हेलो जी सर सरय स्टार्ट नहीं हो रही है क्लास अच्छा आपने ओके ओके डन सर डन न सो हेलो एवरीवन कैसे हैं आप सब लोग आई होप ईच एंड एवरीवन ऑफ यू इज डूइंग अब्सोल्युटली गुड माय नेम इज डॉक्टर विपन कुमार शर्मा और मैं आप सभी लोगों का तहे दिल से स्वागत करता हूं हमारे इस प्यारे से बैच यकीन 3.0 के अंदर अगर आप सभी मुझे ठीक तरीके से सुन पा रहे हैं अगर मैं आप सभी लोगों को बढ़िया तरीके से दिखाई दे रहा हूं देन गिव मी अ बिग फैट थम्स अप और अ बिग रेड हार्ट इन द चैट सेक्शन सो दैट वी कैन स्टार्ट टुडेज ब्यूटीफुल सेशन अप आज हम हमारे सिलेबस की शुरुआत करने वाले हैं आज हम हमारे बॉटनी सिलेबस का एक फेट प्लान लेने वाले हैं एज वेल एज सिलेबस को भी आज हम भयंकर तरीके से शुरू कर रहे होंगे अभी तक अगर आपने एनसीआरटी पढ़ रखी है अगर अभी तक आपने अपने सिलेबस को एक बार भी कंप्लीट किया है जैसे-तैसे 11 12th में तो आपको एक नए नजरिए से बॉटनी देखने का मौका मिल रहा होगा हम एनसीआरटी की गहराइयों तक जा रहे होंगे काफी सारी नई-नई बातें काफी सारे नए-नए कांसेप्ट को हम लोग सीख रहे होंगे एंड वी विल बी टारगेटिंग 180 आउट ऑफ़ 180 मार्क्स इन नीट 2025 फॉर श्यर अगर आप हमारे बताए हुए हर काम को फॉलो करते हैं अगर आप डेली का काम डेली कर पाते हैं होमवर्क रेगुलर बेसिस पे करते हैं टेस्ट को सीरियसली लेते हैं देन दिस बैच इज मोर देन इनफ देन योर ब्रदर इज मोर देन इनफ टू गिव यू 100% मार्क्स तो आराम से अपनी जर्नी को आज शुरू करेंगे और उससे पहले मुझे आपकी एनर्जी चाहिए इन द चैट सेक्शन फटाफट लाल कलर के दिलों की बारिश कर दीजिए जिससे हम आज के सेशन को शुरू कर पाएं बहुत ही खुशी से मुस्कुराते हुए गुड मॉर्निंग एवरीवन गुड मॉर्निंग गुड मॉर्निंग सभी लोगों का स्वागत है गुड मॉर्निंग आ जाइए फटाफट सारे लोग तैयार हैं तो लाल कलर के दिलों की बारिश कीजिए जिससे कि हम सबसे पहले कुछ जेनरिक बातें करेंगे 510 मिनट बिकॉज़ ज्ञान जितना दिया जाए उतना ही कम है और हम नहीं चाहते कि हमारा एक भी मिनट वेस्ट हो हम सीधा सिलेबस के ऊपर जंप कर रहे होंगे हम सीधा क्वालिटी कंटेंट के ऊपर जमप कर रहे होंगे काफी सारे क्वेश्चंस आज हम सॉल्व कर रहे होंगे मैं आपको एक फ्लो दिखाना चाहता हू हू आज कि हम किस तरीके से पूरी साल पढ़ने वाले हैं मैं आपको क्या-क्या चीजें लेक्चर के अंदर कराता हूं किस सीक्वेंस में कराता हूं सारी चीजों की क्लेरिटी जब आप लोगों को होगी तो आप इस बैच को ज्यादा एंजॉय कर पा रहे होंगे मेरा मोटो बस वही है कि आज आपको दर्शन हो जाएं इस फ्लो के कि हम लोग कैसे-कैसे आगे बढ़ेंगे क्या-क्या चीजें करेंगे और क्या-क्या चीजें आपको करनी है सारी चीजों की डिस्कशन करेंगे बहुत सारे दिल आ चुके हैं तो चलिए शुरू करते हैं सेल द यूनिट ऑफ लाइफ लेकिन सेल द यूनिट ऑफ लाइफ को शुरू करने से पहले कुछ एक ज्ञान की बातें मुश्किल से पाच सात मिनट की ज्ञान की बातें जो आपको पूरे साल फॉलो करनी है एटलीस्ट बॉटनी के अंदर आपको यह फॉलो करनी है तो प्लीज मेक शर कि आपने अभी जो अपनी नोटबुक बनाई है उसके अंदर सबसे पहले आप य तीन चार पॉइंट्स लिख ले सबसे पहली चीज या पहला सजेशन आप कह लीजिए कि आपको कोई बैकलॉग नहीं रखना नो बैकलॉग्स फ्रॉम डे वन नो बैक लॉक्स फ्रॉम डे वन अगर आप आज का काम आज ही कर लेते हैं तो इससे बेटर और कुछ भी नहीं हो सकता ऐसा नहीं है कि आप पूरी साल बीमार नहीं पड़ेंगे ऐसा नहीं है कि पूरी साल आपके पास कोई भी ए इमरजेंसी नहीं आएगी इमरजेंसी सिचुएशंस आती हैं बिना बताए आती हैं और कई बार आपके दो तीन चार पाच दिन खराब करके चली जाती हैं लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि आपको बैकलॉग क्लियर करने का टाइम नहीं मिलेगा आपको बैकलॉग क्लियर करने का पूरा पूरा टाइम मिलता है संडे को आपको यूटिलाइज करना है सैटरडे इवनिंग्स को आपको यूटिलाइज करना है एक दिन के बाद पढ़ाई के बाद बचा हुआ जितना भी बफर टाइम है उसको आपको यूटिलाइज करना है लेकिन इस बैकलॉग नाम की बीमारी से खुद को बचाकर रखना है टिल नीट 2025 अगर सिलेक्ट होना है तो बैक लॉक तो नहीं होने चाहिए और अगर हैं तो आपको उन्हें अर्लीस्ट पॉसिबल मैनर में कंप्लीट करना होगा खत्म करना होगा इस शब्द से जितना दूर रहो उतना आपके लिए बेटर है पहला आपका ज्ञान यही है कि बैकलॉग से बच के रहना है दूसरा ज्ञान जो है वो यह है टेक लेक्चर सीरियसली लेक्चर जो है आपके प्रिपरेशन की जान है इनको बहुत सीरियसली आपको पढ़ना है मजाक में बिल्कुल नहीं लेना है है ना आप चाहे एक टॉपिक जो आपको आता है उसको 2x पे देख ले चाहे दैट्ची क्योंकि कई कांसेप्ट ऐसे होते हैं जो इंटरलिंक्ड होते हैं अगर मैं आपको राइबोसोम के बारे में यहां पर इस चैप्टर के अंदर बताऊंगा तो मैं आपको मॉलिक्यूलर बेसिस में भी बताऊंगा मैं आपको अलग-अलग चैप्टर्स में ये टर्म जो है इसको लिंक करके आपके सामने प्रेजेंट कर रहा हूंगा तो आप कोई भी लिंक्ड टॉपिक मिस ना कर रहे हो इसको मेक श्योर करने के लिए या तो आप नोट्स देख लीजिए अपने टीचर के या फिर आप क्लास को 2x पर देख लीजिए थोड़ा बहुत स्किप करके देख लीजिए कोई टॉपिक अगर आपको आता भी है तो भी आपको उसको एक बार तो देखना है चाहे फास्ट पेस पर ही आप क्यों ना देख रहे हो क्योंकि बार कुछ इंपोर्टेंट नए पॉइंट्स होते हैं जो हर टॉपिक में बताए जाते हैं आपके वो पॉइंट्स मिस नहीं होने चाहिए थड मोस्ट इंपोर्टेंट थिंग कि आपको टेस्ट को और होमवर्क को स्टार्टिंग से ही सीरियसली लेना है होमवर्क एंड टेस्ट शुड बी अटेम्प्टेड फ्रॉम बिगिनिंग आज से ही आज मैं आपको होमवर्क दूंगा आज से ही आपको अपना होमवर्क डेली बेसिस पर करते जाना है आपको एक डोपामिन हिट मिलता है जब भी क्लास के बाद आपको कोई होमवर्क दिया जाता है कोई ऐसा काम दिया जाता है तो आपके दिमाग में ना हमेशा वह काम घूमता रहता है एंड अल्टीमेटली आप पढ़ाई की तरफ थोड़े से मोटिवेट होते हो तो होमवर्क आपको डेली बेसिस पर करना है डीपीपी जो भी दी जाए आपको डेली बेसिस पर सॉल्व करनी है और उसके अलावा टेस्ट जो है इनको पहली बार से ही आपको देना है ऐसा नहीं है कि मैं सिर्फ एंड में जब मेरा सिलेबस खत्म हो जाएगा तभी टेस्ट दूंगा ये जो पार्ट वाइज टेस्ट होते हैं दे आर आल्सो वेरी इंपॉर्टेंट और टेस्ट में समझ लीजिए कोई नया क्वेश्चन आ गया जो आपके नोट्स में नहीं था तो आप क्या करेंगे इस टेस्ट में जो नया क्वेश्चन आया है न्यू क्वेश्चन उसको नोट में सप्लीमेंट कर लेंगे इसे हम कहते हैं सप्लीमेंटेशन टेक्नीक कोई ऐसा ऑप्शन मिला जो बहुत ही अच्छा है कोई ऐसा क्वेश्चन मिला जो बहुत ही अच्छा है तो यू विल बी सप्लीमेंटिंग दोज पॉइंट्स दोज क्वेश्चंस इन योर नोट्स इसे हम कहते हैं सप्लीमेंटेशन टेक्निक तो अपने नोट्स में हम जो भी नया पॉइंट हमको मिलेगा किसी भी टेस्ट सीरीज का किसी भी क्वेश्चन का कहीं से भी हम उसको अपने नोट्स में सप्लीमेंट कर लेंगे जिससे हमारी गलतियां कम से कम हो एंड यह जो नोट्स है आपके यह पोथी नोट्स नहीं होने चाहिए है ना यह आपके पोथी नोट्स नहीं होने चाहिए इतने ज्यादा नोट्स बना लिए कि अब जो है उनको रिवाइज ही नहीं किया जा रहा ऐसे नोट्स नहीं बनाने इट्स अ बिग नो आपको बहुत छोटे-छोटे क्रिस्प और कंसाइनर हैं प्यारे-प्यारे नोट्स बनाने हैं शॉर्ट नोट्स आपको तैयार करने हैं इसके अलावा और कुछ नहीं है ना बहुत छोटे-छोटे नोट्स आपको बनाने हैं यह शॉर्ट नोट्स मैं भी आपको दे दूंगा मेड इजी नाम की हमारी बुक है बॉटनी मेड इजी उसमें ये शॉर्ट नोट्स ऑलरेडी अवेलेबल है बल्कि मेड इजी इज अ कांसेप्चुअल बुक इसमें सब कुछ ऑलरेडी गिवन है मेरे रिटन नोट्स हैं हाथ से ही पूरी की पूरी किताब मैंने लिखी है तो अगर आप नोट्स कम बनाना चाहते हैं तो आप मेडजी को यूज कर सकते हैं अब आप बोलेंगे सर अगर मेरे पास मेडीज है तो क्या मैं नोट्स बनाऊं बिल्कुल रफ नोट्स बनाइए क्लास में जो भी आप देख रहे हैं जो भी सुन रहे हैं उसको एक रफ कॉपी में लिखिए और कोई पॉइंट जो मेडजी में नहीं है इसको ऐड कर लीजिए नोट्स का एडिशन कर लीजिए आपका बहुत टाइम बचेगा आप मेडजी को ही 10 बार रिवाइज कर लेंगे इसी से पूरा का पूरा पेपर आने वाला है टेंशन लेने की जरूरत नहीं है एनसीआरटी आपको यहीं की यहीं मैं करा दूंगा क्वेश्चन यही की यही करा दूंगा कुछ और करने की जरूरत नहीं है इतना काम कर लेंगे मोर देन इनफ हो जाएगा आपके लिए टेंशन वाली बात नहीं है अगला क्वेश्चन जो सबसे ज्यादा जरूरी है स्टूडेंट्स के लिए कई बच्चे पूछते हैं सर न्यू एनसीआरटी या ओल्ड एनसीआरटी है ना यह भी एक नया पंगा है सर नई एनसीआरटी ले या ओल्ड एनसीआरटी ले यहां पर सिंगल वर्ड जवाब है बॉटनी और जूलॉजी दोनों के लिए न्यू एनसीआरटी कुछ टॉपिक्स जो आपको एक्स्ट्रा पढ़ने होंगे उनकी ओल्ड एनसीआरटी की पीडीएफ अच्छे से एनोट करके उसी में नोट्स बना के पी वाई क्यू टैग करके मैं आपको प्रोवाइड कर दूंगा जैसे एनाटॉमी ऑफ फ्लावरिंग प्लांट्स में एक छोटा सा टॉपिक है प्लांट टिशूज वो आपको एक्स्ट्रा पढ़ना होता है और प्लांट की कुछ फैमिलीज हैं जो आपको एक्स्ट्रा पढ़नी होती हैं जो कि नई एनसीआरटी के अलावा पुरानी एनसीआरटी में भी नहीं थी मालवेसी है एस्टरी है एसी है पोएसी है ये कहीं भी नहीं गिवन है तो ये आपको अलग से ही पढ़नी पड़ेंगी सो इट्स बेटर कि हम लोग नई एनसीआरटी को ही ऑप्ट करें तो ये भी आपका जो है एकदम मामला खत्म हो जाना चाहिए रिलीजियस ली आपको पी वाई क्यू कितने करने हैं है ना आपके जो एफ क्यूज थे जो आप सवाल पूछते हो वो सारे के सारे मैं यहीं पर क्लियर कर दे रहा हूं सर बायोलॉजी में पी वाई क्यूज कितने करने हैं 2013 से लेकर के 2024 तक के जितने पी वाई क्यूज हैं ये आपको करने हैं इसके ऊपर नहीं 2013 से पहले के सवाल आपको नहीं करने हैं बहुत पुराने पैटर्न के हैं और उस टाइम पर एनसीआरटी भी आपकी अलग थी जिसमें आज का जो एसेंस है वो एकदम नहीं था कुछ ऐसे एग्जांपल्स है जो आपको समझ में नहीं आ रहे होंगे कुछ ऐसे कांसेप्ट है जो आपको समझ में नहीं आ रहे होंगे है ना तो दे आर नॉट इंपॉर्टेंट फ्रॉम एग्जामिनेशन पॉइंट ऑफ व्यू अगर आप आज का पैटर्न देखें तो तो आपको सिर्फ 2013 से 2024 तक के पेपर करने हैं इसके अलावा अगर आप क्वेश्चन करना चाहते हैं सर हम तो और क्वेश्चन करेंगे है ना आप क्लास में ऑलरेडी बहुत प्रैक्टिस करा देंगे सर लेकिन हम तो और क्वेश्चन करेंगे तो भैया मॉड्यूल जो है ये आपके लिए है और एनसीईआरटी पंच ऑब्जेक्टिव एनसी एसीआरटी पंच जो हमारी किताब है मैंने एमआर सर ने और पंकज सर ने लिखी है फिजिक्स केमिस्ट्री और बायोलॉजी की कंप्लीट किताब तो यहां पर आपके मॉड्यूल या एनसीआरटी पंच आप ले सकते हैं दोनों में से जो आपको अच्छा लगे और नहीं भी लोगे तो भी क्लास में और डीपीपी में मैं इतने एम्पल क्वेश्चंस कराऊंगा कि आपको कुछ लेने की जरूरत नहीं है लेकिन आपको ऐसा लगता है कि हां यार मुझे अपने आप को बेटर बनाना है और मुझे और क्वेश्चंस प्रैक्टिस करनी है तब की बात है ये आज आपको पता लगेगा कि हम कितने क्वेश्चंस करने वाले हैं सो यू विल फील वेरी वेरी कॉन्फिडेंट और हर क्लास में उतने क्वेश्चंस होते हैं हर क्लास में आपके सारे के सारे डाउट्स लिए जाते हैं हर क्लास में सारे के सारे कांसेप्ट हैंड रिटन मैनर में आपको सिखाए जाते हैं यानी अगर आप नोट्स बनाना चाहते हैं आप मैडीजी भी नहीं लेना चाहते तो आप मेरे साथ-साथ अपने नोट्स बना सकते हैं क्योंकि जब मैं बोर्ड पे लिख रहा हूंगा जब मैं बोर्ड पे डायग्राम्स बना रहा होगा उस टाइम पर आप भी मेरे साथ-साथ अपना कंटेंट एगजैक्टली मैप कर सकते हैं तो कोई भी दिक्कत नहीं है दैट टोटली डिपेंड्स अपऑन यू कि आपका पढ़ाई का पैटर्न क्या है आप नोट्स बनाना ज्यादा प्रेफर करते हैं या चीजों को कांसेप्चुअली ज्यादा करना प्रेफर करते हैं आप क्लास में जो हो रहा है उसी को 10 बार रिवाइज करना प्रेफर करते हैं या आप नई किताबों को सॉल्व करके उनको रिवाइज करना प्रेफर करते हैं दैट टोटली डिपेंड्स अपॉन यू सारे के सारे रास्ते खुले हैं यह कंटेंट पढ़ने के बाद जो हम इन क्लासेस में करने वाले हैं आप कोई भी टेस्ट सीरीज सॉल्व कर सकते हैं आप कहीं भी जाकर के कोई भी क्वेश्चन लगा सकते हैं यू आर फ्री टू परचेज एनी बुक यू आर फ्री टू सॉल्व एनी बुक लेकिन थ्योरी के लिए सिर्फ और सिर्फ हमारे नोट्स और एनसीआरटी इसके अलावा और कुछ करने की जरूरत नहीं है कुछ स्टूडेंट्स ऐसे हैं जो यकीन 2.0 के हैं मेरे दोस्त अगर आपका बैकलॉग इतना है कि आप उसे संभाल पाएं तो यकीन 2.0 से ही पढ़िए अगर वहां पे टीचर्स के साथ आपका सिंक बन चुका है अगर वो बैच आपको रास आ चुका है अगर आपको लग रहा है कि वहां पे एकदम फाइन टीचर्स हैं जो कि हैं तो आपको वहीं से पढ़ना चाहिए अगर आपका 5 सा 10 दिन का बैकलॉग है और आपको लगता है कि आप वो क्लियर कर लेंगे इस हफ्ते अगले हफ्ते तो वहीं पर टिके रहिए वहीं पर जमे रहिए लेकिन अगर आपको लगता है कि मेरा बैकलॉग अब हाथों से फिसल चुका है इतना ज्यादा बैकलॉग मैं कवर नहीं कर पाऊंगा और मैं बहुत ज्यादा स्ट्रेस आउट हो जाऊंगा ड्यूरिंग माय प्रिपरेशन सो इट्स बेटर टू कम टू 3.0 अगर आपको लगता है कि यहां कोई ऐसा टीचर है जिसके साथ आपकी सिंक बेटर बन सकती है जिसके साथ आप थोड़ा सा बेटर सीख सकते हैं दोस्ती आरी आपकी बेटर हो सकती है तो 3.2 में आना एक फायदे का सौदा है लेकिन यहां पर बैकलॉग फिर क्रिएट मत करिएगा बिकॉज़ दिस इज अ नेवर एंडिंग प्रोसेस अगर आप 1.2 से 2.2 पे गए हैं और 2.2 से 3.2 पे आए हैं तो आप यह मान के चलिए कि आप 3.2 में भी नहीं टिकने वाले आप 6.2 तक पहुंचेंगे और एंड में youtube0 या उम्मीद सीरीज तक लटके रहेंगे यहां पर आपको अपने आप को एक प्रॉमिस करना होगा कि अब मैं इसके बाद कोई और बैच नहीं लेने वाला हूं आप यह मान के चलिए कि 3.2 इज योर लास्ट बैच इसके बाद आपको कुछ अवेलेबल होगा ही नहीं सो अगर आप 2.0 के स्टूडेंट्स भी हो और 3.0 में आना चाहते हो पढ़ना चाहते हो डे वन से बी वेरी रेगुलर