा फंडामेंटल राइट वायलेट हो रहा है यह रणजीत सिंह केस में बताया गया ठीक है इससे रिलेटेड एमसी मेहता केस क्या है पोल्यूशन फ्री एनवायरमेंट इज अ फंडामेंटल राइट वेलोर वर्सेस सिटीजंस ऑफ इंडिया क्या है प्रिकॉशनरी प्रिंसिपल ठीक है हेल्थ एंड डिसीजन मेकर्स को क्या करना है कि अगर कुछ भी डिसीजन ह्यूमन रिलेटेड डिसीजन ले तो आपको ये इंश्योर करना है कि ह्यूमन हेल्थ एंड क्लीन एनवायरमेंट प्रायोरिटी में हो पोल्यूटे पे प्रिंसिपल की जो गंदगी करेगा उसके ऊपर फाइन एंड पेनल्टी लगाई जाएंगे ओके डिप्लोमेटिक पासपोर्ट क्यों न्यूज़ पे था क्योंकि एक रिसेंट जर्म एक पार्लियामेंट मेंबर ऑफ पार्लियामेंट सेक्सुअल एब्यूज के कारण जर्मनी में चले गए थे ठीक है अब डिप्लोमेटिक पासपोर्ट क्या होता है कि आप इसमें बहुत सारे प्रिविलेजेस रहते हैं आप इसमें विदाउट एनी क्लीयरेंस विदाउट एनी चेक बक करके आप डायरेक्ट काफी कंट्रीज में जा सकते हो ठीक है अब आप को डिप्लोमेट इम्युनिटी रहते है कि लेट्स से ये बंदा जर्मनी में गया तो वो एरस डिटेन कुछ लीगल प्रोसीडिंग से उस कंट्री से बच जाएगा ये ठीक है पाच साल के लिए वैलिड रहता है किनको मिलता है गवर्नमेंट ऑफिशल्स पॉलिटिशियन डिप्लोमेट्स इनको मिलता है क्लियर कई कंट्रीज से एमपन रिक्वायरमेंट्स भी मिल जाती है ठीक है वाइट कलर का रहता है डिप्लोमेटिक पासपोर्ट ऑफिशियल पासपोर्ट मेर कलर का ऑर्डिनरी जो हम जैसे लोगों के पास ब्लू कलर का कॉमन सर्विस सेंटर के 15 साल हो चुके कुछ नहीं है यह पंचायती राज एरिया में क्या रहता है पंचायती राज इंस्टीट्यूशन में ये सर्विस डिलीवरी के लिए बेसिक अ सर्विस डिलीवरी के लिए क्या बनाए जाते हैं ठीक है जैसे कि आधार कार्ड हो गया कम्युनिटी सर्विस हो गई आधार बनाने के लिए बायोमेट्रिक वेरिफिकेशन के लिए राशन कार्ड देने के लिए छोटे-छोटे ऑफिसेसूट सर्विस सेंटर मिनिस्ट्री ऑफ इलेक्ट्रॉनिक्स के अंदर आते हैं क्लियर वर्ल्ड प्रेस हेड फ्रीडम इंडेक्स एक यूपीएससी में पूछ चुका कौन रिलीज करते हैं रिपोर्टर्स विदाउट बॉर्डर्स इंडिया की रैंक 159 है ओके ऑलराइट सो दिस वाज अबाउट द सेशन सो थैंक यू सो मच फॉर वाचिंग द सेशन बाय बाय टेक केयर एंड चक