बी वेरी कंसिस्टेंट बी वेरी ओबेडिएंट एंड बी वेरी रिस्पेक्टफुल यहां पर आकर के किसी को क कंपेयर नहीं करना है कि सर मैं वहां से पढ़ के आया हूं वहां पर ऐसा था यहां पर ऐसा था कोई दिक्कत नहीं है सब अपने आप में बेस्ट है 3.2 का कोई बच्चा 2.2 में जाकर पढ़ना चाहता है वहां पर जाकर मस्ती नहीं करनी है और 3.0 का कोई बच्चा अगर किसी और बैच में भी जाता है कहीं जाके किसी टीचर को ट्रॉल नहीं करना है या कंपेयर नहीं करना है हर टीचर अपने आप में कुछ एसेट्स लेकर के बैठा हुआ है सबने अपनी पढ़ाई बहुत अच्छे तरीके से की है एंड दैट्ची तो हमको अपने ऊपर फोकस करना है रदर देन एंड कंपेयरिंग अदर्स आई गेस इतना जो है ज्ञान आज के लिए बहुत था अब एक बार फटाफट दिलों की वर्षा कर दी जाए या अपना स्लोगन तारा रारा बोल दिया जाए इन द चैट सेक्शन जिससे हम श्री गणेश कर सके हमारे सिलेबस का और बहुत भयंकर तरीके से फोड़ सके पूरी की पूरी बॉटनी को हम शुरू करने वाले हैं हमारा सिलेबस विद द फर्स्ट यूनिट जो कि सबसे फंडामेंटल यूनिट है इस यूनिट को हम कहते हैं सेल बायोलॉजी यहां तीन चैप्टर्स होते हैं लेकिन हमें बॉटनी में सिर्फ दो चप पढ़ने हैं पहला सेल द यूनिट ऑफ लाइफ एंड सेकंड सेल साइकिल सेल डिवीजन इनके बीच में सैंडविच की तरह फंसा हुआ है एक और चैप्टर जिसका नाम है बायो मॉलिक्यूल जो आप पढ़ते हैं जूलॉजी के अंदर लेकिन जहां-जहां थोड़े बहुत बायो मॉलिक्यूल की जरूरत पड़ेगी वहां हम भी उन टॉपिक्स को टच कर रहे होंगे राइट तो हम सबसे पहले भैया जिस सब्जेक्ट को पढ़ने आए हैं उस सब्जेक्ट के बारे में थोड़ी सी बातें जान ली जाए सबसे पहले देखते हैं कि बायोलॉजी क्या होता है बायो का मतलब क्या होता है बायो का मतलब क्या होता है दोस्त लिविंग और लॉजी का मतलब क्या होता है ए जीी ओ जीी लॉजी सुनोजी वाला लॉजी नहीं है यह इसका मतलब होता है लोगस और लोगस का मतलब क्या होता है लोगस का मतलब होता है स्टडी यानी अगर आप किसी भी लिविंग ऑर्गेनिस्ट म की स्टडी कर रहे हैं या आप किसी भी लिविंग ऑर्गेनिस्ट म के अंदर होने वाले लिविंग प्रोसेसेस की स्टडी कर रहे हैं तो आप बायोलॉजी पढ़ रहे हैं अब लिविंग ऑर्गेनिस्ट में चाहे एक छोटा से छोटा लिविंग हो आपका एक बैक्टीरिया हो या फिर आपका बड़े से बड़ा मेमल हो चाहे एक ब्लू वेल हो चाहे एक बहुत बड़ा पेड़ हो इनमें से किसी की भी आप स्टडी कर रहे हैं देन यू आर रीडिंग बायोलॉजी और बायोलॉजी में आप ऑर्गेनिस्ट मस के होने वाले कामों के बारे में भी पढ़ते हैं अब जैसे हमारी बॉडी को आप रेफरेंस के तौर पे अगर माने तो हमारी बॉडी में डाइजेस्टिव सिस्टम भी है रेस्पिरेटरी सिस्टम भी है सर्कुलेटरी सिस्टम भी है एक्सक्रीट सिस्टम भी है लोकोमोटरी सिस्टम भी है एंडोक्राइन सिस्टम भी है न्यूरल सिस्टम भी है इम्यूनोलॉजिकल सिस्टम भी है रिप्रोडक्टिव सिस्टम भी है इतनी सारी चीजें हैं तो जब आप ह्यूमन की स्टडी कर रहे होंगे तो क्या आप ह्यूमन की बॉडी में पाए जाने वाले इन सिस्टम्स की भी स्टडी कर रहे होंगे यस और जब आप इन सिस्टम्स की स्टडी कर रहे होंगे तो इन ऑर्गन सिस्टम्स के अंदर पाए जाने वाले ऑर्गन्स की भी स्टडी कर रहे होंगे यस जब आप इन ऑर्गन्स की स्टडी कर रहे होंगे तो उन ऑर्गन्स को बनाने वाले टिशूज की भी स्टडी कर रहे होंगे यस और जब आप टिशूज की स्टडी कर रहे होंगे तो क्या उन सेल्स के बारे में भी पढ़ रहे होंगे जिन्होंने मिलजुलकर इन टिशूज को बनाया है यस यानी अल्टीमेटली हम लोग जा कर के लैंड करेंगे ऑन द स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ अगर आपकी लाइफ बनी है किसी चीज से तो वो किस चीज से बनी है सेल से बनी है सेल से छोटा कुछ भी ऐसा नहीं है जिसको हम लिविंग कह सकें अगर एक एंटिटी को जिंदा रहना है तो कम से कम उसके अंदर एक सेल तो होना चाहिए बैक्टीरिया जो है उसमें एक सेल होता है तो उसको लिविंग बोलते हैं वो अपने सारे मेटाबॉलिक रिएक्शंस कर रहा है केमिकल रिएक्शन कर रहा है है ना अच्छे तरीके से अपने सर्वाइवल के सारे काम कर पा रहा है तो उसको लिविंग कहा लेकिन एक वायरस जो है उसको लिविंग क्यों नहीं कहा एक वायरस को लिविंग इसीलिए नहीं कहा क्योंकि उसके पास खुद का सेल ही नहीं है वह खुद से मेटाबोलाइज्ड उसमें सेल नहीं है ट्स वई उसको लिविंग भी नहीं बोला लिविंग होने की पहली शर्त यह है कि आपके पास सेल होना चाहिए इसीलिए सेल को क्या बोला ल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ तो जब हम एनसीईआरटी एकदम स्टार्टिंग से पहले पन्ने से पढ़ना शुरू करते हैं तो आपकी एक डेफिनेशन दी हुई है बायोलॉजी की वह हम यहां पर लिख लेते हैं बायोलॉजी क्या है स्टडी ऑफ लाइफ एंड लिविंग प्रोसेसेस अलग-अलग जो लिविंग ऑर्गेनिस्ट मस है और इनके अंदर होने वाले जो प्रोसेसेस है इनकी स्टडी को आप क्या कहते हैं बायोलॉजी कहते हैं प्रोसेसेस जैसे सेल डिवीजन हो रहा है खाना पच रहा है डाइजेशन हो रहा है ऑर्गेनिस्ट मस रिप्रोडक्शन हो रहा है यह सारी की सारी चीजें क्या है प्रोसेसेस ही तो है तो आप इनके बारे में भी तो बायोलॉजी में पढ़ते हो जब आप 12थ क्लास की एनसीआरटी खोलेंगे तो पहली य क्या है रिप्रोडक्शन उसके बाद क्या है जेनेटिक्स उसके बाद क्या है इवोल्यूशन उसी जेनेटिक्स के यूनिट में देन डिजीज कि कोई बाहर का एजेंट आपको कैसे इफेक्ट कर सकता है देन इकोलॉजी तोय सारी चीजें क्या है आपके लिविंग ऑर्गेनिस्ट म की स्टडी से ही तो रिलेटेड है मेरे दोस्त दूसरी डेफिनेशन जो वहीं पर दी हुई है दूसरी डेफिनेशन जो वहीं पर दी हुई है एनसीआरटी की शुरुआत में इट इज द स्टोरी ऑफ लाइफ ऑन अर्थ धरती जो है इसके ऊपर लाइफ कैसे आई और कैसे लाइफ ने अपने आप को बढ़ाया कैसे जिंदगी जो है एक सिंगल सेल के फॉर्मेट में आई थी इस धरती पे और उसके बाद कैसे वो सिंगल सेल आपका मल्टी सेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट सम बना और कैसे हम इतने कॉम्प्लेक्शन की स्टडी जो है है ना स्टडी ऑफ लाइफ ऑन अर्थ इवोल्यूशन की स्टडी जो है यह भी आप इसी बायोलॉजी में करते हो यह दोनों के दोनों डेफिनेशंस आपकी लिविंग वर्ल्ड चैप्टर से पहले दे रखी हैं ठीक है बेसिक बेसिक डेफिनेशन है यानी दुनिया में कोई भी चीज अगर लिविंग है वो जिंदा है तो बायोलॉजी के अंदर आ जाती है हम उसे बायोलॉजी में पढ़ेंगे सिंपल सी बात यह है बायो का मतलब होता ही है लिविंग और लॉजी का मतलब होता है स्टडी यानी लिविंग ऑर्गेनिस्ट मस की स्टडी को हम लोग क्या कहते हैं बायोलॉजी कहते हैं इसकी दो मेन ब्रांचेस वैसे तो कई ब्रांचेस हो सकती हैं पर इनकी दो मेन ब्रांचेस हैं कौन-कौन सी ब्रांचेस है भैया जो आप पढ़ते हो है ना अभी जस्ट आप पढ़ना स्टार्ट करोगे मैं आपको कौन सा सब्जेक्ट पढ़ा रहा हूं सर आप बॉटनी पढ़ा रहे हैं और डॉक्टर आकांक्षा मैम आपको क्या पढ़ाएंगे सर जूलॉजी पढ़ाएंगे तो बॉटनी और जूलॉजी क्या है आपके दो कोर ब्रांचेस है बायोलॉजी के है ना बॉटनी और जूलॉजी दो कोर ब्रांचेस है बायोलॉजी के तो पहला हो गया बॉटनी में आप किसकी स्टडी करते हो प्लांट्स की प्लांट्स के बारे में आप स्टडी करते हो और दूसरा सब्जेक्ट हो गया आपका जूलॉजी आपने सुना हुआ है जू के बारे में चिड़ियाघर जू जहां पर एनिमल्स को रखा जाता है और लॉजी मतलब स्टडी तो यहां पर एनिमल्स की स्टडी आप करते हो इस सब्जेक्ट को आप जूलॉजी कहते हो प्लांट की आप स्टडी करोगे इस सब्जेक्ट को आप बॉटनी कहोगे और मैं आपको बॉटनी पढ़ाने वाला हूं अब आप देखिए यहां पर एक बहुत मस्त चीज सर हम एक यूनिट स्टार्ट कर रहे हैं जिसका नाम है सेल बायोलॉजी सेल बायोलॉजी में क्या-क्या पढ़ेंगे सेल बायोलॉजी में हम लोग पढ़ेंगे स्ट्रक्चर सेल का स्ट्रक्चर सेल के अंदर क्याक पाया जाता है सेल कैसा दिखता है सब कुछ फंक्शंस सेल क्या-क्या काम करता है माइटोकांड्रिया इ द पावर हाउस ऑफ द सेल एक बार अपने पिताजी का नाम भूल सकते हैं पर यह लाइन नहीं भूल सकते है ना तो अल्टीमेटली क्या है माइटोकांड्रिया पावर हाउस है क्लोरोप्लास्ट में खाना बन रहा है राइबोसोम प्रोटीन फैक्ट्रीज हैं ये प्रोटीन बनाते हैं तो अल्टीमेटली ये सारे के सारे क्या है फंक्शंस ऑफ सेल्स एक सेल क्या कर रहा है दैट इज फंक्शन एंड डिवीजन ऑफ सेल्स एक सेल डिवाइड कैसे होता है ये सारी की सारी चीजें हम लोग किस ब्रांच में पढ़ते हैं सेल बायोलॉजी में पढ़ते हैं स्ट्रक्चर फंक्शन डिवीजन जितने भी सेल के बारे में जानकारी है वो सारी की सारी जानकारी आप सेल बायोलॉजी में लेते हैं और साइटोलॉजी क्या है सर सर हमें तो लगता है सेल बायोलॉजी और साइटोलॉजी सेम होनी चाहिए नहीं इसमें कोर फोकस स्ट्रक्चर ऑफ सेल के ऊपर ही होता है इसमें कोर फोकस स्ट्रक्चर ऑफ सेल के ऊपर होता है फंक्शन और डिवीजन हम लोग साइटोलॉजी में नहीं पढ़ते यानी इन दोनों में से हम क्या पढ़ने वाले हैं सर सेल बायोलॉजी पढ़ने वाले हैं क्योंकि हमारा अगला जो चैप्टर है व सेल साइकिल सेल डिवीजन ही है तो हम कई सारे अप्रोच यहां पर लेने वाले हैं हम लोग स्ट्रक्चर भी पढ़ेंगे सेल का फंक्शंस भी पढ़ेंगे एंड अल्टीमेटली उनके शेप्स एंड साइजेस भी पढ़ेंगे अलग-अलग सेल्स की डिस्कशन करेंगे और उनके डिवीजन के बारे में भी समझेंगे यानी हम साइटोलॉजी ना पढ़ के सेल बायोलॉजी पढ़ने वाले हैं तो पहले तो इन दोनों के बीच का डिफरेंस ही क्लियर करना बहुत जरूरी है हमारे लिए देन हम लोग एक और लाइन जो भूल नहीं सकते मरते दम तक नहीं भूल सकते है ना हमारी छाती पर गुदवा लेनी चाहिए लाइन हमें हमारा एकदम कोर जो स्लोगन है बायोलॉजिस्ट होने का वो यही है कि सेल इज द स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ सेल इज द स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ सबसे पहले देखिए कि यहां पर इसको बोला गया है रल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ यानी जिंदा रहने के लिए यहां पर सेल की आवश्यकता है अगर सेल नहीं तो जिंदगी नहीं अगर सेल है तो ही आप किसी ऑर्गेनिस्ट म को लिविंग बोल सकते हैं अदर वाइज आप उसे लिविंग नहीं बोल सकते देन जिस हिसाब से हमारा घर ईंटों के जुड़ने से बना है समझ लीजिए एक घर है उसको बनाने के लिए 1 लाख ईटों की जरूरत पड़ी तो एक ईंट है उसी को हमने 1 लाख बार रिपीट किया है है ना सारी ईट एक जैसी तो है तो एक ईंट जो है उसका स्ट्रक्चर बाकी सारी ईंटों के सिमिलर है उसी को आपने 1 लाख बार रिपीट किया और पूरा का पूरा घर तैयार हो गया इसी प्रकार से हमारे सेल्स हैं उन्हीं सेल्स को हमने करोड़ों अरबों बार रिपीट किया और हमारी पूरी की पूरी बॉडी तैयार हो गई इसीलिए इसको कहा जाता है यूनिट इसी ने रिपीट हो होकर सेल ने ही रिपीट होकर हमारी पूरी बॉडी बनाई है सेल ने ही रिपीट होकर हमारी बॉडी बनाई है तो जितने भी सेल्स हैं मिलियन सेल्स है तो मिलियन बार सेल्स रिपीट हुए बिलियन सेल्स है बिलियन बार रिपीट हुए ट्रिलियन सेल्स है ट्रिलियन बार रिपीट हुए और इसको स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट क्यों बोला क्योंकि स्ट्रक्चरल यूनिट इसको बोला बिकॉज सेल हैज मेड आर बॉडी सेल हैज मेड स्ट्रक्चर ऑफ आ बॉडी इसी ने हमारी बॉडी बनाई है स्ट्रक्चर ऑफ आवर बॉडी और फंक्शन क्या करता है सेल सेल के अंदर अलग-अलग प्रकार के रिएक्शन होते हैं तो एक सेल के अंदर ही सारे के सारे मेटाबॉलिक रिएक्शन भी होते हैं तो इसी को फंक्शनल यूनिट भी कहा एक सेल के अंदर सारे के सारे रिएक्शंस हो सकते हैं है ना मेटाबॉलिक रिएक्शंस मेटाबॉलिक रिएक्शंस टेक्स प्लेस इन सेल ओनली सेल में ही मेटाबॉलिक रिएक्शन होते हैं यहां तक की बात अगर आप समझे तो एक बार चैट सेक्शन में मुझे बताइएगा मैं दोबारा से रिपीट कर देता हूं यहां तक का पूरा का पूरा मामला जो भी हमने पढ़ा है हमने बेसिक डेफिनेशंस पढ़ी है कुछ बेसिक टर्म्स पढ़ी है सबसे पहली टर्म हमने पढ़ी बायोलॉजी जिस सब्जेक्ट की हम लोग शुरुआत कर रहे हैं बायो का मतलब होता होता है लिविंग और लॉजी का मतलब होता है स्टडी यानी यहां पर हम लोग लिविंग ऑर्गेनिस्ट मस और उनके अंदर होने वाले प्रोसेसेस की स्टडी कर रहे होंगे सेकंड हम लोगों ने पढ़ी सेल बायोलॉजी की डेफिनेशन सेल बायोलॉजी मतलब बायोलॉजी में सेल से रिलेटेड जो कुछ भी है सब सेल बायोलॉजी के अंदर आता है चाहे सेल का स्ट्रक्चर हो चाहे उसका फंक्शन हो चाहे उसका मेटाबॉलिज्म हो चाहे उसका डिवीजन हो सब कुछ तो हम लोग सेल बायोलॉजी पर कोर फोकस कर रहे होंगे क्योंकि इस चैप्टर में हम लोग सेल के स्ट्रक्चर और फंक्शन पढ़ेंगे और अगले चैप्टर में हम उसका डिवीजन पढ़ रहे होंगे सेल साइकिल सेल डिवीजन चैप्टर में यानी हम सेल बायोलॉजी पढ़ रहे हैं साइटोलॉजी मतलब सेल का सिर्फ स्ट्रक्चर स्ट्रक्चर पढ़ना दैट इज कमिंग अंडर साइटोलॉजी तो हम लोग साइटोलॉजी भी कवर कर रहे हैं उसके अलावा और भी चीजें कवर कर रहे होंगे हम लोग सेल का फंक्शन और उसके मेटाबॉलिज्म की भी डिस्कशन कर रहे होंगे उसके बाद हमने सेल की डेफिनेशन पढ़ी जो बचपन से हमको आती है सेल इज द स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ स्ट्रक्चरल क्योंकि इसी से हमारी पूरी बॉडी का स्ट्रक्चर बना है ह्यूमन बॉडी के अंदर 200 से भी ज्यादा डिफरेंट टाइप ऑफ सेल्स पाए जाते हैं आपकी आंख के सेल्स अलग हैं आपकी स्किन के सेल्स अलग हैं आपके एलिमेंट्री कैनाल के सेल्स अलग हैं आपके लीवर के सेल्स अलग हैं पैंक्रियास के सेल्स अलग हैं 200 से भी ज्यादा डिफरेंट टाइप ऑफ सेल्स ह्यूमंस के अंदर पाए जाते हैं तो अलग-अलग सेल्स ने मिलकर के हमारी बॉडी का स्ट्रक्चर बनाया है और यह जो सेल्स हैं इन्हीं में अलग-अलग मेटाबॉलिक रिएक्शंस भी होते हैं तो यही हमारी बॉडी में फंक्शन भी करते हैं और इसी की वजह से हम जिंदा हैं दैट्ची कॉल्ड एज स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ अगर आप किसी ऑर्गेनिस्ट को लिविंग कहना चाहते हैं तो आपको उसके अंदर सेल की प्रेजेंस को प्रूफ करना होगा अगर किसी ऑर्गेनिस्ट में सेल नहीं है तो उसको आप लिविंग नहीं कह सकते इसीलिए आज तक साइंटिस्ट वायरस को लिविंग नहीं मानते हैं क्योंकि उसके पास खुद का सेल नहीं है सिंपल है चार डेफिनेशन पढ़ी हैं चारों रिवाइज कर ली हैं थोड़ा सा आगे बढ़ते हैं और बात करते हैं अलग-अलग साइंटिस्ट के कंट्रीब्यूशन की क्योंकि साइंस चलती है साइंटिस्ट की वजह से कोई एक ऐसा आदमी होता है जो अपने आसपास होने वाली चीजों की वजह को ढूंढने की कोशिश करता है है ना हम सब लोगों के सामने कुछ सवाल तो हैं लेकिन उनका जवाब कुछ इंटेलिजेंट लोग या कुछ क्यूरियस लोग ही ढूंढ पाते हैं जिनको जानने की जिज्ञासा है कि उनके आसपास क्या हो रहा है और ऐसे लोगों को हम लोग साइंटिस्ट कहते हैं राइट तो यहां पर कुछ इंपॉर्टेंट साइंटिस्ट हैं जो सेल बायोलॉजी में प्राइम इंपॉर्टेंस रखते हैं इनमें से सबसे पहले हैं रॉबर्ट हुक भाई साहब रॉबर्ट हुक और रॉबर्ट ब्राउन में कभी भी कंफ्यूज नहीं होना है रॉबर्ट हुक साहब जो है इन्होंने क्या किया था डिस्कवर सेल डिस्कवर किया था ही डिस्कवर्ड सेल इन्होंने सेल डिस्कवर किया था और रॉबर्ट ब्राउन जो है इन्होंने क्या डिस्कवर किया था ही डिस्कवर्ड सेल के अंदर की ब्रेन ट इज न्यूक्लियस ही डिस्कवर्ड न्यूक्लियस य जो न डिस्कवर हुआ था यह रॉबर्ट ब्राउन साहब ने कब किया था 1831 में किया था और यह जो सेल डिस्कवर किया था यह आपके रॉबर्ट हुक साहब ने कब किया था 1665 में किया था यानी काफी पहले किया था राइट 1665 में रॉबर्ट हुक साहब ने क्या देखा इन्होंने एक प्लांट पर रिसर्च करी उस प्लांट का नाम क्या था उस प्लांट का नाम क्या था ओक प्लांट ओक प्लांट इस ओक प्लांट का साइंटिफिक नाम है क्वेर्कस सब्रस तो इन्होने क्वेर्कस सब्रस का प्लांट देखा और इसके कॉर्क सेल्स ले लिए और कॉर्क सेल्स को इन्होंने विजुलाइज करना शुरू किया हे विजुलाइज्ड स्लाइस ऑफ कॉर्क सेल इन्होंने क्वेर्कस सब्रस की कॉर्क ली यानी उसकी छाल ली और क्या किया उसके स्लाइस बना लिए पतले पतले उसके स्लाइस बना लिया पतले पतले उसको टुकड़ों में काट लिया और उसको खुद के बनाए हुए माइक्रोस्कोप के अंदर देखा सिंपल लेंस का इनका माइक्रोस्कोप था उसके अंदर इन्होंने देखने की कोशिश की और इन्हें कुछ ऐसी चीज दिखाई दी इन्हे कुछ ऐसी चीज दिखाई दी जैसे मधुमक्खी का छत्ता हो ऐसा स्ट्रक्चर इनको दिखाई दिया इसको हम लोग क्या कहते हैं हनी कॉम लाइक स्ट्रक्चर हनी कम यानी मधुमक्खी का छत्ता ऐसा लग रहा था कि मधुमक्खी का छत्ता यहां पर बना हुआ है ऐसा स्ट्रक्चर इनको दिखाई दिया किनको रॉबर्ट हुक साहब को है ना ऐसा स्ट्रक्चर इनको दिखाई दिया हनी कॉम लाइक स्ट्रक्चर इनको दिखाई दिया तो इन्होंने देखा कि यह जो कंपार्टमेंट दिखाई दे रहे हैं है ना दिस वाज अ हनी कॉम लाइक स्ट्रक्चर दिस वाज अ हनी कॉम लाइक स्ट्रक्चर इन्होंने कहा कि जो हनी कॉम लाइक स्ट्रक्चर्स है यह आपके लिविंग नहीं है यहां तो सिर्फ बाउंड्री दिखाई दे रही है यानी सेल वॉल दिखाई दे रही है तो एक्चुअल में रॉबर्ट हुक साहब ने क्या देखा क्या इन्होंने लिविंग सेल देखा नहीं इन्होंने सिर्फ सेल वॉल देखी क्योंकि इसके अंदर लिविंग मैटर तो था ही नहीं कॉर्क सेल के अंदर एक्चुअल में इन्होंने सेल वॉल देखी ऑफ डेड सेल तो इनको लिविंग सेल देखने का क्रेडिट नहीं दिया जाता यानी रॉबर्ट हुक साहब ने एक पेड़ की छाल ली जो सबसे बाहर आपको ब्राउन कलर की छाल दिखाई देती है वो छाल ली उन्होंने और उसको देखने की कोशिश की तो उनको कुछ एमटी कंपार्टमेंट्स दिखाई दिए एक मधुमक्खी के छत्ते जैसा स्ट्रक्चर दिखाई दिया जिसकी बाउंड्री बाउंड्री उसका मेन पार्ट बना रही थी अंदर कुछ था नहीं यानी अंदर कुछ था ही नहीं तो इसको आप क्या कह सकते हैं यह भैया एमटी कंपार्टमेंट्स है इनके अंदर कुछ भी नहीं था राइट तो इन्होंने एक्चुअल में डेड सेल देखा लिविंग सेल नहीं देखा इन्होंने सिर्फ सेल वॉल्स यानी सेल की बाउंड्री देख ली अंदर तो कुछ था ही नहीं अंदर कंपार्टमेंट क्या थे आपके एमटी थे तो ऐसे एमटी कंपार्टमेंट को देखकर उन्होंने एक टर्म दी ऐसे एमटी कंपार्टमेंट्स को क्या कहा जाता है ऐसे एमटी कंपार्टमेंट्स को देख कर के उन्होंने एक टर्म दी उस टर्म को हम लोग क्या कहते हैं सेलू तो कोई पूछ ले कि सेलल टर्म किन्होला खाली जो कमरे हैं इनको सेल्यूलाइट हुक साहब ने क्या देखा तो आप क्या कहेंगे रॉबर्ट हुक साहब ने डेड सेल देखा डेड सेल देखा डेड सेल देखा यानी सिर्फ सेल वॉल्स देखी लिविंग सेल इन्होंने नहीं देखा तो सर लिविंग सेल फिर किन्होला के एक साइंटिस्ट हैं इन्होंने क्या किया इन्होंने पहली बार लिविंग सेल देखा सो ही हैज सीन द लिविंग सेल फॉर फर्स्ट टाइम इन्होंने पहली बार लिविंग सेल देखा कब आपके रॉबर्ट हुक साहब से 9 साल बाद यानी 1665 के ऊपर आप नौ और ऐड कर दीजिए हो जाएगा आपका 1674 इस टाइम पर इन्होंने क्या देखा लिविंग सेल देखा लिविंग वर्ड यहां पर बहुत इंपॉर्टेंट है इन्होंने जिंदा सेल देखा ठीक है जिंदा सेल देखा इन्होंने और इन्होंने खुद का माइक्रोस्कोप बनाया बाय द कॉमिनेशन ऑफ लेंसेक्स लेंस ऐसा है जो किसी भी चीज को 10 गुना बड़ा कर सकता है है ना तो टोटल मुझे बताइए कि कितने गुणा इमेज बढ़ जाएगी इस ऑब्जेक्ट की यह अगर आपका एक ऑब्जेक्ट है इसको आप देखने की कोशिश कर रहे हैं समझ लीजिए य एक बैक्टीरिया है एक लेंस इसको पांच गुना बड़ा कर देता है दूसरा 10 गुना बड़ा कर देता है टोटल आपका कितना गुना बड़ा हो जाएगा य ऑब्जेक्ट फटाफट बताइए टोटल कितने गुना बड़ा हो जाएगा यहां पर अगर आप देखें तो पहले ऑब्जेक्ट पांच गुना बड़ा हुआ फिर पाच गुना का 10 गुना बड़ा हुआ यानी टोटल आपकी मैग्नीफिकेशन कितनी हो गई 50x हो गई कोई भी चीज जो आप देखने की कोशिश कर रहे थे वह 50 गुना ज्यादा बड़ी हो गई तो अब आप सोच रहे होंगे कि सर एक और लेंस लगा देते हैं इसके ऊपर 50x का तो 50 गुना 50 00 गुना बड़ी हो जाएगी कोई भी चीज मेरे भाई अगर आप देखें तो लेंस जो है यह क्लीयरली ट्रांसपेरेंट नहीं होते एक लेंस के ऊपर अगर आप दूसरा लेंस रखेंगे तो आपकी क्लेरिटी कम हो जाएगी यानी अगर नीचे कोई ऑब्जेक्ट है तो ऑब्जेक्ट तो बड़ा होता जाएगा लेकिन उसकी क्लेरिटी घट जाएगी तो आप वैसे नहीं देख पाएंगे चीजों को इसीलिए मैक्सिमम दो से तीन लेंसेशन ही बनाया जाता है उससे ज्यादा लेंसेशन नहीं बनाया जाता जो आइडियल कॉम्बिन है वो दो लेंसेक्स से ज्यादा लेंसेक्स सेस जिस मटेरियल के बने हैं वो भी आपका परफेक्ट ट्रांसपेरेंट मटेरियल नहीं है तो अल्टीमेटली जब चीज बड़ी होती जाएगी तो वो आपको क्लियर नहीं दिखाई देगी वो आपको ब्लर दिखाई देगी ऐसी इमेज का भी कोई फायदा नहीं है आपको पहले चीज छोटी बहुत दिखाई दे रही थी और अब आपको इतनी बड़ी दिखाई दे रही है कि वो ब्लर हो गई उसके पिक्सेल ही फट गए तो कोई फायदा नहीं है इसीलिए आप दो लेंस की कॉमिनेशन ही बनाते हैं तो एंटोन वन लवन हॉक ने ऐसी कॉमिनेशन तैयार की और इस कॉम्बिन से उन्होंने कई सारी मूव करने वाली चीजों को देखने की कोशिश की बहुत ही अतरंगी आदमी थे जो भी चीज इनको लगता था कि भैया इसमें कोई लिविंग सेल हो सकता है उस चीज को सैंपल को फटाफट से देखने के लिए निकल पड़ते थे जैसे कि वाटर है गंदा पानी है उसके अंदर इनको लगा कि यार कुछ कुछ मिल सकता है कोई प्रोटोजोआ मिल सकता है तो गंदे पानी का सैंपल उठाकर ले आए यहां तक कि खुद के स्पर्म्स को भी देखने की कोशिश करी कि हां यार इसको देखते हैं इसमें भी हो सकता है कुछ मोटाईल सेल्स मिल जाए तो जितने भी आपके इनिशियल मोटाईल सेल्स थे उनको किन्होला प्रोटोज स्पर्म्स एंड मेनी बैक्टीरिया अलग-अलग बैक्टीरिया को भी इन्होंने देखा प्रोटोजोआ को भी इन्होंने देखा अब जोआ में क्या शब्द आ रहा है जोआ में शब्द आ रहा है जू है ना तो यहां पर यह भी क्या थे आपके मोटाईल होते हैं आप अगले चैप्टर में पढ़ेंगे आपको पता लगेगा प्रोटोजोआ के बारे में यह भी मोटाईल होते हैं एनिमल के प्रिमिटिव रिलेटिव्स इनको कहा जाता है प्रोटो का मतलब प्रिमिटिव जोआ का मतलब जूलॉजी जू रिलेटेड टू एनिमल्स पीछे पढ़ा था ना जू का मतलब क्या है एनिमल्स और प्रोटो का मतलब प्रिमिटिव यानी ये एनिमल्स के ही प्रिमिटिव रिलेटिव है तो यह भी मोटाईल है तो यहां पर आपके एंटोन वन लवन हॉक साहब ने काफी सारी मोटाईल चीजों को देखा और इन्होंने इसको क्या नाम दे दिया इन मोटाईल ऑर्गेनिस्ट मस को क्या नाम दे दिया य कॉइड टर्म एनिमल क्यूस जैसे एनिमल्स चल सकते हैं वैसे ही इन्होंने क्या कहा यह एनिमल्स जैसे ही मॉलिक्यूल हैं मॉलिक्यूल हैं एनिमल क्यूल्स इन्होंने कहा तो आपके रॉबर्ट हुक साहब ने क्या टर्म दी इन्होंने टर्म दी सेल्यूलाइट बोला जाने लगा लेकिन आपके जो एंटोन वन लवन हॉक थे इन्होंने कई सारे मोटाईल छोटे-छोटे ऑर्गेनिस्ट मस को देखा क्योंकि ये ऑर्गेनिस्ट मस मूव कर पाते थे यानी इनमें एनिमल लाइक प्रॉपर्टीज थी तो आपके लिवन हॉक साहब ने क्या टर्म दी इनके लिए एनिमल क्यूल्स यानी एनिमल जैसे ही छोटे मॉलिक्यूल इन्हें एनिमल क्यूल बोला जाने लगा ये आपके तीन साइंटिस्ट हैं और डायरेक्टली इनके काम के ऊपर सीधे-सीधे क्वेश्चंस बन कर के आते हैं नीट के अंदर तीन मैंने आपको नाम बताए सीधे-सीधे सवाल उनसे आने वाले मैं आपको बता देता हूं कोई अगर पूछ ले कि सेल की डिस्कवरी किसने की नॉर्मल सवाल दे दिया कि सेल की डिस्कवरी किसने की ना डेड बोला ना लिविंग बोला तो सेल की डिस्कवरी का क्रेडिट हम हमेशा से किसको जाता है रॉबर्ट हुक साहब को जाता है रॉबर्ट हुक साहब ने 1665 में ओक प्लांट की छाल को लिया और उसको खुद के बनाए हुए कुछ लेंसेक्सी के छत्ते जैसे कुछ अरेंजमेंट है सेल्स आपके बहुत बढ़िया तरीके से पैक्ड हैं लेकिन उनमें लिविंग कंटेंट नहीं है सिर्फ बाहर की वॉल रह गई है तो इन्होंने एक्चुअल में क्या देखा ये वॉल्स देखी इन्होंने एक्चुअल में सेल वॉल्स देखी अंदर तो कोई कंटेंट था ही नहीं तो इन्होंने कहा कि ये तो एमटी कंपार्टमेंट्स हैं यानी ये क्या है आपके सेल्यूलाइट मेंट्स हैं उसके बाद आए रॉबर्ट ब्राउन साहब रॉबर्ट ब्राउन साहब ने 1831 में 1831 में न्यूक्लियस की खोज की यानी जिस हिसाब से हमारे शरीर में हमारा ब्रेन है हमारा मस्तिष्क है जो कि सारे इंपॉर्टेंट डिसीजंस लेता है जो कि आपकी बॉडी को कंट्रोल करता है आप जो भी करेंगे अपनी ब्रेन की मर्जी से करेंगे सिमिलरली सेल के अंदर जो ब्रेन है वो क्या है न्यूक्लियस है इस न्यूक्लियस की डिस्कवरी करी बट ब्राउन साहब ने तो रॉबर्ट हुक साहब रिलेटेड टू सेल रॉबर्ट ब्राउन साहब रिलेटेड टू न्यूक्लियस और एंटोन वन लवन हॉक ने पहली बार लिविंग सेल को देखा और कई सारे मोटाईल लिविंग सेल्स को देखने के बाद इन्होंने कौन सी टर्म दी एनिमल क्यूल टर्म दी एनिमल क्यूल टर्म दी राइट यह आपने यहां पर देखा अब यह देखिए यह एक किताब का चित्र है है ना यह जो किताब का चित्र है इसमें ये छोटे-छोटे डब्बे बने हुए हैं छोटे डब्बे छोटे डब्बे छोटे डब्बे छोटे डब्बे छोटे डब्बे यह क्या है यह आपके एमटी कंपार्टमेंट्स है यह आपके एमटी कंपार्टमेंट्स है इनको क्या कहा था रॉबर्ट हुक साहब ने सेलू कहा था एमटी कंपार्टमेंट्स को सेलू कहा था और यहां पर ये जो बाहर की वॉल आपको दिखाई दे रही है लेट्स से यहां मैंने एक सेल पकड़ा इसके बाहर की जो वॉल दिखाई दे रही यह एक्चुअल में क्या थी यह एक्चुअल में सेल वॉल्स थी तो इन्होंने सेल वॉल्स को ही देखा था और यह जो किताब है जिसमें इन्होंने अपनी रिसर्च के बारे में चर्चा करी है यह जो किताब है इस किताब का नाम क्या है मेन क्वेश्चन यहां से बनता है दोस्त मेन क्वेश्चन यहां से बनता है इस किताब का नाम क्या है दिस बुक ऑफ दि बुक ऑफ रॉबर्ट हुक साहब इज कॉल्ड एज क्या नाम था इनकी किताब का अगर किसी को पता है तो चैट सेक्शन में लिख सकते हैं आप इट इज कॉल्ड एज माइक्रोग्राफिया इस शब्द को याद कर लीजिए माइक्रो का मतलब ही होता है बहुत छोटा तो इन्होंने बहुत छोटी चीज का जिक्र यहां पर किया था दैट इज सेल इन्होंने सेल का जिक्र यहां पर किया था अपनी किताब के अंदर तो पूछा जाता है कि सेल का जिक्र सबसे पहली बार किस किताब के अंदर किया गया था माइक्रोग्राफिया के अंदर किया गया था भाई एनसीआरटी बेस्ड ही पढ़ेंगे लेकिन थोड़ा बहुत 57 पर एक्स्ट्रा निकलना पड़ेगा पेपर बाहर से आ गया तो आप लोग मुझे गाली दोगे हम लोग कोशिश कर रहे हैं कि 180 आउट ऑफ 180 मार्क्स हर कीमत पे लाए जाए तो 57 पर ही एक्स्ट्रा चलेंगे बहुत एक्स्ट्रा नहीं चलेंगे आज पहला लेक्चर है इसीलिए थोड़ा सा हम पेस बिल्ड कर रहे हैं सो डोंट वरी एनसीआरटी का एक-एक वर्ड कवर होगा आज जब अभी हम सेल थ्योरी पढ़ेंगे अगली स्लाइड में तो यू विल बी एबल टू गेट दैट अप आपको पता लग जाएगा कि हम किस तरीके से पढ़ने वाले हैं लेकिन अभी थोड़ा सा शांति का दान दें अभी आराम से थोड़ा सा पेशेंस बरकरार रखें राइट यहां पे सिर्फ आपको एक ही चीज समझनी थी किताब की फोटो मैंने थोड़ा सा आपको इमेजिनेशन परपस के लिए दिखाई है कि कैसे पुरानी किताबें आपकी दिखाई देती थी है ना कैसे इनके चित्र बने होते थे यह आपका क्वेर्कस सब्रस की फोटो दिखाई गई है कि यहां पर इसकी छाल हमने ली और इसको मैग करके देखा तो अंदर हनी कॉम लाइक स्ट्रक्चर हमें दिखाई दिया और इन हनी कॉम लाइक स्ट्रक्चर्स की वॉल को हम लोग आज सेल वॉल बोलते हैं अंदर के एमटी कंपार्टमेंट को रॉबर्ट हुक साहब ने सेलू नाम लिया और इस किताब का नाम क्या था माइक्रोग्राफिया नाम था सिर्फ ये आपको पढ़ना है यानी आपको एक पॉइंट लिखना है कि रॉबर्ट हुक साहब की किताब का नाम माइक्रोग्राफिया था ट्स इट राइट चलिए अगली चीज देखिए अब इस चैप्टर को हम लोग शुरू कर चुके हैं अभी तक हम लोगों ने सिर्फ बेस स बिल्ड किया है अब हम इस चैप्टर को शुरू कर रहे हैं बहुत आराम से देखिएगा व्हाट मेक्स अ लिविंग ऑर्गेनिस्ट म लिविंग चैप्टर लिविंग वर्ड सबको याद है हां या ना एक बार चैट सेक्शन में बताइए क्या चैप्टर लिविंग वर्ल्ड आपको याद है थोड़ा बहुत भी याद है चैप्टर लिविंग वर्ल्ड में कुछ ऐसे कैरेक्टर्स बता रखे हैं जो हर लिविंग ऑर्गेनिक्स है जिनके बिना लिविंग ऑर्गेनिको आप लिविंग बोल ही नहीं सकते जैसे मेटा लिज्म अगर आपकी बॉडी के अंदर केमिकल रिएक्शंस हो रहे हैं तो आप लिविंग ऑर्गेनिस्ट सम हो अगर आपकी बॉडी के अंदर केमिकल रिएक्शंस नहीं हो रहे हैं तो आप लिविंग ऑर्गेनिस्ट मस नहीं माने जा सकते सेकंड सेल्यूलर ऑर्गेनाइजेशन अगर आपकी बॉडी सेल्स की बनी हुई है तभी आप लिविंग हो अगर आपके अंदर सेल नहीं है तो आप नॉन लिविंग हो एंड थर्ड मोस्ट इंपॉर्टेंट कॉन्शियस अगर आपके आसपास वातावरण में होने वाले चेंजेज को आप सेंस कर लेते हो और उसके अगेंस्ट कोई रिस्पांस दे पाते हो जैसे अगर मुझे वहां से दिख रहा है कि एक शेर मेरे पीछे-पीछे भागा आ रहा है और मैं भी भाग पड़ता हूं अपनी जान बचाने के लिए तो मैंने पहले खतरे को सेंस किया और रिस्पांस में मैंने भागना शुरू कर दिया दिस इज कॉन्शियस सिमिलरली एक बैक्टीरिया भी जो है आपको लगता होगा सर यह तो कैसे रिस्पॉन्ड करता होगा इतना छोटा सा ऑर्गेनिस्ट भाई बैक्टीरिया के आसपास भी जब आप दवाई डालते हो एंटीबायोटिक डालते हो तो वो भी अपनी मेंब्रेन को लॉक कर लेता है वो भी कोशिश करता है कि दवाई मेरे अंदर एंटर ना करे क्योंकि अगर ये दवाई एंटर कर गई तो बैक्टीरिया तो डेथ हो जाएगी तो बैक्टीरिया भी मरने से पहले पूरा का पूरा जोर लगाता है पूरा का पूरा दम लगाता है और कोशिश करता है अपने आप को बचाने की तो ये सेंस और रिस्पांस का जो मैकेनिज्म है इसको हम लोग कॉन्शियस निस कहते हैं तो तीन चीजें ही है एनसीआरटी में जो कि लिविंग ऑर्गेनिस्ट म की एकदम डिफाइनिंग कैरेक्टरिस्टिक है हमारे अंदर सेल्स होने चाहिए हम अपने सेल्स के अंदर रिएक्शंस कर पा रहे हो और हम अपने एनवायरमेंट के चेंजेज को सेंस कर पाए और रिस्पांस कर पाएं तो अभी हम पढ़ रहे हैं सेल बायोलॉजी तो हमारे लिए सबसे इंपोर्टेंट चीज क्या है द प्रेजेंस ऑफ सेल जिसके अंदर सेल वो लिविंग जिसमें सेल नहीं वो नॉन लिविंग सो व्ट मेक्स लिविंग ऑर्गेजम लिविंग प्रेजेंस ऑफ सेल्यूलर ऑर्गेनाइजेशन चैप्टर लिविंग वर्ल्ड से लाइन ले रहा हूं प्रेजेंस ऑफ सेल्यूलर ऑर्गेनाइजेशन इज अ डिफाइनिंग फीचर ऑफ लिविंग ऑर्गेनिस्ट मस इज अ डिफाइनिंग फीचर ऑफ लिविंग ऑर्गेनिस्ट मस डिफाइनिंग फीचर का मतलब क्या होता है डिफाइनिंग फीचर का मतलब ऐसे फीचर्स जो डिफाइन कर दे कि किसी ऑर्गेनिस्ट में जान है या नहीं यानी अगर मैं कह रहा हूं कि सेल्यूलर ऑर्गेनाइजेशन इज अ डिफाइनिंग फीचर तो इसका मतलब यह है कि जिस ऑर्गेनिस्ट में सेल है वो लिविंग और जिस चीज में सेल नहीं है वो नॉन लिविंग यानी सेल का होना कंपलसरी है एक लिविंग ऑर्गेनिस्ट को अगर आप लिविंग कहना चाहते हो तो उसके अंदर सेल का होना मैंडेटरी है तो आप एक पॉइंट यहां पर क्या लिख सकते हैं नथिंग लेस देन अ सेल एक सेल से छोटा कुछ भी एक सेल तो बेसिक रिक्वायरमेंट है ना जीवन के लिए सेल क्या है स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ इस यूनिट से छोटा कुछ नहीं हो सकता जिसको लिविंग कहा जा सके तो यहां पर अगर आप देखें नथिंग लेस देन सेल कैन सरवाइव इंडिपेंडेंटली एक सेल से छोटा कुछ भी है तो इंडिपेंडेंटली सरवाइव नहीं कर सकता फॉर एग्जांपल समझ लीजिए आपका यहां पर माइटोकांड्रिया है समझाने के लिए बना रहा हूं मैं यहां पर माइटोकांड्रिया है माइटोकांड्रिया क्या करता है सर पावर हाउस ऑफ द सेल है एनर्जी बनाता है लेकिन क्या खुद से ही एनर्जी बना लेगा क्या इसको एनर्जी बनाने के लिए खाने की जरूरत नहीं है बिल्कुल खाने की जरूरत है और वह खाना इसको कौन दे रहा होगा वो खाना इसको दे रहा होगा क्लोरोप्लास्ट सिमिलरली अब नीचे क्लोरोप्लास्ट है यह क्लोरोप्लास्ट है भाई क्लोरोप्लास्ट खाना बनाता है क्लोरोप्लास्ट जब खाना बनाता है तो उस खाना बनाने के लिए भी हमको एनर्जी चाहिए कौन देता है माइटोकांड्रिया अब यह दोनों सोचेंगे कि यार हम दोनों तो मिलके रह लेते हैं आपस में है ना क्लोरोप्लास्ट जो है माइटोकांड्रिया को खाना बना के देता रहेगा और माइटोकांड्रिया बदले में उसको एनर्जी बना के देता रहेगा अगर आप देखें तो इन दोनों को काम करने के लिए क्या चाहिए प्रोटीन चाहिए प्रोटीन कौन बनाएगा राइबोसोम बनाएगा तो क्या ये दोनों बिना राइबोसोम के सरवाइव कर लेंगे नहीं कर पाएंगे है ना और सिमिलरली ये जो राइबोसोम है इसके अलावा भी न्यूक्लियस जो है ये कुछ प्रोटींस बना कर के स्पेसिफिकली आपके किसको देता है आपके क्लोरोप्लास्ट और माइटोकांड्रिया को देता है यानी न्यूक्लियस की भी यहां पर नीड होगी अब न्यूक्लियस सरवाइव करना चाहता है तो इसको भी एनर्जी चाहिए यह कौन देगा माइटोकांड्रिया देगा यानी एक भी चीज अगर कम हो गई एक भी सेल्यूलर कंपोनेंट ने अगर काम करना बंद कर दिया एक भी सेल का जो इंपॉर्टेंट पार्ट है इसने अगर काम करना बंद कर दिया तो ऐसी की तैसी हो जाएगी सेल की क्योंकि हर कंपोनेंट का अपना एक स्पेसिफिक पार्ट है एंडोप्लास्मिक रेटिकुलम जो है वो क्या कर रहा है प्रोटीन बना रहा लिपिड बना रहा है गोलजी उसी प्रोटीन और लिपिड को पैक करके अलग-अलग जगह पर भेज रहा है अगर पैकिंग नहीं हुई तो भी गड़बड़ प्रोटीन और लिपिड नहीं बने तो भी गड़बड़ यानी हमको हर काम चाहिए एकदम टिप टॉप और उसके लिए सेल की सारी ऑर्गेनल्स का बढ़िया तरीके से इंटरेक्ट करना जरूरी है यानी एक सेल जो है उसके सारे के सारे पार्ट्स जब अच्छे तरीके से फंक्शन एक्टिव हो तभी जिंदगी जी जा सकती है अदर वाइज यमराज का भैसा दिख जाएगा भैया और खेल खत्म हो जाएगा यानी नथिंग लेस देन अ सेल कैन सरवाइव इंडिपेंडेंटली पूरा का पूरा सेल चाहिए अगर आपको इंडिपेंडेंटली सर्वाइव करना है इसीलिए सबसे छोटे ऑर्गेनिस्ट म का नाम भी अगर आपने सुना हो किसी भी ऑर्गेनिस्ट म का आपने नाम सुना हो एटलीस्ट उसमें एक सेल होता ही है चाहे आप बैक्टीरिया की ही बात क ना कर रहे हो इट इज यूनिसेल्यूलर एक सेल से कम कुछ नहीं हो सकता जिसको आप लिविंग बोले एक सेल तो कम से कम होना ही होना चाहिए राइट चलो अब य यहां पर देखिए मैंने बोला एक सेल तो कम से कम होना ही होना चाहिए तो ऐसे ऑर्गेनिस्ट मस को आप क्या बोलते हो यूनिसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट मस और ऐसे ऑर्गेनिस्ट मस जिसमें एक से ज्यादा सेल है इनको क्या बोलते हो मल्टीसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट रेफरेंस देख लीजिए भाई यूनिसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट म जो है ये कौन है ऑर्गेनिस्ट मस कंटेनिंग सिंगल सेल ओनली ऐसे ऑर्गेनिस्ट म जिसके अंदर सिर्फ एक ही सेल है इसको हम क्या कहते हैं यूनिसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट म बोलते हैं फटाफट चैट सेक्शन के अंदर एक दो एग्जांपल्स बताइए यूनिसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट म के अभी अभी मैंने आपको समझाया है एक दो एग्जांपल्स मैंने आपको खुद बताए हैं आई वांट यू टू राइट दोस एग्जांपल्स अगेन कि यूनिसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट म के एग्जांपल्स क्या है मैंने आपको बताया बैक्टीरिया है अच्छी बात है भाई बैक्टीरिया है मैंने इसके बाद आपको कुछ और एग्जांपल्स बताए थे लेकिन आप भी लिखिए अमीबा एकदम सही बात है बच्चे लिख रहे हैं अमीबा एकदम सही बात है अमीबा जो है यह भी आपका यूनिसेल्यूलर है इसके अलावा आप लिख रहे हैं माइकोप्लाज्मा माइकोप्लाज्मा भी सही बात है है ना माइकोप्लाज्मा भी आपका यूनिसेल्यूलर है एकदम सही बात है तो ये क्या है आपके यूनिसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट मस है लेकिन समझ लीजिए कुछ ऐसे ऑर्गेनिस्ट म जिनमें मोर देन वन सेल हो इन्हें क्या कहा जाए मल्टी सेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट मस हैविंग मोर देन वन सेल इन देयर बॉडी आर कॉल्ड मल्टी सेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट मस आर कॉल्ड मल्टी सेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट मस इनको मल्टी सेल्यूलर ऑर्गेनिक जाता है करेक्ट एग्जांपल लिख दीजिए एग्जांपल क्या हो जाएगा आप अपनी ही बॉडी की अगर बात करें तो ट्रिलियंस ऑफ सेल्स है तो आप ह्यूमन लिख सकते हैं आप एक बहुत बड़ा ट्री ले लीजिए जिसमें बहुत सारे सेल्स हो आपको पता है कि इसमें बहुत सारे सेल्स है एक आम का पेड़ ले लीजिए एक पीपल का पेड़ ले लीजिए शीशम का पेड़ ले लीजिए तो यहां पर क्या हो गया आपका मैंगो ट्री हो गया ये आपके क्या हो गए मल्टी सेल्यूलर हो गए नेचर में एक से ज्यादा सेल यहां पर पाए जा रहे हैं अगर यहां पर एक से ज्यादा सेल पाए जा रहे हैं इफ दीज ऑर्गेनिस्ट मस आर मल्टीसेल्यूलर तो यहां पर क्या होता है यहां पर आपका डिवीजन ऑफ लेबर हो जाता है यानी यहां पर अलग-अलग सेल्स अलग-अलग कामों के लिए स्पेशलाइज होते हैं जैसे एक पेड़ है उसमें रूट को काम दे दिया कि आप क्या करेंगे आप वाटर और मिनरल्स अब्जॉर्ब करेंगे स्टेम को काम दे दिया कि आप पेड़ की प्रोटेक्शन करेंगे और उसको स्ट्रेंथ प्रोवाइड करेंगे उसको एकदम मजबूत रखेंगे लीफ को काम क्या दे दिया कि लीफ है हरी भरी तो यह फोटोसिंथेसिस करेंगी सीड को काम क्या दे दिया फ्रूट को काम क्या दे दिया कि आप अगली जनरेशन को गिव राइज करेंगे यह जो सीड है आपके अंदर जब यह बोया जाएगा तो इससे नया ऑर्गेनिस्ट पैदा होगा अल्टीमेटली रिप्रोडक्शन का काम वहां दे दिया फूल का जो काम है वो भी रिप्रोडक्शन यहां पर हमने दे दिया तो अल्टीमेटली अगर आप देखें तो एक लाइन अगर मैं लिखूं यहां पर डिफरेंट सेल्स आर बीन गिवन डिफरेंट टास्क अलग-अलग उनको काम दे दिया लेकिन अगर आप यूनिसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट म की बात करें अगर आप एक बैक्टीरिया की बात करें तो बैक्टीरिया की पूरी बॉडी ही एक सेल की बनी हुई है अब वही सेल रिप्रोडक्शन में काम कर रहा है वही सेल आपका खाना पचाने में काम कर रहा है वही सेल आपका डिफेंस में काम कर रहा है कोई एंटीबायोटिक अगर आ रही है तो उसको रोकने का काम कर रहा है कोई वायरस अगर आ रहा है तो उसको रोकने का काम कर रहा है यानी एक ही सेल है जो सारे के सारे काम कर रहा है तो अल्टीमेटली यहां पर आप क्या बोल सकते हैं यहां पर आप कह सकते हैं कि एक जो सेल है इट हैज एबिलिटी टू सरवाइव इंडिपेंडेंटली इट हैज एबिलिटी टू सरवाइव इंडिपेंडेंटली यह जो सेल है इसको किसी और सेल की जरूरत नहीं है क्योंकि अकेला सेल ही मिलकर एक ऑर्गेनिस्ट म की बॉडी बना रहा है तो इट कैन सरवाइव इंडिपेंडेंटली यानी इट कैन परफॉर्म ऑल एसेंशियल फंक्शंस टू सरवाइव जिंदा रहने के लिए जितने भी फंक्शन करने हैं वोय एक ही सेल कर लेगा तो एक ही सेल जो है सारे के सारे एसेंशियल फंक्शन कर सकता है यानी हमने देखा कि दुनिया में बहुत सारे ऑर्गेनिस्ट मस हैं अगर आप लिविंग वर्ल्ड चैप्टर का डाटा उठाएं तो 1.7 टू 1.8 मिलियन स्पीशीज हैं यानी 17 से 18 लाख डिफरेंट टाइप के ऑर्गेनिस्ट मस हैं बाय ह्यूमन इज अ टाइप ऑफ ऑर्गेनिस्ट म और हम कितने हैं इस धरती पर बहुत सारे हैं हमारी जो पॉपुलेशन है ये 8 बिलियन का मार्क हिट कर चुकी है यानी 800 करोड़ से भी ज्यादा ह्यूमन अभी इस पृथ्वी पर रह रहे हैं 800 करोड़ और यह सिर्फ एक स्पीशीज है होमो सेपियंस सिर्फ सेपियन स्पीशीज के इतने इंडिविजुअल है तो आप सोचिए 17 से 18 लाख अलग-अलग टाइप के ऑर्गेनिस्ट सम हैं उनका नंबर भी तो करोड़ों में होगा इस दुनिया में इतने सारे ऑर्गेनिस्ट मस हैं इनको दो कैटेगरी में तोड़ा डिपेंडिंग अपॉन द नंबर ऑफ सेल्स देयर बॉडी इज हैविंग अगर ऑर्गेनिस्ट मस में सिर्फ एक ही सेल है एक ही सेल से उनकी पूरी बॉडी तैयार हो रही है तो उन्हें यूनिसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट म कहा अब उनकी बॉडी में एक एक ही सेल है तो यही सेल सारे के सारे काम करता है यही रिप्रोडक्शन में हेल्प करता है यही रेस्पिरेशन में यही एक्सक्रीट में यही डाइजेशन में सब कुछ ये एक ही सेल कर रहा है तो एक सेल इंडिपेंडेंटली एजिस्ट कर सकता है और अपने लाइफ के दौरान जितने भी फंक्शंस होने हैं वो सारे परफॉर्म कर सकता है लेकिन अगर आप मल्टी सेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट सम को देखो तो अलग-अलग सेल्स को अलग-अलग काम मिल गया है जैसे कि हमारे अंदर ऑर्गन है पेट व्हिच इज रिलेटेड टू डाइजेस्टिव सिस्टम सिमिलरली अगर आप देखें तो लीवर जो है वो डिटॉक्सिफिकेशन में काम करता है कोई ड्रग है तो उसको डिटॉक्सिफाई करेगा है ना आपके फेफड़े जो है आपके लंग्स जो है यह ब्रीदिंग में हेल्प कर रहे हैं आपका हार्ट जो है यह मेन मोटर है है ना आपके हार्ट महाराज जो हैं कुछ ऐसे दिखाई देते हैं यह आपकी मेन मोटर है यह धकधक करते रहते हैं पंप करते रहते हैं ब्लड को आपकी पूरी बॉडी में तो सर्कुलेटरी सिस्टम का मेन पार्ट है तो अल्टीमेटली आपके अलग-अलग ऑर्गन्स हैं जिनको अलग-अलग काम मिल गया है क्योंकि उतने डिफरेंट टाइप के सेल्स थे कि उनको अलग-अलग काम दे दिया जाए अब यहां तो बेचारे यूनिसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट म के पास कोई ऑप्शन ही नहीं है एक ही सेल है उसी को सब कुछ करना है ठीक है यहां पर यह बात है जो आपने अभी तक सीखी राइट अब देखिए दोस्त मैं आपको एनसीआरटी के अंदर ले चलता हूं एनसीआरटी के अंदर ले चलता हूं यह है हमारी एनोट एनसीआरटी जो आपको हर चैप्टर के एंड में पूरी की पूरी मिल जाएगी जितने भी पी वाई क्यूज हैं वो भी इसी के अंदर टैग्ड है येलो कलर मतलब इंपॉर्टेंट पॉइंट येलो कलर मतलब इंपॉर्टेंट पॉइंट यहां से 2013 के बाद एक भी पी वाई क्यू नहीं आया है हरा मतलब पी वाई क्यू 2019 में इस लाइन से पी वाई क्यू पूछा गया है रूडोल्फ रको 18552 में आया है तो इसको बकायदा टैक कर दिया गया है है ना यहां पर इन लाइनों से सवाल आया है यह जो लाइन है कि कौन-कौन सी ऑर्गने पाई जाती है यूकैरियोटिक सेल में 2015 में पूछा गया है प्रोकैरियोटिक सेल में ऑर्गने नहीं होती 2015 में पूछा गया है है ना मल्टीपल स्टेटमेंट बेस्ड क्वेश्चन था एंड यहां पर राइबोसोम जो है यह यूनिवर्सल ऑर्गने है 2015 में पूछा गया है माइकोप्लाज्मा जो है स्मॉलेट सेल है इसके साइज के बारे में 2022 में सवाल पूछ लिया गया है यानी अगर आप देखें तो एनसीआरटी को मैं आपको पूरा का पूरा टैग करके दूंगा जिससे सबसे इंपॉर्टेंट लाइंस पर आपकी झटपट नजर पड़े और उनके बगल में लिखा भी रहेगा किससे पीवा क उठकर आया है तो आपको एट पता लग जाएगा कि एट द टाइम ऑफ एग्जामिनेशन आपको फास्ट तरीके से एनसीआरटी कैसे पढ़नी है कोई भी चीज आए सबको हमने ऐसे ही टैग किया है जैसे यहां पर देखिए यह वाला जो सवाल है आपसे पूछा गया था नीट 2020 में है ना आपका यहां पर पीपीएलओ का साइज पूछ लिया था 2020 के अंदर यह भी टैग किया है जितने क्वेश्चन एनसीआरटी से आए हैं एवरी एवरी क्वेश्चन इज टैग्ड डायरेक्टली आपको पता लग जाएगा कौन सी लाइन से कितनी बार क्वेश्चन आया है जैसे यहां से तो सिफ स एक बार ही क्वेश्चन आए कई ऐसी लाइंस है जिनसे मल्टीपल क्वेश्चन बनते हैं तो कौन-कौन सी साल में क्वेश्चन आए है वो भी आपको एनसीआरटी के अंदर टैग मिल जाएगा राइट तो हम एक बार एनसीईआरटी पढ़ लेते हैं कि अभी तक हमने क्या क्या सीखा देखिए भाई अगर आप अपने आसपास देखें तो बहुत सारे लिविंग ऑर्गेजम आपको दिखाई देते हैं तो ऐसी क्या चीज है जो एक लिविंग ऑर्गेनिको लिविंग बनाती है आंसर क्या है द बेसिक यूनिट ऑफ लाइफ अगर आपको एक ऑर्गेनिस्ट को लिविंग बुलाना है यानी उसके अंदर लाइफ होनी चाहिए तो उसके अंदर बेसिक यूनिट ऑफ लाइफ भी प्रेजेंट होनी चाहिए दैट इज सेल तो दुनिया में जितने भी ऑर्गेनिस्ट मस है लिविंग ऑर्गेनिस्ट म अगर आप इनको बोल रहे हो तो इनके अंदर सेल पाए जा रहे होंगे तो जितने भी लिविंग ऑर्गेनिस्ट है यह सेल के बनते हैं और कुछ ऑर्गेनिफिकेशन उन्हें मल्टी सेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट कहा गया ये आपकी मेन बात है एनसीआरटी का एक छोटा सा आर्टिकल खत्म अब यहां देखिए यूनिसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट जिनमें एक ही सेल होता है अब इनमें एक ही सेल है तो इसी को सारा का सारा काम करना है तो ये इंडिपेंडेंटली एजिस्ट कर सकते हैं क्योंकि अपने सारे काम खुद कर सकते हैं है ना और जितने भी एसेंशियल फंक्शन है जिंदा रहने के लिए वह सारे के सारे एसेंशियल फंक्शंस परफॉर्म कर सकते हैं अगर एक सेल से छोटा कुछ भी है एनीथिंग लेस देन अ कंप्लीट सेल तो उसको आप लिविंग नहीं कह सकते वह इंडिपेंडेंटली सरवाइव नहीं कर सकता जैसे मैंने आपको बताया था कि माइटोकांड्रिया अकेला नहीं रह सकता माइटोकांड्रिया और क्लोरोप्लास्ट अकेले नहीं रह सकते माइटोकांड्रिया क्लोरोप्लास्ट और राइबोसोम अकेले नहीं रह सकते इन्हें किसी ना किसी और ऑर्गेनेल्ले से कम कुछ भी है तो वह इंडिपेंडेंटली नहीं रह सकता उसमें किसी ना किसी फंक्शन की कमी हो जाएगी तो सेल जो है इसको क्या कहते हैं स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ कहते हैं इसी ने हमारी बॉडी का स्ट्रक्चर बनाया इसी ने हमारे सेल्स में बढ़िया तरीके से मेटाबॉलिक रिएक्शन चलाए यानी सारे के सारे फंक्शन किए एंटोन वन लिवन हॉक ने पहली बार क्या देखे लिविंग सेल्स देखे इन्होंने खुद के बनाए हुए कॉम्बिन ऑफ लेंसेशन सेल्स को देखने की कोशिश की प्रोटोजोआ को देखा स्पर्म सेल को देखा मोटाईल बैक्टीरिया को देखा और उन्हें क्या टर्म दी उन्होंने टर्म दी एनिमल क्यूल लेटर रॉबर्ट ब्राउन साहब जो है इन्होंने क्या देखा न्यूक्लियस देखा न्यूक्लियस की डिस्कवरी करी 1831 में और रॉबर्ट हुक का यहां पर जिक्र नहीं किया है रॉबर्ट हुक साहब ने क्या देखा सबसे पहली बार डेड सेल देखा यहां पर एक लाइन है जिसके लिए मैं आपको स्पेसिफिकली एनसीआरटी पर लेकर आया हूं आराम से इस लाइन को देखिएगा और समझने की कोशिश करिएगा इन्वेंशन ऑफ माइक्रोस्कोप अब यहां पर रॉबर्ट हुक साहब और एंटोन वन लवन हॉक साहब जो थे इन्होंने तो कॉमिनेशन ऑफ लेंस ंस का यूज किया इनके आसपास जो लेंसेक्स कोप बनाया और उनसे अलग-अलग सेल्स को देखने की कोशिश करी लेकिन इतने लो पावर माइक्रोस्कोप से आप सेल की गहराइयों तक नहीं पहुंच सकते इसीलिए बहुत जरूरी था कि अगर आप सेल की गहराइयों में जाना चाहते हैं अगर आप सेल के माइक्रो कंपोनेंट्स को देखना चाहते हैं सेल की छोटी से छोटी डिटेल को पकड़ना चाहते हैं तो आपको एक पावरफुल माइक्रोस्कोप की जरूरत पड़ेगी और उस माइक्रोस्कोप का नाम क्या था इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप पहले जो माइक्रोस्कोप यूज होते थे उन्हें सिंपल माइक्रोस्कोप कहा जाता था थोड़े से और एडवांस हुए तो उन्हें कंपाउंड माइक्रोस्कोप कहने लगे हम लोग लेकिन आज जो हम यूज करते हैं आज के दिन में जो बहुत प्रचंड तरीके से यूज होता है दैट इज इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप और इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप का अगर आप भाव सुनेंगे दाम सुनेंगे तो आपके पैरों तले की जमीन खिसक जाएगी इट इज इनफैक्ट मोर कॉस्टली देन अ lamborghini.com ही ज्यादा मैसिव इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप पड़ता है 4 से 5 करोड़ तक इसकी कीमत हो सकती है अगर आप एक बेहतरीन इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप खरीदते हैं तो आपको बहुत महंगाई पड़ेगा लेकिन इससे आप एकदम सेल की डिटेल तक पहुंच सकते हैं तो जिस टाइम पर इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप आई इमर्ज हुई माइक्रोस्कोप की क्वालिटी बेटर होने लगी उसी टाइम पर सेल की सारी डिटेल्स के बारे में हमें पता लगा उसी के बाद आपका राइबोसोम हमें सेल के अंदर दिखा उसी के बाद सेल मेंब्रेन की स्ट्रक्चर के के बारे में हम लोग लोगों को बता पाए तो माइक्रोस्कोप अच्छा होना बहुत ज्यादा जरूरी है राइट तो यहां पर इन्वेंशन ऑफ द माइक्रोस्कोप एंड उसके इंप्रूवमेंट जिससे कि इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप आया इसने हमें सेल के सारे के सारे कंपोनेंट्स को बेहतर तरीके से देखने में हेल्प की रिवील्ड ऑल द स्ट्रक्चरल डिटेल्स ऑफ द सेल सारी की सारी स्ट्रक्चरल डिटेल्स यहां पर आपको देखने को मिली करेक्ट य आपकी एनसीआरटी है इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप के बारे में एक दो लाइने अगर लिखना चाहते हो तो आप लिख सकते हो कि यहां पर आपको क्या-क्या देखने को मिला आफ्टर इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप डिस्कवरी एडवांसमेंट इन माइक्रोस्कोप एनसीआरटी की एक डेट है आगे आएगी अगले लेक्चर में उसको लिख लीजिए 1950 वाज द टाइम वन मैक्सिमम इंप्रूवमेंट इन माइक्रोस्कोप वास सीन है ना 1950 यानी 1950 से 1960 के बीच में वो टाइम था जब माइक्रो में सबसे ज्यादा एडवांसमेंट देखने को मिली तो आप यह क्या कह सकते हो यहां पर एक लाइन है एनसीआरटी की उसको लिख लीजिए आप क्या कह सकते हो देयर फोर मोस्ट ऑफ द माइन्यूट डिटेल्स ऑफ सेल्स मोस्ट ऑफ द माइन्यूट डिटेल्स ऑफ सेल्स लाइक स्ट्रक्चर ऑफ राइबोसोम राइबोसोम जो कि आपके सेल की सबसे छोटी कंपोनेंट मानी जाती है उसका भी स्ट्रक्चर प्लस स्ट्रक्चर ऑफ सेल मेंब्रेन यह सेल मेंब्रेन बनी किसकी है यह आपको इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप आने के बाद पता लगा सो मोस्ट ऑफ द माइन्यूट डिटेल्स ऑफ सेल लाइक स्ट्रक्चर ऑफ राइबोसोम एंड स्ट्रक्चर ऑफ सेल मेंब्रेन वर डेस फर्ड यानी इनके बारे में पता लगा आफ्टर एडवांसमेंट ऑफ इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप ऑफ इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप करेक्ट है यस अभी फिलहाल हमने जितनी पढ़ाई की है इसको एक बार रिवाइज कर लिया जाए दोस्त इसको एक बार रिवाइज कर लिया जाए अभी तक हमने जो जो पढ़ा है वहां तक का रिवीजन ले लिया जाए अगर आपकी सहमति है तो और उसके बाद एनसीआरटी हम एक बार पढ़ ही चुके हैं देखते हैं हमारे पास कुछ क्वेश्चंस इस टॉपिक से है या नहीं बिकॉज आज का हमारा जो मेन टॉपिक था जहां पर हमें पहुंचना है उस टॉपिक का नाम है सेल थ्योरी वो टॉपिक आज का मेन टॉपिक है वहां से आपका एक क्वेश्चन बनने की संभावना है तो तब तक हमने जितनी पढ़ाई की है अभी तक हम जहां तक पहुंचे हैं लेट्स टेक अ क्विक रकैपरिब ले लेते हैं आराम से देखिए मैंने शुरुआत की चार डेफिनेशंस के साथ सबसे पहली डेफिनेशन बायोलॉजी की बायोलॉजी के नाम को ही दो टुकड़ों में तोड़ दीजिए क्योंकि बायोलॉजी के केस में बहुत आसान है किसी भी चीज़ की डेफिनेशन को पता करना नाम अपने आप में ही काफी कुछ आपसे कह रहा होता है बायोलॉजी बायो का मतलब है लिविंग लॉजी का मतलब है स्टडी यानी आप लिविंग ऑर्गेनिस्ट मस की स्टडी कर रहे हैं लिविंग ऑर्गेनिस्ट मस के अंदर होने वाले रिएक्शंस अंदर होने वाले प्रोसेसेस की स्टडी कर रहे हैं तो आप बायोलॉजी पढ़ रहे हैं सेकंड डेफिनेशन थी सेल बायोलॉजी की यानी सेल से रिलेटेड कुछ भी है तो आप वो सेल बायोलॉजी के अंदर पढ़ेंगे सेल का स्ट्रक्चर सेल का फंक्शन सेल के अंदर होने वाले रिएक्शन सेल कैसे डिवाइड कर रहा है सेल से रिलेटेड कोई भी चीज सेल बायोलॉजी में पढ़ी जाएगी लेकिन साइटोलॉजी एक छोटी ब्रांच है सेल बायोलॉजी से काफी छोटी ब्रांच है जहां सिर्फ और सिर्फ आप स्ट्रक्चर की बात करते हो एंड देन द मेन डेफिनेशन और द डेफिनेशन ऑफ सेल जिसमें हमें पता लगा कि सेल को हम स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ कहते हैं यानी लाइफ अगर आपको किसी ऑर्गेनिस्ट म में देखनी है तो वहां आपका सेल प्रेजेंट होना चाहिए अगर किसी ऑर्गेनिस्ट सम में सेल है तभी आप उस ऑर्गेनिस्ट को लिविंग कह पाएंगे अगर किसी चीज में सेल नहीं है तो आप उसे लिविंग कह ही नहीं सकते क्योंकि सेल की प्रेजेंस इज अ डिफाइनिंग फीचर ऑफ लिविंग ऑर्गेनिस्ट सम कुछ ऐसी चीजें हैं जो हर लिविंग ऑर्गेनिस्ट सम में होनी ही चाहिए मैंडेटरी है कंपलसरी है जैसे कि मेटाबॉलिज्म यानी केमिकल रिएक्शंस का होना आपका सेल का प्रेजेंट होना आपके ऑर्गेनिस्ट म का कॉन्शियस होना वो अपने आसपास होने वाले चेंजेज को सेंस कर पाए गर्मी बढ़ रही है सर्दी बढ़ रही है कोई प्रिडेटर है कोई आपको मारने आ रहा है ये सारी चीजें आपको पता लग जानी चाहिए इन चेंजेज को आप सेंस करने लायक होने चाहिए तभी आपको लिविंग कहा जाएगा तो सेल की प्रेजेंस इज आल्सो अ डिफाइनिंग फीचर यही आपको लिविंग बनाती है करेक्ट इसे कहा गया स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट यानी आपकी पूरी बॉडी का स्ट्रक्चर भी सेल के ही बार-बार रिपीट होने से बनेगा और सेल के अंदर ही सारे मेटाबॉलिक रिएक्शंस भी होते हैं सारा काम धंधा भी इसी सेल के अंदर हो रहा होगा तो इसे हम कहते हैं स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ ये चार डेफिनेशन हमने पढ़ी फिर हमने कुछ साइंट के बारे में पढ़ा जब भी आप सेल की डिस्कशन करेंगे आप सबसे पहले नाम लेंगे रॉबर्ट हुक साहब का जिन्होंने 1665 यानी 1665 में एक कॉर्क सेल को देखा और उन्होंने सेल वॉल को देखा बेसिकली क्योंकि वो कॉर्क सेल डेड था अंदर से खाली था उन्होंने इस खाली कंपार्टमेंट को देखा रॉबर्ट हुक साहब ने और नाम दिया सेल्यूलाइट मेंट और पहली बार रॉबर्ट हुक साहब ने इस अपनी किताब में इस किताब का नाम था माइक्रोग्राफिया माइक्रो से याद करना कि यह आपके सेल के बारे में किताब थी जो कि एक बहुत छोटी चीज है एक बहुत फंडामेंटल चीज़ है रॉबर्ट हुक साहब से मिलता-जुलता नाम है रॉबर्ट ब्राउन साहब का इसीलिए यहीं पर लिखवा दिया रॉबर्ट ब्राउन साहब ने न्यूक्लियस की डिस्कवरी करी थी 1831 में और एंटोन वॉन लवन हॉक ने पहली बार लिविंग सेल्स को देखा था लिविंग सेल्स को देखने का क्रेडिट इनको दिया जाता है इन्होंने खुद अपने सेल्स की सेल्स को देखने के लिए लेंस की कॉमिनेशन बनाई और सेल्स को देखा मोटाईल सेल्स को देखा प्रोटोजोआ को देखा स्पर्म सेल्स को देखा बैक्टीरियल सेल्स को देखा और इन्होंने कहा ये सेल तो मूव करते हैं एनिमल की तरह ये ऐसे मॉलिक्यूल हैं जो एनिमल की तरह मूव करते हैं तो इन्होंने एक टर्म बनाई एनिमल क्यूल तो सेल्यूलर टर्म दी रॉबर्ट हुक साहब ने और एनिमल क्यूल टर्म दी एंटोन वॉन लवन हॉक साहब ने अब अगर आप देखें तो हम लोगों ने कहा कि एक ऑर्गेनिस्ट अगर लिविंग है तो उसके अंदर सेल प्रेजेंट होना ही चाहिए क्योंकि सेल इज डिफाइनिंग फीचर ऑफ लिविंग ऑर्गेनिस्ट डिपेंडिंग अपॉन द नंबर ऑफ सेल्स इन एन ऑर्गेनिस्ट सारे ऑर्गेनिस्ट मस को दो कैटेगरी में हमने तोड़ दिया यूनिसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट और मल्टीसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट यूनिसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट जिनमें एक ही सेल है तो एक ही सेल सारे के सारे काम कर रहा होगा वही इंडिपेंडेंटली एजिस्ट कर सकता है जिंदा रहने के लिए जितने काम करने की आवश्यकता है वो एक ही सेल कर सकता है एंड अगर आप देखें तो मल्टीसेल्यूलर ऑर्गेनिस्ट मस में बहुत सारे सेल्स हैं तो हर सेल अलग-अलग काम कर सकता है हर सेल को अलग-अलग काम धंधा दे दिया जाता है जैसे हमारी बॉडी में बिलियंस ऑफ सेल्स हैं तो कुछ सेल्स ने मिलकर के लिवर बना लिया कुछ ने किडनी बना ली कुछ ने आंख बना ली कुछ ने लंग्स बना लिए कुछ ने पैंक्रियास बना लिया और काम डिवाइड हो गया राइट तो यहां पर आपको देखने को मिला कि अच्छा खासा डिवीजन ऑफ लेबर है फिर 1950 से 1960 के बीच में माइक्रोस्कोप में सबसे ज्यादा एडवांसमेंट आई और इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप की शुरुआत हुई उस टाइम पर सेल्स के छोटे से छोटे कंपोनेंट्स को भी हम लोग देख रहे थे राइबोसोम भी हमें उसी टाइम पर दिखाई दिया और आपके सेल मेंब्रेन की जो डिटेल्स है कि सेल मेंब्रेन बनी किस चीज की है लिपिड और प्रोटीन की अगर बनी है तो लिपिड और प्रोटीन अरेंज किस तरीके से हैं छोटी से छोटी डिटेल भी हमको दिखाई देने लगी यह काम यह करिश्मा हुआ आपके इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप के आने के बाद यानी 1950 में 1950 से 1960 के बीच राइट यह आपके अभी तक की डिस्कशन है अब आ जाइए सेल थ्योरी के ऊपर यहां तक सब कुछ ठीक है तो एक बार तारा रारा इन द चैट सेक्शन प्लीज यहां तक सब कुछ ठीक है तो एक बार अपना प्यार बरसा दीजिए एक बार लाल कलर के दिलों की बारिश कर दीजिए सर व्हाट इज माइकोप्लाज्मा माइकोप्लाज्मा भी एक प्रोकैरियोटिक टाइप का प्रोकैरियोटिक कर सकता है इसके बारे में आगे पढ़ेंगे हम लोग जब हम लोग बायोलॉजिकल क्लासिफिकेशन पढ़ रहे होंगे राइट चलिए ग्रेट शानदार ग्रेट दोस्तों चलिए आगे डिस्कशन करते हैं हमारे टॉपिक की ओर बढ़ते हैं दैट इज सेल थ्योरी अब दुनिया में अलग-अलग टाइप के सेल्स हैं अगर आप अपनी बॉडी में ही देखें तो 200 से ज्यादा डिफरेंट टाइप के सेल्स हैं लेकिन कुछ तो ऐसा है जो हर ऑर्गेनिस्ट में कॉमन है एक प्लांट सेल एनिमल सेल से डिफरेंट होता है एक बैक्टीरियल सेल प्लांट सेल से डिफरेंट होता है हर ऑर्गेनिस्ट में अलग-अलग टाइप का सेल है ना प्लांट में अलग है एनिमल में अलग है फंगस में अलग है बैक्टीरिया में अलग है लेकिन एक चीज कॉमन है हर एक ऑर्गेनिस्ट म के अंदर वह है सेल थ्योरी है ना तो सेल थ्योरी क्या है द डिफरेंट टाइप्स ऑफ ऑर्गेनिस्ट मस एंड देयर सेल्स आर यूनिफाइड बाय सेल थ्योरी सेल थ्योरी दुनिया के हर ऑर्गेनिस्ट के लिए सेम है यह थ्योरी क्या है आपको दो मिनट में पता लग जाएगा थोड़ा सा हम लोग इसको स्टार्ट कर लेते हैं राइट तो सेल थ्योरी हर ऑर्गेनिस्ट म के लिए कॉमन है सेल थ्योरी वाज गिवन बाय टू साइंटिस्ट मेनली है ना इनिशियल जो सेल थ्योरी दी गई इट वाज गिवन बाय टू साइंटिस्ट कौन-कौन थे साइंटिस्ट इनके बारे में पढ़ना जरूरी है यहां से सवाल आपका बन करके आएगा तो अब आपका इंपॉर्टेंट पार्ट स्टार्ट हो गया है अभी तक तो हम लोग बेसिक कांसेप्ट कवर कर रहे थे लेकिन अब आपका इंपॉर्टेंट पार्ट स्टार्ट हो गया है तो इसको बहुत गौर से सुनना है आपको दो साइंटिस्ट की हम लोग बात कर रहे हैं तोय दो साइंटिस्ट कौन-कौन से हैं यह दो साइंटिस्ट जो है इनमें से पहले का नाम है स्लेन और दूसरे का नाम है स्वान आराम से देखिए इनमें से पहला जो साइंटिस्ट है इसका नाम है स्लेन और दूसरा जो साइंटिस्ट है इसका नाम है स्वान अब मुझे बताइए कि क्या आपने स्वान नाम कहीं सुना हुआ है जी सर सुना हुआ है सर जब हम न्यूरॉन का स्ट्रक्चर बनाते हैं ना जब हम न्यूरॉन का स्ट्रक्चर बनाते हैं तो वहां हमने स्वान सल के बारे में सुना हुआ है है ना स्वान सल के बारे में सुना होगा स्पेलिंग भी सेम है तो सर हमने स्वान सेल का नाम जो है ये कहां सुना है जूलॉजी में सुना है एनिमल फिजियोलॉजी में सुना है तो स्लेड और स्वान में कभी भी कंफ्यूज मत होना कि कौन जूलॉजिस्ट था कौन बोटेनिकल जो थे यह आपके क्या थे ब्रिटिश जूलॉजिस्ट थे क्योंकि आपने क्या किया है स्वान साहब का नाम कहां सुना है जूलॉजी में सुना है तो ही वाज अ ब्रिटिश जूलॉजिस्ट जबक अगर आप देखें स्लेड साहब को तो यह जूलॉजी से उल्टा बटनी हो गए यह जर्मनी के बटिस थे है ना जर्मनी के बोट थे तो उनको क्या बोल देंगे जर्मन बनिस्टर हमने जूलॉजी में सुना तो वो जूलॉजिस्ट हो गए और आपके स्लेटन साहब बनिस्टर में अपनी रिसर्च की 1838 में और लगभग उसी टाइम पर स्वान साहब ने भी अपनी रिसर्च करी 1839 में लगभग लगभग सेम टाइम पर है ना अब देखिए यहां पर लिंक करने की बात है आराम से सुनिए और आराम से सोचेगा अब अगर स्लेड साहब बोनिस थे तो इन्होंने किस चीज पर रिसर्च करी हो अगर यह बनिस थे अगर यह प्लांट को ज्यादा बेहतर जानते थे तो इन्होंने रिसर्च भी प्लांट के ऊपर ही करी होगी ना तो इन्होंने क्या किया ही रिसर्च ऑन मेनी प्लांट्स ही रिसर्च ऑन मेनी प्लांट्स एंड कंक्लूजन बॉडी ऑफ प्लांट्स इज फॉर्म्ड अप ऑफ डिफरेंट सेल्स प्लांट की जो बॉडी है ये डिफरेंट टाइप के सेल्स से मिलकर के बनी हुई है और ये डिफरेंट सेल्स जो हैं ये आगे चलके क्या बनाते हैं ये डिफरेंट सेल्स जो है ये आगे चल के क्या बनाते हैं दे फॉर्म्स सेल्स मिलकर क्या बनाते हैं टिशूज तो प्लांट में डिफरेंट टाइप के टिशूज भी देखने को मिलते हैं है ना तो इन्होंने अलग-अलग प्लांट्स पे रिसर्च की और इन्होंने कहा कि प्लांट में अलग-अलग टाइप के सेल्स हैं जो आगे चलके अलग-अलग टाइप के टिशूज बना सकते हैं डिफरेंट टाइप के सेल्स हैं जो आगे चलके डिफरेंट टाइप के टिशूज बना सकते हैं तो आपके जो स्क्लेटर साहब थे बॉटनिकल पे रिसर्च की और अलग-अलग प्लांट्स को देखा और कहा कि प्लांट में तो डिफरेंट टाइप के सेल्स होते हैं जैसे अगर आप प्लांट की रूट को देखेंगे तो आपको पता लगेगा रूट कैप के भी सेल्स हैं मेरिस्टमैटिक सेल्स भी हैं आपके स्टेम के सेल्स अलग हैं पत्ती के सेल्स अलग हैं पत्ती में मिजोफेड हैं है ना जो कि आपके बहुत सारे क्लोरोप्लास्ट कंटेन करते हैं तो अल्टीमेटली इन्होंने देखा कि डिफरेंट टाइप के सेल्स हैं जो डिफरेंट टाइप के टिशूज बना रही हैं कुछ डिवाइड करने वाले टिशूज हैं मेरिस्टमैटिक टिशूज बोलते हैं उनको कुछ डिवाइड ना करने वाले टिशूज हैं परमानेंट टिशूज बोलते हैं उनको परमानेंटली एक जैसे हो गए आप डिवाइड नहीं कर सकते तो डिफरेंट टाइप के टिशूज आपको देखने को मिले यह बात आपके स्लेन साहब ने कही और स्वान साहब अगर जूलॉजिस्ट थे तो इन्होंने किस चीज पर रिसर्च करी होगी सर इन्होंने एनिमल्स पर रिसर्च करी होगी है ना सो ही रिसर्च ऑन डिफरेंट एनिमल्स एंड रिपोर्टेड एन आउटर लेयर ऑन देयर सेल्स आउटर लेयर ऑन देयर सेल्स कॉल्ड प्लाज्मा मेंब्रेन या सेल मेंब्रेन इन्होंने कहा कि एनिमल सेल्स जो है इनकी मेंब्रेन इनकी जो है सेल मेंब्रेन है या प्लाज्मा मेंब्रेन है जिसने इनके सेल को कवर कर रखा है यानी इन्होंने अलग-अलग एनिमल सेल्स को देखा और कहा कि भैया इनके सेल के ऊपर तो एक कवर है जिसको क्या कहा जा रहा है प्लाज्मा मेंब्रेन या सेल मेंब्रेन कहा जा रहा है फिर इन्होंने क्या किया इन्होंने देखा कि यार प्लांट सेल में भी देखने की कोशिश करता हूं प्लाज्मा मेंब्रेन या सेल मेंब्रेन होती है या नहीं तो इन्होंने क्या किया ही देन रिसर्च ऑन प्लांट्स एनिमल पे रिसर्च करने के बाद ही देन रिसर्च ऑन प्लांट्स एंड ही फाउंड आउट एंड ही फाउंड आउट दैट प्लांट्स हैव एन एडिशनल वॉल ऑन देयर सेल कॉल्ड सेल वॉल इन्होंने कहा कि एनिमल में तो सिर्फ सेल मेंब्रेन पाई जाती है लेकिन यहां पर प्लांट के अंदर तो सेल वॉल भी देखने को मिल रही है तो इन्होंने क्या कहा सेल वॉल जो है इट इज अ स्पेसिफिक फीचर ऑफ प्लांट सेल्स ओनली यह सिर्फ और सिर्फ प्लांट्स में है एनिमल्स में नहीं है इट्स अ स्पेसिफिक फीचर ऑफ प्लांट यानी जब इन्होंने एनिमल सेल्स को देखा तो इन्होंने पाया कि भैया यहां तो सेल मेंब्रेन पाई जा रही है आउटर लेयर के नाम पर सेल मेंब्रेन है लेकिन इन्होंने जब प्लांट सेल को देखा तो इन्होंने कहा कि यार सेल मेंब्रेन के बाहर एक और लेयर है यहां पर जो सेल वॉल है तो एनिमल में सेल वॉल नहीं होती प्लांट में सेल वॉल होती है ऐसा हमारे किन भैया ने कहा आपके स्वान भैया ने कहा यह आपकी अभी तक की सेल थ्योरी है एक बार रिवाइज करवा देता हूं सेल थ्योरी दो साइंटिस्ट ने दी इनिशियली दो साइंटिस्ट थे 1838 में आपके जर्मनी के एक बोटेनिका नाम था स्लेड उन्होंने प्लांट पे रिसर्च की क्योंकि बॉटनिकल अलग प्लांट्स को देखा और कहा कि यार प्लांट में डिफरेंट टाइप के सेल्स होते हैं जो डिफरेंट टाइप के टिशूज बनाते हैं बहुत जनरल सी बात है लेकिन स्वान साहब नाम में ही है स्वान तो ये जूलॉजिस्ट थे ब्रिटिश जूलॉजिस्ट थे इन्होंने कहा कि यार मैं जब एनिमल सेल्स को देखता हूं तो मुझे सेल के बाहर एक दिखाई देती है जिसका नाम सेल मेंब्रेन है लेकिन जब मैं प्लांट को देखता हूं तो सेल मेंब्रेन के बाहर एक और लेयर है जिसका नाम सेल वॉल है यानी प्लांट में सेल वॉल होती है एनिमल्स में सेल वॉल नहीं होती यह बात आपके सबसे पहले किसने रिपोर्ट करी थी स्वान साहब ने रिपोर्ट करी थी तो अगर आप यहां पर एक बेसिक डायग्राम बनाना चाहे एक जनरल डायग्राम बनाना चाहे तो यह आपका एनिमल सेल का डायग्राम हो जाएगा जहां पर अंदर हम सिर्फ न्यूक्लियस बना दे देंगे और बाहर हम क्या बना देंगे बाहर हम यहां पर क्या बना देंगे आपकी सेल मेंब्रेन बना देंगे एंड देन इसके बाद हम लोग क्या करते हैं देन इसके बाद हम लोग बाहर एक सेल वॉल भी बना देते हैं राइट सो व्ट यू कैन राइट ओवर हियर क्या लिख सकते हैं आप यहां पर य एक एनिमल सेल है ये एक एनिमल सेल है और ये एक प्लांट सेल है एनिमल सेल है प्लांट सेल है एनिमल सेल में क्या है सिर्फ सेल मेंब्रेन जिसको प्लाज्मा मेंब्रेन भी कहते हैं एनिमल सेल में है सेल मेंब्रेन है ना यहां से भी आप एरो ला सकते हो और यहां क्या है आपकी प्लांट सेल के अंदर सेल वॉल भी है तो स्वान साहब ने कहा कि सेल वॉल जो है सिर्फ और सिर्फ आपकी किसमें पाई जाती है प्लांट सेल में पाई जाती है एनिमल सेल में नहीं पाई जाती तो आपको यहां से यह डिफरेंस पता लग गया अब एनसीआरटी में एक लाइन है जो आप खुद से नहीं समझ सकते इट इज वेरी इंपॉर्टेंट एंड वेरी क्रुशल आल्सो यहां पर आपको साइंस की एक नई टर्म के बारे में पता लगेगा जिसे हम प्यार से कहते हैं हाइपोथिसिस हाइपोथेसिस क्या होता है समझ लीजिए आपने कुछ एक्सपेरिमेंट शुरू किया है ना लेट्स से आपने एक एक्सपेरिमेंट शुरू किया और आपको लगता है कि एक्सपेरिमेंट करेक्ट जा रहा है तो इट इज हाइपोथेसिस अगर आपको लग रहा है कि आप जो कर रहे हो वह सही है तो इट इज हाइपोथेसिस अगर आप एक्सपेरिमेंटली प्रूफ कर देते हो उस चीज को दुनिया को भी अब ये सही लगने लगा है देन इट इज थ्योरी यानी एक हाइपोथेसिस ही आगे चलके थ्योरी बनती है फॉर एग्जांपल समझ लीजिए मेरे पास यहां पर यह रिमोट है है ना बहुत पुराना सा रिमोट पड़ा हुआ है अब इसको एक दिन मैं उठा करके यूज करने की कोशिश करता हूं मैं और मेरा दोस्त स्टूडियो के अंदर खड़े हैं और हम इस रिमोट को उठा कर के यूज करने की कोशिश करते हैं तो ये रिमोट जो है ठीक से काम नहीं कर रहा होता तो मेरे दोस्त ने कहा कि यार हो सकता है इस रिमोट की बैटरी खराब हो गई हो और मैंने कहा कि यार बैटरी बैटरी कुछ खराब नहीं हुई है हम लोग इंडिया में रहते हैं ठोकने पीटने से तो खराब बच्चे भी चल जाते हैं यह तो आपका फिर भी रिमोट है उल्टा करके दो थपकी मारूंगा अभी सेट हो जाएगा तो अगर मुझे अपनी बात प्रूफ करनी है तो मुझे इसको पीछे से दो थपकी मारनी होगी और फिर चलाना होगा अगर ये रिमोट काम कर गया इसका मतलब मैं सही बोल रहा था अगर मैंने इस रिमोट को उल्टा करके थपकी मारी और यह नहीं चला और सेल बदलने से चल गया इसका मतलब मेरा दोस्त सही बोल रहा था और अगर दोनों काम करने से नहीं चला इसका मतलब इस रिमोट में इंटरनली कोई खराबी है तो इसको मैकेनिक के पास ले जाएंगे वो इसको करेक्ट करेगा इसका मतलब तीसरा आदमी सही बोल रहा है कि इसके अंदर कुछ खराबी है यानी अल्टीमेटली हम लोग पहले तुक्के बाजी करेंगे इस तुक्के बाजी को कहते हैं हाइपोथिसिस वो तुक्का सही भी हो सकता है या गलत भी अगर मैंने इस रिमोट को उल्टा करके पीटा और ये चल गया इसका मतलब मेरी हाइपोथिसिस करेक्ट थी अगर मैंने इस रिमोट को उल्टा करके पीटा और यह नहीं चला इसका मतलब मेरी हाइपोथिसिस गलत थी तो इसी प्रकार से साइंटिस्ट पहले क्या करते हैं एक एजेंडा फिक्स करते हैं कि मुझे लगता है कि दवाई जो है एक दवाई है लेट्स से इसका नाम है x मैं अगर कैंसर पेशेंट को दूंगा तो कैंसर पेशेंट सही हो जाएगा तो आपको क्या करना होगा ये एक्स नाम की दवाई जो है या पहले दूसरे एनिमल्स पे टेस्ट करेंगे वहां से टेस्टिंग में अगर आप पास हो जाते हो तो आप 500000 कैंसर पेशेंट्स को ये दवाई दे कर के देखोगे अगर वो ठीक हो जाते हैं उनमें इंप्रूवमेंट होती है इसका मतलब आप सही बोल रहे थे फिर यह बात सिद्ध हो जाएगी फिर यह बात अलग-अलग किताबों में ऐड हो जाएगी लोग इसको पढ़ेंगे लोग आपके रिसर्च से कुछ सीखेंगे और अगर यह बात प्रूफ नहीं होती है इसका मतलब आपकी हाइपोथिसिस ही गलत थी ऐसा कुछ नहीं होता आप लोअर लेवल पे ही एनिमल टेस्ट में ही फेल हो गए राइट तो यहां पर आपको यह बात सीखनी होती है कि आपके स्वान साहब ने एक हाइपोथिसिस दी थी स्वान साहब जिन्होंने एनिमल और प्लांट सेल को कंपेयर किया इन स्वान साहब ने एक हाइपोथिसिस दी स्वान गेव हाइपोथिसिस दैट स्वान साहब ने क्या हाइपोथेसिस दी स्वान साहब का नाम डब्बे में डालना बहुत जरूरी है स्लेड साहब का इसमें कोई रोल नहीं था स्वान साहब ने हाइपोथेसिस दी दैट ऑल प्लांट्स एंड एनिमल्स आर फॉर्म्ड अप ऑफ सेल्स एंड प्रोडक्ट्स ऑफ सेल्स जितने भी प्लांट और एनिमल्स हैं क्योंकि स्वान साहब ने अगर आप देखें तो पहले एनिमल पे रिसर्च करी क्योंकि य जूलॉजिस्ट थे तो एनिमल्स पे रिसर्च करी और उसके बाद एनिमल को प्लांट से कंपेयर करने के लिए प्लांट पे भी रिसर्च करी इन्होंने देखा जितने भी प्लांट और एनिमल्स हैं वो सेल के ही बने हुए हैं तो इन्होंने एक हाइपोथेसिस दी कि हां भैया जितने भी प्लांट और एनिमल्स हैं वो सेल और सेल्स के प्रोडक्ट से मिल बने होते हैं सेल के बिना प्लांट और एनिमल्स नहीं बन सकते यह हाइपोथेसिस थी अब ये थ्योरी में कन्वर्ट नहीं हुई है तो आपके जो स्लेन साहब थे उन्होंने क्या कहा कि भैया आओ कोलबो में काम करते हैं मुझसे हाथ मिला लो है ना स्लेन साहब ने कहा कि भैया आओ दोनों भाई मिलकर काम करते हैं तो स्लेन ल्स कोबड तोडन साहब ने भी क्या किया कोलबो दिखाई इन्होंने कहा कि लेट्स वर्क ऑन प्रू विंग दिस थिंग हम दोनों भाई मिलकर के इस चीज को प्रूफ कर देते हैं इसे हाइपोथेसिस थ्योरी में कन्वर्ट कर देते हैं कि हां भाई दुनिया के सारे प्लांट्स और एनिमल्स आपके सेल्स और सेल्स के प्रोडक्ट से ही मिलकर बने हैं बिना सेल के प्लांट और एनिमल की बॉडी नहीं बन सकती यह बात हम लोग प्रूफ कर देते हैं तो इन्होंने य बात प्रूफ भी कर दी है ना तो आपकी क्या हुई सेल थ्योरी बन गई तो जब इन दोनों का कोलबेन हुआ सो सेल थ्योरी वाज गिवन बाय बोथ स्लेड एंड स्न तो हाइपोथेसिस किसने दी थी सिर्फ आपका स्वान ने और जब सेल थ्योरी की बात आई तो आपकी किन्होला एंड स्वान ने तो सेल थ्योरी वास गिवन बाय बोथ स्लेटन एंड स्वान च स्टेट्स अब यह जो इनकी ऊपर वाली स्टेटमेंट थी ना यही थ्योरी में कन्वर्ट हो गई ऑल लिविंग ऑर्गेनिस्ट मस आर फॉर्म्ड ऑफ दुनिया में जितने भी लिविंग ऑर्गेनिस्ट म है सेल के बिना तो काम कर ही नहीं सकते आर फॉर्म ऑफ सेल्स एंड प्रोडक्ट ऑफ सेल्स कि दुनिया में जितने भी ऑर्गेनिस्ट मस है य सेल या उनके प्रोडक्ट से मिलकर बने हुए हैं पर यहां पर अब आसपास के जो साइंटिस्ट थे उन्होंने एक सवाल उठाना शुरू किया कि भैया आपकी थ्योरी ठीक तो है लेकिन इसकी एक डिमेट भी है है ना आपकी थ्योरी आधी अधूरी है आप कुछ बातें नहीं बता पा रहे आप यह नहीं बता पा रहे कि सेल्स बनते कैसे हैं आपने यह तो बताया कि हमारी बॉडी सेल्स की मिलकर के बनी है लेकिन आपने यह नहीं बताया कि सेल्स कैसे बने सो यहां पर डी मेरिट ये थी कि दे डिडेंट टोल्ड अबाउट ओरिजन ऑफ सेल्स सेल्स कैसे बनते हैं सेल से बॉडी तो बनती है लेकिन ये सेल कहां से आए इसके बारे में कुछ भी नहीं बताया आपके स्लेड और स्वान ने इसीलिए इस थ्योरी को बहुत अच्छा नहीं माना गया तो एक साइंटिस्ट आए इनकी इज्जत बचाने के लिए और उन साइंटिस्ट का नाम क्या था उन साइंटिस्ट का नाम था रूडोल्फ वरको देयर फोर एक साइंटिस्ट आए जिनका नाम क्या था रूडोल्फ रको यह पूरी कहानी एक और बार रिवाइज करा दूंगा डोंट वरी अगर यह नाम नए नए लग रहे हैं वैसे तो बहुत बेसिक कांसेप्ट है पर हम एकदम अल्ट्रा बेसिक से उठाएंगे फिर आए आपके रूडोल्फ रको इन्होंने क्या कहा इन्होंने फाइनल शेप दी सेल थ्योरी को गव फाइनल शेप और मॉडिफाइड सेल थ्योरी इन्होंने एक प्यार भरी बात ऐड की इन्होंने जो प्यार भरी बात ऐड की वह क्या थी इन्होंने जो प्यार भरी बात ऐड की वह थी ओमनिस सेलू ई सेल आय सर यह क्या है ओमनिस सेलू इ सेल सेल इ सेल मतलब सेल ही सेल को जन्म देता है है ना यानी इस बात का अर्थ क्या है इस बात का अर्थ यह है कि न्यू सेल्स कम्स फ्रॉम प्री एक्जिस्टिंग सेल्स प्री एगिंग सेल्स न्यू सेल्स कम्स फ्रॉम प्री एजिस्टिफाई डिवीजन होगी देर इ प्रोसेस कॉल्ड एस सेल डिवीजन और इस सेल डिवीजन से क्या होगा दो सेल्स बन जाएंगे इस सेल डिवीजन से क्या होगा दो सेल बन जाएंगे है ना तो एक के नया सेल कहां से आया पुराने वाले से ही तो आया भाई एक से दो हो गए सेल्स है ना तोय नया सेल कहां से आया पुराने वाले से ही तो आया सो दिस इ प्री एसिस्टिंग सेल जिससे नए सेल्स बने सो ये क्या है आपका प्री एसिस्टिंग सेल यह क्या है आपका प्री एसिस्टिंग सेल जिससे क्या बने न्यू सेल्स बने जिससे आपके न्यू सेल्स बने राइट सो प्री एसिस्टिंग सेल से ही नए सेल बनते हैं ओमनी सेलल लूला इसको कहा गया रूडोल्फ रको साहब ने य बात कही अब इस पूरी कहानी को दोबारा सुनिए स्टार्टिंग में दो साइंटिस्ट थे दोनों साइंटिस्ट का नाम था स्लेन और स्वान स्वान सेल के बारे में हम जूलॉजी में पढ़ते हैं यानी स्वान साहब जूलॉजिस्ट थे ब्रिटिश जूलॉजिस्ट 1839 में इन्होंने अपना काम शुरू किया था स्लेटन साहब जूलॉजी का उल्टा कर दो बॉटनिकल के रहने वाले थे 1838 में इन्होंने अपना काम शुरू किया अब स्लेड साहब बॉटनिकल पे रिसर्च की और इन्होंने कहा कि प्लांट में अलग-अलग टाइप के सेल्स होते हैं जो अलग-अलग टाइप के टिशू बनाते हैं बहुत जनरल बात की लेकिन स्वान साहब ज्यादा इंटेलिजेंट थे इन्होंने बीइंग अ जूलॉजिस्ट सबसे पहले एनिमल सेल्स को देखा और कहा कि भाई एनिमल सेल्स जो है में सेल के ऊपर एक लेयर है जिसको प्लाज्मा मेंब्रेन या सेल मेंब्रेन कहा फिर इन्होंने देखा कि यार ये प्लांट सेल के अंदर होती है या नहीं इस बात को मैं चेक करता हूं सो ही चेक्ड सम प्लांट सेल्स आल्सो और इन्होंने कहा कि प्लांट सेल में तो एक लेयर एक्स्ट्रा ही मिली सेल मेंब्रेन तो है ही उसके ऊपर सेल वॉल भी है तो इन्होंने डिफरेंशिएबल सेल को इन्होंने कहा एनिमल सेल में सिर्फ और सिर्फ सेल मेंब्रेन होती है सेल के बाहर जब कि प्लांट सेल में सेल मेंब्रेन और सेल वॉल दोनों होती हैं फिर स्वान साहब ने कहा कि मैंने आज तक जितने प्लांट और एनिमल को देखा है सभी के सभी प्लांट और एनिमल सेल्स या सेल्स के प्रोडक्ट से मिलकर बने हैं यानी ये बात हो सकता है आगे चलके थ्योरी में कन्वर्ट हो जाए स्क्लेटर साहब ने कहा भाई तुम और मैं सेम चीज पे ही रिसर्च कर रहे हैं दोनों मिलके ये रिसर्च कर लेते हैं और दोनों इस बात को प्रूफ करने पे फोकस करते हैं कि दुनिया के सारे ऑर्गेनिस्ट म सेल्स के ही बने हुए हैं इस बात को प्रूफ करते हैं दोनों भाई मिलकर के तो स्लेटन और स्वान ने हाथ मिला लिया जोड़ी बन गई यहां पर और दोनों ने प्रूफ भी कर दिया कि दुनिया के जितने ऑर्गेनिस्ट मस हैं सेल या उनके प्रोडक्ट से मिलकर बने हैं उन्होंने जितने ऑर्गेनिस्ट मस पे रिसर्च करी ये बात करेक्ट मिली पर साइंटिस्ट ने कहा कि यार दुनिया के सारे ऑर्गेनिस्ट मस तो सेल के मिलकर बने हैं पर सेल्स कैसे आ रहे हैं बॉडी में इसके बारे में भी तो थोड़ा बताइए तो यहां ये जो थ्योरी है थोड़ी सी फी पड़ गई तो 18505 में रूडोल्फ वरको साहब आए और उन्होंने एक बात कही ओमनी सललाला यानी नए सेल्स जो हैं ये पुराने सेल्स की डिवीजन से ही बनते हैं और इस हिसाब से आपकी सेल थ्योरी कंप्लीट हो गई इसमें आपके क्या है दो पोचले आ गए है ना पहला पोस्टलेटवेट मेंट वन कह दो पहली स्टेटमेंट क्या हो गई है ना पोलेट सुनकर कईयों को दिल का धक्का लग जाएगा पहली स्टेटमेंट क्या हो गई जितने भी ऑर्गेनिका सेल या सेल के प्रोडक्ट से मिलकर बने हैं और स्टेटमेंट टू ओमनी सेल लला दोनों की दोनों स्टेटमेंट हो गई आपकी सेल थ्योरी की यह है आपकी कंप्लीट सेल थ्योरी यहां तक सबको क्लेरिटी है तो तारा रारा एक बार बोल दीजिए इन द चैट सेक्शन भाई बहुत जरूरी है पहले लेक्चर में स्लो चलना है ना आप मुझे यह मत बोलिए कि सर थोड़ा फास्ट करिए पहले लेक्चर में स्लो चलना बहुत जरूरी है इनफैक्ट स्टार्टिंग के कुछ लेक्चर स्लो चलना जरूरी है जिससे कि अगर कोई बच्चा नया आ रहा है तो पहली बात तो उसका बहुत ज्यादा बैकलॉग ना हो और आपको टाइम मिले चीजों को इंबाइब करने का चीजों को समझने का है ना और सेल बायोलॉजी आपकी पढ़ी होती है पढ़ी हुई होती है तो स्टार्टिंग में उतना ज्यादा इंटरेस्ट भी नहीं डेवलप हो पाता इसलिए थोड़ा सा स्लो चले समझ समझ के चले कोई दिक्कत नहीं है है ना चलिए देखिए भाई 1838 में स्लेड साहब ने अपना काम शुरू किया जो कि क्या थे बनिस थे तो जर्मनी के बॉटनिकल के सेल्स से मिलकर के बने हुए हैं और यह सेल्स आगे चलकर डिफरेंट टाइप के टिशूज बनाते हैं इसी टाइम पर 1839 में एक और साइंटिस्ट थे स्वान जिनके बारे में हम पढ़ते हैं जूलॉजी में तो ये ब्रिटिश जूलॉजिस्ट थे और जूलॉजिस्ट थे तो इन्होंने सबसे पहले एनिमल सेल्स पे रिसर्च की और इन्होंने कहा कि एनिमल सेल्स पे एक पतला सा लेयर होता है इन सेल्स के बाहर जिसको क्या कहते हैं प्लाज्मा मेंब्रेन या सेल मेंब्रेन कहते हैं अब इन्होंने कहा कि एनिमल में तो यह सेल मेंब्रेन है देखता हूं प्लांट में है या नहीं तो इन्होंने प्लांट पर रिसर्च करी और इन्होंने पाया कि प्लांट में तो एक और लेयर है सेल मेंब्रेन के ऊपर जो कि बहुत यूनिक है है ना एनिमल में सेल वॉल नहीं थी सिर्फ प्लांट में है तो इन्होंने कहा कि एनिमल के सेल के ऊपर सिर्फ सेल मेंब्रेन है जबकि प्लांट के सेल के ऊपर सेल मेंब्रेन और सेल वॉल दोनों है तो इन्होंने एक हाइपोथिसिस दी सिर्फ स्वान साहब ने अकेले एक हाइपोथिसिस दी हाइपोथिसिस में स्लेटन साथ नहीं थे याद र रखना है स्वान साहब ने अकेले एक हाइपोथिसिस दी कि प्लांट और एनिमल्स की जो बॉडी है यानी प्लांट्स और एनिमल्स जो हैं यह आपके सेल्स और प्रोडक्ट्स ऑफ सेल्स के मिलकर बने हैं अब स्वान साहब ने हाइपोथिसिस दी स्लेटन साहब पीछे से लुड़कते हुए आ गए भैया भैया मेरे को भी ले लो मेरे को भी ले लो तो स्लेड और स्वान ने साथ मिलकर के इस हाइपोथेसिस को प्रूफ किया तो स्लेड और स्वान ने सेल थ्योरी दी राइट लेकिन ये जो थ्योरी थी एक्सप्लेन नहीं कर पा रही थी कि नए सेल्स कैसे फॉर्म होते हैं तो यहां पर एक साइंटिस्ट आए जिनका नाम था रूडोल्फ रको साहब जिन्होंने 18552 सेला लला यह आपकी दो स्टेटमेंट हो गई अगर यहां पर आपको एक एक्सेप्शन पूछा जाए अगर मैं बोलू कि सेल थ्योरी का एक्सेप्शन कौन है तो क्या होना चाहिए आप चाहे तो चैट सेक्शन में रिप्लाई कर सकते हैं अगर मैं आपको कहूं कि सेल थ्योरी का एक एक्सेप्शन बता दीजिए है ना व्ट इज द एक्सेप्शन ऑफ सेल थ्योरी तो आप क्या कहेंगे सर वायरस एक्सेप्शन हो जाएंगे क्या वायरस सेल थ्योरी के एक्सेप्शन हो जाएंगे भाई वायरस जो है इट्स नॉट अ सेल वायरस लिविंग नहीं है वायरस सेल नहीं है वह खुद डिवाइड नहीं कर सकता यानी कि ओमनी सेलल लूला कांसेप्ट वहां पर लागू नहीं होता है तो क्या वायरस इज एन एक्सेप्शन टू सेल थ्योरी यस इट इज एन एक्सेप्शन टू सेल थ्योरी तो कोई पूछे तो आपको यह बात भी पता होनी चाहिए कि एक्सेप्शन टू सेल थ्योरी कौन है आपका वायरस है तो यहां तक हमने बेसिक कांसेप्ट पढ़ लिए सेल थ्योरी एज वेल एज हम लोगों ने क्या कर लिया हम लोगों ने एनसीआरटी की रीडिंग भी लगा ली सेल थ्योरी तक अब हम कुछ क्वेश्चन देखते हैं यह है आपकी पंचायत जहां पर आप सभी लोग पार्टिसिपेट करते हैं एंड हम लोग कुछ क्वेश्चन सॉल्व करते हैं तो एक बार क्वेश्चन सॉल्व करेंगे फिर मैं आपको आगे का फेट प्लान बताऊंगा कि हर लेक्चर में हम लोग क्याक करने वाले हैं तो आइए सबसे पहले क्वेश्चन देखते हैं कि आपका आज के टॉपिक से रिलेटेड है या नहीं देखिए चलिए शुरू करते हैं थियोडोर स्वान यानी स्वान साहब जो थे नेम द आउटर लेयर ऑफ सेल चच इज टुडे नोन एज स्वान साहब ने किस लेयर को एक तरीके से नाम दिया था एनिमल सेल्स में इनको कौन सी लेयर मिली थी है ना जब य एनिमल सेल पर रिसर्च कर रहे थे स्वान साहब तो इनको कौन सी लेयर मिली थी क्या बोलते हैं आज उस लेयर को टोनोप्लास्ट बेसमेंट मेंब्रेन बायोलॉजिकल मेंब्रेन या सेल मेंब्रेन भाई दो नाम है यहां पर सेल मेंब्रेन भी कह सकते हैं एज वेल एज प्लाज्मा मेंब्रेन भी कह सकते हैं है ना तो सेल मेंब्रेन जो है इसी का नाम क्या है इट इज आल्सो कॉल्ड आप चाहे तो लिख सकते हैं क्वेश्चन में से भी क्वेश्चन निकालेंगे हम लोग इट इज आल्सो कॉल्ड प्लाज्मा मेंब्रेन जो कि हम लोगों ने नोट में लिख रखा है और प्लाज्मा मेंब्रेन के अलावा हम इसको क्या कह सकते हैं हम इसको कह सकते हैं प्लाज्मोलाइज्ड है ना तो प्लाज्म मा भी कह सकते हो सेल मेंब्रेन भी कह सकते हो प्लाज्मा मेंब्रेन भी कह सकते हो एक ही बात है तो अल्टीमेटली आंसर क्या आ जाएगा बी आ जाएगा 100% लोगों ने सही बता दिया यार कमाल ही हो गया कमाल ही हो गया मतलब उतना आसान क्वेश्चन नहीं था यह अगर आप पहली बार पढ़ रहे हो अगर आपके बेसिक कांसेप्ट क्लियर है तो अच्छी बात है पहली बार पढ़ रहे हो तो दिस इज अ बिग थिंग बहुत अच्छी बात है राइट अगले सवाल पर चलते हैं ओमनी सेलल ई सेलल किन भैया ने कहा ओमनी सेलल ई सेलू इज अ जनरलाइजेशन गिवन बाय होम जैसे ओमनी सेल ई सललाला है पुराने सेल से नए सेल्स बनते हैं इसी प्रकार से ओमनिस बैक लगा ई बैक लगा है आपके पुराने बैकलॉग से ही नया बैकलॉग क्रिएट होता है सो यू नीड टू कंप्लीट योर बैकलॉग एज सून एस पॉसिबल डेली का काम डेली करिए बहुत पेशेंस के साथ बहुत ईमानदारी के साथ जिससे कल का बैकलॉग आप तक आज ना पहुंच रहा हो कल रात को ही उसको कंप्लीट कर दीजिए आज एक नया फ्रेश स्टार्ट लीजिए तो बैकलॉग को नहीं बढ़ने देना है रको साहब ने बात की थी 185 में और एक फाइनल शेप दी थी सेल थ्योरी को यहां पर आ जाता है आपका अब य बी जो है यह पिछले इसका क्वेश्चन का उठाया हुआ है राइट तो मतलब बहुत ज्यादा बच्चों ने सही आंसर दिया है बस चैट में से रिस्पांसस उठ रहे हैं इसलिए थोड़ी सी दिक्कत आ रही है आइए नया पोल ले लेते हैं सेल थ्योरी स्टेटस ट सेल थ्योरी की दो स्टेटमेंट्स थी वो क्या-क्या कहती हैं ऑल सेल्स अराइज फ्रॉम प्री एसिस्टिंग सेल्स यानी ओमनी सेलल लूला ऑल लिविंग ऑर्गेनिस्ट मस आर कंपोज्ड ऑफ सेल्स एंड प्रोडक्ट्स ऑफ सेल्स ऑल सेल्स आर लिविंग यह नहीं पूछा है कि कौन सी बात करेक्ट है यह पूछा है कि कौन सी चीज सेल थ्योरी में कही गई थी सेल थ्योरी में दो ही बातें कही गई थी पहली कि जितने भी लिविंग ऑर्गेनिस्ट सम है वो सेल और सेल के प्रोडक्ट से मिलते हैं और दूसरी आपकी ओमनी सेलल ई सेलल तो आंसर क्या आ जाएगा दोनों ही स्टेटमेंट्स करेक्ट है अब ऑल सेल्स आर लिविंग यह भी करेक्ट बात है लेकिन इसका सेल थ्योरी से कोई लेना देना नहीं है तो इसको हम एलिमिनेट कर सकते हैं आंसर क्या आ जाएगा आपका चौथा आ जाएगा लगभग 95 पर बच्चों ने सही कर दिया है भाई कमाल मजेदार बैच है ना चलिए यह देखिए बहुत प्यारा क्वेश्चन है इसमें गड़बड़ी होने के चांसेस हैं आराम से देखिएगा ऑल प्लांट्स आर कंपोज्ड ऑफ डिफरेंट काइंड ऑफ सेल्स सिर्फ प्लांट्स की बात हो रही है प्लांट्स अलग-अलग प्रकार के सेल से बनते हैं और यह सेल्स आगे चलके अलग-अलग प्रकार के टिशूज बना रहे होते हैं यह बात कौन से भैया ने कही थी लमार्क वन हेलमंट मतलब अब ऑप्श ऐसे दे दिए हैं कि आप कर पाओगे लेकिन इसी में अगर ऑप्शंस कन्फ्यूजिंग बनाते स्लेड स्वान दोनों दे देते तो शायद थोड़ी दिक्कत हो सकती थी ऑल प्लांट्स यानी यहां पर सिर्फ और सिर्फ प्लांट की बात हो रही है और प्लांट की बात कौन करेंगे बोटेनिया करेंगे यानी हमारे स्लेड भैया करेंगे राइट हमारे स्लेटन भैया यह बात करेंगे स्वान भैया का इनसे कोई लेना देना नहीं है 97 पर बच्चों ने सही कर दिया है कमाल यह क्वेश्चन आप नहीं कर पाओगे यह क्वेश्चन आप नहीं कर पाओगे अभी यह क्वेश्चन नहीं कर पाओगे यह क्वेश्चन आप नहीं कर पाओगे यह क्वेश्चन आप नहीं कर पाओगे मतलब कर तो दोगे बट फिर भी थोड़ी सी दिक्कत होगी लीडर बोर्ड देख लीजिए चैतन्या मोहम्मद विशाल इंद्रजीत शानवी शिवकांत मोनाली अरमान फ्यूरी हंसिका सुशांत नंदिनी सभी लोगों को बहुत-बहुत कांग्रेचुलेशन जो नहीं भी आ पाए लीडर बोर्ड में उनको भी कांग्रेचुलेशन पहला लेक्चर था आराम से चलेंगे कोई टेंशन नहीं है राइट ये है हमारा एक्टिव रिकॉल एक्टिव रिकॉल में हम क्या करते हैं एक दिन में हमने जो भी चीजें पढ़ी हैं सबको हम आंखें बंद करके रिकॉल करने की कोशिश करते हैं सो आई वुड रिक्वेस्ट ऑल ऑफ यू टू क्लोज योर आइज एंड जस्ट टू फोकस ऑन माय वर्ड्स अगर मैं जो बोल रहा हूं वह सुन कर के आप अपने दिमाग में एक मैप बना पा रहे हैं आज के टॉपिक का इसका मतलब आप पूरा टॉपिक समझ चुके हैं तो आप मुझे एंड में थम्स अप दीजिएगा तब तक के लिए चैटिंग एकदम बंद आंखें बंद और पूरा का पूरा ध्यान केंद्रित करिए सिर्फ और सिर्फ मेरी बातों पर यू नीड टू फोकस ऑन माय वर्ड्स ओनली सिर्फ सुनने की कोशिश करिए कि मैं क्या कह रहा हूं आज मैंने सबसे पहले आपको कुछ बेसिक टर्म्स के बारे में बताया और उनमें से सबसे पहली जो टर्म थी वो थी हमारी बायोलॉजी बायो का मतलब होता है लिविंग और लॉजी का मतलब होता है स्टडी यानी यहां पर हम लिविंग ऑर्गेनिस्ट मस लिविंग प्रोसेसेस की स्टडी करते हैं दूसरी जो टर्म थी वो थी सेल बायोलॉजी यानी बायोलॉजी में सेल से रिलेटेड आप जो भी चीज पढ़ते हैं सेल का स्ट्रक्चर फंक्शन मेटाबॉलिज्म डिवीजन सब कुछ सेल बायोलॉजी में आप पढ़ते हैं लेकिन साइटोलॉजी में आप स्ट्रक्चर पर कोर फोकस कर रहे होते हैं देन लास्ट टर्म हमने पढ़ी सेल इट सेल्फ व्हिच इज द स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ यानी किसी ऑर्गेनिस्ट को अगर आप लिविंग कहना चाहते हो तो अगर आप प्रूफ करना चाहते हो किसी ऑर्गेनिस्ट में लाइफ है तो उसके अंदर सेल भी होना चाहिए एंड इट इज स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट यानी हमारी बॉडी का पूरा का पूरा स्ट्रक्चर भी सेल बनाता है और हमारे सेल के अंदर होने वाले सारे के सारे फंक्शन सारे के सारे मेटाबॉलिक रिएक्शंस भी सेल के अंदर ही सिंस हो रहे हैं तो फंक्शन में भी मेन रोल अदा करता है हमारा सेल इसीलिए इसे स्ट्रक्चरल एंड फंक्शनल यूनिट ऑफ लाइफ कहा अगली स्लाइड में मैंने आपको कुछ साइंटिस्ट के बारे में बताया सबसे मेन जो साइंटिस्ट थे जिन्होंने सबसे पहली बार डेड सेल को देखा कॉर्क सेल को देखा क्वेर्कस सब्रस में यानी ओक प्लांट की कॉर्क को देखा उन साइंटिस्ट का नाम था रॉबर्ट हुक और 1665 में इन्होंने हनी कॉम लाइक स्ट्रक्चर देखा जहां पर इन्हें एमटी कंपार्टमेंट्स मिले बीच-बीच में जिनको इन्होंने सललाला नाम का जिक्र उन्होंने अपनी किताब में किया जिसका नाम था माइक्रोग्राफिया और इनको बाहर जो बाउंड्री दिखाई दे रही थी इन सेल्स की वो एक्चुअल में सेल वॉल थी तो आप कह सकते हैं कि आपके रॉबर्ट हुक साहब जो थे इन्होंने पहली बार डेड सेल को देखा या सेल वॉल को देखा उसी से मिलता-जुलता नाम है रॉबर्ट ब्राउन साहब का जिन्होंने 1831 में सबसे पहले न्यूक्लियस की डिस्कवरी की और उसके बाद है एंटोन वन लवन हॉक जिन्होंने सबसे पहली बार लिविंग सेल को देखा मोटाईल सेल्स को देखा चाहे वो प्रोटोजोआ हो चाहे वो स्पर्म सेल्स हो चाहे वो कुछ मोटाईल बैक्टीरिया हो इन सबको सबसे पहली बार एंटोन वन लवन हॉक साहब ने देखा सिंस से सारे सेल्स मोटाईल थे तो इनका नाम उन्होंने क्या दिया एनिमल क्यूल्स यानी एनिमल्स जैसे मोटाईल मॉलिक्यूल एनिमल क्यूल उन्होंने नाम दिया उसके बाद अगर आप देखें तो आपके जितने भी ऑर्गेनिस्ट मस हैं इस दुनिया में उन सबको दो कैटेगरी में तोड़ा जाता है अगर उनमें एक ही सेल है तो उन्हें यूनिसेल्यूलर बोला गया तो सारे के सारे काम उसी सेल में होंगे एक ऑर्गेनिस्ट म के सो दे कैन सरवाइव इंडिपेंडेंटली एज वेल एज लाइफ से रिलेटेड जितने भी काम है सब एक ही सेल में हो जाएंगे अलग-अलग सेल्स क्योंकि यहां पर प्रेजेंट नहीं है लेकिन दूसरे ऑर्गेनिक्स जिन्हें मल्टी सेल्यूलर कहा जा रहा है वहां पर अगर आप देखें तो डिफरेंट टाइप ऑफ सेल्स हैं तो वो डिफरेंट डिफरेंट काम कर सकते हैं डिवीजन ऑफ लेबर यहां पर अच्छा खासा है जैसे हमारी बॉडी में करोड़ों सेल्स हैं तो अलग-अलग ऑर्गन्स बने हुए हैं अलग-अलग फंक्शनिंग के लिए इसके बाद अगर आप देखें तो हम लोगों ने शुरू कर दी थी सेल थ्योरी है ना और सेल थ्योरी पढ़ने से पहले इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप के बारे में जानना बहुत जरूरी है कि 1950 में इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप का आवेश हो चुका था और धीरे-धीरे वो एडवांसमेंट की तरफ भी बढ़ रहा था तो 1950 के बाद ही आपको ज्यादातर चीजें समझ में आने लगी 1972 के आसपास आपको प्लाज्मा मेंब्रेन का स्ट्रक्चर या सेल मेंब्रेन का स्ट्रक्चर डेस फर हुआ और उसी टाइम के आसपास 1950 में ही आपको पहली बार क्या देखने को मिला राइबोसोम भी देखने को मिला यानी जैसे-जैसे इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोप एडवांस होती गई वैसे-वैसे हम सेल की गहराइयों तक पहुंचते गए फिर अगर हम बात करें सेल थ्योरी की तो दो साइंटिस्ट का यहां पर मेन कंट्रीब्यूशन है स्लेड जो कि जर्मनी के रहने वाले बॉटनिकल 1838 में इन्होंने अपना काम स्टार्ट किया और इन्होंने सबसे पहले प्लांट पे रिसर्च की और ये कहा कि प्लांट जो है अलग-अलग टाइप के सेल्स और अलग-अलग टाइप के टिशूज के बने हुए हैं स्वान साहब जो थे 1839 में इन्होंने अपना काम स्टार्ट किया और ये सिंस एक जूलॉजिस्ट थे ब्रिटिश जूलॉजिस्ट थे तो इन्होंने पहले एनिमल सेल्स को देखा और कहा कि एनिमल सेल्स के बाहर एक बाउंड्री है जिसको हम कहते हैं सेल मेंब्रेन या प्लाज्मा मेंब्रेन तो इन्होंने इसको कंपेयर करने के लिए प्लांट सेल्स को भी देखा और उन्होंने कहा कि प्लांट सेल में तो सेल मेंब्रेन के बाहर एक और लेयर है जिसको हम कह रहे हैं सेल वॉल तो स्वान साहब ने कहा कि प्लांट सेल में सेल वॉल भी पाई जाती है जबकि एनिमल सेल में सिर्फ और सिर्फ सेल मेंब्रेन पाई जाती है स्वान साहब ने फिर एक हाइपोथिसिस दी कि भाई मैंने जितने प्लांट और एनिमल सेल्स देखे हैं सबकी बॉडी सेल्स की ही बनी हुई है यानी कि प्लांट और एनिमल्स जितने भी हैं सबकी बॉडी सेल्स की ही बनी होती है फिर इन्होंने स्लेटन साहब से हाथ मिलाया और दोनों ने मिलकर के इस हाइपोथेसिस को थ्योरी में कन्वर्ट कर दिया दोनों ने कहा कि भैया हमने जीवन में जितने प्लांट एनिमल देखे हैं सबकी बॉडी सेल्स और प्रोडक्ट ऑफ सेल्स की ही मिलकर बनी हुई है लेकिन सेल्स कैसे बनते हैं इस बात को ये प्रूफ नहीं कर पाए तो 18552 अकाउंट और उन्होंने कहा ओमनी सेलल लूला यानी कि पुराने सेल्स के डिवीजन से ही नए सेल्स बनते हैं और वायरस एक एक्सेप्शन है इस सेल थ्योरी का यहां तक बात समझ में आ गई है तो एक बार तारा रारा या लाल कलर के दिल इन द चैट सेक्शन भाई कोई स्लो नहीं चल रहा हूं आगे चलके आपको बॉटनी से प्यार हो जाएगा प्लीज अंडरस्टैंड दिस थिंग कि पहली क्लास में बमब नहीं फोड़ सकता मैं पहली क्लास में बम नहीं लेके आ सकता मैं आगे चलकर जैसे-जैसे हम लोग बढ़ेंगे सिलेबस की गहराइयों की तरफ आप आपको बहुत मजा आएगा अभी जनरल जनरल चीजें चल रही हैं है ना या तो आप एनसीआरटी पढ़िए जस्ट आफ्टर दिस लेक्चर जितना पढ़ाया है एक बार रिवीजन अभी-अभी इस लेक्चर को छोड़ते ही नोट्स देख लीजिए इस सेशन के अभी आपको नोट्स मिल जाएंगे क्वेश्चन सॉल्व करने हैं पं से कर लीजिए या फिर आप मेड इजी भी पढ़ सकते हैं दैट इज टोटली योर कॉल अगर आपके पास मॉड्यूल है तो ये क्वेश्चंस कर लीजिएगा एक्सरसाइज के होमवर्क के अंदर सारी चीजें मेरे ऊपर छोड़ दो मेरे भाई बहुत शुरुआत है इस सिलेबस की अभी जज मत करना कि क्या हो रहा है क्या नहीं हो रहा जिस पेज पे चला रहा हूं उस पेज पे चलिए बहुत ज्यादा मजा आ जाएगा राइट ये मेडीज है नोट्स के लिए यह पंच है अपने क्वेश्चन प्रैक्टिस के लिए यह था हमारा आज का खेला आई गेस आप लोगों को चीजें समझ में आई होंगी अभी बस इस चीज पे फोकस करना है कि समझ में आ रहा है या नहीं अभी यह नहीं सोचना कि पहली क्लास में ही नाच गाना शुरू हो जाए मजा आने लग जाए वो धीरे-धीरे धीरे-धीरे चीजें बिल्ड होंगी जब हम थोड़ा सा आराम से बैच के अंदर घुस थोड़ा ज्यादा क्वेश्चन प्रैक्टिस स्टार्ट करेंगे धीरे-धीरे और कॉन्फिडेंस बिल्ड अप होगा आप लोगों का तब हम आपके ऊपर थोड़ा ज्यादा प्रेशर डालेंगे थोड़े ज्यादा हैवी टॉपिक्स करा रहे होंगे अभी शुरुआत में तो आपको आदत ही लगने में थोड़ा टाइम लग जाएगा दिन का छछ घंटा एकदम अभी से छोड़ के बैठे थे प्रिपरेशन दिन का छ घंटा लेक्चर देखना अपने आप में बहुत बड़ी बात है तो मैं आपके ऊपर इनिशियली बहुत ज्यादा लोड नहीं देना चाहता आई वांट यू टू एंजॉय दिस जर्नी आई वांट यू टू लव दिस जर्नी और उसके लिए हम कम से कम लोड लेकर चलें मस्त तरीके से पढ़ाई करते चले वो इंपॉर्टेंट है है ना देखो एनसीआरटी से बाहर एक आधा सवाल उठ सकता है बिकॉज अभी जो नीट हुआ था लास्ट टू लास्ट संडे उसमें कुछ क्वेश्चन एनसीईआरटी के बाहर के थे कुछ टर्म्स एनसीआरटी के बाहर की थी जूलॉजी के अंदर तो अगर आप देखें तो एनटी हो सकता है एक तरीके की इंडिकेशन देने की कोशिश कर रहा हूं और मैं यह कह रहा हूं कि समझ लीजिए आपने 101 पर एनसीआरटी के बाहर पढ़ भी लिया तो कौन सी आपदा आ जाएगी दोस्त कोई बहुत बड़ा पंगा नहीं हो जाएगा उस चीज से यू नीड टू अंडरस्टैंड कि अगर थोड़ा बहुत एक्स्ट्रा पढ़ लिया है अगर बेसिक्स के ऊपर तो अच्छी बात है ना उतनी इंफॉर्मेशन तो लेके चलो अदर वाइज आप किसी कोचिंग इंस्टिट्यूट की टेस्ट सीरीज सॉल्व कर रहे होंगे आपको कभी ऑब्जेक्टिव बुक में कोई ऐसा क्वेश्चन मिल जाएगा पी वाई क्यू में ऐसा कोई क्वेश्चन मिल जाएगा जो आज की एनसीआरटी में नहीं है तो तो आप डी मोटिवेटेड फील करेंगे ना तो आपको ऐसा लगेगा कि यार मास्टर जी ने कम पढ़ाया है सो हम लोग उतना पढ़ेंगे कि आपके सारे क्वेश्चंस बन जाए चाहे पेपर कोई भी बना ले एंटीए बना ले एनएमसी बना ले एम्स बना ले आपके सारे क्वेश्चंस लड़ रहे हो मेरा टारगेट यह है कि इस बैच से कई बच्चे के कि मैं गिन भी ना पाऊं इतने बच्चों के 180 में से 180 नंबर बटनी में आए और बहुत बच्चे मेडिकल कॉलेजेस में एंटर कर रहे हो उसके लिए बहुत जरूरी है डे वन से प्रिपरेशन करना बाद में हम हमारी ट्रेजे क्ट्री को नहीं बदल सकते बाद में यह नहीं बोल सकते कि चलो अभी एडवांस पढ़ना शुरू करेंगे आज ही थोड़ा बहुत क्या ही एक्स्ट्रा बताया मैंने एंड में जो मैंने एक्टिव रिकॉल पढ़ाया आपको 5 मिनट में पूरा का पूरा लेक्चर रिवाइज कर दिया अगर एक इतने बड़े लेक्चर को रिवाइज करने में आपको 5 मिनट लग रहे हैं तो मैंने क्या ऐसा पढ़ा दिया आप बताओ कुछ भी बहुत ज्यादा नहीं पढ़ा है एक किताब का नाम एक्स्ट्रा बताया माइक्रोग्राफिया है ना आपका सेलुलर टर्म दी है रॉबर्ट हुक साहब ने आपका एनिमल क्यूल टर्म दि है रॉबर्ट ब्राउन साहब ने बाकी सारी बातें एनसीआरटी में है आगे आपको दिखेंगी वोह अलग बात है मैंने किसी किसी चैप्टर से उठा के अभी डाल दी है लेकिन यह बातें आपको आगे दिखेंगी तो डोंट वरी कुछ एक्स्ट्रा नहीं बताया है एक दो टर्म्स एक्स्ट्रा बताई है बस उसके अलावा सारी चीजें एनसीआरटी में है दूसरे चैप्टर्स में है तो वहां हमको फायदा मिल रहा होगा डीपीपी आपके आज के लेक्चर के साथ अटैच है आपको ऐप पे डीपीपी मिल जाएगी सॉल्व कर लेना साथ-साथ कुछ क्वेश्चंस ऐसे हैं जो शायद आप ना भी बना पाए क्योंकि हमारा टॉपिक पूरा नहीं हो पाया पर जो भी है आज का लेक्चर बहुत लाइट रखना चाहता था मैं बहुत इजी रखना चाहता था आगे से थोड़ा हम लोग धमाल मचाएंगे है ना चलिए थैंक यू सो मच गाइज फॉर वाचिंग दिस सेशन आप सभी को बहुत-बहुत शुक्रिया आपके डाउट्स इस सेशन से रिलेटेड जो भी हैं वो हम अगले सेशन में यानी कल ले रहे होंगे तो अपने डाउट उसको भी इकट्ठा कर लीजिए और डाउट पोर्टल पर मेरे साथ कल आते ही शेयर कर दीजिएगा जिससे कि हम लोग उन डाउट्स के डिस्कशन कर ले एट द एंड ऑफ द लेक्चर और कल हम लोग पढ़ेंगे अबाउट प्रोकैरियोटिक सेल थोड़ा बहुत कुछ जनरल टर्म्स देखेंगे हम लोग सेल से रिलेटेड एंड प्रोकैरियोटिक सेल की डिस्कशन करेंगे राइट मैं जो पढ़ा रहा हूं इनफ है दोस्त है ना एनसीआरटी पूरी टैग्ड मिलेगी एकदम टैग्ड मिलेगी सारे पी वाई क्यूज सब कुछ उसमें टैग मिलेगा एकदम कलरफुल मिलेगी सारी चीजें एकदम मस्त हो जाएंगी है ना सर माइटोकांड्रिया में डीएनए होता है क्या बिल्कुल होता है है ना माइटोकांड्रिया में बैक्टीरिया जैसा डीएनए होता है डबल स्टैंडर्ड सर्कुलर डीएनए आगे सारी चीजें पढ़ेंगे टेंशन मत लो और टेंशन मत दो मैं जो पढ़ाऊंगा मोर देन इनफ है आपकी सोच से ज्यादा ही पढ़ा दूंगा यह सारे डाउट्स इनकॉरपोरेट हो जाएंगे जिस दिन माइटोकांड्रिया पढ़ेंगे उस दिन इस सवाल के बारे में भी चर्चा हो जाएगी राइट चलिए ऑल राइट थैंक यू सो मच बाय बाय टेक केयर लॉट्स ऑफ लव आप सभी लोगों को शुक्रिया फॉर बीइंग सच अ पेशेंट ऑडियंस एंड आज आप लोगों ने पोल पे कमाल कर दिया बहुत सारे स्टूडेंट्स थे जिनका रिस्पांस बहुत शानदार था सो वेरी वेल डन ऐसे ही स्पिरिट को बनाए रखिएगा और अगले सेशंस में भी अच्छा परफॉर्म करिएगा थैंक यू सो मच लॉट्स ऑफ लव जय हिंद मिलता हूं आपसे कल तब तक के लिए अपना ख्याल रखिए और पढ़ाई करते रहिए और आज जो होमवर्क दिया है एज वेल एज जो डीपीपी दी है वो सॉल्व कर लीजिएगा कल मिलते हैं सॉल्यूशंस के साथ थैंक यू